सामान्य ज्ञान
दुनिया में प्राय: हर देश में मच्छर मिलते हैं। केवल मादा मच्छर ही लोगों को काटती है और नर मच्छर पौधों का रस पीकर जिंदा रहते हैं। कुछ लोगों को मच्छर ज्यादा काटते हैं, तो कुछ लोगों के पास मच्छर फटकते तक नहीं हैं।
कार्बन डाई आक्साइड मच्छरों को आकर्षित करने वाली मुख्य गैसों में है। मच्छर साढ़े चार मीटर की दूरी से इसे पहचान लेते हैं। चूंकि सांस लेने में हर बार इस गैस की कुछ मात्रा मनुष्य बाहर निकालता है अत: यह असंभव है कि मच्छर मनुष्य की ओर आकर्षित न हों। एक मादा मच्छर जब कार्बन डाई आक्साइड की उपस्थिति का आभास कर लेती है तो चारों ओर घूम-2 कर उडऩे लगती है। गर्भवती महिलाएं चूंकि अधिक मात्रा में कार्बन डाई आक्साइड श्वास से बाहर निकालती हैं इसलिए मच्छर उनकी ओर अधिक आकर्षित होते हैं।
गतिशील लोग मच्छरों का अधिक निशाना बनते हैं क्योंकि ऐसे लोगों के शरीर से अधिक गर्मी और पसीना निकलता है। इसके अतिरिक्त ब्लड ग्रुप भी मच्छरों के लिये विशेष महत्व रखते हैं। ओ प्लस ब्लड ग्रुप वालों की ओर मच्छर अधिक आकर्षित होते हैं।
मच्छरों से आप यदि किसी सीमा तक बचना चाहते हैं तो आपको दो काम करना होंगे, एक यह कि पैरों से पसीने की दुर्गंध न आए और दूसरे रात के समय गहरे रंगों के कपड़े न पहनें। कुछ लोग कहते हैं कि फूलों की सुगंध भी मच्छरों को आकर्षित करती है इसलिए रात के समय फूलों की सुगंध वाले इत्र या सेन्ट भी प्रयोग न करें।