राष्ट्रीय
अमरोहा, 19 अप्रैल । उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि भारत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश के 80 करोड़ लोगों को पिछले 4 साल से फ्री राशन की सुविधा दी जा रही है। यह बदलते और नए भारत की तस्वीर को दर्शाता है। अब हमें विकसित भारत, आत्मनिर्भर भारत और ग्लोबल लीडर के रूप में आगे बढ़ने के लिए लोकतंत्र के महापर्व में भागीदारी सुनिश्चित करनी है, ताकि तीसरी बार फिर मोदी सरकार को देश का नेतृत्व सौंपकर अपना कर्तव्य निभा सकें।
सीएम योगी ने कहा कि देश में हो रहा बदलाव दुनिया के लिए कौतूहल और आश्चर्य का विषय बन गया है। उन्होंने ये बातें शुक्रवार को अमरोहा लोकसभा क्षेत्र के गजरौला में आयोजित जनसभा में कही।
इस दौरान उन्होंने लोकसभा प्रत्याशी चौधरी कंवर सिंह तंवर के पक्ष में वोट की अपील की।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नए भारत के शिल्पी के रूप में विकसित भारत और आत्मनिर्भर भारत की संकल्पना को पूरा करने के लिए लगातार प्रयास कर रहे हैं। इसी का नतीजा है कि आज देश में सुरक्षा का बेहतर वातावरण सभी को प्राप्त हो रहा है। इतना ही नहीं, दुनिया में 140 करोड़ देशवासियों का सम्मान और गौरव बढ़ा है। वर्तमान में देश में जो परिवर्तन हो रहा है, वह अद्भुत और अभूतपूर्व है। यह परिवर्तन दुनिया के लिए कौतुहल और आश्चर्य का विषय बना हुआ है।
सीएम योगी ने कहा कि यह सब जनता जर्नादन के लोकतांत्रिक मूल्यों के इस्तेमाल से संभव हो पाया है। ऐसे में एक बार फिर आपको अपने वोट के जरिये देश को सशक्त और मजबूत सरकार देनी है। यह सब सिर्फ मोदी सरकार दे सकती है। देश में चारों ओर मोदी सरकार की गूंज सुनाई दे रही है।
उन्होंने कहा कि अब वक्त आ गया है कि इसे साकार किया जाए।
(आईएएनएस)
अमरोहा (उप्र), 19 अप्रैल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि पिछली सरकारें सामाजिक न्याय के नाम पर अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़े वर्ग को सिर्फ धोखा ही देती रही हैं जबकि वह ज्योतिबा फुले, बाबा साहब का सपना पूरा करने की दिशा में काम रहे हैं ।
प्रधानमंत्री ने अमरोहा से भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी कंवर सिंह तंवर के समर्थन में चुनावी सभा को संबोधित किया।
उन्होंने कहा,‘‘ हमारे देश में पहले की सरकारें सामाजिक न्याय के नाम पर अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़े वर्ग को सिर्फ धोखा ही देती रहीं। जो सपना ज्योतिबा फुले जी का था, बाबा साहेब अंबेडकर का था, चौधरी चरण सिंह जी का था...सामाजिक न्याय का वो सपना अब मोदी पूरा कर रहा है।’’
प्रधानमंत्री मोदी ने अमरोहा से कांग्रेस उम्मीदवार दानिश अली पर भी निशाना साधा।
उन्होंने कहा , ‘‘ यहां से जो कांग्रेस के प्रत्याशी हैं, उन्हें भारत माता की जय बोलने में भी परेशानी होती है। जिसको भारत माता की जय मंजूर नहीं वह भारत की संसद में शोभा देता हैं क्या ? ऐसे व्यक्ति को भारत की संसद में प्रवेश मिलना चाहिये क्या ?’’
मोदी ने कांग्रेस और समाजवादी पार्टी (सपा) नेता क्रमश: राहुल गांधी और अखिलेश यादव पर तीखा निशाना साधते हुए कहा, ‘‘उत्तर प्रदेश में एक बार फिर दो शहजादों की जोड़ी की फिल्म की शूटिंग चल रही है। इन दो शहजादों की फिल्म पहले ही नकारी जा चुकी है।’’
उन्होंने कहा,‘‘ हर बार ये लोग परिवारवाद, भ्रष्टाचार और तुष्टिकरण की टोकरी उठाकर उप्र की जनता से वोट मांगने निकल पड़ते हैं। अपने इस अभियान में ये लोग हमारी आस्था पर हमला करने का कोई मौका नहीं छोड़ते।’’
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ‘‘अयोध्या में राम मंदिर बना, तो सपा-कांग्रेस दोनों पार्टियों ने प्राण प्रतिष्ठा का निमंत्रण ठुकरा दिया। आप कल्पना कर सकते हैं वोट बैंक के भूखे लोग प्रभु राम के प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर निमंत्रण ठुकरा दें । उसके बजाये आप उनकी तरफ देखिये जो जीवन भर बाबरी मस्जिद का केस लड़ते थे । वह हार गये लेकिन प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम में शामिल हो गये ।’’
प्रधनमंत्री ने कहा,‘‘ रामनवमी पर अयोध्या में प्रभु रामलला का भव्य सूर्य तिलक हुआ है। आज जब पूरा देश राममय है तब समाजवादी पार्टी के लोग वोट बैंक की खातिर रामभक्ति करने वालों को सार्वजनिक रूप से पाखंडी कहते हैं।’’
उन्होंने यादव और बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव पर निशाना साधते हुए कहा,‘‘ बिहार और उत्तर प्रदेश में अपने आप को यदुवंशी कहने वाले नेताओं से मैं पूछना चाहता हूं कि अगर आप सच्चे यदुवंशी हैं तो आप भगवान श्रीकृष्ण और द्वारका का अपमान करने वालों के साथ कैसे बैठ सकते हो। कैसे उनके साथ समझौता कर सकते हो ?''
उन्होंने कहा कि तुष्टिकरण के इसी खेल ने उत्तर प्रदेश को, खासकर हमारे पश्चिमी उत्तर प्रदेश को दंगो की आग में जलाया था।
मोदी ने कहा,‘‘ पश्चिमी उप्र के कितने मोहल्लों में सामूहिक तौर पर 'मकान बिकाऊ हैं' के पोस्टर लगाने पड़ते थे। हमारी बहन बेटियां सुरक्षित नहीं थीं। राज्य के मुख्यमंत्री ने ऐसे अपराधियों से मुक्ति दिलायी है। हमें दोबारा किसी भी कीमत पर उन ताकतों को मजबूत नहीं होने देना हैं ।’’
उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव देश के भविष्य का चुनाव है जिसमें जनता का एक-एक वोट भारत के भाग्य को सुनिश्चित करेगा।
उन्होंने कहा कि भाजपा गांव, गरीब के लिए बड़े दृष्टिकोण और बड़े लक्ष्यों के साथ आगे बढ़ रही है लेकिन विपक्षी गुट ‘इंडिया’ के लोगों की सारी शक्ति गांव, देहात को पिछड़ा बनाने में लगती है।
उन्होंने कहा कि इस मानसिकता का सबसे बड़ा नुकसान अमरोहा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश जैसे क्षेत्रों को उठाना पड़ा है।
लोकसभा चुनाव के पहले चरण पर मोदी ने लोगों से अपील करते हुए कहा कि ‘‘मेरा सभी मतदाताओं से अनुरोध है कि संविधान से मिले इस अधिकार का उपयोग जरूर करें। विशेषकर मैं अपने युवाओं से आग्रह करूंगा, जो पहली बार वोट डालने जा रहे हैं कि वे ऐसा मौका जाने न दें, अवश्य वोट करें।’’
अमरोहा में दूसरे चरण में 26 अप्रैल को मतदान हैं । (भाषा)
बेंगलुरु, 19 अप्रैल पूर्व मंत्री और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेता मलिकय्या गुत्तेदार शुक्रवार को कांग्रेस में शामिल हो गये।
कलबुर्गी जिले के अफजलपुर से छह बार के विधायक मलिकय्या गुत्तेदार अपने भाई नितिन गुत्तेदार के भाजपा में शामिल होने से नाराज चल रहे थे।
2023 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के एम वाई पाटिल ने अफजलपुर सीट पर जीत दर्ज की थी, जिसमें मलिकय्या गुत्तेदार नितिन के बाद तीसरे स्थान पर रहे थे। नितिन गुत्तेदार ने निर्दलीय चुनाव लड़ा था।
मलिकय्या गुत्तेदार का पार्टी में स्वागत करते हुए उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस की राज्य इकाई के प्रमुख डी के शिवकुमार ने दावा किया कि कई भाजपा नेता राज्य में सत्तारूढ़ दल में शामिल होने के इच्छुक हैं।
