राजनांदगांव
महावीर चौक में सभा लेकर जताया विरोध
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 16 मई। जिला भाजपा ने सोमवार को महावीर चौक में सभा का आयोजन कर राज्य सरकार के 19 बिंदुओं की नियमावली के खिलाफ आवाज बुलंद की। जिलेभर के मंडलों से लेकर शक्ति केंद्रों व जिले व मंडल के नेताओं एवं कार्यकर्ताओं ने दोपहर को जुलूस और जेल भरो आंदोलन के पहले राज्य सरकार के खिलाफ महावीर चौक में एकत्रित हुए।
इस दौरान भाजपा नेताओं ने सभा में कहा कि छत्तीसगढ़ प्रदेश में अराजकता चरम पर है, लूट-डकैती, बलात्कार की घटनाएं आम हो गई है। हर शहर में दिन-रात ताले टूट रहे हैं। साथ ही राज्य सरकार के रवैये से भ्रष्ट्राचार चरम पर है। भूपेश सरकार द्वारा चुनाव पूर्व किए गए वायदों को लेकर कर्मचारी संगठन, राजनैतिक दल यदि आंदोलन कर रहे है तो उन्हें रोकने सरकार ने 19 बिंदुओं की नियमावली जारी की है। जिसके तहत किसी भी संगठन को चाहे वह राजनैतिक क्षेत्र का हो, सामाजिक क्षेत्र का हो, धार्मिक क्षेत्र का हो, चाहे मजदूर या कर्मचारी संगठन का हो, उन्हें आंदोलन के पहले सरकार के बेतरतीब ढंग से बनाए गए 19 बिंदुओं की जानकारी जिला प्रशासन को देना होगा और जब जिला प्रशासन आंदोलन की अनुमति देगा, तभी ही वे अपनी बात को रख सकेंगे।
भाजपा नेताओं ने कहा कि मजेदार तथ्य यह है कि राज्य सरकार ने नियमों की जो लंबी फेहरिश्त बनाई है, उस आधार पर यह बात साफ है कि सरकार आंदोलनों से डरी-सहमी हुई है। प्रदेश व्यापी असंतोष को दबाने इस तरह के अलोकतांत्रिक निर्णय जिसमें आपातकाल की भनक दिखाई देती है, को लागू करने पर आमादा है
भाजपा प्रमुख विरोधी दल के नाते सरकार के लोकतंत्र विरोधी कदमों के खिलाफ प्रदेशभर में तथा जिले में जेल भरो आंदोलन की घोषणा की है। पार्टी नेताओं ने राज्य सरकार को चेतावनी देते कहा कि देश लोकतांत्रिक व्यवस्था से चलता है। जिसमें सभी नागरिकों व संगठनों को आंदोलन कर अपनी बात को सरकार के समक्ष रखने की स्वतंत्रता है, किन्तु राज्य सरकार ने जिस ढंग से संगठनों की आवाज को दबाने 19 बिंदुओं की नियमावली बनाए हैं, उससे यह साफ हो जाता है कि सरकार जन असंतोष से घबराई हुई है, चुनावी वायदों के बोझ से बुरी तरह दबी हुई है और जनता आवाज न उठा सके, इसलिए लोकतंत्र विरोधी नियम आंदोलनों को लेकर बनाए गए हैं।
सभा में वरिष्ठ भाजपा नेता लीलाराम भोजवानी, भाजपा जिलाध्यक्ष मधुसूदन यादव, दिनेश गांधी, नीलू शर्मा, किशुन यदु, पवन मेश्राम, मधु बैद इरफान शेख, राजेश अग्रवाल, मोनू बहादुर, पारूल जैन समेत अन्य नेता व कार्यकर्ता शामिल थे।