बस्तर
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
जगदलपुर, 14 मई। आम आदमी पार्टी प्रदेश अध्यक्ष कोमल हुपेंडी के आह्वान पर पूरे प्रदेश में आज केंद्र सरकार व राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए वर्चुअल प्रदर्शन किया गया। उक्त बातें प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बस्तर जिला अध्यक्ष तरुणा साबे बेदरकर ने बताया कि जिस प्रकार केंद्र सरकार काम कर रही है, उससे ये साबित होता है कि देश व देश की जनता से उनका कोई सरोकार नहीं है। छत्तीसगढ़ में रासायनिक खादों के दाम में बेतहाशा बढ़ोतरी हो गई है। केंद्र के रसायन एवं उर्वरक मंत्रालय (केमीकल एंड फर्टीलाइजर मिनीस्ट्री) के अंतर्गत आने वाले इफको ने खाद के दामों में लगभग डेढ़ गुना की वृद्धि की है। 12 सौ रुपये वाले डीएपी की कीमत बढक़र 19 सौ रुपये हो गई है ।
तरुणा ने आगे कहा कि अब डीएपी के मूल्य में लगभग 58 फीसद की एकाएक वृद्धि से किसान हैरान हैं। उन्होंने कहा कि वर्ष 2020 खरीफ सीजन में डीएपी खाद किसानों को 1150 रुपये प्रति बोरी की दर से व रबी सीजन 2020-21 में 1200 रुपये प्रति बोरी की दर से दी गई थी। अब ये 1900 रुपये हो गई है। इसी तरह रासायनिक खाद एनपीके के दाम में भी प्रति बोरी 565 रुपये की वृद्धि की गई है।
अब यह खाद किसानों को 1185 रुपये प्रति बोरी के स्थान पर 1747 रुपये प्रति बोरी देकर खरीदना होगा। सिंगल सुपर फास्फेट के सभी प्रकार के खादों के दाम में प्रति बोरी लगभग 36 रुपये की बढ़ोतरी हुई है। रासायनिक खाद एमओपी के दाम में भी प्रति बोरी 150 रुपये की वृद्धि की गई है। इसका दाम 850 रुपये प्रति बोरी से बढ़ाकर 1000 रुपये प्रति बोरी कर दिया गया है।
आप नेता समीर खान ने आक्रोशित होकर कहा कि बस्तर में हाल ही में किसान ने बढ़ते खाद के दामों को लेकर और कर्ज की वजह से आत्महत्या कर ली थी। कोरोना की वजह से पहले ही आम इंसान और साथ-साथ किसानों के हालत खराब है। ऐसे में खाद के दामों में तेजी से वृद्धि करने से किसान मुसीबतों के दौर से गुजर रहे हैं। ऐसे में केंद्र सरकार को बढ़ाए हुए दामों को किसानों के हित को देखते हुए वापस जल्द लेना चाहिए और राज्य की भूपेश सरकार को किसानों को खाद पर सब्सिडी देना चाहिए, जिससे किसानों को राहत मिल सके।
आम आदमी पार्टी राज्य सरकार से मांग करती है कि छत्तीसगढ़ के लगभग सभी जिलों के विभिन्न सोसाइटियों में तथा व्यापारियों को कम रेट में मार्च में ही खाद दिया जा चुका है। अभी इन खादों की कीमत सोसाइटी में 1150 रुपये है। इसकी बोरी में एमआरपी 1200 रुपए का है। इसी तरह मार्च में ही व्यापारीगण खाद कम रेट में खरीद कर अपने गोदामों में रख चुके हैं, जिसे वे अभी खरीफ फसल ने बेचेंगे। आम आदमी पार्टी की यह मांग है कि राज्य सरकार इन सोसाइटी एवं व्यापारियों के लिए आदेश जारी करें कि कोई भी सोसाइटी या व्यापारी अपने पुराने खरीद के खाद को 1200 रुपए एम आर पी से अधिक नहीं बेच सकते । यदि इस तरह का आदेश सरकार जारी नहीं करेगी तो बाजार में खाद की कालाबाजारी शुरू हो जाएगी जो कि किसानों के लिए इस कोरोना काल में घातक होगा, छत्तीसगढ़ की जनता ने भूपेश सरकार को चुना है।
आम आदमी पार्टी के समीर खान ने कहा है कि खाद के बढ़े दामों को लेकर आम आदमी पार्टी ने आज प्रदेशव्यापी वर्चुअल उग्र प्रदर्शन किया, जिसको सभी किसान भाईयों ने पूरा समर्थन दिया है।