कलबुर्गी कांग्रेस अध्यक्ष एम मल्लिकार्जुन खरगे का गृह जिला है, जिन्होंने 2009 और 2014 के लोकसभा चुनावों में इस सीट से जीत हासिल की थी, लेकिन 2019 के चुनावों में हार गए थे।
खरगे के दामाद राधाकृष्ण डोड्डामणि इस बार के लोकसभा चुनाव में कलबुर्गी (गुलबर्गा) से चुनाव लड़ रहे हैं। (भाषा)
अमृतसर, 19 अप्रैल रिलायंस फाउंडेशन की संस्थापक और अध्यक्ष नीता अंबानी ने अमृतसर में स्थित स्वर्ण मंदिर में मत्था टेका।
नीता अंबानी बृहस्पतिवार की शाम श्री हरमंदिर साहिब (स्वर्ण मंदिर) पहुंची थीं।
स्वर्ण मंदिर के प्रबंधक इकबाल सिंह मुखी ने शुक्रवार को बताया कि वह शाम करीब 7.30 बजे यहां पहुंचीं। इस दौरान उन्होंने स्वर्ण मंदिर के गर्भगृह में मत्था टेकने से पहले पवित्र मंदिर की 'परिक्रमा' की।
यहां मत्था टेकने के बाद उन्होंने कड़ा प्रसाद खाया।
वह स्वर्ण मंदिर के पवित्र 'सरोवर' के चारों ओर बने संगमरमर के गलियारे में बैठीं और गुरबानी कीर्तन भी सुना।
मुखी ने बताया, ''वह रात 11.30 बजे तक स्वर्ण मंदिर परिसर में रहीं और इस दौरान उन्होंने 'लंगर' में भोजन भी किया।''
उन्होंने कहा कि नीता अंबानी हर साल स्वर्ण मंदिर में मत्था टेकने आती हैं। (भाषा)
नयी दिल्ली, 19 अप्रैल उच्चतम न्यायालय ने योग गुरु रामदेव से अपराधिक कार्यवाही पर रोक लगाने का अनुरोध करने वाली उनकी याचिका में शुक्रवार को उन शिकायतकर्ताओं को भी पक्षकार बनाने को कहा, जिन्होंने कोविड महामारी के दौरान एलोपैथिक दवाओं के इस्तेमाल के खिलाफ उनकी कथित टिप्पणियों को लेकर उनके खिलाफ मामले दर्ज कराये थे।
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) की पटना और रायपुर इकाई ने 2021 में शिकायत दर्ज कराई थी कि रामदेव की टिप्पणियों से कोविड नियंत्रण व्यवस्था पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने की आशंका थी।
न्यायमूर्ति एम. एम. सुंदरेश और न्यायमूर्ति पी. बी. वराले की पीठ रामदेव की अपने खिलाफ आपराधिक कार्यवाही पर रोक लगाने का अनुरोध करने वाली याचिका पर सुनवाई कर रही थी। उसने कहा कि रामदेव को मामले में राहत पाने के लिए शिकायतकर्ताओं को पक्षकार बनाने की जरूरत है।
पीठ ने रामदेव को शिकायतकर्ताओं को पक्षकार बनाने की छूट दी और मामले में आगे की सुनवाई शीर्ष अदालत की ग्रीष्मकालीन छुट्टियों के बाद के लिए स्थगित कर दी। अदालत की ग्रीष्मकालीन छुट्टियां 20 मई से शुरू होंगी।
बिहार सरकार की ओर से पेश वकील ने कहा कि उन्हें मामले में जवाब दाखिल करने के लिए समय चाहिए।
न्यायालय ने कोविड महामारी के दौरान एलोपैथिक दवाओं के इस्तेमाल के खिलाफ की गईं रामदेव की कथित टिप्पणियों को लेकर दर्ज विभिन्न प्राथमिकियों के संबंध में कार्यवाहियों पर रोक लगाने का अनुरोध करने वाली उनकी याचिका पर केंद्र, बिहार एवं छत्तीसगढ़ की सरकारों और इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) को पिछले साल नौ अक्टूबर को नोटिस जारी किया था।
रामदेव की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील सिद्धार्थ दवे ने कहा था कि उनके मुवक्किल ने 2021 में बयान दिया था कि वह एलोपैथिक दवाओं में भरोसा नहीं करते, जिस पर कुछ चिकित्सकों ने आपत्ति जताई और उनके खिलाफ कई मामले दर्ज किए गए।
रामदेव ने अंतरिम राहत के तौर पर उनके खिलाफ आपराधिक शिकायतों संबंधी जांच पर रोक लगाए जाने का अनुरोध किया है।
वैश्विक महामारी के दौरान एलोपैथिक दवाओं के इस्तेमाल के खिलाफ रामदेव की टिप्पणी पर आईएमए ने बिहार और छत्तीसगढ़ में शिकायत दर्ज कराई थी।
योगगुरु के खिलाफ भारतीय दंड संहिता और आपदा प्रबंधन अधिनियम, 2005 के विभिन्न प्रावधानों के तहत मामला दर्ज किया गया है।
रामदेव के बयानों ने एलोपैथी बनाम आयुर्वेद पर देशव्यापी बहस छेड़ दी थी। उन्होंने तत्कालीन केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन से पत्र मिलने के बाद अपने बयान को वापस ले लिया था। हर्षवर्धन ने रामदेव की टिप्पणियों को ‘‘अनुचित’’ कहा था।
दिल्ली मेडिकल एसोसिएशन (डीएमए) ने भी इस मामले में उसे एक पक्ष बनाने की अनुमति मांगी है। उसने आरोप लगाया है कि रामदेव ने एलोपैथी का अपमान किया और लोगों को टीकों एवं उपचार संबंधी प्रोटोकॉल की अवहेलना करने के लिए ‘‘उकसाया’’।
डीएमए ने दावा किया है कि रामदेव की औद्योगिक इकाई ‘पतंजलि’ ने ‘कोरोनिल किट’ बेचकर 1,000 करोड़ रुपये से अधिक कमाए, जबकि सक्षम प्राधिकारी ने इसे मंजूरी नहीं दी थी। (भाषा)
चेन्नई, 19 अप्रैल । तमिल सिनेमा के 'मक्कल सेलवन' विजय सेतुपति ने लोकसभा चुनाव के पहले चरण के मतदान में अपने लोकतांत्रिक अधिकार का प्रयोग किया।
हाल ही में वेब सीरीज 'फर्जी' और एसआरके-स्टारर 'जवान' में नजर आने वाले एक्टर अपनी पत्नी के साथ वोट डालने आए।
लाइन में अपनी बारी का इंतजार करते हुए सेतुपति गहरे नीले रंग की शर्ट में नजर आए। उन्हें वहां अन्य मतदाताओं के साथ बातचीत करते हुए देखा गया। इसके बाद उन्होंने वोट डालने के लिए अपनी बारी का इंतजार किया वहीं, मतदान केंद्र में ड्यूटी पर तैनात अधिकारियों ने औपचारिकताएं पूरी कीं।
मतदान करने के बाद सेतुपति ने बाहर आकर गर्व से अपनी स्याही लगी तर्जनी दिखाते हुए पोज दिया। उन्होंने यह संदेश दिया कि उन्होंने अपना वोट डाल दिया है।
दिन की शुरुआत में अजित कुमार से लेकर, रजनीकांत और धनुष सहित तमिल सिनेमा के सितारे अपने लोकतांत्रिक अधिकार का प्रयोग करने के लिए मतदान केंद्रों पर नजर आए।
(आईएएनएस)
अनूपपुर, 19 अप्रैल। मध्य प्रदेश के छह संसदीय क्षेत्रों में पहले चरण में हो रहे मतदान के दौरान लोकतंत्र के रोचक रंग देखने को मिल रहे हैं। मताधिकार के प्रति जागरुकता का एक स्वरुप शहडोल संसदीय क्षेत्र के अनूपपुर में देखने को मिला।
लंदन में पढ़ रही छात्रा श्रद्धा बियानी अपने मताधिकार का उपयोग करने अपने घर आ गई।
अनूपपुर की श्रद्धा बियानी वर्तमान में यूनिवर्सिटी ऑफ लंदन में पढ़ाई कर रही है।
उसने भारत आकर अपने परिवार की तीन पीढ़ियों संग मतदान केंद्र-84 में मतदान किया और सभी मतदाताओं से वोट करने की अपील की।
राज्य के छह संसदीय क्षेत्र छिंदवाड़ा, बालाघाट, मंडला, शहडोल, सीधी व जबलपुर में लोकसभा चुनाव के पहले चरण में मतदान हो रहा है।
राज्य में कुल 29 संसदीय क्षेत्रों में चुनाव होना है। चार चरणों में मतदान होना है। शुक्रवार को पहले चरण का मतदान हो रहा है।
(आईएएनएस)
रांची, 19 अप्रैल । झारखंड हाईकोर्ट ने राज्य में ड्रग्स के कारोबार और अफीम की खेती पर गहरी चिंता जताते हुए इसपर रोकथाम के लिए केंद्रीय एवं राज्य की एजेंसियों को संयुक्त रूप से अभियान चलाने को कहा है।
राज्य के खूंटी जिले में अफीम के बड़े पैमाने पर खेती की रिपोर्ट्स पर हाईकोर्ट ने स्वतः संज्ञान लेते हुए सुनवाई शुरू की थी।
शुक्रवार को इस मामले में आगे हुई सुनवाई के दौरान कोर्ट ने राज्य सरकार को शपथ पत्र दाखिल कर जवाब देने को कहा है कि झारखंड को ड्रग्स से कैसे मुक्त किया जा सकता है?
