बेमेतरा
विभिन्न विभागों के 79 आवेदन मिले
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 22 जून । कलेक्टर विलास भोसकर संदीपान ने कल जिले के विभिन्न गांवों से आये आम नागरिकों से रु-ब-रु होकर उनकी समस्याएं सुनी और उनके निराकरण के लिए अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। संयुक्त जिला कार्यालय कलेक्टोरेट परिसर के दृष्टि-सभाकक्ष में आयोजित आम जनता से साप्ताहिक भेंट मुलाकात कार्यक्रम जनचौपाल आयोजित किया गया जिसमें दूर-दराज से आये लोगों ने अपनी समस्याओं को लेकर आवेदन पत्र प्रस्तुत किए।
साप्ताहिक जनचौपाल के दौरान बेमेतरा जिले के विभिन्न गांवों से आये आम नागरिकों ने विभिन्न विभागों से संबंधित 79 आवेदन प्रस्तुत किये। प्राप्त आवेदनों में ग्राम बहरबोड़ निवासी बिसौहा ने वृद्धापेंशन का लाभ दिलाने, हीरा बाई ने परियोजना खण्डसरा के अन्तर्गत सिंघनपुरी आंबा केन्द्र में कार्यकर्ता भर्ती संबंधित दावा आपत्ति प्रस्तुत करने के बाद कोई कार्यवाही नहीं होने की शिकायत की, ग्राम बेरा निवासी दीनू वर्मा ने कृषि भूमि से लगे शासकीय परिया पर पानी निकासी रास्ता बाधित करने वाले पर कार्यवही के संबंध में आवेदन प्रस्तुत किये है।
ग्राम सुरहोली कुसमी बेरला के बिरेन्द्र साहू ने पटवारी द्वारा जमीन को दूसरे के नाम पर दर्ज करने की शिकायत की, ग्राम करेली पंचायत चंडी निवासी बिरमबाई घृतलहरे ने ग्रा.पं. सचिव द्वारा बीपीएल राशन कार्ड नहीं बनाने, ग्राम गर्रा के ग्रामीणों ने पानी टंकी एवं बाउण्ड्री वॉल निर्माण की मजदूरी भुगतान दिलाने, ग्राम पंचायत मऊ के सरपंच अगेश्वर साहू ने जल-जीवन मिशन के अन्तर्गत पानी टंकी का निर्माण कर नल कनेक्शन देने, ग्राम तारेगांव के मनोज कुमार ने ग्राम पंचायत रुसे में बरती गई अनियमितता के लिए जिला स्तरीय जांच दल गठन करने के संबंध में, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि न्याय योजनांतर्गत पंजीयन कराने, शासकीय भूमि में अतिक्रमण हटवाने, ग्राम नवलपुर के ग्रामीणों ने प्रधानमंत्री फसल बीमा की राशि भुगतान कराये जाने की मांग की, इसके अलावा अन्य ग्रामीणों ने भूमि सीमांकन करवाने, राशन कार्ड बनाने, समूह की ऋण माफी, प्रधानमंत्री आवास दिलाने, साजा विकासखण्ड के ग्राम बोरतरा के लोगों ने आजद क्रिएटिव आर्गेनाइजेशन समिति द्वारा कार्य की राशि दिलाने की मांग की। सामाजिक सुरक्षा पेंशन दिलाये जाने, आदि से संबंधित आवेदन प्रस्तुत किए।
कलेक्टर ने विभागीय अधिकारियों को नियमानुसार इसका निराकरण करने के निर्देश दिए। उन्होने अधिकारियों से कहा कि यदि तकनीकि कारणों से आवेदनों का निराकरण नहीं हो पा रहा हो तो इसकी सूचना संबंधित आवेदक को भी दी जाये।