गरियाबंद

जिले में एक और बाल विवाह रोकी गई
25-Jan-2022 3:34 PM
जिले में एक और बाल विवाह रोकी गई

गरियाबंद, 25 जनवरी । जिले में सामाजिक कार्यकर्ता के सहयोग से बाल संरक्षण अधिकारी और पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में एक और बाल विवाह रोकी गई। बाल संरक्षण समिति से प्राप्त सूचना के आधार पर महिला एवं बाल विकास विभाग के मार्गदर्शन व जिला बाल संरक्षण अधिकारी अनिल द्विवेदी की निगरानी में व  गोपाल सिंह कंवर सामाजिक कार्यकर्ता के सहयोग से जिला बाल संरक्षण इकाई गरियाबंद से प्रेमशंकर यादव, परामर्शदाता एवं चाईल्ड लाईन 1098 से बलीराम निषाद (टीम मेम्बर) एवं थाना देवभोग पुलिस के द्वारा बाल विवाह स्थल पर पहुंचकर जायजा लिया गया।   बाल संरक्षण समिति के माध्यम से दूरभाष में सूचना मिली थी कि ग्राम-पुरनापनी, थाना-देवभोग में एक बाल विवाह होने की तैयारी चल रही थी।

बाइस जनवरी को जिला बाल संरक्षण इकाई गरियाबंद द्वारा घटना स्थल पर पहुंच कर बालिका (वधु) की आयु संबंधी दस्तावेज स्कूल दाखिला खारिज के आाधार पर बालिका की आयु 16 वर्ष 3 माह होना पाया गया। विवाह के लिये बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 के अनुसार बालिका की आयु 18 वर्ष एवं लडक़े की आयु 21 वर्ष पूर्ण होना चाहिये। निर्धारित आयु से कम आयु में महिला/पुरूष का विवाह करने या करवाने की स्थिति में सम्मिलित व सहयोगी सभी लोग अपराध की श्रेणी में आते है। जिन्हें 2 वर्ष तक का कठोर कारावास एवं 1 लाख रूपये का जुर्माना अथवा दोनों से दण्डित किया जा सकता है। जिला बाल संरक्षण इकाई द्वारा अग्रिम कार्यवाही करते हुए बालिका, उसके माता पिता व परिवार वालों एवं ग्रामीण जनों को समझाइश दिया गया कि बालिका की आयु 18 वर्ष पूर्ण होनेे पश्चात् ही विवाह करें। सभी लोग बाल विवाह रोकथाम टीम की समझाइश पर सहमति जताई। फलस्वरूप बालिका एवं उसके माता-पिता को बाल कल्याण समिति, गरियाबंद में प्रस्तुत होने को कहा गया है।
 

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