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सेमीफाइनल में हारे लक्ष्य, कांस्य पदक के मुकाबले में खेलेंगे
04-Aug-2024 8:14 PM
सेमीफाइनल में हारे लक्ष्य, कांस्य पदक के मुकाबले में खेलेंगे

पेरिस, 4 अगस्त। भारत के लक्ष्य सेन दोनों गेम में मजबूत बढ़त बनाने के बावजूद रविवार को यहां पेरिस ओलंपिक की बैडमिंटन पुरुष एकल स्पर्धा के सेमीफाइनल में डेनमार्क के दूसरे वरीय और गत चैंपियन विक्टर एक्सेलसन के खिलाफ सीधे गेम में हार गए और अब कांस्य पदक के मुकाबले में खेलेंगे।

ओलंपिक सेमीफाइनल में जगह बनाने वाले पहले भारतीय पुरुष बैडमिंटन खिलाड़ी लक्ष्य को रियो ओलंपिक के कांस्य और तोक्यो ओलंपिक के स्वर्ण पदक विजेता एक्सेलसन के खिलाफ 54 मिनट में 20-22, 14-21 से हार का सामना करना पड़ा।

दो बार के पूर्व विश्व चैंपियन और दुनिया के पूर्व नंबर एक खिलाड़ी एक्सेलसन के खिलाफ लक्ष्य की नौ मैचों में यह आठवीं हार है।

दुनिया के 22वें नंबर के खिलाड़ी लक्ष्य अब सोमवार को कांस्य पदक के मुकाबले में मलेशिया के सातवें वरीय ली जी जिया से भिड़ेंगे जिन्हें थाईलैंड के आठवें वरीय कुनलावुत वितिदसार्न के खिलाफ एक अन्य सेमीफाइनल में 14-121, 15-21 से हार झेलनी पड़ी।

फाइनल एक्सेलसन और वितिदसार्न के बीच होगा।

लक्ष्य सेमीफाइनल में अहम मौकों पर दबाव झेलने में नाकाम रहे जिसका उन्हें खामियाजा भुगतना पड़ा। पहले गेम में उनके पास तीन गेम प्वाइंट थे लेकिन उन्होंने लगातार पांच अंक गंवाकर गेम भी गंवा दिया।

दूसरे गेम में भी लक्ष्य ने 7-0 की बेहद मजबूत बढ़त बना रखी थी लेकिन इसके बाद डेनमार्क के खिलाड़ी ने अगले 28 में से 21 अंक जीतकर गेम और मैच अपने नाम कर लिया और ओलंपिक में लगातार तीसरा पदक सुनिश्चित किया।

लक्ष्य अब ली को हराकर ओलंपिक पदक जीतने वाला पहला भारतीय पुरुष बैडमिंटन खिलाड़ी बनने के इरादे से उतरेंगे।

लक्ष्य ने मैच के बाद प्रसारणकर्ता से कहा, ‘‘अगर मैं पहला गेम जीत लेता तो मेरे पास मैच जीतने का बेहतर मौका होता। दूसरे गेम में भी मैंने अच्छी शुरुआत की लेकिन बढ़त बरकरार नहीं रख सका।’’

पहले गेम में 20-17 से आगे होने के बाद इसे गंवाने के बारे में लक्ष्य ने कहा, ‘‘जैसे-जैसे खेल आगे बढ़ा उसने और अधिक आक्रमण करना शुरू कर दिया और मैं निष्क्रिय हो गया, केवल बचाव कर रहा था। मुझे जोखिम लेना चाहिए था तथा और अधिक आक्रमण करना चाहिए था।’’

इस तरह एक्सेलसन ने ओलंपिक में अपने दूसरे लगातार फाइनल में जगह बनाई और अब वह दो बार स्वर्ण पदक जीतने वाले चीनी के महान खिलाड़ी लिन डैन की बराबरी करने से एक जीत दूर हैं।

