खेल
ऑस्ट्रेलिया के पूर्व दिग्गज क्रिकेटर एंड्रयू साइमंड्स का शनिवार देर रात निधन हो गया. बताया जा रहा है कि 46 वर्षीय साइमंड्स की कार क्वींसलैंड के टाउन्सविले में दुर्घटना का शिकार हो गई थी. साइमंड्स के निधन के बाद क्रिकेट जगत और उनके फैंस में शोक की लहर है. लेकिन अब साइमंड्स की मौत पर उनकी बहन ने सवाल खड़े किए हैं.
साइमंड्स की बहन ने उठाए सवाल
ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटर एंड्रयू साइमंड्स की शनिवार को एक कार दुर्घटना में मौत से आखिरी घंटे पहले रहस्य और गहरा हो गया, जब उनकी बहन ने डेलीमेल डॉट को डॉट यूके को बताया कि परिवार को पता नहीं था कि हादसे की रात साइमंड्स सुनसान सड़क पर क्या कर रहे थे. क्वींसलैंड के टाउन्सविले के पश्चिम में एक कार दुर्घटना में पूर्व ऑलराउंडर की मौत हो गई. वह अपने पीछे पत्नी लौरा और दो बच्चों को छोड़ गए हैं.
भाई को किया याद
रिपोर्ट में कहा गया है कि उनकी बहन लुईस साइमंड्स ने कहा कि वह चाहती हैं कि वह अपने भाई के साथ बस एक और दिन समय बिता सकें. उन्होंने आगे कहा कि मेरे भाई वापस आ जाओ और परिवार के साथ समय बिताओ. लुईस के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि, 'दुर्घटना बहुत भयानक थी. हम नहीं जानते कि आंद्रे साइमंड्स वहां क्या कर रहे थे. हादसे में साइमंड्स के दो कुत्ते बच गए. रिपोर्ट के अनुसार, दो स्थानीय लोग बबेथा नेलीमन और वायलन टाउनसन दुर्घटना के कुछ ही मिनटों के भीतर घटनास्थल पर पहुंच गए और उन्होंने पूर्व क्रिकेटर को गाड़ी में लहुलुहान पाया.'
कुत्ते को था साइमंड्स से प्यार
दोनों ने साइमंड्स के पास जाने की कोशिश की, लेकिन एक कुत्ते ने व्यक्ति को पास नहीं जाने दिया. रिपोर्ट में नेलीमन के हवाले से कहा गया है, 'उनमें से एक कुत्ता बहुत संवेदनशील था और उन्हें छोड़ना नहीं चाहता था. जब भी हम उन्हें अस्पताल ले जाने या उनके पास जाने की कोशिश करते थे, तो वह सिर्फ हमपर गुर्राता था.' नेलीमन ने कहा, 'मेरे साथी ने साइमंड्स को कार से बाहर निकालने की कोशिश की ताकि उन्हें ठीक से बिठाया जा सके. गाड़ी पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई थी.' (zeenews.india.com)
दिल्ली कैपिटल्स और पंजाब किंग्स के ख़िलाफ़ मुक़ाबला दोनों टीमों के लिए बेहद अहम था, जीत हासिल करने पर प्ले ऑफ़ में पहुंचने का दावा मज़बूत होना था.
लिहाजा दोनों टीमों का इरादा यहां ज़ोरदार प्रदर्शन करने का था. दोनों टीमें अपनी अपनी रणनीति को लेकर कितनी तैयारी के साथ उतरी हैं, इसकी झलक मैच के पहले ओवर की पहली ही गेंद पर देखने को मिली.
पंजाब के कप्तान ने नए गेंद से गेंदबाज़ी की कमान, इस सीज़न में ज़ोरदार छक्के लगाने वाले बल्लेबाज़ और स्पिनर लियम लिविंगस्टोन को थमा दी.
उनको गेंदबाज़ी करते आते देख, नान स्ट्राइकर एंड पर खड़े डेविड वॉर्नर ने स्ट्राइक बदलने का फ़ैसला किया. पहले दाएं हाथ के सरफ़राज़ ख़ान स्ट्राइक पर थे. दाएं हाथ के बल्लेबाज़ की जगह बाएं हाथ के बल्लेबाज़ वॉर्नर को देखकर फ़ील्ड में भी बदलाव करना पड़ा.
लेकिन खेल का रोमांच यही है कि पहली ही गेंद पर डेविन वॉर्नर को अंदाज़ा नहीं रहा है कि गेंद धीमी आने वाली है और वे बैकवर्ड प्वाइंट पर कैच थमा गए. कुछ सेकेंड पहले लिए अपने फ़ैसले पर उन्हें अफ़सोस ज़रूर हुआ होगा.
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लेकिन सरफ़राज़ ख़ान के साथ मिचेल मार्श ने दिल्ली की पारी को संभालना जारी रखा. दूसरे ओवर में किगासो रबाडा जैसे तेज़ गेंदबाज़ की लगातार दो गेंदों पर छक्के जड़कर मार्श ने दिखाया कि वे पूरे फॉर्म में हैं.
इसके बाद बारी सरफ़राज़ की थी, अगले ओवर में सरफ़राज़ ने लगातार तीन गेंदों पर एक छक्का और दो चौके जमा दिए. सरफ़राज़ ख़ान 16 गेंद पर 32 रन बनाने के बाद अर्शदीप सिंह की गेंद पर आउट हुए. राहुल चाहर ने उनका बेहतरीन कैच लपका.
मिचेल मार्श की शानदार बल्लेबाज़ी
एक छोर पर दिल्ली के विकेट गिरने लगे थे लेकिन दूसरी छोर पर मिचेल मार्श जमे रहे. वॉर्नर के बाद लिविंगस्टोन ने ऋषभ पंत को अपना दूसरा शिकार बनाया. दिल्ली के कप्तान पंत महज सात रन बना सके.
इसके बाद लिविंगस्टोन ने रोमन पावेल को भी टिकने नहीं दिया. बल्लेबाज़ी से ख़ासी चर्चा बटोर चुके लिविंगस्टोर ने चार ओवरों में 27 रन देकर तीन विकेट चटकाए.
लेकिन मिचेल मार्श ने बल्लेबाज़ी के लिए मुश्किल पिच पर 48 गेंदों पर 63 रन बटोर कर दिल्ली के स्कोर को 150 के पार पहुंचा दिया. मार्श ने अपनी पारी में तीन छक्के और चार चौके जमाए.
मार्श ने स्पिन और तेज़, दोनों आक्रमण के सामने बेहतरीन खेल दिखाया. यही वजह रही है कि वे पूरे मैच के सबसे बड़े स्कोर साबित हुए.
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अर्शदीप सिंह और किगासो रबाडा के अंतिम दो ओवर में दिल्ली की टीम महज 10 रन जोड़ सकी.
पंजाब के सामने जीत के लिए 159 रनों की चुनौती थी. फ़ॉर्म में चल रहे जॉनी बैरिस्टो और शिखर धवन ने पंजाब को तेज़ शुरुआत देने की कोशिश की. इसी कोशिश में जॉनी बैरिस्टो 15 गेंद पर 28 रन बनाकर आउट हुए.
