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चीन के 'स्पाई बलून' को अमेरिकी जेट ने गिराया, चीन ने दी कड़ी प्रतिक्रिया
05-Feb-2023 9:46 AM
चीन के 'स्पाई बलून' को अमेरिकी जेट ने गिराया, चीन ने दी कड़ी प्रतिक्रिया

BBC

अमेरिका ने चीन के उस 'स्पाई बलून' को गिरा दिया है, जिसके बारे में उसका कहना है कि वह अमेरिका के प्रमुख सैनिक ठिकानों की जासूसी कर रहा था.

अमेरिकी रक्षा मंत्रालय ने पुष्टि की है कि उसके लड़ाकू विमानों ने चीन के बलून को अमेरिका की समुद्री सीमा के ऊपर में अटलांटिक महासागर में गिरा दिया है.

शनिवार को अमेरिकी सेना की ओर से चलाए गए इस अभियान के कारण वहां के तीन हवाई अड्डों और उत्तरी और दक्षिणी कैरोलिना के तट के पास के एयरस्पेस को बंद करना पड़ा.

अमेरिका के टेलीविज़न चैनलों पर प्रसारित हो रहे फुटेज में एक छोटे विस्फोट के बाद इस बलून को समुद्र में गिरते हुए दिखाया गया है.

चीन के विदेश मंत्रालय ने इस पर कड़ी आपत्ति जताई और कहा कि "असैन्य काम के लिए इस्तेमाल होने वाले मानवरहित बलून पर अमेरिका के ताक़त के इस्तेमाल करने का हम विरोध करते हैं."

विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी कर कहा, "चीन ने साफ़ तौर पर अमेरिका से कहा था कि वो संयम बरते और शांतिपूर्ण और प्रोफ़ेशनल तरीके से इस समस्या से निपटे. लेकिन अमेरिका ने ताक़त का इस्तेमाल किया, स्पष्ट है कि वो इस पर ज़रूरत से अधिक प्रतिक्रिया दे रहा है."

अमेरिका के एक रक्षा अधिकारी ने इस बलून को गिराने की प्रक्रिया की जानकारी दी. उन्होंने बताया कि एक F-22 लड़ाकू विमान से छोड़े गए एक AIM-9X साइडविंडर मिसाइल ने इस बलून को निशाना बनाया.

भारतीय समयानुसार रात एक बजकर नौ मिनट (01:09 AM) पर इस बलून को अमेरिका के तट से क़रीब छह समुद्री मील (11 किलोमीटर) दूर निशाना बनाया गया.

अमेरिका के रक्षा अधिकारियों ने वहां की मीडिया को बताया कि दक्षिण कैरोलिना के मायर्टल बीच के पास इस बलून का मलबा गिरा. गिरने के बाद यह समुद्र में 47 फीट (14 मीटर) नीचे तक गया, जबकि अनुमान इससे भी ज़्यादा नीचे जाने का था.

अमेरिकी सेना अब 11 किलोमीटर में फैले इस मलबे को निकालने की कोशिश कर रही है. नौसेना के दो जहाज़ों को इस काम में लगाया गया है. उनमें से एक जहाज़ पर एक भारी क्रेन भी तैनात है.

बलून गिराने का था दबाव

अमेरिकी रक्षा अधिकारियों ने गुरुवार को जब पहली बार एलान किया कि वो इस बलून को ट्रैक कर रहे हैं, तभी से अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन पर इसे नीचे गिराने का दबाव था.

इस बलून को नीचे गिराने के बाद बाइडन ने कहा, "उन्होंने इसे सफलतापूर्वक नीचे गिरा दिया. मैं इसे गिराने वाले अपने एविएटर्स को इसके लिए बधाई देना चाहता हूं."

एश्लिन प्रॉक्स बलून गिराए जाने की घटना की प्रत्यक्षदर्शी हैं. वो कहती हैं, "मैं ये देखने के लिए बाहर निकली कि बाहर अधिक लोग क्यों जमा हैं. तब मैंने आसमान में वो बलून देखा जिसके बारे में मीडिया में लगातार ख़बरें दिखाई जा रही थीं. जेट विमानों ने इस बलून को घेरा हुआ था और वो इसके आसपास चक्कर काट रहे थे."

वो बताती हैं, "मैंने देखा कि एक जेट ने सीधा बलून पर निशाना लगाया. इसके कुछ देर बाद वो बलून फटने और नीचे गिरने लगा."

अमेरिका में इस हफ़्ते चीन का यह बलून मिलने के बाद एक कूटनीतिक संकट पैदा हो गया है.

अमेरिकी रक्षा मंत्रालय का मानना था कि यह बलून संवेदनशील इलाक़ों में जासूसी का काम कर रहा था.

अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने इसे 'ग़ैर-ज़िम्मेदाराना हरक़त' बताते हुए चीन की अपनी प्रस्तावित यात्रा तुरंत रोक दी.

हालांकि चीन ने इसके स्पाई एयरक्राफ़्ट होने से इनकार करते हुए कहा कि यह मौसम का अनुमान लगाने वाला बलून था, जो अपना रास्ता भटक गया. (bbc.com/hindi)

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