सामान्य ज्ञान
तुर्काना झील, जिसे पहले रुडोल्फ़ झील बुलाया जाता था, महान अफ्रीकी झीलों में से एक है। यह कुछ-कुछ खारे पानी की झील घनफल (वोल्यूम) के हिसाब से कैस्पियन सागर, इसिक-कुल और वान झील के बाद दुनिया की चौथी सबसे बड़ी खारी झील है। अरल सागर इस से कभी बड़ा हुआ करता था लेकिन अधिकतर सूख जाने के कारण अब इस से छोटा है। तुर्काना एक रेगिस्तान-जैसे क्षेत्र में स्थित है और विश्व की सबसे बड़ी स्थाई रेगिस्तानी झील भी है। इसका अधिकतर भाग कीनिया में है लेकिन सुदूर उत्तरी छोर इथियोपिया में पड़ता है।
इस झील के बीच के केन्द्रीय द्वीप पर एक जीवित ज्वालामुखी है जिस से गैस और धुंआ हमेशा रिसता रहता है। झील के दक्षिणी और पूर्वी तट पत्थरीले हैं जबकी उत्तरी और पश्चिमी तटों पर रेतीले मैदान और रेत के टीले हैं। धूप में आसपास की धरती जल्द ही गरम हो जाती है जबकि पानी धीरे-धीरे ही गरम होता है। ज़मीन और पानी में तापमान अंतर से यहां तेज़ हवाएं चलती हैं और कभी-कभी अचानक आंधियां भी आ जाती हैं। मैदानी तटों पर मगरमच्छ और पत्थरीले किनारों पर सांप और बिच्छू मिलते हैं। पर्यटकों को यहां कभी-भी बिना स्थानीय मार्गदर्शकों के अकेले न जाने की सलाह दी जाती है।
तुर्काना के आसपास के इलाक़े में प्राचीन मानवों के कई जीवाश्म (फ़ॉसिल) मिले हैं और कई विद्वानों के अनुसार मानव जाति का जन्म यहीं हुआ था।