छठे ओवर की पहली तीन गेंदों पर पंजाब के बल्लेबाज़ों ने दो चौके जमाए. 5.3 ओवरों में पंजाब का स्कोर एक विकेट पर 53 रन था और पंजाब की स्थिति बेहद मज़बूत दिख रही थी.
पंजाब की हार तय करने वाला स्पैल
ओवर की चौथी गेंद पर शार्दुल ठाकुर ने भानुका राजपक्षे को पवेलियन भेज दिया. पांचवीं गेंद पर लिविंगस्टोन ने एक रन लिया और छठी पर गेंद ठाकुर ने शिखर धवन का क़ीमती विकेट झटक लिया.
अगला ओवर फेंकने आए अक्षर पटेल ने तीसरी गेंद पर कप्तान मयंक अग्रवाल को क्लीन बोल्ड कर दिया. महज छह गेंद के भीतर पंजाब ने अपने तीन अहम विकेट गंवा दिए. यहीं से मैच का रुख़ बदलना शुरू हुआ.
हालांकि लिविंगस्टोन की मौजूदगी को देखते हुए पंजाब टीम की उम्मीदें बनी हुई थीं लेकिन अगले ही ओवर में कुलदीप यादव की स्पिन गेंद पर बुरी तरह चकमा खा गए लिविंगस्टोन और विकेट के पीछे पंत ने उन्हें स्टंप करने में कोई चूक नहीं की.
कुलदीप यादव ने इसके बाद हरप्रीत बरार को क्लीन बोल्ड किया. एक विकेट पर 53 रन से पंजाब का स्कोर 67 रन पर छह विकेट हो गया. यानी महज 14 रन के भीतर टीम के पांच अहम विकेट गिरे और इसके बाद पंजाब की टीम वापसी नहीं कर सकी.
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हालांकि युवा बल्लेबाज़ जितेश शर्मा ने संघर्ष पूरा दिखाया और एक समय ऐसा लगने लगा था कि वे टीम को जीत दिला सकते हैं. लेकिन शार्दुल ठाकुर की गेंद पर डेविड वॉर्नर ने एक बेहतरीन कैच लपक कर उनकी पारी पर विराम लगा दिया.
चौथे स्थान पर पहुंची दिल्ली
शर्मा ने 34 गेंदों पर दो छक्के और तीन चौकों की मदद से 44 रन बनाए. उनके आउट होने के बाद पंजाब की रही सही उम्मीदें भी ख़त्म हो गयीं. शार्दुल ठाकुर ने चार ओवरों में 36 रन देकर चार विकेट चटकाए और उन्हें मैन ऑफ़ द मैच आंका गया.
वहीं हार के बाद पंजाब के कप्तान मयंक अग्रवाल ने कहा भी, "पांच ओवर से लेकर दस ओवर के बीच हमारे कई विकेट गिरे और हम ये मैच हार गए."
इस जीत के बाद दिल्ली कैपिटल्स की टीम अंक तालिका में 14 अंकों के साथ चौथे स्थान पर आ गयी है. बैंगलोर के भी 14 अंक हैं. ऐसे में प्ले ऑफ़ की चौथी टीम बनने की होड़ में दोनों टीमें शामिल हैं.
कोलकाता और पंजाब की टीमें भी 12-12 अंकों के साथ इसी स्थान के लिए अभी भी होड़ में हैं.
20 अंकों के साथ गुजरात टाइटंस प्ले ऑफ़ में प्रवेश कर चुकी है. जबकि राजस्थान रॉयल्स और लखनऊ सुपर जाइंट्स 16-16 अंकों के साथ क्रमश: दूसरे और तीसरे पायदान पर बने हुए हैं.
दिल्ली कैपिटल्स का आख़िरी मुक़ाबला 21 मई को मुंबई इंडियंस के साथ होना है, जबकि अंतिम लीग मुक़ाबले के रूप में 22 मई को पंजाब किंग्स की टक्कर सनराइज़र्स हैदराबाद से होगी. (bbc.com)
पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर और अपनी तेज़ गति की गेंदबाज़ी के कारण रावलपिंडी एक्सप्रेस कहे जाने वाले शोएब अख़्तर ने भारत के नए तेज़ गेंदबाज़ उमरान मलिक की गति को लेकर अपनी राय रखी है. इस साल आईपीएल में सनराइजर्स हैदराबाद (एसआरएच) के लिए खेल रहे उमरान मलिक अपनी गति को लेकर चर्चा में हैं. कई पूर्व क्रिकेटरों ने उन्हें भारतीय टीम में जगह देने की वकालत की है. अब शोएब अख़्तर ने स्पोर्ट्सकीड़ा से बातचीत में कहा है कि रिकॉर्ड तो टूटना ही चाहिए. उन्होंने कहा- मुझे ख़ुशी होगी अगर वे मेरा रिकॉर्ड तोड़ देंगे. लेकिन रिकॉर्ड तोड़ते-तोड़ते अपनी हड्डियाँ न तुड़वा बैठें. बस मेरी यही दुआ होगी कि वे फ़िट रहे और घायल न हों. शोएब अख़्तर ने कहा कि उमरान का एक्शन बहुत बढ़िया है. वो ऐसा कर सकते हैं. ये बीसीसीआई को सोचना है कि वो उनका कैसे इस्तेमाल करते हैं.
जम्मू के रहने वाले उमरान मलिक इस आईपीएल की खोज माने जा रहे हैं. उन्होंने इस आईपीएल में 157 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ़्तार से गेंद फेंकी है और कई बार 150 किमी प्रति घंटे की रफ़्तार पार की है. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में सबसे तेज़ गेंद फेंकने का रिकॉर्ड शोएब अख़्तर के नाम है.
उन्होंने 2003 क्रिकेट विश्व कप में 161.3 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ़्तार से गेंद फेंकी थी. दूसरे नंबर पर ऑस्ट्रेलिया के शॉन टेट हैं, जिनके नाम 161.1 किमी प्रति घंटे की रफ़्तार से गेंद फेंकने का रिकॉर्ड है. जबकि तीसरे नंबर पर हैं ऑस्ट्रेलिया के ब्रेट ली. ब्रेट ली के नाम 160.8 किमी प्रति घंटे की गति से गेंद फेंकने का रिकॉर्ड है. (bbc.com)
वि. कुमार
साल 1979 के उस शाम जब प्रकाश पादुकोण ने डेनमार्क के स्वेंद प्री से मात खाई तोभारतीय कैंप में दुख के साथ-साथ असीम गर्व की अनुभूति भी हुई. दरअसल प्रकाश पादुकोण की कप्तानी में भारतीय टीम ने बैटमिंटन के सबसे प्रतिष्ठित टूर्नामेंट थॉमस कप के सेमीफ़ाइनल तक का सफ़र पूरा किया था.
मलेशिया जैसी मज़बूत टीमों को हराकर भारतीय टीम सेमीफ़ाइनल में पंहुची थी जहां उन्हें एक उंची रैंक वाली टीम से हार मिली थी. भारतीय बैडमिंटन के लिए ये अबतक का सबसे गौरवशाली दिन था. 43 साल बाद भारतीय टीम एक बार फिर इतिहास बनाने की कगार पर थी. स्टेज वही थॉमस कप था, लेकिन इस बार एक पायदान ऊपर भारतीय टीम फ़ाइनल में शिरकत कर रही थी.
