सामान्य ज्ञान
एंटीऑक्सिडेंट एक कण है जो अन्य कणों के ऑक्सीकरण को रोकता है। ऑक्सीकरण अनुक्रियाएं हालांकि हमारे स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण होती हैं, परंतु कई बार वे क्षति भी पहुंचा सकती हैं। ऑक्सीकरण प्रक्रियाओं के दौरान पैदा होने वाले मुक्त रेडिकल्स (मूल तत्व) हमारे शरीर में सृजित होने वाले ऐसे उच्च-अनुक्रियात्मक मिश्रणों का विमोचन करते हैं, जो सामान्य प्रक्रियाओं के सह-उत्पाद के रूप में हमारे शरीर में पैदा होते हैं या वातावरण से हमारे शरीर में प्रवेश करते हैं।
एंटी-ऑक्सिडेंट्स का अपर्याप्त स्तर अथवा एंटी-ऑक्सिडेंट्स एन्जाइम्स (किण्वक) का निरोधन ऑक्सिडेंट्स तनाव पैदा करता है जो डीएनए कोशिकाओं को क्षति पहुंचा सकता है या उन्हें समाप्त कर सकता है। एंटी-ऑक्सिडेंट्स ऐसे मिश्रण होते हैं जो ऑक्सीजन प्रजातियों/मुक्त मूल तत्वों को निष्क्रिय बनाते हैं और, इस तरह वे कोशिकाओं और शारीरिक ऊतकों को होने वाली ऑक्सिडेटिव क्षति को रोकते हैं। पौधों से बनने वाला भोजन स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभदायक होता है, क्योंकि वह ऑक्सिडेंट्स और एंटी- ऑक्सिडेंट्स के बीच संतुलन कायम करते हुए हमारे शरीर में ऑक्सिडेटिव तनाव दूर करता है। पौधों/मवेशी से प्राप्त भोजन में कई किस्म के पोषक/ गैर-पोषक एंटी-ऑक्सिडेंट, जैसे ग्लुटेथिओन, विटामिन सी, विटामिन ए और विटामिन ई होते हैं। एंटी-ऑक्सिडेंट्स का आहार विषयक पूरक तत्वों के रूप में व्यापक इस्तेमाल किया जा रहा है और वे कैंसर, कोरोनरी हृदय रोग और यहां तक कि ऊंचाई पर होने वाली रुग्णता जैसी बीमारियों की रोकथाम के लिए जांचे-परखे जा रहे हैं।
एंटी-ऑक्सिडेंट हमारे शरीर में ऑक्सीकरण के दुष्प्रभावों का मुकाबला करते हैं। इनमें विटामिन ए, एस्कोर्बिक एसिड (विटामिन सी), विटामिन ई, पोलिफेनोल्स और विभिन्न खनिज (जैसे सेलेनियम) शामिल हैं जो मुक्त रेडिकल्स (मूल तत्व) को शांत करते हुए हमारी रोग प्रतिरोधी क्षमता बढ़ाते हैं।
मुक्त रेडिकल्स उच्च-अनुक्रियात्मक मिश्रण होते हैं, जो हमारे शरीर में होने वाली सामान्य मेटाबोलिक प्रक्रियाओं के दौरान सह-उत्पादों के रूप में बनते हैं अथवा वातावरण से हमारे शरीर में प्रवेश करते हैं। एंटी-ऑक्सिडेंट्स इन नुकसानदायक मिश्रणों को शांत करते हुए विभिन्न प्रकार के कैंसर को रोकने और प्रतिरक्षण प्रणाली को मजबूत बनाते हुए एचआईवी रोगियों के प्रबंधन में भी मददगार बनते हैं।
विटामिन ई और एस्क्रोबिक ऐसिड जैसे एंटी- ऑक्सिडेंट्स वृद्ध होने की प्रक्रिया को टालने में भी सहायक हो सकते हैं; और वे स्मृति क्षति को रोकने या खोई हुई स्मृति क्षमता वापस लाने में भी सहायक हो सकते हैं। अध्ययनों से पता चलता है कि एंटी- ऑक्सिडेंट्स की दृष्टि से समृद्ध भोजन के विभिन्न समीकरण स्वास्थ्य को ऐसे लाभ पहुंचाते हैं जो अकेले किसी एक भोजन से संभव नहीं है। उदाहरण के लिए ब्लूबेरी (नील बदरी), स्ट्राबेरी (हिसालू) और स्पिनिच (पालक) में मौजूद एंटी- ऑक्सिडेंट्स स्नायु प्रणाली की रक्षा करते हैं क्योंकि वे उस एंजाइम को रोकते हैं, जो विभिन्न प्रकार की स्नायु विषयक विकृतियों के लिए जिम्मेदार होता है। इनमें ऑटिज्म, डिप्रेशन और सिज़ोफ्रेनिया जैसी विकृतियां शामिल हैं।
एंटी-ऑक्सिडेंट्स विभिन्न प्रकार की न्यूरोडिजेनेरेटिव बीमारियों जैसे, अल्जाइमर (मानसिक रोग)/पार्किसन्स के उपचार में भी लाभदायक हो सकते हैं।