महासमुन्द

बरेकेल उल्टी-दस्ती की चपेट में, कुएं का पानी पीकर बीमार हो रहे ग्रामीण
22-Sep-2022 2:44 PM
बरेकेल उल्टी-दस्ती की चपेट में, कुएं का पानी पीकर बीमार हो रहे ग्रामीण

एक ही परिवार को दो बच्चे कल अस्पताल दाखिल

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 22 सितम्बर।
कुएं के दूषित पानी पीने से जिले के पिथौरा क्षेत्र में बसे ग्राम बरेकेल के वार्ड 4 में उल्टी दस्त डायरिया की शिकायत मिली है। बताया जा रहा है कि यह समस्या पिछले दो-तीन महीने से बनी हुई है। बताया गया है कि इस वार्ड में बोर की सुविधा नहीं है। लोगों ने कई बार बोर की मांग की थी लेकिन आज तक उनकी मांगें पूरी नहीं हुई। लिहाजा यहां रहने वाले 25 से अधिक परिवारों के करीब 200 लोग मोहल्ले में स्थित एककुएं पर ही निर्भर हैं। सभी इसी का पानी पीते हैं। कल बुधवार को उसी मोहल्ले के दो बच्चों व एक महिला सहित छह लोगों को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में इलाज के लिए भर्ती कराया गया। ये सभी उल्टी दस्त की समस्या से ग्रसित थे।

इस संबंध में पिथौरा विकासखंड स्वास्थ्य अधिकारी तारा अग्रवाल का कहना है कि 15 दिन पहले ग्रामीणों की तबीयत खराब होने की जानकारी मिली थी। इसके बाद सेक्टर चिकित्सक ने वहां पहुंचकर इलाज किया और मितानिनों ने कुंए में ब्लीचिंग पाउडर डाला था। जबकि ग्रामीणों का कहना है कि बुधवार को ग्राम बरेकेल रहने वाले एक ही परिवार के दो बच्चे खुशबू ठाकुर पिता गौर सिंह 15 साल, जयंद्र ठाकुर पिता सुरेश 6 साल सुबह से उल्टी-दस्त से परेशान थे। परिजन दोनों को इलाज के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लाए। अस्पताल में इन बच्चों को डायरिया का पता चला। इन दोनों को भर्ती किया ही था कि गांव में एक महिला को भी उल्टी-दस्त शुरू हो गया। उसे भी हास्पिटल भेजा गया।

स्वास्थ्य अधिकारियों की मानें तो इस सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में पिछले दो-तीन महीने से वार्ड 4 निवासी 2-3 मरीज उल्टी-दस्त की शिकायत लेकर पहुंच रहे हैं। स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि बुधवार को 2 बच्चे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में डायरिया से भर्ती हुए हैं। स्वास्थ्य अमले को गांव भेजा गया है। मितानिन भी व्यवस्था देख रही है। ग्रामीणों को कहना है कि कुएं के साथ-साथ बोर का पानी भी खराब है। गांव में डायरिया फैला है और 3 महीने में करीब 70 से 80 लोग इसकी चपेट में आ चुके हैं।

गांव के सुरेश ठाकुर,बिसाहू ठाकुर, गौर सिंह ठाकुर का कहना है कि मोहल्ले में करीब 25 परिवार हैं। ये सभी वार्ड के कुएं का पानी पीते हैं। पिछले तीन महीने से कुएं का पानी पीने से उल्टी दस्त की शिकायत आ रही है। मोहल्ले में बोर की सुविधा नहीं है। पिछले तीन महीनों में 70 -80 लोग डायरिया की चपेट में आ चुके हैं। इन ग्रामीणों का कहना है कि विभाग पानी के सैंपल की जांच ही नहीं करता है। यहां पानी का न तो सैंपल लिया जाता है और ना ही दूषित होने की जानकारी दी जाती है।

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