रायपुर

ठेकेदार के कर्मचारी के खाते से डेढ़ सौ करोड़ का लेनदेन, देवेन्द्र यादव पर आरोप
04-Aug-2021 5:50 PM
ठेकेदार के कर्मचारी के खाते से डेढ़ सौ करोड़ का लेनदेन, देवेन्द्र यादव पर आरोप

राज्य वित्त आयोग के पूर्व अध्यक्ष वीरेन्द्र पाण्डेय ने किया हवाला रैकेट का खुलासा

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

रायपुर, 4 अगस्त। राज्य वित्त आयोग के पूर्व अध्यक्ष वीरेन्द्र पाण्डेय ने भिलाई में करोड़ों के हवाला रैकेट का खुलासा किया है। उन्होंने पूरे मामले में भिलाई के विधायक देवेन्द्र यादव की संलिप्तता का आरोप लगाया है। पाण्डेय ने आरोप लगाया कि ठेकेदार के कर्मचारी के खाते से करीब डेढ़ सौ करोड़ से अधिक का लेन देन हुआ है, और विधानसभा-लोकसभा चुनाव में कालाधन का प्रयोग किया। उन्होंने पूरे मामले की शिकायत ईडी, और आयकर विभाग में भी की है।

पाण्डेय ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि ठेकेदार हितेश चौबे के कर्मचारी  अनिमेष सिंह के यश बैंक के खाते से करोड़ों के लेनदेन का खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि यह मामला दिसंबर 2019 में तब सामने आया जब अनिमेष सिंह ने ठेकेदार हितेश चौबे के खिलाफ खुर्सीपार थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई। यस बैंक में अनिमेष सिंह के नाम से हितेश चौबे द्वारा अवैध रूप से एक करेंट अकाउंट 24 जनवरी 2017 को खुलवा कर करोड़ों रुपए का लेनदेन किया गया। 28 नवंबर 2019 तक कुल 160 करोड़ रुपए के लेन-देन हुए।

उन्होंने बताया कि इस पूरे मामले पर खुर्सीपार थाने में रिपोर्ट दर्ज हुआ।  इसकी भनक लगते ही जनवरी 2020 में हितेश चौबे ने आर्थिक हेराफेरी की शिकायत करते हुए अनिमेष सिंह के विरुद्ध उसी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई, और 9 जनवरी 2020 को अनिमेष सिंह के खिलाफ धारा-420 का मुकदमा कायम कर दिया गया। अनिमेष सिंह फरार है, लेकिन अब तक इस पूरे मामले में डेढ़ वर्ष से ज्यादा का समय हो जाने के बावजूद किसी प्रकार की कोई जांच नहीं हुई।

पाण्डेय ने बताया कि अनिमेष सिंह के खाते की जांच करने पर बिल्डर्स, भूमाफिया और कांग्रेस पार्टी के नेताओं द्वारा कई  करोड़ रुपए का लेनदेन किया गया है। कई अत्यंत कीमती गाडिय़ां खरीदी गई हैं। हितेश चौबे के होप इंटरप्राइजेज, संतोष गुप्ता के फ्लोरेट होटल और सेजल सेल्स कारपोरेशन से करोड़ों रुपए का लेनदेन हुआ है। इसी प्रकार एनएसयूआई के नेता शरद कुमार मिश्रा, भावेश ताम्रकार, रवीश ताम्रकार, प्रवीण ताम्रकार, गौरव खंडेलवाल, आदित्य सिंह इत्यादि अन्य के द्वारा बड़े पैमाने पर लेनदेन किया गया है। सभी कांग्रेस नेता देवेंद्र यादव के करीबी हैं। देवेंद्र यादव वर्ष 2018 में विधायक बने तब वे महापौर भी थे। इसी राजनीतिक दबाव के चलते मामले की जांच नहीं हो सकी।

उन्होंने यह भी बताया कि देवेंद्र यादव के बड़े भाई धर्मेंद्र यादव सहित श्रीमती उषा देवी यादव, श्रीमती रूपा देवी यादव, वीरेंद्र यादव आदि के नाम से स्पष्ट लेनदेन हुआ है। खुद देवेंद्र यादव के नाम से करोड़ों रुपए के लेनदेन हुए हैं। इससे परे फैसल आलम और अनवर आलम के द्वारा विदेशों से भी करोड़ों का लेनदेन सीधा खाते में हुआ है। यह हवाला के कारोबार से संबंधित मामला है। पाण्डेय ने बताया कि देवेंद्र यादव की शादी ताम्रकार परिवार में हुई है। हितेश चौधरी तथा फ्लोरेट होटल के मालिक संतोष कुमार गुप्ता यादव, ताम्रकार परिवार से सीधे जुड़े हुए हैं।

पाण्डेय ने बताया कि छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव के दौरान कुल 109 लेनदेन किए गए। जिसमें लगभग 3.42 करोड़ कुल हैं। 42 बार खाते में पैसे डाले गए जो कि कुल 3 करोड़ 56 लाख रुपए थे। जिसमें से 83 लाख 67 हजार रु. नकद दिए गए। उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव के दौरान कुल 222 लेनदेन की एंट्री है। इसमें सात करोड़ 78 लाख रुपए कुल लेन देन है। इनमें से काफी पैसा नकद रूप में लेनदेन किया गया है। तपन सरकार को खाते से लगभग 25 लाख रुपए दिए गए हैं। शरद कुमार मिश्रा ने कुल 75 ट्रांजैक्शन किए हैं जिसमें देवेंद्र यादव का नाम है।

उन्होंने बताया कि विदेशों से फैसल आलम और अनवर आलम के नाम से 2 करोड़ 96 लाख 35 हजार रू जमा किए गए। भिलाई स्टील प्लांट के केवी राजू के नाम से 2 करोड़ 60 लाख 60 हजार रु. दिए गए। एजाज फिरोज अफरोज खलील अहमद और महमूद सरदार के नाम पर सवा चार करोड़ से ज्यादा रुपए का लेन देन हुआ है।

उन्होंने बताया कि खाते से बेनामी लेनदेन 300 से ज्यादा बार किया गया है। आस्था बाफना के नाम से 70 लाख रुपए का लेनदेन हुआ। गौरव और गोपाल खंडेलवाल के नाम से 96 लाख 65 हजार रुपए का लेनदेन हुआ। सेजल सेल कारपोरेशन के नाम से एक करोड़ 36 लाख रुपए से ज्यादा का लेनदेन हुआ। धर्मेंद्र यादव और देवेंद्र यादव के नाम से करोड़ों रुपए का लेनदेन हुआ।

पाण्डेय ने आरोप लगाया कि प्रकरण में एफ आई आर दर्ज होने पर तत्कालीन ईओडब्ल्यू के प्रमुख जीपी सिंह ने अनिमेष सिंह के ऊपर हितेश चौबे के कहने पर 420 का मामला दर्ज करवाया और सारे प्रकरण की फाइल अपने हाथ में ले ली। इसके पश्चात मामले में न कोई जांच हुई और न ही किसी तरह की कार्रवाई की गई।

अन्य पोस्ट

Comments

chhattisgarh news

cg news

english newspaper in raipur

hindi newspaper in raipur
hindi news