दुर्ग

कोरोना से लडऩे के लिए दुर्ग की हरसंभव मदद करेंगे
04-Apr-2021 5:44 PM
कोरोना से लडऩे के लिए दुर्ग की हरसंभव मदद करेंगे

वीसी के जरिए जुड़े ताम्रध्वज, रुद्र कुमार-वोरा भी रहे मौजूद

सिंहदेव ने की दुर्ग जिले में कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्ष

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 4 अप्रैल।
जिले में कोविड संक्रमण की स्थिति एवं इसके रोकथाम की रणनीति को लेकर स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने शनिवार को सर्किट हाउस में विस्तृत समीक्षा ली। समीक्षा में पीएचई मंत्री गुरु रुद्र कुमार भी मौजूद रहे एवं गृह मंत्री  ताम्रध्वज साहू वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े। 

बैठक में मंत्री श्री सिंहदेव ने कहा कि स्थिति से निपटने के लिए आपको किस तरह के अतिरिक्त संसाधन की जरूरत है। डीएमएफ फंड और अन्य फंड का किस तरह से कोरोना संक्रमण को थामने उपयोग किया जा सकता है आपका फीडबैक लेने यह बैठक बुलाई गई है। उन्होंने कहा कि हमारा उद्देश्य केवल तात्कालिक रूप  से राहत  पहुंचाना नहीं है अ ितु ऐसा सिस्टम भी तैयार करते चलना है, जिससे कोरोना के कुछ और वेव आने की दशा में भी हम इसे रोकने के लिए  प्रभावी रूप से तैयार रहें।

 उन्होंने कहा कि आक्सीजन सिलेंडर की अतिरिक्त उपलब्धता की दिशा में काम करें। यह देखा गया है कि कोमार्बिड और बुजुर्ग लोगों का आक्सीजन लेवल तेजी से कम हो जाता है। ऐसे में कोविड बेड की संख्या बढ़ाते रहने की जरूरत है। भविष्य में संक्रमण बढऩे की आशंका को देखते हुए भी तैयार रहें। उन्होंने कहा कि दुर्ग जिले में संक्रमण को रोकने के लिए हर स्तर  पर कार्य किया जाएगा एवं मदद की जाएगी। बैठक में गृह मंत्री ने जिले में इलाज की सुविधा का इंफ्रास्ट्रक्चर तेजी से मजबूत करने  पर जोर दिया ताकि कोरोना संक्रमण पर  पूरा काबू पाया जा सके। 

पीएचई मंत्री गुरु रुद्र कुमार ने कहा कि वैक्सीनेशन, टेस्टिंग और ट्रेसिंग इन तीन चीजों  पर युद्धस्तर पर काम होते रहना चाहिए। बैठक में विधायक अरुण वोरा भी उ स्थित थे। उन्होंने कहा कि जिले में आक्सीजन बेड की व्यवस्था निरंतर बढ़ाते रहने एवं इसी के अनुरू  विशेषज्ञ चिकित्सकों की संख्या बढ़ाने एवं साथ ही संख्या के मुताबिक  र्याप्त नर्सिंग स्टाफ  रखने से समस्या के समाधान की दिशा निकलेगी। बैठक में कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे ने कहा कि चंदूलाल हास्पिटल में लगातार आक्सीजन बेड बढ़ाए जा रहे हैं। होम आइसोलेशन में लोगों को कारगर रूप से इलाज सुनिश्चित करने कोविड बेड बढ़ाए गए हैं।  बैठक में दुर्ग महा ौर धीरज बाकलीवाल भी उ स्थित थे।

लक्षण उभरते ही टेस्ट कराएं. मंत्री ने कहा कि कोरोना संक्रमण में गंभीर स्थिति से लोगों को बचाने के लिए बहुत जरूरी है कि वे लक्षण उभरते ही टेस्ट कराएं। कई बार लोग इसमें विलंब कर देते हैं। आक्सीजन सैचुरेशन की स्थिति बिगडऩे  पर स्थिति गंभीर होती है। उन्होंने कहा कि लक्षण उभरते ही मरीज स्वयं को आइसोलेट कर दे और टेस्ट करा ले। इससे  रिवार के अन्य लोगों को फैलने की आशंका नहीं होगी।

वैक्सीनेशन के बाद भी रखें सावधानी. मंत्री ने कहा कि कोरोना के टीका लगने के 70 दिनों के बाद इसके  प्रति प्रतिरोधक क्षमता विकसित होगी। इसके बावजूद कोरोना हो सकता है, लेकिन टीके से मिले  प्रतिरोध के चलते इससे लडऩे की क्षमता कई गुना बढ़ जाती है। उन्होंने कहा कि इसलिए जरूरी है कि मास्क और सैनिटाइजेशन को हमेशा के लिए अपनायें। उन्होंने जैन संतों का उदाहरण दिया। उन्होंने कहा कि जैन संतों की जीवन शैली में देखियेए ऐसी शैली से कोरोना जैसी बीमारियाँ दूर रहती हैं।
 

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