बस्तर

पीडब्ल्यूडी विभाग कर रहा है मनमानी-संजय पांडेय
17-Jan-2022 6:35 PM
पीडब्ल्यूडी विभाग कर रहा है मनमानी-संजय पांडेय

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

जगदलपुर, 17 जनवरी। शहर सौंदरीकरण के नाम पर बिना कार्य योजना के कार्य कराने का एक और प्रत्यक्ष प्रमाण बोधघाट चौक से रेलवे चौक तक देखने को मिल रहा है। 3 दिन पूर्व पीडब्ल्यूडी विभाग के साथ एसडीएम तहसीलदार एवं प्रशासनिक अमला जेसीबी बुलडोजर के साथ आकर स्थानीय निवासी को बताते हैं कि सडक़ को डिवाइडर से 10 मीटर करना है, आप लोगों की मकान, दुकान तोड़ी जाएगी। स्थानीय निवासियों के द्वारा लगातार आग्रह कर अवगत कराया कि विगत 2 वर्षों से सडक़ निर्माण का कार्य चल रहा है और हमने 2 वर्ष पूर्व ही अपने मकान दुकान को तोडक़र पीछे किया है, स्थानीय प्रभावित परिवारों ने विधायक, सांसद तक गुहार लगाई।

आज इस प्रभावित स्थल पर नेता प्रतिपक्ष संजय पांडे और नगर भाजपा अध्यक्ष सुरेश गुप्ता पहुंचकर प्रभावित लोगों से मिलकर उनकी बातें सुनी। सुरेश गुप्ता ने एसडीएम को फोन लगाकर अवगत कराया कि सडक़ निर्माण कार्य का कार्य योजना 7 साल पूर्व बना, 4 साल पूर्व बजट जारी होकर टेंडर हुआ था और 2 साल पूर्व से यहां चौड़ीकरण और डिवाइडर का कार्य प्रारंभ हुआ है। प्रस्तावित कार्य योजना के अनुसार लोक निर्माण विभाग ने 2 वर्ष पूर्व डिवाइडर से नाली की दूरी तय कर लोगों को अवगत कराया गया। 2 वर्ष पूर्व नगर निगम ने लगभग 30 लाख की लागत से निर्धारित स्थल पर नाली का निर्माण करवाया और नाली निर्माण के बाद लगभग 5 माह पूर्व बिजली के खंभे को किनारे शिफ्टिंग भी की जा चुकी है, ऐसे में उन्हीं अधिकारी के द्वारा पुन: नाली से डेढ़ से 2 मीटर और अतिक्रमण मुक्त कराने का फरमान जारी कर 30 लाख से बनी नाली और खंबे की शिफ्टिंग 5 माह पूर्व में लाखों रुपये खर्च किया गया और पुन: नाली को किनारे बनाने में और खंभे को शिफ्ट करने में लाखों रुपए खर्च होंगे। इस कार्य का हम विरोध करते हैं। विकास के विरोधी हम नहीं हैं यदि कार्य योजना के अनुसार जब एक बार नाली का निर्माण हो चुका है, पोल की शिफ्टिंग हो गई है तो पुन: नाली को और किनारे करना नए खंभे को लगाना पब्लिक के पैसे का दुरुपयोग करना विभाग की नाकामी है और इसे तत्काल रोका जाए और विभागीय जिम्मेदार अधिकारी जिन्होंने पूर्व के कार्य योजना के अनुरूप नाली का निर्माण करवाने में सहमति दी और पोल शिफ्टिंग करवाया या तो पूर्व में कार्य हो चुके हैं वह सही है या अब जो कार्य करवाने हेतु तोडफ़ोड़ किया जा रहा है यह सही है दोनों में कोई एक सही है और यदि पूर्व का सही है तो लोगों को परेशान नहीं किया जाए और वर्तमान मार्किंग सही है तो जिम्मेदार पीडब्लूडी अधिकारी के ऊपर कार्यवाही होनी चाहिए, जिनके वजह से दोबारा जनता के पैसों की बंदर बॉट हो रही है साथ ही कांग्रेस के नेताओ को भी इसमें संज्ञान लेना चाहिए।

नेता प्रतिपक्ष संजय पांडे ने पीडब्ल्यूडी के कार्यपालन अभियंता बत्रा को टेलीफोन कर मौके पर आकर कार्य योजना से अवगत कराने हेतु बात रखा और उन्होंने आग्रह किया कि आधा मीटर या 1 मीटर का चौड़ीकरण में समझौता किया जाए तो लोगों के दुकान मकान बच सकते हैं, उन्होंने कहा कि जिस वक्त यहाँ नगर निगम नाली बना रहा था, उस वक्त विभाग ने निगम को क्यों नहीं रोका। डिवाइडर की ले आउट देते वक्त यदि इन बातों का ध्यान रखा गया होता और डिवाइडर थोड़ा सेंट्रल में किया गया होता तो आज यह नौबत नहीं आती। पीडब्ल्यूडी की अदूरदर्शिता का ख़ामियाज़ा शहर के गरीब जनता को न उठाना पड़े। संजय पांडेय ने गीदम रोड का उदाहरण देते हुये कहा कि वहाँ चौड़ीकरण के नाम से सकरीकरण कर दिया गया,17 मीटर चौड़ाई की सडक़ तेरह मीटर में बदल दी गई। एक ही शहर मे प्रशासन की दोगली नीति ठीक नहीं है। यहां गरीब और कमजोर लोग निवास करते हैं इसलिए इन पर प्रशासन का दबाव बनाकर दोबारा तोडफ़ोड़ किया जाना गलत है इसका हम विरोध करते हैं। उन्होंने निगम के महापौर के ऊपर आरोप लगाते हुए कहा कि सौंदर्यीकरण के नाम पर पैसों का बंदरबांट कर आप अपनी जवाबदारी से भाग नहीं सकते। अधिकारी और जि़म्मेदार जन प्रतिनिधि जनहित के लिए नहीं बल्कि स्वहित के लिए कार्य कर रहे हैं।ठेकेदार को अधिक से अधिक लाभ पहुंचाकर अपने कमीशन को मोटा करने का खेल किया जा रहा है। इस अवसर पर राजाराम तोडेम,रोशन झा,गोविंद इराणी, राम कुमार मंडावी सहित बड़ी संख्या में स्थानीय प्रभावित शुभम अग्रवाल, जिप्टे ठाकुर,सौरभ अग्रवाल, धर्म कश्यप, भुनेश्वर यादव, मुस्ताक रजा उपस्थित थे।

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