राजनांदगांव

पौने तीन लाख क्यूसेक पानी छोडऩे से शिवनाथ के जद में आए दर्जनों गांव
17-Aug-2022 1:28 PM
पौने तीन लाख क्यूसेक पानी छोडऩे से शिवनाथ के जद में आए दर्जनों गांव

 नांदगांव के तटीय गांवों में घुसा पानी, समूचे जिले में मूसलाधार बारिश बनी आफत 

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 17 अगस्त।
राजनांदगांव जिले में मूसलाधार बारिश ने आफत का रूप अख्तियार कर लिया है। जिलेभर में रिकार्डतोड़ बारिश ने दर्जनों गांव अब भी पानी में डूबे हुए हैं। पिछले तीन दिनों से पौने तीन लाख क्यूसेक पानी छोडऩे से शिवनाथ के जद में दर्जनों गांव आ गए हैं। हालांकि 24 घंटे से बरसात नहीं होने के कारण शिवनाथ की रफ्तार में आंशिक कमी आई है। इसके बावजूद राजनांदगांव शहर के नजदीक शिवनाथ किनारे बसे गांवों का संपर्क कट गया है। मोहारा, हल्दी, भंवरमरा सहित अन्य गांव पानी में डूबे हुए हैं। 

शिवनाथ के तटीय इलाकों के गांवों की स्थिति पानी के चलते खराब हो गई है। पानी की अति आवक होने से मोंगरा बैराज समेत दर्जनभर जलाशय से लगातार पानी छोडऩा ग्रामीणों के लिए मुसीबत बन गया है। वहीं ग्रामीणों का जन-जीवन भी अस्त-व्यस्त हो गया है। इसके साथ ही शिवनाथ नदी के किनारे बसे गांव व निचली बस्तियां भी बाढ़ की चपेटे के कारण टापू में तब्दील हो गए हैं। तेज बारिश के चलते जिले के मोंगरा, घुमरिया और सूखानाला बैराज से पौने तीन लाख क्यूसेक पानी छोडऩे से शिवनाथ  नदी की रफ्तार तेज हो गई है। जिसके कारण शिवनाथ नदी बौरा गई है। वनांचल के नदी किनारे बसे गांव की तरह शहर के मोहारा, सिंगदई, हल्दी व भंवरमरा क्षेत्र में पानी भर गया है। बाढ़ में फंसे लोगों को नगर निगम ने सुरक्षित स्कूल भवन व सामुदायिक भवन में ठहराया है।
 

मेयर-आयुक्त ने लिया बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का जायजा
अत्याधिक वर्षा के कारण मोहारा नदी में आई बाढ़ से प्रभावित वार्ड मोहारा, सिंगदई, मोहड़ और हल्दी का गत दिवस महापौर हेमा सुदेश देशमुख एवं निगम आयुक्त डॉ. आशुतोष चतुर्वेदी ने निरीक्षण कर बाढ़ पीडि़त परिवारों को सुरक्षित स्थान पहुंचाने एवं खाने-पीने की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश तकनीकी अधिकारियों को दिए। महापौर एवं आयुक्त रात्रि में पुन: प्रभावित वार्डों में पहुंचकर बाढ़ पीडि़तों से रूबरू होकर व्यवस्था के संबंध में जानकारी ली।
महापौर श्रीमती देशमुख एवं आयुक्त डॉ. चतुर्वेदी  ने अन्य एवं तकनीकी अधिकारियों के साथ बाढ़ प्रभावित वार्डों में अलग-अलग वार्ड का मुआयना कर वार्ड के स्कूल एवं सामुदायिक भवन में बाढ़ पीडि़तों को ठहराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इनके खाने-पीने तथा सोने के लिए बिस्तर की व्यवस्था करने तकनीकि अधिकारी को निर्देशित किया। उन्होंने चारो वार्ड मे जाकर जायजा लेने के उपरांत बाढ़ पीडि़तों से चर्चा कर कहा कि अत्याधिक वर्षा के कारण शिवनाथ नदी का जल स्तर बढऩे पर बाढ़ की स्थिति निर्मित हो रही है।
 

बाढ़ पीडि़तों की भोजन-आवास की व्यवस्था
कलेक्टर डोमन सिंह के निर्देशन और एसडीएम अरूण वर्मा के मार्गदर्शन में बाढ़ से प्रभावित व्यक्तियों को अस्थाई शिविर में ठहराया गया है। राजस्व एवं नगर निगम की टीम द्वारा लगातार सेवाएं दी जा रही है। तहसीलदार प्रफुल्ल गुप्ता ने बताया कि ग्राम बाकल के प्रभावित 18 परिवारों के 55 सदस्यों को गरम भोजन पैकेट का वितरण किया। उनके साथ राजस्व निरीक्षक हरीश कश्यप, पटवारी ऐश्वर्य मिश्रा थे। नगर निगम क्षेत्र के ग्राम मोहारा, हरदी के प्रभावित परिवारों को भोजन वितरण नायब तहसीलदार चितेश देवांगन, राजस्व निरीक्षक चंद्रहाश भंडारी, पटवारी सनत विश्वास, अनुराग शुक्ला, रणविजय देवांगन एवं नगर निगम की टीम द्वारा शिविर स्थल में जाकर किया गया।

मोंगरा-घुमरिया और सूखानाला से छूटा पानी
बीते 3 दिनों से जिले के अलग-अलग क्षेत्रों में बारिश के चलते जलाशयों में जलभराव होने के चलते  मोंगरा जलाशय से एक लाख 48 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया। वहीं घुमरिया जलाशय से 29 हजार 100 क्यूसेक पानी और सूखानाला से 56 हजार 800 क्यूसेक पानी छोड़ा गया। इस तरह तीनों बैराजों व जलाशयों से  भारी मात्रा में पानी छोडऩे से शिवनाथ नदी का जलस्तर बढऩे से नदी के किनारे बसे दर्जनों गांव में बाढ़ के हालात निर्मित हो गए। वहीं मुख्य सडक़ मार्ग भी बाढ़ के पानी की वजह से अवरूद्ध रहे। 

 

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