सेमीफ़ाइल में टीम इंडिया ने डेनमार्क को ही हराया था और दशकों पुराना इंतकाम पूरा हो गया था. लेकिन ये उससे भी बड़ी ट्रॉफ़ी जीतने की घड़ी थी और जैसे ही किदांबी श्रीकांत का स्मैश जॉनाथन क्रिस्टी के बांए ओर गिरा पूरा भारतीय कैंप 'भारत माता की जय' की बोल के साथ श्रीकांत को बधाई देने दौड़ पड़ा.
थॉमस कप को पुरुषों की बैडमिंटन का विश्व टीम चैंपियनशिप भी कहा जाता है. ये चैंपियनशिप सत्तर साल से भी अधिक वर्षों से चली आ रही है. भारत ने इंडोनेशिया को हराया था जो दशकों से विश्व की नंबर एक बैटमिंटन टीम मानी जाती रही है.
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इस जीत को आप इस तरह समझ सकते हैं कि मानो भारतीय फ़ुटबॉल टीम ने वर्ल्ड कप के फ़ाइनल में ब्राज़ील को 3-0 से मात देकर ट्रॉफ़ी पर कब्ज़ा किया हो. या फिर डेविस कप के फ़ाइनल में भारत ने रोजर फ़ेडेरर वाली स्विट्ज़रलैंड को 3-0 से हराया दिया हो.
जीत की लहर बैंकॉक की इंम्पैक्ट एरिना से होते हुए हैदराबाद-दिल्ली-मुंबई की गलियों से गुज़रते हुए ट्विटर की ट्रेंड में शामिल हो गई. ज़ाहिर है, इलॉन मस्क को एक और केस स्टडी मिल गई होगी किस तरह ट्विटर पर इंसानी जज़्बात और दुर्दम जिजीविषा की कहानियां ट्रेंड होती हैं.
भारतीय टीम को पीएम मोदी से लेकर विराट कोहली तक ने बधाई संदेश भेजे और करोड़ों कैश प्राइज़ की घोषणाएं भी शुरु हो गई. 14-बार की थॉमस कप चैंपियन इंडोनेशिया को हराकर इस युवा भारतीय टीम ने इतिहास में नाम लिखवा दिया था. इस ट्रॉफ़ी को जीतने वाला भारत छठा चैंपियन देश बना.
लेकिन 43 साल का ये सफ़र आसान नहीं रहा था. ज़रा नज़र डालते हैं उन चैंपियन खिलाड़ियों पर जिन्होंने भारत को ये अभूतपूर्वजीत दिलाई.
अल्मोड़ा में जन्में लक्ष्य सेन विजेता भारतीय टीम के सबसेयुवा मेम्बर थे. पूरे हफ़्ते उनका सामना उंची रैंक वाले खिलाड़ियों से होती रही और उनके मैच काफ़ी कठिन रहे. फ़ाइनल से पहले वो 3 मैच लगातार हार चुके थे और फ़ाइनल का पहला मैच भी उन्हें ही खेलना था. उनके सामने थे ओलिंपिक के कांस्य पदक विजेता एंथोनी गिन्टिंग.लक्ष्य ने पहला सेट 21-7 से गंवा दिया. लेकिन उन्होंने आत्मविश्वास नहीं खोया और अगले दो सेटों में गिन्टिंग को हराकर भारत को 1-0 की बढ़त दिला दी.
पूर्व विश्व जूनियर नंबर वन लक्ष्य पिछले डेढ़ दशक में भारतीय बैडमिंटन की बढ़तीसाख की एक अहम कड़ी हैं. 2021 के सीनियर वर्ल्ड चैंपियनशिप में उन्होंने ब्रोंज़ जीता था और इसी साल ऑल इंग्लैंड में उन्हें दूसरा स्थान प्राप्त हुआ था.
सात्विक साईराज रानकीरेड्डी और चिराग शेट्टी की जोड़ी टेनिस की भूपति-पेस जोड़ी के जैसी सफलता पाने के क़ाबिल है.जहां सात्विक दमदार स्मैश और पावर-गेम में भरोसा रखते हैं वहीं उत्साह और जोश से भरपूर चिराग पूरा कोर्ट कवर करने में सक्षम हैं और कभी हार ना मानने वाला जिगर रखते हैं.इन दोनों खिलाड़ियों ने इससे पहले इंडियन ओपन में डबल्स का खिताब जीता था. पिछले कुछ समय से ये जोड़ी मैच को करीब लाकर 20-18 के लीड पर भी हार जा रही थी.लेकिन फ़ाइनल के दिन उन्होंने पहला सेट हारकर भी वापसी की. मोहम्मद अहसान और केविन संजया की जानी-मानी जोड़ी के ख़िलाफ़ भारतीय पेयर ने 18-21, 23-21 , 21-19 से जीत हासिल की. इस जीत ने भारतीय टीम को अहम 2-0 की बढ़त दिला दी.
एच एस प्रणॉय
केरल के प्रणॉय को फ़ाइनलमें खेलने की बारी ही नहीं आई लेकिन भारत की इस जीत में उन्होंने शायद सबसे अहम रोल अदा किया. उन्होंने क्वार्टरफ़ाइनलऔर सेमीफ़ाइनल में क़रीबी मुक़ाबलों में भारत को जीत दिलाई.क्वार्टर-फ़ाइनल में उनका सामना मलेशिया के लियोंग जुन हाओ से था. प्रणॉय ने 21-13,21-8 से हाओ को हराया और भारत को कड़े मुक़ाबले में 3-2 से जीत दिलाई.
वहीं सेमीफ़ाइनल में भी भारत और डेनमार्क का स्कोर 2-2 की बराबरी पर था और आख़िरी मैच प्रणॉय को खेलना था. इस मैच में भी प्रणॉय ने शेरदिल प्रदर्शन दिखाया. वर्ल्ड नंबर 13 गेमके के विरुद्ध खेलते हुए प्रणॉय बीच कोर्ट में फिसल गए और एड़ी में चोट खा बैठे. लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और मेडिकल टाइम आउट के बाद 13-21, 21-9, 21-12 से भारत को जीत दिला दी.
2018 में कॉमनवेल्थ चैंपियनशिप में गोल्ड जीतने वाले प्रणॉय के लिए ये दो मैच उनकेजीवन के दो सर्वश्रेष्ठ मैच रहे.
फ़ाइनल में भारत ने 2-0 की बढ़त लेकर इंडोनेशिया को सकते मे ला दिया था. किदांबी श्रीकांत तीसरा मैच खेलरहे थे. श्रीकांत ने जोनाथन क्रिस्टी को अपना क्लास दिखाया और उन्हें 21-15, 23-21से हरा दिया और थॉमस कप भारत के नाम किया. भारतीय पुरुषों में मौजूदा दौर के सबसे सफल खिलाड़ी श्रीकांत वर्ल्ड चैंपियनशिप के अलावा कॉमनवेल्थ और एशियन चैंपियनशिप में भी गोल्ड जीत चुके हैं.
अर्जुन अवार्ड विजेता श्रीकांत के लिए भी थॉमस कम जीतना उनकी सबसेबड़ी उपलब्धि है.
