रायगढ़
सडक़ चौड़ीकरण के लिए कम से कम तोडफ़ोड़ का आश्वासन
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायगढ़, 14 फरवरी। श्याम मंदिर के सामने कार्यक्रम स्थल को लेकर कल हुए बवाल के बाद कलेक्टर ने यथा स्थिति कायम रखने के लिए निगम आयुक्त को निर्देशित किया। श्याम बागची के नाम से इस जमीन का मंदिर पिछले 20 सालों से उपयोग कर रहा है और पट्टे की मांग की जा रही हैं।
कल अचानक निगम ने बेजा कब्जा हटाने के नाम पर यहां सब्जी पसरावालों को बैठा दिया जिसका मंदिर के कार्यकत्ताओ ने विरोध किया और कलेक्टर ने शाम को बुलाई गई बैठक में भी जमीन को नए सरकारी नियमों के तहत 151 फिसदी ज्यादा दर पर मंदिर को दिए जाने की मांग की इसके लिए जून में ही मंदिर ट्रस्ट द्वारा आवेदन दिया जा चुका था जो लंबित था। निगम से जब कलेक्टर ने पूछा तो वे स्थिति स्पष्ट नहीं कर सकें जिसके बाद कलेक्टर भीम सिंह ने खुद विवादित स्थल का अवलोकन करने का निर्णय लिया और मंदिर के दावे को सही पाने पर मैदान पर कल लगाए गए पसरो को हटाने के आदेश दिये जिसका लोगों ने स्वागत किया हैं।
वैकल्पिक मार्ग पर विचार को भी तैयार नही निगम
कल शाम हुई इस बैठक में सुभाष चौक, गांधी प्रतिमा रामनिवास टाकिज चौक के लोगों ने भी सडक़ो के चौड़ीकरण के लिए मकानों को तोड़े जाने का विरोध किया लोगों का कहना था की जिन मकानों पर मार्किंग की गई हैं वे 1950 से पुरानी पद्धति से बने हुए हैं जिसमें छेड़छाड़ करने से मकान के गिरने का खतरा हैं उन्होनें सडक़ो पर लगने वाले जाम से निजात पाने के लिये वैकल्पिक रास्तो व उपाए पर भी विचार किए जाने की मांग की जिस पर निगम ने कोई ध्यान नहीं दिया लेकिन कलेक्टर ने सभी मकानों का व्यापक सर्वे कराने व कम से कम तोड़ फोड़ करने का आश्वासन लोगों को दिया। इस मामले में सबसे बडा़ मुद्दा वैकल्पिक मार्ग का हैं जिस पर निगम विचार करने को तैयार ही नहीं हैं। जबकि इन सुझाव पर अमल किया जाए तो रामनिवास टाकिज से लेकर गांधी प्रतिमा व पुराने शनि मंदिर से सुभाष चौक की ट्रेफिक समस्या को दूर किया जा सकता हैं आश्चर्य की बात तो यह है कि निगम के आला अधिकारियों ने इन सुझावो पर कलेक्टर को भी अंधेरे में रखा जबकि कलेक्टर शहर को व्यवस्थित व सुंदर बनाने का हर संभव कोशिश कर रहें हैं लेकिन कुछ लोग निगम अमले से सांठगांठ कर अपना उल्लू सीधा करने का प्रयास कर रहें हैं वे नहीं चाहते कि समस्या का शांतिपूर्ण हल निकलें ऐसे लोगों का ऐजेंडा प्रशासन व लोगों के बीच टकराव पैदा करना हैं।