राजनांदगांव
गृहभाड़ा भत्ता की उठी मांग
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 26 मई। छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन ने प्रदेश के कर्मचारियों-अधिकारियों के लिए केन्द्र शासन के समान डीए और सॉतवें वेतनमान अनुसार गृहभाड़ा भत्ते की मांग को लेकर पुन: आवाज बुलंद करते चार चरणों में आंदोलन करने का ऐलान किया है।
फेडरेशन के प्रांतीय संयोजक कमल वर्मा, प्रांतीय सचिव एवं प्रभारी दुर्ग संभाग राजेश चटर्जी के नेतृत्व में राजनांदगॉव जिला संयोजक डॉ. केएल टांडेकर, जिला महासचिव सतीश ब्यौहरे ने संयुक्त बयान जारी कर अवगत कराया है कि जनवरी 2020 से अप्रैल 2022 की अवधि में राज्य शासन द्वारा मंहगाई भत्ता के किस्तों को देय तिथि से स्वीकृत नहीं करने की नीति के कारण प्रदेश के कर्मचारियों को हुए आर्थिक नुकसान पर विभिन्न संगठनों ने शासन के आदेश को कर्मचारियों के हितों के विपरीत बताया है।
फेडरेशन ने बताया है कि शासन द्वारा 01 जुलाई 2019 से 5 प्रतिशत मंहगाई भत्ता किस्त को 01 जुलाई 2021 से प्रभावशील करने तथा 01 जुलाई 2019 से 30 जून 2021 तक कुल 02 वर्षो की अवधि का एरियस पर मौन रहने की नीति से कर्मचारी-अधिकारियों का जबरदस्त आर्थिक नुकसान हुआ है, जो आज पर्यन्त लगातार हो रहा है। शासन के इस निर्णय से राज्य शासन की मंशा स्पष्ट है। जिससे प्रदेश के हम सभी शासकीय सेवकों के वेतन भुगतान में लगातार कटौती हो रही है, जो कि हमारे मौलिक अधिकारों का हनन है। अत: राज्य के शासकीय सेवकों को केन्द्र के समान देय तिथि अनुसार निर्धारित महॅगाई भत्ता स्वीकृति हेतु एवं केन्द्र के अनुरूप 34 प्रतिशत मंहगाई भत्ता देय तिथि से व सातवे वेतनमान अनुसार गृह भाड़ा भत्ता स्वीकृत करने की मांग को लेकर फेडरेशन चरणबद्ध हड़ताल के लिए संकल्पित है।