जिन गुरुओं ने रास्ता दिखाया
भारतीय बैडमिंटन की एक अच्छी परंपरा ये रही है कि सई सफल खिलाड़ी बाद में कोच की भूमिका में भी नज़र आएहैं. जिस खेल ने उन्हें सब कुछ दिया, वो उस खेल को कुछ वापस लौटाना चाहते हैं. चाहे वो प्रकाश पादुकोण हो, विमल कुमार या पी गोपीचंद - इन्होंनें बैडमिंटन अकादमी के ज़रिए कई युवाप्रतिभाओं को निखारा है. जहां किदांबी श्रीकांत, प्रणॉय और सात्विक गोपीचंद की अकादमी से हैं तो वहीं लक्ष्य सेन की कोचिंग पादुकोण अकादमी में हुई है. इन दोनों ने इनके अलावा दर्जनों भारतीय खिलाड़ियों की कोचिंग की है जिसकी वजह से बैडमिंटन में भारत काबेंच-स्ट्रेंथ विश्व -स्तर का हो गया है.
बैडमिंटन में भारत को व्यक्तिगत सफलता मिलती रही है. नंदू नाटेकर, प्रकाश पादुकोण,गोपीचंद, साइना नेहवाल, ज्वाला गुट्टा, पीवी सिंधु और मौजूदा टीम के सदस्यों ने अलग-अलग समय पर भारतीय तिरंगे को बुलंद किया है. विश्व की प्रतिस्पर्धाओं मेंभारतीय खिलाड़ियों को गंभीरता से लिये जाने लगा है, लेकिन ये पहली बार है जब भारत ने किसी टीम इवेंट में एक बड़ी सफलता हासिल की है. भारतीय बैडमिंटन के स्वर्णिम काल का आगाज़ हो गया है. (bbc.com)
-अभिजीत श्रीवास्तव
ऐसा शायद ही होता है कि महेंद्र सिंह धोनी की जुबान से किसी एक गेंदबाज़ की इतनी तारीफ़ें सुनने को मिलती हैं लेकिन गुजरात के ख़िलाफ़ मैच हारने के बाद जब ऐसा ही देखने को मिला तो उन सुनने वालों को ज़्यादा आश्चर्य भी नहीं हुआ होगा जिन्होंने इस मुक़ाबले को देखा.
ये गेंदबाज़ आईपीएल में डेब्यू कर रहा था.
मैच के दौरान धोनी ने जब उन्हें गेंद थमाई तो उनका ऐक्शन देख कर लोगों को लसिथ मलिंगा की याद ज़रूर आई होगी. इस गेंदबाज़ का ऐक्शन बिल्कुल मलिंगा से मेल खा रहा था.
धोनी मथीशा पथिराना की बात कर रहे थे जिन्होंने अपनी बॉलिंग ऐक्शन और आईपीएल करियर की पहली ही गेंद पर शुभमन गिल का विकेट लेकर सबका ध्यान अपनी ओर खींचा. इतना ही नहीं पथिराना ने गुजरात के कप्तान हार्दिक पंड्या का विकेट भी लिया.
मैच के बाद धोनी बोले, "ये आखिरी ओवरों के ज़ोरदार गेंदबाज़ हैं. बहुत हद तक मलिंगा से मेल खाते हैं. उनके ऐक्शन के साथ ग़लतियों की गुंजाइश बहुत कम है. स्लिंग ऐक्शन (मलिंगा का ऐक्शन याद कीजिए) की वजह से उन्हें उछाल ज़्यादा नहीं मिलेगा और गेंद सीधी बल्ले पर नहीं आएगी."
धोनी ने बताया कि उनकी गेंदों को हिट करना क्यों मुश्किल होगा.
वे बोले, "इस ऐक्शन की वजह से बल्लेबाज़ आसानी से उनकी गेंद नहीं पढ़ सकेंगे. और उनके पास गेंद को धीमी डालने की कला भी है. तो आपको उन्हें बहुत सावधानी से लगातार देखते रहना होगा. इसका मतलब है कि आपको कुछ अतिरिक्त सेकेंड उनकी गेंद देखने में लगाना होगा और वे तेज़ गति से गेंद डालते हैं तो उनकी गेंदों को लगातार हिट करना बहुत मुश्किल होगा."
धोनी ने मुंबई के ख़िलाफ़ मैच हारने के बाद कहा था कि अगले सीज़न में चेन्नई सुपरकिंग्स में दो और नए तेज़ गेंदबाज़ आ रहे हैं, साथ ही कुछ और तेज़ गेंदबाज़ भी होंगे.
चेन्नई सुपर किंग्स का इस टूर्नामेंट में प्रदर्शन ख़राब रहा है. पिछले साल की चैंपियन इस बार प्लेऑफ़ से पहले ही बाहर है और 9वें पायदान पर खड़ी है.
चेन्नई के पास नए खिलाड़ियों की कमी की बात लगातार होती रही है. तो धोनी भी पिछले कुछ मैचों से ये बोलते आ रहे हैं कि नए खिलाड़ियों को मौका दिया जा रहा है, और रविवार के मैच में ये दिखा भी जब टीम में नारायण जगदीशन, प्रशांत सोलंकी और मथीशा पथिराना को मौका दिया गया.
पथिराना ने जहां अपने 3.1 ओवरों में 24 रन देकर दो विकेट लिए वहीं जगदीशन ने 33 गेंदों पर नाबाद 39 रनों की पारी खेली तो प्रशांत सोलंकी ने अपनी लेगब्रेक स्पिन गेंदबाज़ी से बल्लेबाज़ों को रन नहीं बनाने दिए. सोलंकी ने अपने चार ओवरों में केवल 18 रन ही बनने दिए.
मैच के बाद टीम में नए खिलाड़ियों को मौका देने पर धोनी बोले, "हम लोगों को मौका देने की कोशिश कर रहे हैं. हम कोशिश कर रहे हैं कि अच्छी अंतिम एकादश बने और आने वाले मैच में भी ऐसा ही करने की कोशिश रहेगी."
दिन के पहले मैच में पॉइंट टेबल के लीडर गुजरात टाइटंस ने आसानी से चेन्नई सुपर किंग्स को सात विकेट से हरा दिया और टूर्नामेंट में अपनी 10वीं जीत दर्ज की.
चेन्नई ने चार बदलाव किए और नए खिलाड़ियों को मौका दिया. लेकिन टॉस जीत कर पहले बैटिंग करने का फ़ैसला सही नहीं रहा क्योंकि उसके पांच ही खिलाड़ी आउट हुए लेकिन पिच पर रहने के बावजूद रन नहीं बना सके.
हालांकि उसके अनुभवी ऋतुराज गायकवाड़ ने अर्धशतक जड़ा और 53 रन बनाए लेकिन इसके लिए भी उन्होंने 49 गेंदें लीं. ये भी तब जब मोइन अली ने एक छोटी लेकिन तेज़ पारी खेली और रन रेट को पॉवरप्ले के दौरान अच्छी गति दे रखी थी.
चेन्नई की बल्लेबाज़ी के दौरान कुछ ऐसे मौके देखे गए जब दो रन दौड़ कर लिए जा सकते थे लेकिन बल्लेबाज़ों ने सिर्फ़ एक रन लेना ही बेहतर समझा.
इसकी वजह गर्मी को मान सकते हैं क्योंकि टॉस जीतने के बाद बैटिंग लेते हुए धोनी ने भी कहा था कि बल्लेबाज़ी का फ़ैसला गर्मी में धूप से खिलाड़ियों को बचाने के लिए लिया गया है.