अदालत ने इस मामले में राज्य के गृह सचिव, डीजीपी, सीआईडी के डीजी और नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो को प्रतिवादी बनाया है।
अदालत ने सुनवाई के दौरान मौखिक रूप से कहा कि खूंटी जनजातीय बहुल आबादी वाला जिला है और यहां से बड़े पैमाने पर अफीम उत्पादन की खबरें आ रही हैं। यह स्थिति किसी भी सभ्य समाज के लिए स्वीकार्य नहीं है।
इस मामले में पहले हुई सुनवाई के दौरान खूंटी जिले के एसपी ने कोर्ट को बताया था कि पुलिस अफीम की खेती को नष्ट करने के लिए लगातार अभियान चला रही है। पिछले वर्ष लगभग 2200 एकड़ और इस वर्ष अब तक लगभग 1400 एकड़ भूमि में लगी अफीम की फसल की नष्ट की गई है।
अदालत ने इस मामले में अगली सुनवाई 7 मई को मुकर्रर की है।
(आईएएनएस)
देहरादून, 19 अप्रैल । उत्तराखंड की पांचों लोकसभा सीटों पर मतदान जारी है। देहरादून के मंडी माजरा के बूथ नम्बर 74 पर पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत ने मतदान किया।
मतदान के बाद हरीश रावत ने कहा कि लोग खुद के लिए मतदान करें। इस बार किसी और को देखकर वोट न करें। अपनी समस्याओं को देखकर वोट करें। महंगाई पर वोट करें, बेरोजगारी पर वोट करें, कुशासन पर वोट करें। जिस तरीके का वैमनस्य पैदा किया जा रहा है उसके खिलाफ वोट करिए।
उन्होंने कहा, जिस प्रकार से दलित और महिलाओं पर अत्याचार बढ़े हैं उसके खिलाफ वोट करिए। किसानों को जिस प्रकार से अपमानित किया गया है, उसके खिलाफ वोट करिए। और ये वोट की चोट इस बार भाजपा को बड़ी महंगी पड़ने जा रही है।
आगे उन्होंने कहा कि इस बार बदलाव आ रहा है। यदि उत्तराखंड में ये वोट जिस तरीके से हो रहा है, वो कुछ इंडिकेटर है तो बदलाव निश्चित है। लोग बदलाव के लिए वोट कर रहे हैं। ये अभी प्रथम चरण है, जब द्वितीय चरण में चुनाव आएगा तो फिर ये आंधी के तौर पर होगा।
उन्होंने कांग्रेस की जीत का दावा करते हुए कहा कि मैं पांचों सीट पर जीत के लिए आश्वस्त हूं।
(आईएएनएस)
जयपुर, 19 अप्रैल । लोकसभा चुनाव के पहले चरण के मतदान के बीच राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र और प्रथम महिला सत्यवती मिश्र शुक्रवार को सरदार पटेल मार्ग स्थित महात्मा गांधी राजकीय आवासीय विद्यालय स्थित मतदान केंद्र पहुंचे। उन्होंने मतदान किया और लोगों से भी भारी संख्या में लोकतंत्र के इस उत्सव में हिस्सा लेने की अपील की।
मतदान के बाद राज्यपाल ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा, “मतदान भारत के हर पात्र नागरिक का संवैधानिक अधिकार ही नहीं कर्तव्य है। इसी से लोकतंत्र सशक्त होता है। संविधान का प्रारंभ "हम भारत के लोग" से होता है। भारत का अर्थ ही हम सबसे है। लोकतंत्र में जनता और उसका मत ही प्रमुख है।”
उन्होंने भयमुक्त होकर सभी से मतदान करने की अपील की।
इससे पहले, राजस्थान के मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा भी मतदान करने पहुंचे। उन्होंने मतदान के बाद मीडिया से बातचीत के दौरान मतदान करने की अपील की और यह भी विश्वास जताया कि इस बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में बीजेपी को 400 सीट का आंकड़ा पार करने से कोई नहीं रोक सकता। बीजेपी इस बार देश के हर कोने में जीत का परचम लहराकर रहेगी।
(आईएएनएस)
कठुआ, 19 अप्रैल । लोकतंत्र में मतदाताओं की आस्था और मताधिकार का प्रयोग करने की उनकी इच्छा शुक्रवार को कठुआ में मतदान प्रक्रिया के दौरान देखी गई। कठुआ में एक मतदान केंद्र पर एक कपल (दूल्हा-दुल्हन) ने अपनी शादी के दिन वोट डाला।
कठुआ शहर के वार्ड-9 में मतदान केंद्र पर कतार में खड़े मतदाताओं को उस समय हैरानी हुई, जब उन्होंने असीम मंगोत्रा और उनकी पत्नी वैशाली को शादी की ड्रेस में मतदान केंद्र पर आते देखा।
कतार में खड़े मतदाताओं ने दंपति (कपल) के लिए मतदान केंद्र में प्रवेश के लिए रास्ता बनाया। मतदाताओं ने महसूस किया कि यह दोनों देश के लोकतंत्र में कितनी आस्था दिखा रहे हैं।
वोट डालने के बाद असीम और वैशाली ने गर्व से अपनी उंगलियों पर लगा स्याही का निशान दिखाया। उन्होंने कहा कि सभी जरूरी अनुष्ठान पूरे होने के बाद, उन्होंने अपने मताधिकार का प्रयोग करने में कोई समय नहीं गंवाया।
असीम मंगोत्रा ने कहा, "यह दिन हमारे लिए शुभ है। हम शादी के बंधन में बंधे हैं और लोकतंत्र में अपना विश्वास व्यक्त करने में एक-दूसरे के साथ शामिल हुए हैं।"
सुबह 7 बजे मतदान शुरू होने के बाद पहले 4 घंटों के दौरान कठुआ-उधमपुर निर्वाचन क्षेत्र में दोपहर 12 बजे तक 22.60 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया।
-(आईएएनएस)
लखनऊ, 19 अप्रैल । लोकसभा चुनाव के पहले चरण में उत्तर प्रदेश की आठ लोकसभा सीटों पर मतदान की प्रक्रिया चल रही है। आजाद समाज पार्टी के प्रत्याशी और राष्ट्रीय अध्यक्ष चंद्रशेखर आजाद ने प्रशासन पर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कई स्थानों पर ईवीएम खराब होने की शिकायत की।
चंद्रशेखर आजाद ने कहा कि जोगीरामपुरी में भी मशीन खराब हुई है। उन्होंने अपनी जीत का दावा किया है।
चंद्रशेखर आजाद ने कहा कि सत्तर प्रतिशत वोटों के साथ आजाद समाज पार्टी विजयी होगी।
मुरादाबाद के डीएम ने फर्जी मतदान को रोकने के लिए एक अनूठी पहल की है। मुस्लिम बहुल मतदान केंद्रों पर मुस्लिम महिला कर्मचारियों को बुर्का पहनाकर तैनात किया गया है। ये महिला कर्मचारी मतदान के लिए आने वाली बुर्का पहनी मतदाताओं का हिजाब उठाकर आईडी पर लगे फोटो से उनका मिलान कर रही हैं।
मुरादाबाद से समाजवादी पार्टी की प्रत्याशी रुचि वीरा का कहना है कि एक समुदाय विशेष को वोटिंग पर्चियां बांटने में गड़बड़ी की गई है। उन्हें परेशान किया जा रहा है। वोट डालने से कोई नहीं रोक सकता।
मुजफ्फरनगर से सपा प्रत्याशी हरेंद्र मलिक ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त को लेटर लिखा है। इसमें भाजपा प्रत्याशी डॉ. संजीव बालियान के गांव कुटबी में भाजपा एजेंटों पर बूथ कैप्चरिंग का आरोप लगाया है। इसके साथ ही वहां पैरा मिलिट्री फोर्स भेजे जाने की मांग की है।
कैराना से सपा उम्मीदवार इकरा हसन ने कहा, लोगों ने चुनाव में बहुत साथ दिया था। इस चुनाव में भी बहुत साथ मिल रहा है। इस बार का चुनाव थोड़ा शांत है चाहे सत्ता पक्ष हो या विपक्ष हो।
उधर समाजवादी पार्टी सोशल मीडिया मंच से लगातार चुनाव आयोग से शिकायत कर रही है। कैराना लोकसभा में थाना भवन के ग्राम मसावी के बूथ संख्या 172 पर लगभग 1500 मतदाताओं के नाम वोटर लिस्ट से गायब हैं। कैराना लोकसभा के गंगोह के बूथ संख्या 148 पर ईवीएम मशीन खराब होने की सूचना मिली है।
समाजवादी पार्टी ने आरोप लगाया कि सहारनपुर लोकसभा के सहारनपुर नगर में बूथ संख्या 270 पर धीमी गति से मतदान चल रहा है। बूथ के मुस्लिम बाहुल्य होने के कारण प्रशासन मतदान की गति को प्रभावित कर रहा है। सहारनपुर लोकसभा के जे.वी. इंटर कॉलेज के बूथ संख्या 58, 62 और 73 पर प्रशासन पर्ची चेक करके भी सपा के मतदाताओं को वोट डालने नहीं दे रहा है। साथ ही विकलांग/ दिव्यांग व्यक्ति के साथ किसी को अंदर नहीं जाने दिया जा रहा।
समाजवादी पार्टी ने रामपुर लोकसभा के बिलासपुर में बूथ संख्या 52 पर भाजपा समर्थकों द्वारा बूथ पर कब्ज़ा करने का आरोप लगाया। सपा के वोटरों को भगाया जा रहा है। सपा ने कहा, चुनाव आयोग संज्ञान ले, निष्पक्ष मतदान सुनिश्चित हो।
(आईएएनएस)
लखनऊ, 19 अप्रैल । यूपी में लोकसभा चुनाव के पहले चरण की आठ सीटों पर शुक्रवार को सुबह सात बजे से मतदान जारी है। 11 बजे तक 25.20 प्रतिशत मतदान हुआ है।
उत्तर प्रदेश के मुख्य निर्वाचन कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, सहारनपुर में 29.84, कैराना में 25.89, मुजफ्फरनगर में 22.62, बिजनौर में 25.50, नगीना में 26.89, मुरादाबाद में 23.35, रामपुर में 20.71,पीलीभीत में 26.94 प्रतिशत मतदान हुआ है।
