धमतरी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
धमतरी, 13 मई। राज्य के 9 पर्वतारोहियों में शामिल जिले की चंचल सोनी व रजनी जोशी ने 10 दिन में 5364 मीटर की चढ़ाई पूरी कर एवरेस्ट बेस कैंप पहुंचे। चंचल एक पैर से तो रजनी लो विजन के बावजूद पहाड़ चढक़र विश्व रिकॉर्ड बनाया। दोनों बेटियां गुरुवार को धमतरी लौटी, तो जगह-जगह स्वागत हुआ। घड़ी चौक पर कांग्रेसियों ने फूल-माला पहनाकर स्वागत किया। मिठाई खिलाई, इसके बाद दोनों बालिकाओं ने विन्ध्यवासिनी मंदिर में पूजन किया। पुलिस ने भी मठमंदिर चौके पास स्वागत किया। कुरूद के सांधा चौक में कुरूद के नागरिकों ने स्वागत किया। इसके पहले एयरपोर्ट पर भी सभी 9 पर्वतारोहियों का स्वागत, सत्कार हुआ था। सालभर करती रही ट्रैकिंग की प्रैक्टिस चंचल व रजनी दोनों ट्रैकिंग से पहले प्रैक्टिस के मकसद से रोज करीब 12 किमी चलती थी। ट्रैकिंग टीम में ट्रांसजेंडर निक्की बजाज, गुंजन सिन्हा, पेमेन्द्र चंद्राकर, राघवेंद्र चंद्राकर और आशुतोष पांडेय भी शामिल थे।
ट्रैकिंग का मकसद डायवर्सिटी और एडवेंचर स्पोर्ट्स को बढ़ावा देना
चंचल सोनी का बचपन से एक पैर नहीं है। उन्होंने बैसाखी की मदद से ट्रैकिंग पूरी की है। चंचल 12 साल की उम्र से व्हीलचेयर बास्केटबॉल प्रतियोगिता में हिस्सा ले रही हैं। उन्होंने बताया कि ट्रैकिंग के लिए एक साल से पैदल चलने की प्रैक्टिस कर रही थी। रोज रुद्री से गंगरेल डैम तक करीब 12 किमी पैदल चलती थी। कई बार आसपास के जंगल और पहाड़ों पर भी गई। चंचल एक पैर से डांस भी करती हैं। वहीं पैरा जूडो खिलाड़ी रजनी जोशी (21) लो-विजन से जूझ रही हैं।
उन्होंने बताया कि चढ़ाई के दौरान स्नोफॉल हुआ। बर्फीली पहाडिय़ों पर चढ़ते वक्त कई बार स्टिक फिसल जाती थी। गिरने का डर बना रहता था। कई बार लडख़ड़ाई भी। जैसे-जैसे ऊपर पहुंचते गए ऑक्सीजन कम होती गई, जिसके कारण सांस लेने में दिक्कत हुई। बर्फबारी के कारण ठंड बहुत लग रही थी।