गर्मी के बावजूद गुजरात के गेंदबाज़ों ने पहले गेंदबाज़ी की, अपना पसीना बहाते रहे और चेन्नई के खिलाड़ियों के रन बनाने पर अंकुश लगाने में कामयाब रहे.
शमी-साहा बने गेमचेंजर
गुजरात की ओर से गेंदबाज़ी की बागडोर मोहम्मद शमी ने संभाली. उनकी शुरुआती गेंदें ऋतुराज गायकवाड़ और डेवो कॉनवे के लिए खेलना आसान नहीं थे. पहली ओवर में अपनी गेंद से कॉनवे को बीट कर चुके कॉनवे ने दूसरी ओवर की पहली ही गेंद पर कॉनवे को आउट कर चेन्नई की राह को मुश्किल बना दिया.
इसके बाद जब ऋतुराज गायकवाड़ और नारायण जगदीशन की साझेदारी जमने लगी तो उसे तोड़ने की कोशिश में शमी को गेंद थमाई गई. मैच के चौदहवें ओवर में शमी ने विकेट तो नहीं लिया लेकिन इन दोनों बल्लेबाज़ों की रन गति पर अंकुश ज़रूर लगाया.
इसके बाद शमी ने मैच का आखिरी ओवर डाला और सामने थे महेंद्र सिंह धोनी. शमी ने यहां भी कमाल की गेंदबाज़ी की.
शमी ने पहले धोनी का विकेट लिया और फिर कोई बाउंड्री नहीं बनने दिया और उनके इस आखिरी ओवर में केवल छह रन ही बने.
मैच के बाद शमी ने बताया कि आखिर वो ऐसा क्या कर रहे थे कि चेन्नई के बल्लेबाज़ रन नहीं बना पा रहे थे. वे बोले, "दोपहर के मैच में गेंद को सही लेंथ पर लगातार डालने की ज़रूरत होती है. लेंथ बॉल पर रन बनाना आसान नहीं होता. हमने अपनी योजना के मुताबिक काम किया और यह कामयाब भी रहा."
मैच में दो विकेटों के साथ ही शमी अब पर्पल कैप (सबसे अधिक विकेट लेने) की रेस में 11वें से चौथे स्थान पर पहुंच गए हैं. शमी के आईपीएल 2022 में अब तक 18 विकेटें हैं.
चेन्नई के 133 रन के जवाब में जब गुजरात ने अपनी पारी शुरू की तो रिद्धिमान साहा ने एक छोर संभाल लिया और अंत तक आउट हुए बग़ैर 57 गेंदों पर 67 रन बनाए.
मैच में दो कैच और बल्ले से मैच जिताउ पारी खेलने के लिए साहा 'मैन ऑफ़ द मैच' चुने गए.
मैच के बाद साहा बोले कि "हम एक टीम की तरह खेल रहे हैं और सभी इसमें बराबर योगदान दे रहे हैं."
पहले बल्लेबाज़ी करते हुए राजस्थान की पारी में बटलर का विकेट जल्दी गिर गया. लेकिन उसके बाद राजस्थान की टीम का जो भी खिलाड़ी बल्ला लेकर निकला उसने रन बनाए. राजस्थान की इस पारी में केवल बटलर (02 रन) ही ऐसे खिलाड़ी रहे जिसने ईकाई अंक में रन बनाए.
यहां यशस्वी जायसवाल की तारीफ़ करनी होगी. बटलर के आउट होने के बाद वे एक छोर से लगातार तेज़ गति से रन बना रहे थे.
क्रिकेट बुक की हर शॉट आजमा रहे थे और बाएं हाथ के इस बल्लेबाज़ के शॉट्स देख कर एक वक़्त तो युवराज सिंह याद आ गए.
29 गेंदों में 41 रनों की पारी में 20 वर्षीय यशस्वी जायसवाल ने छह चौके और एक छक्का लगाया.
वहीं अंतिम ओवरों में ट्रेंट बोल्ट ने 9 गेंदों पर नाबाद 17 रन बनाए. बोल्ट ने साथ ही बेहद किफायती गेंदबाज़ी भी की और दो विकेट भी लिए.
फिर गेंद से लगातार दो गेंदों पर दो विकेट लेकर लखनऊ पर ऐसा दबाव बनाया जिससे वो उबर ही नहीं सका. अपने चार ओवरों में बोल्ट ने केवल 18 रन दिए.
32 वर्षीय कीवी तेज़ गेंदबाज़ ट्रेंट बोल्ट को उनके ऑलराउड प्रदर्शन के लिए 'मैन ऑफ़ द मैच' चुना गया.
मैच के बाद संजू सैमसन ने कहा, "हमारे पास अच्छा बैटिंग ऑर्डर है. क्वालिटी प्लेयर्स हैं और वो अपना काम बखूबी कर रहे हैं."
दीपक हुडा को मिली तारीफ़
लखनऊ मैच तो नहीं जीत सका लेकिन उसके मध्यक्रम के बल्लेबाज़ दीपक हुडा के अर्धशतक बनाया और साथ ही दिग्गज़ क्रिकेटरों की प्रशंसा बटोरी.
मैच के दौरान कमेंट्री कर रहे सुनील गावस्कर ने उनकी तारीफ़ करते हुए कहा, "बीते कुछ वर्षों में उनमें अपनी क्रिकेट को लेकर आत्मविश्वास बढ़ा है. वे पूरा प्रयास करते हैं. मैच के हर सेकेंड अपना योगदान देने का प्रयास करते हैं."
अपनी अर्धशतकीय पारी के दौरान हुडा ऑरेज कैप की रेस में तेज़ी से आगे बढ़ते हुए 406 रनों के साथ चौथे पायदान पर आ गए हैं.
इस लिस्ट में दूसरे नंबर पर मौजूद अपने कप्तान केएल राहुल से वो इस रेस में केवल 63 रन पीछे हैं तो तीसरे स्थान पर डेविड वॉर्नर से महज 21 रनों का फासला है.
2015 से आईपीएल में खेल रहे दीपक हुडा का प्रदर्शन 2020 के आखिरी मैच से पहले तक औसत ही था. लेकिन 2020 के आखिरी मैच में चेन्नई के ख़िलाफ़ उन्होंने जब 30 गेंदों पर 62 रनों की नाबाद पारी खेली उसके बाद से वो नज़रों में आने लगे.
फिर साल 2021 के आईपीएल के पहले मैच में ही उन्होंने शुरुआत अर्धशतक से की. राजस्थान के ख़िलाफ़ 28 गेंदों पर 64 रन बनाए.
ये सिलसिला इस साल भी जारी रहा और पहले मैच में गुजरात टाइटंस के ख़िलाफ़ उन्होंने अर्धशतक बनाया.
अब तक इस टूर्नामेंट में चार अर्धशतकों की मदद से 406 रन बना चुके हैं.
लखनऊ को नंबर दो से हटाया, अब राजस्थान नंबर दो पर
इस जीत के साथ ही पॉइंट टेबल में भी राजस्थान ने लखनऊ को पछाड़ते हुए दूसरा स्थान हासिल किया है. हालांकि दोनों टीमों के एक समान 16 अंक हैं लेकिन नेट रन रेट के आधार पर लखनऊ अब तीसरे पायदान पर खिसक गया है.