आठ लोकसभा निर्वाचन क्षेत्रों का औतसन मतदान 25.20 प्रतिशत है।
कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सुबह सात बजे से मतदान प्रारंभ हुआ और यह शाम छह बजे तक जारी रहेगा।
आज जिन सीटों पर मतदान हो रहा है उनमें सहारनपुर, बिजनौर, कैराना, मुजफ्फरनगर, नगीना (आरक्षित), मुरादाबाद, रामपुर और पीलीभीत शामिल हैं।
इस चरण के प्रमुख उम्मीदवारों में भाजपा के जितिन प्रसाद पीलीभीत से, केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान मुजफ्फरनगर से और आजाद समाज पार्टी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद नगीना से अपनी चुनावी किस्मत आजमा रहे हैं।
(आईएएनएस)
भोपाल, 19 अप्रैल । मध्य प्रदेश में लोकसभा चुनाव के पहले चरण में छह संसदीय क्षेत्र में मतदान जारी है और पहले चार घंटे में 30.46 प्रतिशत मतदान हो चुका है। मतदान केंद्रों पर लंबी-लंबी कतारें भी नजर आ रही हैं।
गर्मी का मौसम होने के कारण मतदान शुरू होने से पहले ही मतदाताओं के मतदान केंद्रों पर पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया। मतदाता जल्दी से जल्दी मतदान करने की इच्छा लेकर मतदान केंद्र पहुंचे। पहले 4 घंटे में 11 बजे तक 30.46 फीसदी लोग मतदान कर चुके थे। सबसे ज्यादा 35.64 प्रतिशत मतदान बालाघाट में हुआ, वहीं छिंदवाड़ा में 32.51, जबलपुर में 27.41, मंडला में 32.03, शहडोल में 29.57 और सीधी में 26.03 फीसदी लोगों ने वोट डाले।
राज्य में लोकसभा के जिन संसदीय क्षेत्र में मतदान हो रहा है, उनमें छिंदवाड़ा में कांग्रेस के नकुल नाथ का मुकाबला भाजपा के विवेक बंटी साहू से है। वहीं मंडला में केंद्रीय मंत्री और भाजपा उम्मीदवार फग्गन सिंह कुलस्ते का मुकाबला कांग्रेस उम्मीदवार ओमकार सिंह मरकाम से है।
जबलपुर में भाजपा के आशीष दुबे का मुकाबला कांग्रेस के दिनेश यादव से, शहडोल में भाजपा की हिमाद्री सिंह का मुकाबला कांग्रेस के फुंदे लाल मार्को से, सीधी में भाजपा के डॉक्टर राजेश मिश्रा के सामने कांग्रेस के कमलेश्वर पटेल और बालाघाट में भाजपा की भारती पाधरी के सामने कांग्रेस के सम्राट सरस्वार हैं।
पहले चरण की छह संसदीय सीटों में से छिंदवाड़ा सबसे हॉट सीट है। यहां से पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के पुत्र नकुल नाथ एक बार फिर चुनाव मैदान में हैं। उनका मुकाबला भाजपा के विवेक बंटी साहू से है।
राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी अनुपम राजन ने बताया है कि जिन छह संसदीय क्षेत्रों में मतदान हो रहा है, वहां 46 विधानसभा क्षेत्र आते हैं और यह 13 जिलों तक फैला है।
(आईएएनएस)
हमारी कार्यशैली में हुए बदलाव शरीर के लिए नुकसानदेह साबित हो रहे हैं. दिनभर बैठकर काम करने और व्यायाम करने के बावजूद मानसिक स्वास्थ्य कई मायनों में प्रभावित हो रहा है.
डॉयचे वैले पर रामांशी मिश्रा की रिपोर्ट-
छत्तीसगढ़ के कांकेर में पब्लिक हेल्थ सेक्टर में काम करने वाली 30 वर्षीय अंजली का ज्यादातर समय लैपटॉप के सामने बैठकर लिखने, काम करने और अपने टीम के अन्य सदस्यों के साथ ऑनलाइन चर्चा करने में बीतता है. बीते कुछ समय से उन्होंने अपने अंदर कई बदलाव देखे. मसलन, बात बात में गुस्सा, मोटापे की शिकायत के साथ चिड़चिड़ापन और खुद में अवसाद के लक्षण भी नजर आ रहे थे. इसके अलावा पेट में भी कुछ समस्याएं उन्हें होने लगीं.
अंजली कहती हैं, "लगातार बैठे रहने से बाहर निकलना नहीं हो पाता, दोस्तों से मिले हुए भी काफी समय हो गया. दिनभर का समय दफ्तर के कामों में निकल जाता है. इसके बाद घर में भी कई छोटे-मोटे काम करने को रह जाते हैं."
जब अंजली को एक साथ कई समस्याएं होने लगी तो वह चिकित्सक के पास पहुंचीं. कुछ जरूरी जांचों और काउंसलिंग के बाद चिकित्सक ने उन्हें अपनी दिनचर्या में बदलाव लाने की बात कही. साथ ही रोजाना के व्यायाम और शारीरिक गतिविधि बढ़ाने की सलाह दी.
युवाओं में बढ़ रही मानसिक परेशानी
अंजली जैसे ही कई युवा वर्तमान में शारीरिक और मानसिक परेशानियों से जूझ रहे हैं. लगातार बैठकर काम करने और शारीरिक क्रियाकलाप कम करने से न केवल शरीर बल्कि मानसिक स्वास्थ्य भी प्रभावित हो रहा है. इसे लेकर लखनऊ के किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय (केजीएमयू) के मानसिक रोग चिकित्सा विभाग के प्रोफेसर आदर्श त्रिपाठी ने एक समीक्षात्मक अध्ययन किया है. विश्व की अलग-अलग प्रतिष्ठित संस्थाओं द्वारा किए गए 358 जनसंख्या आधारित सर्वेक्षणों के विश्लेषण के आधार पर किया गया. अध्ययन के परिणाम हमारी रोजमर्रा की जिंदगी को बदलने की ओर इशारा करते हैं.
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के मानक के अनुसार, एक व्यक्ति को प्रति सप्ताह 75 मिनट कड़ी शारीरिक गतिविधि या 150 मिनट के न्यूनतम व्यायाम के लक्ष्य को जरूर पूरा करना चाहिए. इससे वह व्यक्ति स्वस्थ रहता है. लेकिन विश्व भर में 27.5% लोग इसे पूरा नहीं कर पाते. इनमें 23.4% पुरुष और 31.7% महिलाएं हैं.
अध्ययन की समीक्षा यह भी कहती है कि जो व्यक्ति इस मानक को पूरा करते हैं लेकिन जीवनशैली में उन्हें लगातार लंबे समय तक बैठकर काम करना पड़ता है वह भी मानसिक परेशानियों से अछूते नहीं है. उनमें यह समस्याएं सामान्य लोगों की अपेक्षा बढ़कर आ रही हैं.
कई पेशे मानसिक परेशानी की जद में
डॉ. आदर्श कहते हैं, "इन सर्वेक्षणों में दुनिया भर से 19 लाख प्रतिभागी शामिल हुए. दुनिया भर में लोगों के रहन-सहन और जीवन जीने के तरीके में बड़ा बदलाव आ रहा है. आज शोधकर्ता, क्लर्क, ड्राइवर, प्रोग्रामर, स्वास्थ्य पेशेवर और कई अन्य घंटों बैठकर नौकरी करने वाले लोगों की संख्या सबसे अधिक है.” आबादी का एक बड़ा हिस्सा युवा है और रोजगार के लिए ऐसे जीवन शैली में संलिप्त है जिसमें लंबे समय तक बैठे रहना और शारीरिक क्रियाकलाप न होना शामिल होता है और इसकी वजह से उनका मानसिक स्वास्थ्य प्रभावित हो रहा है.
प्रोफेसर आदर्श त्रिपाठी के इस अध्ययन को इंडियन जर्नल ऑफ बिहेवियरल साइंस (आईजेबीएस) में प्रकाशित किया गया है. अध्ययन के अनुसार, जो लोग शारीरिक गतिविधि नहीं कर पाते उनमें चिड़चिड़ापन, डिप्रेशन (अवसाद) एंग्जायटी, स्ट्रेस लेने या फिर किसी माहौल में खुद को ढाल न पाने की आशंका अधिक होती है. अध्ययन में यह भी बताया गया है कि अगर किसी तरह से कोई व्यक्ति मानसिक समस्या से जूझ रहा हो तो उसे बाहर आने के लिए वह किन उपायों को अपना सकता है.
मानसिक विकास से जुड़ी हड्डियों की सेहत
इस बारे में केजीएमयू के स्पोर्ट्स इंजरी विभाग के प्रमुख डॉक्टर अभिषेक अग्रवाल कहते हैं, "लगातार बैठे रहने से शारीरिक क्षमताओं का शोषण भी हो रहा है. इसकी वजह से मांसपेशियों की कसरत नहीं हो पाती और नसों का संचालन धीरे हो जाता है और हड्डियां भी आराम की स्थिति में आ जाती हैं. ”
डॉ. अभिषेक के अनुसार, इस बात पर ध्यान देना जरूरी है कि हमारे शरीर की हड्डियों से जितना अधिक काम लिया जाए यह उतना ही अधिक मजबूत होंगी. हड्डियों का उपयोग न होने से ऑस्टियोपोरोसिस होने की आशंका बढ़ जाती है. वह कहते हैं, "एक ही पोस्चर (मुद्रा) में बैठे रहने से हड्डियों में टेढ़ापन और अकड़न भी होने लगती है. इन सब के साथ-साथ यह जीवनशैली शरीर में हार्मोनल डिसबैलेंस का कारण बनती है, जिससे शारीरिक विकास कमजोर होता है. ”
मानसिक स्वास्थ्य हमारे हड्डियों के स्वास्थ्य यानी बोन हेल्थ को काफी हद तक प्रभावित करता है. यदि मानसिक अवस्था बेहतर न हो या व्यक्ति डिप्रेशन का शिकार हो तो उसकी हड्डियां भी कमजोर होती हैं. नेशनल लाइब्रेरी ऑफ मेडिसिन की एक रिसर्च के अनुसार मेंटल डिप्रेशन की वजह से हड्डियों में नुकसान और ऑस्टियोपोरोसिस होने के खतरे बढ़ जाते हैं. वहीं खुशनुमा माहौल के साथ कसरत, थोड़ा आराम, पोषण और जिंदादिली वाले माहौल से भरा संतुलित जीवन मानसिक स्वास्थ्य के साथ शरीरिक स्वास्थ्य भी बेहतर रखता है.
