सूरजपुर
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बिश्रामपुर, 19 जनवरी। मंगलवार को सुबह 10 बजे विश्रामपुर की ओर आ रही तेज रफ्तार ट्रक ने कुरुवा रेड नदी पुल के पास सामने से जा रही बाइक को अपने चपेट में ले लिया। इस हादसे में 17 वर्षीय युवती की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं बाइक चालक व उसका बेटा गंभीर रूप से घायल हो गया। आक्रोशित भीड़ ने ट्रक में आग लगा दी तथा शव सडक़ पर रखकर चक्का जाम कर दिया।
सूरजपुर जिले के बिश्रामपुर थाना अंतर्गत नगर से लगे ग्राम कुरुवा निवासी 50 वर्षीय आलम राजवाड़े अपने 7 वर्षीय लडक़ा सत्यम व भतीजी 17 वर्षीय निशा राजवाड़े के साथ अपने बाइक से नदी किनारे आलू खोदने जा रहे थे कि पुल से 100 मीटर पहले सामने से आ रही ट्रक क्रमांक सीजी 15 स्र द्घ 9882, का चालक जो ट्रक काफी तेज गति से चलाते हुए ला रहा था कि गलत दिशा में जाकर बाइक को अपनी चपेट में ले लिया। ट्रक-बाइक की टक्कर में निशा ट्रक के चक्के के नीचे आ गई जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। वहीं घटना में उसका लडक़ा ट्रक के नीचे फंस गया जिसे मिट्टी खोदकर गंभीर अवस्था में ग्रामीणों ने अस्पताल पहुंचाया। घटना के बाद आक्रोशित भीड़ ट्रक का डीजल टंकी फोडक़र डीजल निकालकर ट्रक में छिडक़कर आग लगा दी और ट्रक के नीचे दबे शव को सडक़ पर रखकर चक्का जाम कर दिया।
घटना की सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस के साथ जिलेभर की काफी संख्या में पुलिस घटनास्थल पहुंची और आक्रोशित भीड़ को काफी समझाने का प्रयास किया किंतु पुलिस की एक ना चली। वहीं ट्रक धू-धूकर जलता रहा। आग लगने के बाद घटना की सूचना फायर ब्रिगेड को दी गई। सूचना मिलते ही नगर सेना व एसईसीएल की फायर ब्रिगेड दोनों मौके पर पहुंच गई किंतु आक्रोशित भीड़ के सामने ट्रक को आग से बचाने का प्रयास असफल रहा।
इस दौरान एसडीएम पुष्पेंद्र शर्मा नायब तहसीलदार अमित केरकेट्टा एडिशनल एसपी हरीश राठौर सीएसपी जेपी भारतेंदु सहित जयनगर टीआई दीपक पासवान सहायक उप निरीक्षक उमेश सिंह जी बनर्जी सहित जिले भर के काफी संख्या में पुलिस मौके पर डटी रही। एसडीएम पुष्पेंद्र शर्मा ने मृतक के परिजनों को 25000 तथा दोनों घायलों को तत्काल 10-10 हजार सहायता राशि देने की बात कही। विश्रामपुर पुलिस ने आरोपी ट्रक चालक के विरुद्ध मामला दर्ज कर जांच प्रारंभ कर दी है वहीं ट्रक चालक फरार हो गया है।
ग्राम कुरुवा के पूर्व सरपंच पुनेशवर सिंह सहितभाजपा नेता सत्येंद्र राजवाड़े, एनएन एस यू आई के जाके श राजवाड़े ने आरोप लगाया कि एसईसीएल प्रबंधन के लापरवाही के कारण क्षेत्र में आए दिन दुर्घटनाएं घट रही है। रेहर गायत्री केतकी खदान के इस मार्ग में सडक़ की चौड़ाई काफी कम है। इस संबंध में अनेकों बार लिखित एवं मौखिक कालरी प्रबंधन से चर्चा हुआ। हर बार कालरी प्रबंधन इस मार्ग को चौड़ीकरण करने का आश्वासन देकर शांत बैठ जाता है। जब भी कोई घटना होती है तो प्रबंधन जरूर जाग जाता है और वहीं घटना शांत होने पर प्रबंधन को दिए गए वादों को निभाना भूल जाता है।
प्रबंधन की लापरवाही के कारण खदान मार्ग में अब तक लगभग एक दर्जन से अधिक घटनाएं हो चुकी हैं जिसमें कई लोगों ने अपनी जान गवाई है किंतु प्रबंध न का कुंभकरणी नींद नहीं खुली। ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि अगर जल्द ही इस मार्ग का चौड़ीकरण शुरू नहीं किया गया तो इसका खामियाजा कालरी प्रबंधन को भुगतना पड़ेगा। ग्रामीणों का गुस्सा कभी भी फूट सकता है जिसमें कालरी प्रबंधन जिम्मेदार होगा।