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क्रांति कुमार
कॉरपोरेट जगत ने कहा ब्रिटेन की प्रधानमंत्री मार्गरेट थैचर आयरन लेडी हैं... बड़े बड़े अक्षरों में लिखो... पूंजीपतियों ने अख़बार मैगज़ीन हर न्यूज़ चैनल पर प्रोपेगेंडा चलाया मार्गरेट थैचर आयरन लेडी हैं. प्रधानमंत्री बनने के तीन साल बाद 1983 में मार्गरेट थैचर ‘रिडली योजना’ पर अमल करना शुरू कर देती हैं. 20 कोयला खदानों का निजीकरण कर देती हैं. क्या है ‘रिडली योजना’?. निकोलस रिडली कंज़र्वेटिव पार्टी का एमपी था. 1978 में उसने गुप्त प्लान तैयार किया, ब्रिटेन की सारी सरकारी इकाई कंपनियों को निजी हाथों में बेचना. मजदूर यूनियन को कमजोर करना, उनसे हड़ताल करने का अधिकार छीनना... इसी को ‘रिडली योजना’ कहा जाता है. क्या आप जानते हैं 24 सितंबर 2020 को विपक्ष राज्यसभा के बाहर किसान अध्यादेश के खिलाफ आंदोलन करने का नाटक कर रहे थे और राज्यसभा के भीतर नरेंद्र मोदी सरकार ने कुल सात बिल आराम से पारित कर लिया? सभी बिल मजदूर विरोधी बिल थे. एक बिल में मजदूर कामगार से हड़ताल करने का उनका मौलिक अधिकार छीन लिया गया है. 300 से अधिक मजदूरों वाली कंपनी अब सरकार से बिना पूछे कामगारों को निकाल सकती है और अब हड़ताल करने के लिए 14 दिन का नोटिस देना होगा. ताकि कंपनी 14 दिनों के भीतर नए कामगारों को भर्ती कर विद्रोही कामगारों को निकाल सके. हैं न मजेदार बात.... पक्ष और विपक्ष दोनो मिलकर देश को उल्लू बना रहे हैं।