छोटे उपाय रखेंगे स्वस्थ
एम्स रायपुर के मनोचिकित्सक डॉ. आदित्य सोमानी कहते हैं, " व्यायाम शरीर के अंदर ‘खुशी के हार्मोन' स्रावित के लिए जिम्मेदार होते हैं. इससे बेहतर सामाजिक जुड़ाव के साथ कई अन्य लाभ भी शरीर को मिलते हैं.”
दुनिया के कई प्रमुख पत्रिकाओं में ‘मानसिक स्वास्थ्य पर गतिहीन जीवन शैली के हानिकारक प्रभाव' पर शोध प्रकाशित हुए हैं. डा. आदित्य बताते हैं, "छोटे छोटे उपाय जैसे, काम करते समय छोटे-छोटे ब्रेक लेने, फोन पर बात करते समय टहलने, लिफ्ट के बजाय कुछ तलों तक सीढ़ियों का उपयोग करने और ऑफिस योग का अभ्यास शुरू करने से स्थितियां बेहतर हो सकती हैं. यह गतिविधियां अगर समूह में की जाएं तो शारीरिक स्वास्थ्य के साथ मानसिक स्वास्थ्य और अधिक बेहतर हो सकता है.” (dw.com)
गडग (कर्नाटक), 19 अप्रैल । कर्नाटक के गडग जिले में शुक्रवार को धारदार हथियार से चार लोगों की हत्या कर दी गई।
मृतकों की पहचान कार्तिक बकाले (27), परशुराम (55), उनकी पत्नी लक्ष्मी (45) और उनकी बेटी आकांक्षा (16) के रूप में हुई है। सभी कोप्पल के निवासी थे। कार्तिक बकाले, बेटागेरी नगर पालिका उपाध्यक्ष सुनंदा बकाले के बेटे थे।
गडग के एसपी बीएस नेमागौड़ा ने कहा कि शुक्रवार तड़के चार लोगों की हत्या कर दी गई। आरोपियों ने अपराध को अंजाम देने के लिए तेज धार वाले हथियारों का इस्तेमाल किया।
उन्होंने आगे कहा कि हत्यारों ने पहले दरवाजा खटखटाया। जब पीड़ितों ने दरवाजा नहीं खोला तो वे बालकनी से घर में घुस गए। हत्यारों का पता लगाया जा रहा है और उन्हें जल्द गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
एसपी ने कहा कि बकाले परिवार ने अपने पहले बेटे कार्तिक की शादी तय कर दी थी और रिश्तेदार तैयारियों के लिए उनके आवास पर आए थे। मृतक परशुराम, उसकी पत्नी लक्ष्मी और बेटी 17 अप्रैल को उनके घर आये थे।
उन्होंने बताया कि 18 अप्रैल को परिवार ने लक्ष्मी (मृतका) का जन्मदिन भी मनाया था। जश्न के बाद, परशुराम परिवार घर की पहली मंजिल पर सो गया। हत्यारों ने कमरे की खिड़की का शीशा तोड़ा और अंदर घुसने के बाद परिवार की हत्या कर दी।
ग्राउंड फ्लोर पर बने कमरे में सो रहा कार्तिक बकाले चीख-पुकार सुनकर जाग गया। वह देखने गया कि क्या हुआ है, इस दौरान हत्यारों ने उसकी भी चाकू मारकर हत्या कर दी।
हत्यारों ने उस कमरे का दरवाजा भी खटखटाया जहां नगर पालिका उपाध्यक्ष सुनंदा और उनके पति प्रकाश बकाले सो रहे थे। हालांकि, उन्होंने पुलिस को फोन किया था और दरवाजा नहीं खोला। इसकी भनक लगते ही हत्यारे मौके से भाग निकले।
कानून और संसदीय कार्य मंत्री एचके पाटिल ने भी बकाले परिवार के आवास का दौरा किया और मौतों पर शोक व्यक्त किया।
(आईएएनएस)
इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन के जरिए डाले गए वोटों का वीवीपैट के साथ 100 फीसदी मिलान की मांग वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है.
डॉयचे वैले पर आमिर अंसारी की रिपोर्ट-
इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन और वोटर वेरिफाएबल पेपर ऑडिट ट्रेल की पर्चियों की 100 फीसदी मिलान की मांग वाली याचिका पर गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई. करीब पांच घंटे तक दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया.
गुरुवार को अपना फैसला सुरक्षित रखते हुए सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस दीपांकर दत्ता की बेंच ने कहा कि हमें हर चीज के बारे में संदेह करने की जरूरत नहीं है.
याचिकाकर्ताओं ने वीवीपैट मशीनों पर पारदर्शी कांच को अपारदर्शी कांच से बदलने के चुनाव आयोग के 2017 के फैसले को उलटने की भी मांग की है, जिसके जरिए कोई मतदाता केवल सात सेकंड के लिए बत्ती जलने पर ही पर्ची देख सकता है.
ईवीएम के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई
एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) की ओर से पेश वकील प्रशांत भूषण ने कोर्ट से कहा, "मैं समझता हूं कि यह चुनाव की पूर्वसंध्या है. कम से कम ईवीएम में बटन दबाने के बाद सात सेकंड तक जलने वाले बल्ब को लगातार जलने देना चाहिए."
बेंच ने ईवीएमकी कार्यप्रणाली को समझने के लिए वरिष्ठ उप चुनाव आयुक्त नितेश कुमार व्यास के साथ लगभग एक घंटे तक बातचीत की, जिसके बाद बेंच ने भूषण से कहा कि मतदाताओं की संतुष्टि और विश्वास चुनावी प्रक्रिया के मूल में हैं.
बेंच ने कहा, "भूषण, अब आप बहुत आगे जा रहे हैं. यह बहुत ज्यादा है. चाहे वीवीपैट मशीन पर पारदर्शी या अपारदर्शी कांच हो या बल्ब की रोशनी, आखिरकार यह मतदाता की संतुष्टि और विश्वास है (जो मायने रखता है). केवल बल्ब आपको बेहतर देखने में मदद करता है, बस इतना ही है."
कोर्ट ने चुनाव आयोग का पक्ष भी जाना
बेंच ने आगे कहा, "हर चीज पर संदेह नहीं किया जा सकता. आप हर चीज की आलोचना नहीं कर सकते. अगर उन्होंने (चुनाव आयोग) कुछ अच्छा किया है, तो आपको इसकी सराहना करनी होगी. आपको हर चीज की आलोचना करने की जरूरत नहीं है."
इसके जवाब में भूषण ने कहा कि वह चुनाव आयोग पर कोई आरोप नहीं लगा रहे हैं लेकिन सुधार की संभावना मौजूद है.
चुनाव आयोग की ओर से पेश वरिष्ठ वकील मनिंदर सिंह ने कहा कि ईवीएम एक स्वतंत्र मशीन है और उसके साथ छेड़छाड़ नहीं की जा सकती, लेकिन मानवीय त्रुटि की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है. (dw.com)
जयपुर, 19 अप्रैल । जयपुर में चुनाव अधिकारी युवाओं को मतदान के लिए प्रोत्साहित करने के लिए शुक्रवार को मतदान के दिन एक सेल्फी प्रतियोगिता आयोजित कर रहे हैं।
इस पहल की शुरुआत जिला निर्वाचन अधिकारी प्रकाश राजपुरोहित ने की है।
जिला स्वीप नोडल अधिकारी शिल्पा सिंह ने कहा, "प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए प्रतिभागी को मतदान केंद्र पर वोट डालने के बाद सेल्फी प्वाइंट पर जाकर सेल्फी लेनी होगी। इसके बाद सेल्फी को सोशल मीडिया हैंडल @deojaipur पर जिला निर्वाचन अधिकारी के फेसबुक, एक्स और इंस्टाग्राम पर टैग करना होगा।"
सेल्फी पर लाइक की गिनती 19 अप्रैल को रात 8 बजे की जाएगी और प्रतियोगिता में सबसे ज्यादा लाइक पाने वाली सेल्फी को नकद पुरस्कार दिया जाएगा। विजेताओं को प्रथम पुरस्कार के रूप में 10 हजार रुपये, द्वितीय पुरस्कार के रूप में पांच हजार रुपये और तीसरे पुरस्कार के रूप में तीन हजार रुपये की नकद राशि से सम्मानित किया जाएगा।
(आईएएनएस)
गुजरात के कच्छ में एक कोयला खान में पुरातत्वविदों को 49 फुट लंबे एक सांप के अवशेष मिले हैं. भारतीय पुराणों में इस सांप का जिक्र वासुकी नाग के रूप में होता है.
जिस वासुकी नाग पर बैठकर हिंदू देवता कृष्ण के बांसुरी बजाने की कहानियां भारत में सुनाई जाती हैं, उसके अवशेष खोजे गए हैं. कच्छ में लिग्नाइट की एक खान में ये अवशेष मिले हैं. 40 फुट लंबा यह सांप टी-रेक्स डायनासोर से भी लंबा था और भारत में करीब 4.7 करोड़ साल पहले पाया जाता था. कोयले की जिस खान से ये अवशेष मिले हैं वह गुजरात के कच्छ जिले में पनांधरो के पास है.
गुरुवार को वैज्ञानिकों ने कहा कि उन्हें एक नाग की रीढ़ की हड्डी के 27 जोड़ मिले हैं. इनमें से कुछ तो आज भी उसी अवस्था में हैं, जो उस सांप के जीवित रहते वक्त रहे होंगे. वैज्ञानिकों का कहना है कि उन्होंने इसे वासुकी नाम दिया है. यह आज के पाइथॉन जैसा दिखता होगा और जहरीला नहीं होगा.