इस मैच से पहले लखनऊ पॉइंट टेबल में नंबर-2 पर था और राजस्थान नंबर तीन पर. तो पॉइंट टेबल के लिहाज से दोनों के लिए यह मैच अहम था. जहां लखनऊ को जीत के साथ प्लेऑफ़ का टिकट मिलता वहीं राजस्थान के लिए दो अहम अंक के साथ लखनऊ की बराबरी का मौका.
राजस्थान और लखनऊ के बीच मैच के दौरान कैमरामैन ने चांद की तस्वीर ली. अमेरिकी स्पेस एजेंसी के मुताबिक15-16 मई 2022 को इस वर्ष का पहला चंद्र गहण है. इस चंद्र ग्रहण के दौरान दुनिया के कई हिस्सों में ब्लड मून दिखाई देगा. बताया गया है कि चंद्र ग्रहण के दौरान कई बार चांद पूरी तरह लाल भी दिखाई देगा. इसे ब्लड मून कहते हैं. हालांकि भारत में के लोग ब्लड मून नहीं देख पाएंगे. लेकिन कुछ हिस्सों में, ज़्यादातर पूर्वी भारत के लोग केवल आंशिक चंद्र ग्रहण के अंतिम क्षणों को देख सकेंगे.
प्लेऑफ़ मैं कौन कौन सी टीमों के पहुंचने की संभावना?
16 मई, 2022 (सोमवार): पंजाब किंग्स vs दिल्ली कैपिटल्स
17 मई, 2022 (मंगलवार): मुंबई इंडियंस vs सनराइज़र्स हैदराबाद
18 मई, 2022 (बुधवार): कोलकाता नाइट राइडर्स vs लखनऊ सुपरजायंट्स
19 मई, 2022 (गुरुवार): रॉयल चैलेंज़र्स बैंगलोर vs गुजरात टाइटंस
20 मई, 2022 (शुक्रवार): चेन्नई सुपरकिंग्स vs राजस्थान रॉयल्स
21 मई, 2022 (शनिवार) मुंबई इंडियंस vs दिल्ली कैपिटल्स
22 मई, 2022 (रविवार): पंजाब किंग्स vs सनराइज़र्स हैदराबाद
प्लेऑफ़ से पहले अब केवल सात मैच खेले जाने हैं. पंजाब और दिल्ली के बीच सोमवार को होने वाले मुक़ाबले में जो टीम जीतेगी, प्लेऑफ़ में पहुंचने की उसकी संभावना बढ़ जाएगी. अगर इनमें से कोई एक टीम आगे होने वाले दोनों मैच जीत गई तो उसका प्लेऑफ़ में पहुंचना लगभग तय हो जाएगा. हालांकि गुरुवार को बैंगलोर ने अगर गुजरात को हरा दिया तो उसके भी 16 अंक हो जाएंगे. लेकिन नेट रन रेट के आधार पर वह पिछड़ सकती है.
ठीक इसी तरह अगर दिल्ली और पंजाब ने अपने एक-एक मैच जीते लेकिन बैंगलोर ने गुजरात को हरा दिया तो उसके 16 अंक हो जाएंगे और अंकों के आधार पर वो अगले दौर में पहुंच सकती है. (bbc.com)
मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में चेन्नई सुपर किंग्स और गुजरात टाइटंस के बीच आईपीएल 2022 का 62वां मुकाबला खेला गया. इस मैच में गुजरात ने चेन्नई को सात विकेट से हरा दिया. गुजरात की इस सीजन में यह 10वीं जीत है. वहीं चेन्नई की 13 मैचों में यह 9वीं हार है.
चेन्नई सुपर किंग्स ने पहले खेलने के बाद 20 ओवर में 5 विकेट पर 133 रन बनाए थे. इसके जवाब में गुजरात टाइटंस ने अंतिम ओवर में सिर्फ तीन विकेट खोकर आसानी से लक्ष्य का पीछा कर लिया. गुजरात के लिए विकेटकीपर बल्लेबाज रिद्धिमान साहा ने सबसे ज्यादा नाबाद 67 रन बनाए. (abplive.com)
किदाम्बी श्रीकांत की अगुआई वाली भारतीय पुरुष टीम ने पहली बार थॉमस कप जीतकर इतिहास रच दिया.
भारतीय दल ने पहली बार फ़ाइनल में स्थान बनाने के साथ कप पर भारत का नाम दर्ज करा दिया.
भारतीय टीम ने फाइनल में सबसे ज़्यादा 14 बार खिताब जीतने वाले इंडोनेशिया को पहले तीन मैचों में हराकर ख़िताब जीत लिया.
भारतीय खिलाड़ी किदाम्बी श्रीकांत ने तीसरे मुक़ाबले के दूसरे गेम में 22-21 के स्कोर पर जब दाहिनी तरफ स्मैश लगाया तो स्टेडियम ही नहीं दुनिया भर में भारतीय बैडमिंटन प्रेमी में खुशी का ठिकाना नहीं रहा.
श्रीकांत के विजयी अंक लेते ही भारतीय खिलाड़ी और कोच सहित उसका पूरे स्टाफ ने कोर्ट में दौड़कर इस टाई के हीरो किदाम्बी श्रीकांत को घेर लिया. (bbc.com)
ऋतुराज गायकवाड़ के अर्धशतक और टूर्नामेंट में पहला मैच खेल रहे तमिलनाडु के बल्लेबाज़ नारायण जगदीशन के महत्वपूर्ण नाबाद 39 रनों की बदौलत चेन्नई सुपर किंग्स ने गुजरात टाइटंस के सामने जीत के लिए 132 रनों का लक्ष्य रखा है.
चेन्नई की शुरुआत अच्छी नहीं रही. सलामी बल्लेबाज़ डेवोन कॉनवे केवल 5 रन बनाकर तीसरे ओवर में आउट हो गए.
इसके बाद मोइन अली और ऋतुराज गायकवाड़ ने अर्धशतकीय साझेदारी निभाई. दोनों ने दूसरे विकेट के लिए 39 गेंदों पर 57 रन जोड़े.
65 रन के स्कोर पर मोइन अली 21 रन बना कर आउट हुए. मैच के 16वें ओवर में आउट होने से पहले ऋतुराज गायकवाड़ ने अपना अर्धशतक पूरा किया.
तीसरे विकेट के लिए जगदीशन और गायकवाड़ ने 48 रनों की साझेदारी की.
वहीं मैच में महेंद्र सिंह धोनी ने 10 गेंदों पर 7 रन बनाए.
चेन्नई ने 20 ओवरों में पांच विकेट पर 131 रन बनाए.
गुजरात की ओर से मोहम्मद शमी ने दो जबकि राशिद ख़ान, अल्ज़ारी जोसेफ और रविश्रीनिवासन साई किशोर ने एक-एक विकेट लिए.
शमी ने न केवल धोनी और कॉनवे को आउट किया बल्कि अपने चार ओवरों में 4.75 की इकोनॉमी से केवल 19 रन दिए.
चेन्नई ने इस मैच में चार बदलाव किए हैं.