विश्व चैंपियनशिप के पूर्व कांस्य पदक विजेता 22 साल के लक्ष्य ने मुकाबले की आक्रामक शुरुआत की लेकिन गलतियां भी की जिससे एक्सेलसन ने कुछ आसान अंक जुटाकर 3-0 की बढ़त बनाई।

एक्सेलसन ने अपनी लंबाई का फायदा उठाकर कोर्ट पर अच्छी कवरेज हासिल की जिससे लक्ष्य की परेशानी बढ़ी। भारतीय खिलाड़ी ने दमदार स्मैश से कुछ अच्छे अंक जुटाए और 2-5 से पिछड़ने के बाद स्कोर 5-5 किया।

उत्तराखंड के अल्मोड़ा के लक्ष्य ने क्रॉस कोर्ट स्मैश से 7-6 के स्कोर पर मैच में पहली बार बढ़त बनाई। एक्सेलसन को लक्ष्य के स्मैश के सामने लगातार परेशानी हो रही थी जिससे भारतीय खिलाड़ी ब्रेक तक 11-9 की बढ़त बनाने में सफल रहा।

दबाव के बीच एक्सेलसन ने लगातार गलतियां की जिसका फायदा उठाकर लक्ष्य ने लगातार छह अंक के साथ 15-9 की मजबूत बढ़त बनाई।

एक्सेलसन ने वापसी की कोशिश करते हुए स्कोर 13-17 और फिर लगातार चार अंक के साथ 17-18 किया।

लक्ष्य ने 19-17 के स्कोर पर क्रॉस कोर्ट स्मैश के साथ तीन गेम प्वाइंट हासिल किए। लक्ष्य ने दो शॉट बाहर मारकर तीनों गेम प्वाइंट गंवा दिए जिससे स्कोर 20-20 हो गया।

लक्ष्य ने फिर बाहर शॉट बाहर मारकर एक्सेलसन को बढ़त दी और फिर नेट पर शॉट मारकर गेम 20-22 से गंवा दिया। भारतीय खिलाड़ी ने इस तरह अंतिम चार अंक अपनी गलती से गंवाकर 29 मिनट में गेम एक्सेलसन की झोली में डाला।

दूसरे गेम में लक्ष्य ने शानदार शुरुआत करते हुए 7-0 की बढ़त बनाई। तीस साल के एक्सेलसन दूसरे गेम में थके हुए नजर आए जबकि लक्ष्य की तेजी बरकरार थी।

लक्ष्य ने इस बीच तीन शॉट नेट पर मारे जबकि एक्सेलसन ने भी कुछ दमदार स्मैश के साथ लगातार चार अंक के साथ स्कोर 7-8 किया। दबाव के बीच लक्ष्य का खेल धीमा हुआ लेकिन भारतीय खिलाड़ी ब्रेक तक 11-10 की मामूली बढ़त बनाने में सफल रहा।

लक्ष्य के बाहर शॉट मारने पर एक्सेलसन ने 13-12 के स्कोर पर गेम में पहली बार बढ़त बनाई। डेनमार्क के खिलाड़ी ने 20 में से 15 अंक जीतकर स्कोर 15-12 किया।

एक्सेलसन ने दमदार स्मैश के साथ 17-13 की बढ़त बनाई और फिर स्कोर 19-14 किया। लक्ष्य ने नेट पर शॉट मारकर एक्सेलसन को छह मैच प्वाइंट दिए और फिर बाहर शॉट मारकर मैच गंवा दिया।

सेन ने कहा, ‘‘मैं इस मैच से सीख और सकारात्मकता लेकर कांस्य पदक मैच में अपना शत प्रतिशत दूंगा।’’

उन्होंने कहा, ‘‘मेरे माता-पिता, भाई (चिराग सेन) मेरा समर्थन करने के लिए स्टैंड में मौजूद थे। मेरी मां दोपहर और रात का खाना बनाकर मुझे भेज रही हैं। मुझे दर्शकों से बहुत समर्थन मिला है और उम्मीद है कि वे कल कांस्य पदक मैच के लिए भी आएंगे।’’ (भाषा)

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