सामान्य ज्ञान
अमेरिका में नागरिक अधिकारों के लिए लडऩे वाले आंदोलनकारी मार्टिन लूथर किंग जूनियर की 4 अप्रैल, 1968 में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।
मार्टिन लूथर किंग को कई लोग अमेरिका का गांधी भी कहते हैं। उन्होंने अफ्रीकी अमेरिकी नागरिकों के अधिकारों के लिए अहम भूमिका निभाई। वर्ष 1964 में उन्हें उनके प्रयासों के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया। वर्ष 1955 में अलबामा में श्वेत यात्रियों के लिए अपनी सीट ना छोडऩे के लिए रोजा पाक्र्स ने गिरफ्तारी दी। इसके साथ ही किंग उनके समर्थन में उतर आए और प्रसिद्ध बस आंदोलन चलाया। यह आंदोलन 383 दिनों तक चला और आखिरकार संघर्ष रंग लाया और 1956 में अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया कि एफ्रो-अमेरिकी अश्वेत नागरिक नगर निगम के किसी भी बस में कहीं भी बैठ सकते हैं।
किंग महात्मा गांधी और उनके सिद्धांतों से बेहत प्रेरित थे। 1959 में किंग ने भारत यात्रा की जिसे उन्होंने तीर्थयात्रा जैसा बताया था। उन्होंने कई बार कहा कि महात्मा गांधी के अहिंसा के सिद्धांत को वह आंखें खोल देने वाला मानते हैं। 4 अप्रैल 1968 को जब किंग अमेरिका के मेम्फिस शहर में सफाई कर्मचारियों की खराब परिस्थितियों के विरोध में प्रदर्शन कर रहे थे, तभी उनकी गोली मारकर हत्या कर दी गई। उन पर गोली चलाने वाले जेम्स अर्ल रे को 99 साल की सजा सुनाई गई और 1998 में जेल में ही रे की मौत हो गई।