उथप्पा, ब्रैवो, तीक्षणा और रायडू को टीम में शामिल नहीं किया गया है, उनकी जगह जगदीशन, प्रशांत सोलंकी, सैंटनर और मथीशा पाथीराना को अंतिम एकादश में मौका दिया गया है.
वहीं गुजरात ने अपनी टीम में कोई बदलाव नहीं किया है. (bbc.com)
हैदराबाद के ख़िलाफ़ मैच में आंद्रे रसेल फिर गेम चेंजर बने. बड़ी जीत मिली तो केकेआर का नेट रन रेट भी बेहतर हुआ.
इस पारी को बनाने, संवारने और उसे मुक़ाम तक पहुंचाने के आर्किटेक्ट रहे सैम बिलिंग और आंद्रे रसेल.
कोलकाता की बल्लेबाज़ी के दौरान दोनों ने छठे विकेट के लिए 44 गेंदों पर 63 रन जोड़े और टीम का स्कोर 157 पर ले गए. बिलिंग ने 34 रन बनाए तो रसेल ने 28 गेंदों पर नाबाद 49 रन बनाए.
आखिरी ओवर में रसेल ने तीन छक्के लगाए जिससे कोलकाता का स्कोर 177 पर पहुंच गया.
रसेल ने इस आईपीएल में अब तक 330 रन बनाए हैं और 17 विकेटें भी ली हैं.
प्लेऑफ़ के लिहाज़ से कोलकाता को मिली इस महत्वपूर्ण जीत में आंद्रे रसेल का बड़ा योगदान रहा. रसेल जब भी पिच पर आते हैं, केकेआर के लिए बड़ा योगदान देते हैं. (bbc.com)
आईपीएल में आज कोलकाता नाइट राइडर्स और सनराइजर्स हैदराबाद के बीच मुकाबला खेला जा रहा है. इस मैच में KKR के बल्लेबाज़ ने फिर से निराश किया. टीम 20 ओवर में 6 विकेट खोकर 177 रन बनाए. टीम को इस स्कोर तक पहुंचने में सबसे बड़ा हाथ बिलिंग्स और रसेल का रहा. दोनों ने 63 रनों की महत्वपूर्ण साझेदारी की थी. बिलिंग्स ने इस मैच में 29 गेंदों में 34 रन की पारी खेली. वहीं, रसेल ने 28 गेंद पर नाबाद 49 रन बनाए. हैदराबाद के लिए उमरान मलिक ने 33 रन देकर 3 विकेट हासिल किये हैं. हैदराबाद को इस मैच को जीतने के लिए अब 178 रन बनाने होंगे.
KKR के बल्लेबाजों ने किया निराश
टॉस जीतकर पहले बल्लेबाज़ी करने उतरी KKR की शुरुआत एक बार फिर से कुछ ख़ास ख़ास नहीं रही. सलामी बल्लेबाज़ वेंकटेश अय्यर मात्र 7 बना कर जानेसन का शिकार बन गए. उनके आउट होने के बाद नीतीश राणा और रहाणे ने टीम को संभाला. दोनों ने मिलकर 47 रन की साझेदारी की, हालांकि रहाणे एक बार फिर से 24 गेंदों में 28 रन बना कर उमरान मलिक की गेंद पर आउट हो गए. उनके आउट होने के बाद राणा भी ज्यादा देर तक पिच पर भी रुक सके और उमरान मलिक की गेंद पर शंशाक सिंह को कैच दे बैठे. उन्होंने भी 26 रन की पारी खेली.
उनके आउट होने के बाद कप्तान श्रेयस अय्यर और रिंकू सिंह भी कुछ ख़ास नही कर सके. कप्तान अय्यर 15 और रिंकू सिंह 5 रन बना कर आउट हो गए.
सैम बिलिंग्स और रसेल ने संभाला
5 विकेट गिरने के बाद बिलिंग्स और रसेल ने टीम के स्कोर को आगे बढ़ाया. इस दौरान बिलिंग्स अपने टच में नजर आए. दोनों ने मिलकर अर्धशतकीय साझेदारी की. वहीं, रसेल भी इस मैच में काफी ज्यादा संभल कर बल्लेबाज़ी करते दिखे. दोनों ने टीम को एक सम्मानजनक स्कोर तक पहुंचाया. बिलिंग्स ने इस मैच में 29 गेंदों में 34 रन की पारी खेली. वहीं, रसेल ने 28 गेंद पर नाबाद 49 रन बनाए. रसेल ने सुंदर के आखिरी ओवर में 3 छक्के लगाए. उनकी इस पारी की दम पर ही KKR 6 विकेट खोकर 177 रन बनाए. (abplive.com)
केएल राहुल ने अपने आईपीएल करियर की शुरुआत 2013 में अपने ही शहर की टीम रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर से की थी. हालांकि अगले ही साल वो सनराइज़र्स हैदराबाद चले गए. वहां दो साल रहने के बावजूद राहुल कुछ ख़ास नहीं कर पाए.
जब वो वापस फिर से 2016 में बैंगलोर में लौटे तब उन्होंने दिखाया कि वो भविष्य के स्टार भी बन सकते हैं. उस सीज़न में राहुल अपनी टीम के लिए सबसे ज़्यादा रन बनाने वाले टॉप तीन खिलाड़ियों में शुमार थे. इसके बावजूद 2018 सीज़न के लिए बैंगलोर ने उन्हें रिटेन नहीं किया.
इस बात के कयास लगाए गए थे कि कप्तान कोहली को राहुल की बल्लेबाज़ी शैली टी20 की मार-धाड़ वाली शैली के अनुरूप नहीं जंची. इस बात का ज़िक्र ख़ुद कोहली ने इस साल एक पॉडकास्ट में किया.
कोहली ने माना कि राहुल ने अपनी बल्लेबाज़ी में ज़बरदस्त तरीके का बदलाव लाया है, जिसकी उम्मीद शुरुआत में उन्हें नहीं दिखी थी. (bbc.com)
-विमल कुमार
केएल राहुल ने अपने आईपीएल करियर की शुरुआत 2013 में अपने ही शहर की टीम रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर से की थी. हालांकि अगले ही साल वो सनराइज़र्स हैदराबाद चले गए. वहां दो साल रहने के बावजूद राहुल कुछ ख़ास नहीं कर पाए.
जब वो वापस फिर से 2016 में बैंगलोर में लौटे तब उन्होंने दिखाया कि वो भविष्य के स्टार भी बन सकते हैं. उस सीज़न में राहुल अपनी टीम के लिए सबसे ज़्यादा रन बनाने वाले टॉप तीन खिलाड़ियों में शुमार थे. इसके बावजूद 2018 सीज़न के लिए बैंगलोर ने उन्हें रिटेन नहीं किया.
इस बात के कयास लगाए गए थे कि कप्तान कोहली को राहुल की बल्लेबाज़ी शैली टी20 की मार-धाड़ वाली शैली के अनुरूप नहीं जंची. इस बात का ज़िक्र ख़ुद कोहली ने इस साल एक पॉडकास्ट में किया.
कोहली ने माना कि राहुल ने अपनी बल्लेबाज़ी में ज़बरदस्त तरीके का बदलाव लाया है, जिसकी उम्मीद शुरुआत में उन्हें नहीं दिखी थी.
