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रायपुर, 2 मई। यूनिसेफ द्वारा दुर्ग और राजनांदगांव में 600 से अधिक युवा स्वयंसेवक यूनिसेफ की अभिनव पहल ‘रोको अउ टोको’ अभियान में शामिल हुए।
अप्रैल माह के पहले सप्ताह में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा रायपुर में शुरू किए गए इस अभियान को अब राज्य के सात जिलों में 3 हजार स्वयंसेवकों के साथ शुरू किया जाएगा। प्रत्येक शहर में लगभग 300-600 स्वयंसेवक इस अभियान से जुड़े हैं। ’रोको अउ टोको’ ’अभियान जल्द ही बलौदा बाजार, बिलासपुर, कोरबा और रायगढ़ में भी शुरू किया जाएगा।
दुर्ग कलेक्टर डॉ.सर्वेश्वर भूरे का कहना है कि इस अभियान के माध्यम से दुर्ग शहर की झुग्गि-बस्तियों और आवासीय स्थानों में रहने वाले लोगों तक पहुंचा जाएगा। कोरोना संक्रमण की रोकथाम और वैक्सीन के प्रति संकोच को दूर करने के लिए जनजागरूकता जरूरी है।
उन्होंने कहा कि प्रशासन की मदद करने के लिए यूनिसेफ को धन्यवाद देते हुए, विधायक अरुण वोरा ने कहा हैं कि युवाओं के नेतृत्व में शुरू किया गया यह जागरूकता अभियान दुर्ग नागरिकों को वायरस के प्रसार से बचाने में और एक लाख से अधिक लोगों का टीकाकरण सुनिश्चित करने में मदद करेगा।
वहीं राजनांदगांव कलेक्टर टोपेश्वर वर्मा ने हरी झंडी दिखाकर इस अभियान की शुरुआत की। श्री वर्मा ने कोरोना पर जागरूकता फैलाने और जिला प्रशासन के टीकाकरण हेतु प्रयासों में स्वेच्छा से सहयोग करने वाले युवाओं की सराहना की।
यूनिसेफ छत्तीसगढ़ के प्रमुख जॉब जकरिया ने कहा कि राज्य के प्रत्येक गांव, वार्ड और झुग्गी में युवा स्वयंसेवकों के सहयोग की आवश्यकता है। भ्रांतियों को दूर कर कोविड उचित व्यवहार और टीकाकरण को बढ़ावा देने में युवा उत्प्रेरक हैं। परिवार और समाज में शक्तिशाली सामाजिक परिवर्तन लाने में युवा महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।
इस अभियान को तीन माह तक चलाया जाएगा। इस दौरान, अभियान में शामिल स्वयंसेवक (वालंटियर्स) वायरस के प्रसार को रोकने और कोविड टीकाकरण अभियान को बढ़ावा देने हेतु सरकार के प्रयासों में सहयोग करेंगे। वे जनता को मास्क पहनने, साबुन से हाथ धोने, शारीरिक दूरी बनाए रखने, भीड़-भाड़ वाली जगहों से बचने की समझाइश देंगे। साथ ही, वे लोगों को कोरोना टीकाकरण कराने के लिए भी प्रेरित। होम आइसोलेशन में रह रहें मरीजों तक दवा और भोजन पहुँचाने में भी स्वयंसेवक जिला प्रशासन की मदद करेंगे।
धार्मिक स्थलों में जाकर महामारी पर महत्वपूर्ण जानकारी साझा करने का कार्य भी स्वयंसेवकों द्वारा किया जाएगा। अभियान के अंतर्गत, स्वयंसेवक आवासीय स्थानों, बाजारों, होटलों और अन्य सार्वजनिक स्थानों का दौरा करेंगे और उक्त विषयों पर जनजागरूकता पैदा करेंगे।
युवा स्वयंसेवक लोगों से अपील करेंगे की वे जिला प्रशासन द्वारा जारी लॉकडाउन और रोकथाम दिशानिर्देशों का सख्ती से पालन करें, कोविड के लक्षण होने पर जांच करवाएं और कोविड वैक्सीन लेकर इस बीमारी से अपनी सुरक्षा करें।
रोको अउ टोको अभियान जिला प्रशासन, एमसीसीआर ट्रस्ट, एनएसएस, समुदाय और धार्मिक संगठनों द्वारा समर्थित है। इस अभियान के तहत विधायकों, धार्मिक और सामुदायिक नेताओं और मशहूर हस्तियों की भी मदद की जाएगी।