रायगढ़
कर्मचारी संगठनों का मिल रहा है व्यापक समर्थन
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायगढ़, 10 जनवरी। छत्तीसगढ़ प्रदेश तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ जिला शाखा रायगढ़ के कार्यकारी अध्यक्ष शेख कलीमुल्लाह ने बताया कि ग्राम पंचायत सचिव दो वर्ष परिवीक्षा अवधि पश्चात शासकीयकरण करने की एक सूत्रीय मांग को लेकर 15 वे दिन अनिश्चितकालीन हड़ताल पर रहे। वहीं दूसरी ओर छत्तीसगढ़ ग्राम रोजगार सहायक संघ अपने तीन सूत्रीय मांग, ग्रेड पे निर्धारण कर नियमितीकरण किया जाए। जिन पंचायतों को नगर निगम/ नगर पंचायत में शामिल किया जा रहा है। वहां पर कार्यरत ग्राम रोजगार सहायक को संबंधित निकाय में नियुक्त किया जाए या अन्य पंचायत में सेवा में रखा जाए। पंचायत सचिव पद पर वरीयता के आधार पर ग्राम रोजगार सहायक की नियुक्ति की जाए को लेकर 11 वे दिन अनिश्चितकालीन हड़ताल पर रहे।
उल्लेखनीय है कि ग्राम पंचायत सचिव विगत 26 दिसंबर से हड़ताल पर हैं। इनके हड़ताल पर चले जाने से विकास कार्य बुरी तरह प्रभावित हो रहा है। शासन द्वारा इनकी मांग नहीं माने जाने पर ग्राम पंचायत सचिव संघ द्वारा अनिश्चितकालीन हड़ताल के 14 दिन वे दिन भीख मांग कर शासन का ध्यान आकृष्ट किया गया। ग्राम रोजगार सहायक के हड़ताल पर चले जाने से ग्राम पंचायत स्तर के बहुत से कार्य प्रभावित हो रहे हैं। छत्तीसगढ़ ग्राम पंचायत सचिव संघ तथा छत्तीसगढ़ ग्राम रोजगार सहायक संघ के अनिश्चितकालीन हड़ताल को अन्य कर्मचारी संगठनों का व्यापक समर्थन मिल रहा है।
शेख कलीमुल्लाह कार्यकारी अध्यक्ष छत्तीसगढ़ प्रदेश तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ, अनिल यादव अध्यक्ष छत्तीसगढ़ प्रदेश शिक्षक संघ, नारायण प्रसाद त्रिवेदी प्रमुख महामंत्री छत्तीसगढ़ शिक्षक फेडरेशन, नेतराम साहू अध्यक्ष छत्तीसगढ़ टीचर एसोसिएशन, आशीष रंगारी सचिव छत्तीसगढ़ कर्मचारी संघ, श्रीकांत पांडे अध्यक्ष छत्तीसगढ़ करारोपण अधिकारी संघ ने हड़ताल स्थल पर पहुंचकर छत्तीसगढ़ ग्राम पंचायत सचिव संघ की मांग का समर्थन करते हुए कहा कि ग्राम पंचायत सचिव केंद्र व राज्य की योजनाओं को देश के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाने का कार्य करते हैं इनकी शासकीयकरण की मांग जायज है।
वे विगत 25 वर्षों से इसकी मांग कर रहे हैं। शासन को इनकी मांगे पूरी करनी चाहिए। वहीं ग्राम रोजगार सहायक संघ की 3 सूत्रीय मांगे भी न्यायोचित है। प्रशासन को इनकी मांगों को स्वीकार करना चाहिए। कर्मचारी नेताओं ने शासन से इनकी मांगों को स्वीकार कर समुचित आदेश प्रसारित करने की मांग की है।