धीमा लेकिन विशालकाय
आईआईटी रुड़की में शोध कर रहे जीवाश्मविज्ञानी डॉ. देबाजित दत्ता ने बताया, "इसके विशाल आकार को देखकर कहा जा सकता है कि वासुकी एक बहुत धीमा चलने वाला शिकारी रहा होगा जो अजगर की तरह अपने शिकार को निगलता होगा. यह तटीय इलाकों में दलदल में रहता होगा क्योंकि तब तापमान आज से कहीं ज्यादा था."
चूंकि मिले अवशेष अधूरे हैं इसलिए वैज्ञानिकों ने अनुमान के आधार पर कहा है कि यह 36 से 49 फुट लंबा और करीब एक हजार किलोग्राम वजनी जीव रहा होगा. इस वक्त धरती पर सबसे लंबा सांप अजगर को माना जाता है जो 20 से 30 फुट तक लंबा हो सकता है.
इस आकार के सांप के अवशेष इससे पहले 2009 में उत्तरी कोलंबिया में मिले थे. टाइटनोबोआ नाम के उस सांप का आकार लगभग 42 फुट और वजन 1,100 किलोग्राम आंका गया था. टाइटनोबोआ धरती पर 5.8 से छह करोड़ साल पहले मौजूद था.
कौन ज्यादा बड़ा था?
इस खोज में शामिल रहे एक अन्य जीवाश्मविज्ञानी सुनील बाजपेई कहते हैं, "वासुकी की लंबाई टाइटनोबोआ जितनी रही होगी. हालांकि वासुकी की रीढ़ की हड्डी के जोड़ टाइटनोबोआ से थोड़े छोटे हैं. लेकिन इस वक्त हम यह नहीं कह सकते कि वासुकी उससे ज्यादा बड़ा था या नहीं."
ये दैत्याकार सांप सेनोजोएक युग में धरती पर रहते थे जो 6.6 करोड़ साल पहले खत्म हो गया था. अब तक जो सबसे लंबा जीव मिला है वह शायद एक टिरानोसॉरस रेक्स था जिसके अवशेष शिकागो के फील्ड म्यूजियम में रखे हैं. 40.5 फुट लंबा यह यह टी-रेक्स वासुकी से ज्यादा लंबा रहा होगा.
वासुकी के जो टुकड़े मिले हैं उनमें सबसे बड़ा टुकड़ा साढ़े चार इंच का है. ऐसा लगता है कि वासुकी का शरीर सिलेंडर के आकार का लगभग 17 इंच चौड़ा रहा होगा. उसकी खोपड़ी नहीं मिली है.
दत्ता कहते हैं, "वासुकी एक आलीशान प्राणी था. यह एक विनम्र दैत्य रहा होगा जो अपने विशाल शरीर को समेट कर उस पर सिर को संभालता होगा. यह मुझे जंगल बुक कहानी के नाग की याद दिलाता है."
वीके/एए (रॉयटर्स)
नई दिल्ली, 19 अप्रैल । लोकसभा चुनाव के लिए पहले चरण का मतदान शुरू हो चुका है। 21 राज्यों, केंद्र शासित प्रदेश की 102 सीटों पर वोट डाले जा रहे हैं। इनमें सबसे अधिक सीटें तमिलनाडु से हैं। यहां आज सभी 39 सीटों पर पहले चरण में ही वोटिंग हो रही है।
तमिलनाडु के अलावा उत्तराखंड की सभी पांच सीटों और अरुणाचल की दो सीटों पर भी पहले चरण में ही वोटिंग हो रही है।
इसके अलावा लोकसभा चुनाव के पहले चरण में जिन महत्वपूर्ण सीटों पर चुनाव हो रहा है उनमें नागपुर, कन्याकुमारी, चेन्नई सेंट्रल, मुज्जफनगर, सहारनपुर, कैराना, पीलीभीत, डिब्रूगढ़, जोरहाट, जयपुर, छिंदवाड़ा, जमुई, बस्तर, नैनीताल व लक्षद्वीप शामिल हैं।
18वीं लोकसभा के लिए हो रहा यह चुनाव सात चरणों में संपन्न होना है। पहले चरण में जहां मतदान हो रहा है उनमें असम की काजीरंगा, सोनितपुर, लखीमपुर, डिब्रूगढ़ और जोरहाट सीटें शामिल हैं। आज 19 अप्रैल को ही त्रिपुरा पश्चिम सीट पर भी चुनाव हो रहा है।
पहले चरण में जो मुख्य चेहर मैदान में है उनमें उत्तर प्रदेश के पीलीभीत से जितिन प्रसाद, तमिलनाडु से कार्ति चिदंबरम, तमिलनाडु के कोयंबटूर से भाजपा प्रदेश अध्यक्ष के अन्नामलाई, चेन्नई सेंट्रल से दयानिधि मारन व छिंदवाड़ा से नकुलनाथ शामिल हैं।
पहले चरण की 102 लोकसभा सीटों पर चुनाव प्रचार के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत कई बड़े नेता प्रचार में शामिल रहे। अगले चरणों की लोकसभा सीटों पर चुनाव प्रचार फिलहाल जारी रहेगा।
लोकसभा चुनाव के पहले चरण में कई महत्वपूर्ण सीटों पर मतदान होने जा रहा है। इनमें तमिलनाडु की सभी 39 सीटें हैं। इनमें कन्याकुमारी, चेन्नई ईस्ट, चेन्नई साउथ, चेन्नई सेंट्रल, तिरुवल्लुर, श्रीपेरंबदूर, अरणी, विलुप्पुरम, कल्लाकुरिची, सलेम, नामक्कल, इरोड, तिरुप्पुर, नीलगिरी, कोयंबटूर, पोलाची, डिंडीगुल, करूर, तिरुचिरापल्ली , पेरम्बलुर, कांचीपुरम, अरक्कोणम, वेल्लोर, कृष्णागिरी, धर्मपुरी, तिरुवन्नामलाई, शिवगंगा, मदुरै, थेनी, विरुधुनगर, रामनाथपुरम, कुड्डालोर, चिदम्बरम, मयिलादुथुराई, नागपट्टिनम, तंजावुर, थूथुक्कुडी, तेनकासी व तिरुनेलवेली शामिल हैं।
पश्चिमी उत्तर प्रदेश की मुज़फ्फरनगर, सहारनपुर, कैराना, बिजनौर, नगीना, मुरादाबाद, पीलीभीत और रामपुर सीटों पर भी पहले चरण में चुनाव होने जा रहा है।
राजस्थान के जयपुर, जयपुर ग्रामीण, भरतपुर, करौली-धौलपुर, गंगानगर, बीकानेर, चूरू, झुंझुनू, सीकर, अलवर, दौसा और नागौर में प्रथम चरण में ही मतदान है। वहीं मध्य प्रदेश की छिंदवाड़ा, शहडोल, सीधी, मंडला, बालाघाट और जबलपुर में भी प्रथम चरण में वोट डाले जा रहे हैं।
बिहार की बात करें तो यहां औरंगाबाद, गया, नवादा और जमुई में वोट डाले जा रहे हैं।
महाराष्ट्र में नागपुर, गढ़चिरौली चिमूर, भंडारा-गोंडिया चंद्रपुर और रामटेक पर वोट डाले जा रहे हैं।
इनके अलावा छत्तीसगढ़ की बस्तर, जम्मू कश्मीर की उधमपुर, अरुणाचल प्रदेश की अरुणाचल पश्चिम और अरुणाचल पूर्व, मेघालय की शिलांग तुरा पर भी वोटिंग हो रही है।
इसके अलावा मणिपुर, मिजोरम, पुडुचेरी, सिक्किम, नगालैंड, अंडमान और निकोबार, पश्चिम बंगाल की कूचबिहार और जलपाईगुड़ी पर भी मतदान हो रहा है।
चुनाव आयोग के मुताबिक मतदान केंद्रो पर विकलांगों एवं बुजुर्गों के लिए विशेष व्यवस्था की गई है।
(आईएएनएस)
देश की मतदाता सूची में महिला वोटरों की तादाद लगातार बढ़ रही है. लेकिन राजनीतिक दलों की ओर से टिकट नहीं मिलने के कारण वो इस अनुपात में संसद में नहीं पहुंच पातीं.
डॉयचे वैले पर प्रभाकर मणि तिवारी की रिपोर्ट-
देश की मतदाता सूची में महिला वोटरों की तादाद लगातार बढ़ रही है. लेकिन राजनीतिक दलों की ओर से टिकट नहीं मिलने के कारण वो इस अनुपात में संसद में नहीं पहुंच पातीं. एसबीआई रिसर्च की रिपोर्ट के मुताबिक, मतदाता सूची में पुरुषों और महिलाओं के बीच का फासला लगातार कम हो रहा है और अगले पांच साल में महिलाओं के आगे निकल जाने की संभावना है.
इसके और महिला आरक्षण विधेयक पारित होने के बावजूद इस बार भी तमाम प्रमुख दलों ने महिलाओं को टिकट देने में हमेशा की तरह कंजूसी बरती है. ऐसे दलों की दलील रही है कि टिकटों के बंटवारे में जीतने की क्षमता को ध्यान में रखा गया है. कुछ राजनीतिक दल तो यह भी दलील देते हैं कि महिलाएं वोट डालने में तो दिलचस्पी रखती हैं, चुनाव लड़ने में नहीं. पहले चरण में जिन 102 सीटों पर मतदान होना है उनके लिए मैदान में उतरे 1,625 उम्मीदवारों में से सिर्फ 134 महिलाएं हैं. यानी कुल उम्मीदवारों का आठ फीसदी.
