राजनांदगांव
राजनांदगांव, 1 मार्च। ग्राम कांकेतरा में दो दिवसीय मानस गान प्रतियोगिता का शुभारंभ राजगामी संपदा न्यास अध्यक्ष विवेक वासनिक ने भगवान श्रीराम के तैलचित्र पर पूजा-अर्चना कर किया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि श्री वासनिक का स्वागत समिति द्वारा किया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते श्री वासनिक ने कहा कि रामचरित मानस हमें जीने की कला सिखाती है। पूरे जीवन का सार हमें रामचरित मानस से मिलता है। श्रीराम का जीवन पवित्र है, चरित्र की प्रधानता का उल्लेख रामचरित मानस में है। मनुष्य अगर अपने जीवन में श्रीराम के पावन चरित्र को उतारता है तो उसका जीवन धन्य हो जाता है, निश्चित ही वह मनुष्य अपने जीवनकाल में उन्नति के शिखर पर होगा। रामायण के अनेक प्रसंगों में हमें निरंतर जनसेवा की प्रेरणा मिलती है।
श्री वासनिक ने कहा कि राम के चरित्र को जीवन में आत्मसात करना ही सच्ची राम भक्ति है। भगवान श्रीराम मर्यादा पुरूषोत्तम थे, राम के जन्म से लेकर उनका पूरा जीवन माता-पिता, गुरू व बड़ों का सम्मान शालीनता, सरलता, सहजता में समर्पित रहा है। श्रीरामचंद्र भगवान के एक गुण को हम धारण करेंगें तो हमारा जीवन सार्थक हो जाएगा।