सुकमा

रात के अंधेरे में नाव से सीमा पार हो रहा तेंदूपत्ता
22-May-2021 4:31 PM
रात के अंधेरे में नाव से सीमा पार हो रहा तेंदूपत्ता

'छत्तीसगढ़' संवाददाता
दोरनापाल, 22 मई।
सुकमा जिले के सीमावार्ती इलाकों में इन दिनों तेंदूपत्ता का अवैध परिवहन की शिकायतें मिल रही हैं। यह अवैध कारोबार रात के अंधेरे मेंं छत्तीसगढ़ की सीमा से लगे ओडिशा में तेंदूपत्ता सप्लाई की जा रही है। ट्रैक्टर व अन्य वाहनों से ओडिशा के ठेकेदार नदी पार कर रहे हैं।

'छत्तीसगढ़' की टीम ने बीते 2 हफ्ते पहले इसकी सूचना कोंटा रेंजर को फोन पर दी थी। जिस पर कोंटा रेंजर द्वारा फील्ड में ऐसा कुछ भी न होना बताते हुआ निगरानी करवाने की बात कही गई थी।

कोंटा और ऐर्राबोर वन प्रबंधन समिति में बड़े पैमाने पर तेंदूपत्ता का अवैध परिवहन करने का मामला सामने आया है, जिसमें फंदीगुड़ा, वंजामगुड़ा, ओडिनगुड़ा समेत आधा दर्जन फड़ों से तेंदूपत्ता की अवैध सप्लाई की जा रही है। मामले की सूचना मिलने पर जब कोंटा समिति के कुछ फड़ोंं की पड़ताल की गई तो रात के अंधेरे में चल रहे काले कारोबार का पर्दाफाश हुआ। 

आरोप है कि वन प्रबंधन समिति के जिम्मेदारों की निगरानी में ओडिशा सीमा से लगे शबरी नदी किनारे करीब आधा दर्जन से ज्यादा अवैध फड़ संचालित किये जा रहे हैं। शाम ढलते ही ठेकेदारों द्वारा चोरी छुपे तेंदूपत्ता नावों के माध्यम से पार कर रहे हैं।

ओडिशा के कारोबारियों को रही है अवैध सप्लाई

रात के अंधेरे में आ रहा यह अवैध तेंदूपत्ता ओडिशा के बीड़ी कारोबारियों को सप्लाई होता है। इसके लिए कारोबारी पहले से ही इन गांवों में जाकर पत्ते के लिए संग्राहकों को एडवांस पेमेंट देते हैं। ऐसे में यदि वन विभाग की टीम अवैध परिवहन पर कार्रवाई करती भी है तो उनके हाथ केवल ये मजदूर ही लगते हैं, जबकि यह सप्लाई बड़े कारोबारियों के इशारे पर होती है।

ग्रामीणों ने बताया कि शबरी नदी किनारे ओडिशा के ठेकेदारों ने फड़ बना कर सभी ग्रामीणों का तेंदूपत्ता खरीदा गया। उसके बाद नाव के सहारे तेंदूपत्ता को ओडिशा की ओर पार कर दिया गया।

ग्रामीणों के अनुसार एक गड्डी के एवज में उन्हे 4 रूपये दे रहे हैं। तेंदूपत्ता का भुगतान भी पूरा नहीं दिया गया है। ग्रामीणों के पास से ठेकेदार द्वारा दी गई पर्ची भी बरामद हुई है, जिसमें मेसर्स का नाम लिखा हुआ है जिसके द्वारा तेंदूपत्ता की खरीदी की जा रही है।
इस संबंध में सागर जाधव, डीएफओ सुकमा का कहना है कि सीमावर्ती इलाकोंं में गड़बड़ी की शिकायतें मिली थी, जिसके बाद उन इलाकों में टीम भेजी गई थी। अन्य राज्यों के ठेकेदार तेंदूपत्ता नहीं खरीद सकते। इस संबंध में ओडिसा के मलकानगिरी वन विभाग को भी सूचना दिया गया है। टीम बनाकर इन इलाकों की निगरानी की जा रही है।

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