मतदाता सूची में कम हो रही है लैंगिक असमानता
एसबीआई रिसर्च की ओर से जारी रिपोर्ट में कहा गया है कि केंद्र सरकार की कल्याणकारी योजनाओं के कारण लोकसभा और विधानसभा चुनावों में महिला मतदाताओं की तादाद तेजी से बढ़ी है. बीते पांच वर्षों में जिन 23 बड़े राज्यों में चुनाव हुए हैं, उनमें से 18 राज्यों में पुरुषों के मुकाबले महिलाओं ने ज्यादा मतदान किया था. इन 18 में से दस राज्यों में दोबारा निवर्तमान सरकार ही सत्ता में लौटी. रिपोर्ट में कहा गया है कि वर्ष 2029 के लोकसभा चुनाव में महिला मतदाताओं की तादाद पुरुषों से आगे निकल जाएगी. उस समय कुल 73 करोड़ मतदाताओं में 37 करोड़ महिलाएं ही होंगी.
वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में कुल 83.4 करोड़ मतदाताओं में से पुरुष और महिला वोटरों की तादाद क्रमशः 43.7 और 39.7 करोड़ थी. वर्ष 2019 में कुल 89.6 करोड़ मतदाताओं में से यह तादाद क्रमशः 46.5 और 43.1 फीसदी हो गई. अब 2024 में वोटरों की कुल तादाद बढ़ कर 96.8 करोड़ तक पहुंच गई है. इनमें पुरुषों की तादाद 49.7 करोड़ है और महिलाओं की 47.1 करोड़.
इससे साफ है कि बीते दस वर्षों के दौरान जहां पुरुष मतदाताओं की तादाद में छह करोड़ की वृद्धि दर्ज की गई है वहीं महिला वोटरों में यह वृद्धि 7.1 करोड़ रही है. यानी मतदाता सूची में लैंगिक असमानता तेजी से कम हो रही है. गुजरात, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, पंजाब, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़, उत्तराखंड और तेलंगाना में महिला वोटरों की तादाद बाकी राज्यों के मुकाबले ज्यादा तेजी से बढ़ी है.
इस रिपोर्ट में बताया गया है कि इस लोकसभा चुनाव में कुल 96.8 करोड़ मतदाताओं में से 68 करोड़ लोग मताधिकार का इस्तेमाल कर सकते हैं. इसमें 33 करोड़ यानी 49 फीसदी महिला मतदाता होंगी. 85.3 लाख महिलाएं पहली बार मतदान करेंगी. रिपोर्ट के मुताबिक, 2047 तक (2049 में संभावित चुनाव) महिला मतदाताओं की संख्या बढ़कर 55 फीसदी (50.6 करोड़) और पुरुषों की संख्या घटकर 45 फीसदी (41.4 करोड़) हो जाएगी. इस दौरान कुल 115 करोड़ मतदाता होंगे. इनमें 80 फीसदी लोग यानी 92 करोड़ मतदान कर सकते हैं.
बैंक के आर्थिक अनुसंधान विभाग की तरफ से प्रकाशित इस रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत के राजनीतिक क्षेत्र में महिलाओं की बढ़ती भागीदारी पिछले दशक की सबसे महत्वपूर्ण बातों में से एक है. महिला मतदाता अब चुनावों में पहले से कहीं अधिक बड़ी भूमिका निभा रही हैं. रिपोर्ट के मुताबिक अब साक्षरता बढ़ने के कारण महिलाएं राजनीतिक फैसला लेने वाले एक अहम समूह के रूप में उभर रही हैं. महिला आरक्षण विधेयक, रसोई गैस सब्सिडी, सस्ते ऋण और नकद राशि के वितरण जैसे कदमों से महिला मतदाताओं को लुभाने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रयासों से बीजेपी के वोटों में वृद्धि में मदद मिली है.
महिला उम्मीदवार केवल आठ फीसदी क्यों?
चुनाव आयोग के आंकड़ों से पता चलता है कि 2019 के आम चुनावों में 8,054 उम्मीदवारों में से सिर्फ 726 महिलाएं थीं. यानी उस साल सिर्फ नौ फीसदी टिकट ही महिलाओं को दिए गए. इनमें से करीब एक तिहाई महिला निर्दलीय चुनाव लड़ी थीं. वर्ष 2014 में मैदान में उतरने वाले 8,251 उम्मीदवारों में महिला उम्मीदवारों की संख्या सिर्फ 668 थी.
चुनाव आयोग के मुताबिक, इस बार पहले और दूसरे चरण में लोकसभा की जिन 190 सीटों पर मतदान होना है उनमें से 58 यानी करीब एक तिहाई सीटों पर कोई महिला उम्मीदवार नहीं है. इन दोनों दौर के 2,831 उम्मीदवारों में सिर्फ 237 महिलाएं हैं. यानी आठ फीसदी से कुछ ज्यादा.
संसद में महिला आरक्षण विधेयक को पारित कराने वाली भाजपा ने 417 संसदीय सीटों के लिए उम्मीदवारों की घोषणा की है. इनमें 68 महिलाएं हैं. यानी पार्टी ने सिर्फ 16 फीसदी महिलाओं पर ही भरोसा जताया है. बीजेपी ने 2009 में 45, 2014 में 38 और 2019 में 55 महिला उम्मीदवारों को मैदान में उतारा था.
कांग्रेस ने अब तक 247 उम्मीदवारों की घोषणा की है. इसमें 35 उम्मीदवार यानी 14 फीसदी से कुछ ज्यादा महिलाएं हैं. वर्ष 2019 में कांग्रेस ने 54 महिला उम्मीदवारों को टिकट दिया था. टीएमसी ने पश्चिम बंगाल में जिन 42 उम्मीदवारों की घोषणा है उनमें 12 महिलाएं हैं.
बीते लोकसभा चुनाव में 542 सांसदों में से 78 महिलाएं थीं. इनमें सबसे अधिक उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल में 11-11 महिलाएं चुनाव जीती थीं.
भारत के अलावा बाकी दुनिया में कैसा है हाल
दूसरे देशों से तुलना करने पर तस्वीर ज्यादा साफ होती है. एसबीआई रिसर्च की रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछली लोकसभा में महिला सांसदों की तादाद 14.4 फीसदी थी. जबकि मेक्सिको में यह तादाद 48.2, फ्रांस में 39.7, इटली में 35.7, यूके में 32 और जर्मनी में 30.9 फीसदी है. स्वीडन, नार्वे और दक्षिण अफ्रीका जैसे देशों के राष्ट्रीय विधानमंडल में भी महिलाओं की भागीदारी 45 फीसदी से ज्यादा है. भारत के पड़ोसी बांग्लादेश में यह तादाद 21 फीसदी है.
राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि तमाम प्रमुख राजनीतिक दलों की कथनी और करनी में भारी फर्क है. जब तक राजनीतिक पार्टियां अधिक से अधिक महिलाओं को टिकट नहीं देती, तब तक उनकी भागीदारी बढ़ाने की कल्पना तक नहीं की जा सकती. लेकिन टिकटों के बंटवारे के समय तमाम दल किसी न किसी बहाने महिलाओं को चुनाव लड़ने से दूर रखने का प्रयास करते रहे हैं. जब तक यह पुरुषवादी मानसिकता नहीं बदलती, महिला आरक्षण विधेयक पारित होने के बावजूद तस्वीर ज्यादा नहीं बदलेगी. (dw.com)
टेस्ला और स्पेसएक्स के मालिक इलॉन मस्क भारत में 200-300 करोड़ डॉलर का निवेश कर सकते हैं. हालांकि बड़ा सवाल यह है कि मस्क कारोबार की बात करेंगे या फ्री स्पीच की.
डॉयचे वैले पर साहिबा खान की रिपोर्ट-
इलेक्ट्रिक कार कंपनी टेस्ला के मालिक इलॉन मस्क भारत आने वाले हैं. अब तक आ रही खबरों के मुताबिक वो 22 अप्रैल को भारत-दौरे पर होंगे और इसी बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात करेंगे. हालांकि भारत आने का उनका एजेंडा क्या होगा, इलेक्ट्रिक गाड़ियों के क्षेत्र में उनका कितना बड़ा निवेश होगा और भारत को लेकर उनकी क्या योजनाएं हैं, इसकी जानकारी अभी सामने नहीं आई है.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि मस्क भारत में फैक्ट्री लगाने के लिए 200-300 करोड़ डॉलर निवेश की योजना का ऐलान कर सकते हैं. यह भी कहा जा रहा है कि अमेरिका में इलॉन की टेस्ला कारों की बिक्री कम होने के कारण वो और देशों में फैक्ट्री बनाने की जगहें तलाश रहे हैं.
स्टरलिंक के लिए प्रारंभिक मंजूरी
एक सरकारी सूत्र ने एएफपी को बताया कि मस्क का एक और बिजनेस, सेटेलाइट इंटरनेट ऑपरेटर स्टारलिंक, भारत में संचालन के लिए प्रारंभिक मंजूरी प्राप्त करने के लिए भी तैयार है.
दरअसल इलॉन मस्क ने दूरदराज के स्थानों पर कम लागत वाला इंटरनेट प्रदान करने के लिए स्टारलिंक लॉन्च किया था. इसे स्पेस में एक मोबाइल टावर कहा जा सकता है. इसे सेटेलाइट नेटवर्क के जरिए ऑपरेट किया जाएगा. स्टारलिंक अमेरिकी एयरोस्पेस कंपनी स्पेस एक्स द्वारा संचालित एक सेटेलाइट इंटरनेट सर्विस है जो 56 से अधिक देशों को सेटेलाइट इंटरनेट एक्सेस कवरेज प्रदान करता है.
हालांकि 2021 में, संचार मंत्रालय ने स्टारलिंक को सार्वजनिक तौर पर फटकार लगाई थी जब स्टारलिंक ने दावा किया था कि कंपनी ने संचालन के लाइसेंस के बिना भारत में अपनी सेवाओं को "पहले से ही बेचना" शुरू कर दिया है.
भारत में टेस्ला की इलेक्ट्रिक गाड़ियां
मस्क ने कई बार प्रधानमंत्री मोदी की तारीफ की है. बावजूद इसके, उन्होंने भारत में करोड़ों डॉलर के निवेश की बात कभी नहीं की. मस्क ने एक समय पर इलेक्ट्रिक गाड़ियों के आयात पर भारत के भारी कर की शिकायत करते हुए कहा था कि वह "दुनिया में सबसे ज्यादा" है.
पिछले महीने ही भारत ने कार निर्माताओं के लिए इलेक्ट्रिक कारों पर आयात शुल्क में कटौती की. भारत उन कंपनियों को यह सब्सिडी देगा जो 50 करोड़ डॉलर का निवेश करने और तीन साल के भीतर स्थानीय उत्पादन शुरू करने का वादा कर सकती हैं.
नई नीति के तहत कंपनियां 15 प्रतिशत की बेहद कम आयात शुल्क के साथ हर साल 35,000 डॉलर या उससे अधिक कीमत वाले 8,000 इलेक्ट्रिक वाहनों का आयात कर सकती हैं. जानकारों का कहना है कि ऐसा नहीं है कि भारत में टेस्ला की गाड़ियां हाथों-हाथ बिकने लगेंगी.
इसका मुख्य कारण है टेस्ला कारों की ऊंची कीमत. टेस्ला का इस समय सबसे सस्ता मॉडल, मॉडल 3 सेडान है, जिसकी अमेरिका में कीमत लगभग 39,000 डॉलर है. यह कीमत भारतीय रुपए में लगभग 32 लाख की होगी. मार्केट रिसर्च फर्म काउंटरपॉइंट के वरिष्ठ विश्लेषक सौमेन मंडल ने समाचार एजेंसी एएफपी को बताया, "जिन कारों की कीमत 20 लाख रुपए ($ 23,900) से अधिक है, उनकी भारत के बाजार में हिस्सेदारी केवल पांच प्रतिशत है."
अहम मुद्दा है मस्क का एक्स पर फ्री स्पीच पर जोर
फिलहाल भारत में मस्क की प्राथमिकता हो सकती है सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स जिसे पहले ट्विटर कहा जाता था. भारत लगभग किसी भी अन्य देश की तुलना में एक्स पर कंटेंट हटाने के लिए कंपनी को ज्यादा याचिकाएं भेजता है, या फिर उसके अधिकारियों के साथ मीटिंग रखता है.
एक्स के पूर्व प्रमुख जैक डोर्सी ने पिछले साल दावा किया था कि सरकारी अधिकारियों ने उनकी मांगें नहीं मानने पर भारत में इस प्लेटफार्म को बंद करने की धमकी दी थी. सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने इस दावे को "सरासर झूठ" बताया था.
एक्स पिछले साल के अदालत के फैसले के खिलाफ अपील कर रहा है, जिसमें प्लेटफॉर्म को सरकारी टेकडाउन अनुरोधों का पालन करने का आदेश दिया गया है. हालांकि मस्क भारत में कंपनी पर लगे प्रतिबंधों को लेकर आशावादी रहे हैं. (dw.com)
नागपुर, 19 अप्रैल । राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के प्रमुख मोहन भागवत ने शुक्रवार सुबह रेशिमबाग के पास एक मतदान केंद्र पर मतदान किया।
आरएसएस प्रमुख मतदान केंद्र पर सबसे पहले पहुंचने वालों में से थे। मतदान शुरू होने से पहले उन्होंने लगभग 15 मिनट तक इंतजार किया। वह अपना वोट डालने के लिए अंदर गए और उसके तुरंत बाद बाहर निकले और गर्व के साथ अपनी स्याही लगी उंगली को दिखाया।
मोहन भागवत ने मीडियाकर्मियों से बातचीत करते हुए कहा कि उन्होंने आज अपना पहला व्यक्तिगत कर्तव्य निभाया है। उन्होंने सभी लोगों से एक नागरिक के रूप में अपना वोट डालने का आह्वान करते हुए कहा, "यह उनका अधिकार भी है और कर्तव्य भी है।"
सभी लोगों को राष्ट्र के हित में मतदान करना चाहिए। आप अपने वोट के माध्यम से, अगले पांच वर्षों के लिए देश का भविष्य तय करते हैं। 100 प्रतिशत मतदान होना चाहिए, इसलिए देशहित में सभी को मतदान अवश्य करना चाहिए।
नागपुर में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी इंडिया-एमवीए-कांग्रेस उम्मीदवार विकास ठाकरे के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं।
लोकसभा चुनाव का पहला चरण पांच निर्वाचन क्षेत्रों- नागपुर, चंद्रपुर, भंडारा-गोंदिया, रामटेक (एससी) और गढ़चिरौली-चिमूर (एसटी) में सुबह 7 बजे शुरू हुआ। बड़ी संख्या में लोग मतदान के लिए पहुंच रहे हैं।
(आईएएनएस)
लखनऊ, 19 अप्रैल । यूपी में लोकसभा चुनाव के पहले चरण की आठ सीटों पर मतदान सुबह सात बज से शुरू हो गया है। इसी बीच उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, सपा मुखिया अखिलेश यादव, बसपा प्रमुख मायावती और कांग्रेस प्रमुख ने मतदाताओं से मतदान करने की अपील की है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने एक्स अकाउंट पर पोस्ट किया कि आज लोकतंत्र के महापर्व का प्रथम चरण है। सभी मतदाताओं से मेरी अपील है कि 'आत्मनिर्भर भारत' एवं 'विकसित भारत' के निर्माण के लिए, 'नए भारत' की अविराम विकास यात्रा के लिए मतदान अवश्य करें। आपका एक वोट 'भारत' को और अधिक सशक्त बनाएगा। इसलिए ध्यान रहे। पहले मतदान, फिर जलपान। जय हिंद।
अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया पर अपील करते हुए कहा कि अपने सुनहरे भविष्य के लिए वोट जरूर डालें। बसपा प्रमुख मायावती ने भी अपने एक्स अकाउंट पर लिखा कि देश में हो रहे 18वें लोकसभा में आज पहले चरण की वोटिंग से ही 'पहले मतदान, फिर जलपान' के संकल्प के साथ पूरे होश व जोश के साथ बढ़-चढ़ कर हिस्सा लेने की सभी वोटरों से अपील, ताकि रोज़गार, सुरक्षा, आत्म-सम्मान व स्वाभिमान-युक्त जीवन देने वाली अच्छी सरकार देश में बने।
उन्होंने आगे लिखा कि वोट हर पात्र नागरिक का संवैधानिक अधिकार। पूरी निर्भयता के साथ इस हक का इस्तेमाल करके सत्ता में अपनी प्रभावी भागीदारी सुनिश्चित करने का भरसक प्रयास जरूरी। चुनाव आयोग भी स्वतंत्र व निष्पक्ष चुनाव तथा ख़ासकर गरीबों, मज़लूमों, महिलाओं को वोट देने में उनका पूरा-पूरा सहयोग करे।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने एक्स पर लिखा कि उत्तर प्रदेश में प्रथम चरण के चुनाव में सभी प्रदेशवासी बढ़-चढ़ कर मतदान करें।
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी ने लिखा कि पहले मतदान, फिर जलपान। लोकसभा चुनाव-2024 को लेकर आज हो रहे पहले चरण के मतदान में सभी सम्मानित मतदाता भाइयों एवं बहनों से निवेदन करता हूं कि अपने लोकसभा क्षेत्र व देश के उत्तम विकास, बेहतर सुशासन एवं उत्कृष्ट समृद्धि हेतु अधिक से अधिक संख्या में अपने-अपने बूथ पर पहुंचकर अपने मताधिकार का प्रयोग अवश्य करें।
बता दें कि पहले चरण के लिए आठ सीटों पर सुबह सात बजे से मतदान शुरू हो गए है। मतदान शाम छह बजे तक जारी रहेगा। इनमें सहारनपुर, कैराना, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, रामपुर, नगीना (अजा), मुरादाबाद और पीलीभीत लोकसभा सीट शामिल हैं।
(आईएएनएस)
छिंदवाड़ा, 19 अप्रैल । मध्य प्रदेश के छह संसदीय क्षेत्र में मतदान जारी है। इनमें सबसे हॉट सीट छिंदवाड़ा है। छिंदवाड़ा में पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अपने परिवार के साथ मतदान किया।
पूर्व सीएम कमलनाथ ने अपने बेटे और छिंदवाड़ा के उम्मीदवार नकुलनाथ के अलावा धर्मपत्नी अलका नाथ व पुत्रवधू प्रिया नाथ के साथ हनुमान मंदिर में पूजा अर्चना की। इसके बाद शिकारपुर स्थित मतदान केंद्र पर पहुंचकर मतदान किया।
इस दौरान कमलनाथ ने कहा कि उन्हें छिंदवाड़ा की जनता पर विश्वास है। 45 साल में हुए विकास के लोग गवाह हैं। छिंदवाड़ा संसदीय क्षेत्र में नकुलनाथ का भाजपा के विवेक बंटी साहू से मुकाबला है।
भाजपा ने इस संसदीय सीट पर पूरी ताकत झोंक रखी थी, वहीं कमलनाथ अपने परिवार के साथ चुनाव मैदान में डटे रहे। राज्य के अन्य हिस्सों की तरह छिंदवाड़ा में भी मतदाताओं में मतदान को लेकर खास उत्साह है।
(आईएएनएस)