2018 के बाद से अलग अंदाज़ में हैं राहुल
लेकिन, 2018 में जब से राहुल ने पंजाब के लिए खेलना शुरू किया तो उसके बाद से ही वो एक अलग ही अंदाज़ में दिखने लगे हैं. अगले 4 साल तक राहुल ने हर बार अपनी टीम के लिए 500 से ज़्यादा रन बनाए. ऐसा कमाल एक दौर में सिर्फ़ सुरेश रैना ही अपने पराक्रम के दौर में चेन्नई सुपर किंग्स के लिए कर पाए थे.
जिस राहुल ने आईपीएल के छठे साल से ही खेलना शुरू किया, वो आज इस टूर्नामेंट के इतिहास में सबसे ज़्यादा रन बनाने वाले टॉप 15 खिलाड़ियों में शामिल हो चुके हैं. इस साल भी राहुल से ज़्यादा रन सिर्फ़ इंग्लैंड और राजस्थान रॉयल्स के जोस बटलर ने बनाए हैं.
अगर राहुल हर सीज़न-500 रन वाला फॉर्म अगले साल भी बरकरार रखने में कामयाब होते हैं, तो जल्द ही वो गौतम गंभीर, अंबाती रायडू, शेन वॉटसन और अंजिक्य रहाणे को पछाड़ते हुए सर्वकालिक टॉप 10 में भी शामिल हो सकते हैं.
सिर्फ एक दशक तक आईपीएल में खेलने के बाद टॉप 10 की फ़ेहरिस्त में शामिल होना, किसी भी युवा खिलाड़ी के लिए किसी सपने के सच होने से कम नहीं हो सकता.
लेकिन, राहुल के सपने छोटे नहीं हैं. जिस खिलाड़ी के पिता ने उनका नाम ही एक महान खिलाड़ी (द्रविड़) के सम्मान में रख दिया, तो समझ सकते हैं कि कैसे उम्मीदों के दबाव से निपटना इस बल्लेबाज़ को ख़ूब आता है.
टीम इंडिया के भविष्य के कप्तान
राहुल से उम्मीद की जा रही है कि वो भविष्य में टीम इंडिया के लिए तीनों फॉर्मेट के कप्तान होंगे. इसलिए इस साल के शुरुआत में जब कोहली साउथ अफ्रीका के लिए दूसरे टेस्ट मैच में कप्तानी नहीं कर पाए तो अचानक ही ये ज़िम्मेदारी केएल राहुल को मिली.
राहुल ने उस मैच में अपनी कप्तानी से हालांकि सबको बहुत ज़्यादा प्रभावित तो नहीं किया, लेकिन लखनऊ सुपरजाएंट्स के मालिक संजीव गोयनका और टीम इंडिया के पूर्व ओपनर गौतम गंभीर को राहुल की लीडरशीप योग्यता पर भरोसा था. यही वजह है कि उन्हें कप्तानी दी गयी और गुजरात टाइटंस के बाद प्लेऑफ़ के लिए क्वालिफाई करने वाली लखनऊ दूसरी टीम बन गयी.
अब भला ये किसने सोचा होगा कि पंजाब के लिए दो साल तक कप्तान के तौर पर जूझने वाले राहुल अचानक ही पहले सीज़न में ही लखनऊ को प्लेऑफ में ले जाएंगे और अब तो ये मुमकिन है कि वो चैंपियनशिप भी दिला दें.
लेकिन, ये सब यूं ही नहीं हुआ. राहुल को जब कप्तानी मिली तो इस साल की नीलामी में उनकी क्रिकेट सोच देखने को मिली. राहुल हर हाल में क्विंटन डि कॉक को विकेटकीपर बल्लेबाज़ के तौर पर शामिल करना चाहते थे और किया भी. इसका फायदा उन्हें इस सीज़न में मिला.
ऐसा माना जाता है कि राहुल ने टीम मैनेजमेंट से गुज़ारिश की थी कि चयन के दौरान ज़ोर ऑलराउंडर पर रहे. भारतीय या विदेशी कोई भी चलेगा. राहुल को ऑलराउंडर के अतीत की साख की परवाह भी नहीं थी, वरना एक साथ क्रुणाल पंड्या, दीपक हुडा, कृष्णप्पा गौतम और जेसन होल्डर को कोई टीम शामिल नहीं करती.
इतना ही नहीं राहुल ने मेंटोर गंभीर और कोच एंडी फ्लावर को ये कहने में हिचकिचाहट नहीं दिखाई कि उन्हें भारतीय पिचों के लिए भी एक्सप्रेस तेज़ गेंदबाज़ चाहिए. इसलिए आवेश ख़ान, दुश्मंत चमीरा और मार्क वुड पर टीम ने मुंहबोली क़ीमत लगाई. इंग्लैंड के वुड अनफिट होने के चलते इस साल नहीं खेल पाए, लेकिन ख़ान और चमीरा को लेग स्पिनर रवि बिश्नोई का साथ मिलने से टीम की समस्या हल हुई है.
कप्तान राहुल के साथ साथ सुपरजाएंट्स की कामयाबी की एक अहम वजह कोचिंग स्टाफ़ में विजय दहिया और ज़िंबाब्वे के पूर्व कप्तान और इंग्लैंड के पूर्व कोच फ्लावर का होना भी अहम रहा है. ये दोनों लो-प्रोफ़ाइल कोच हैं और पर्दे के पीछे बख़ूबी ढंग से काम करते हुए कप्तान और टीम का भार कम करते हैं.
दहिया जो दो दशक से भी ज़्यादा समय तक गंभीर के साथ जुड़े रहे हैं और जो कोलकाता नाइट राइडर्स जैसी चैंपियन टीम का दो बार हिस्सा रहे हैं, उन्होंने भी काफ़ी होमवर्क किया है. आयूष बदोनी और मोहसिन ख़ान जैसे युवाओं को खोजने में और टीम में लाकर निखारने में दहिया ने अहम किरदार निभाया है.
बावजूद इसके अगर ये टीम फ़ाइनल में नहीं पहुंचती है और ट्रॉफी नहीं जीत पाती है, तो राहुल को निजी तौर पर काफ़ी मायूसी हो सकती है. क्योंकि मालिक गोयनका ने तो 2017 में पुणे सुपरजाएंट्स को आईपीएल ट्रॉफ़ी को लगभग जीतते देख लिया था. राहुल और लखनऊ के लिए चुनौतियों का दौर अब शुरू होता है.
फ़िलहाल सबसे कामयाब 10 बल्लेबाज़ों में तो राहुल, क्विंटन डि कॉक और हुडा हैं. हालांकि टॉप 10 के बाद की जो फ़ेहरिस्त शुरू होती है, वहां से टॉप 45 तक लखनऊ का कोई बल्लेबाज़ नहीं है.
ये साफ़ दिखाता है कि इन तीनों के अलावा बाक़ी बल्लेबाज़ों ने निराश ही किया है और टूर्नामेंट के बिज़नेस एंड में मार्कस स्टॉनिस, मनीष पांडे और युवा बदोनी से उम्मीदें बढ़ेंगी.
बल्लेबाज़ी के मुकाबले गेंदबाज़ों ने एक यूनिट के तौर पर ज़्यादा बेहतर खेल दिखाया है. इसलिए 2022 के टॉप 40 गेंदबाज़ों की सूची में से आधे दर्जन लखनऊ के हैं.
चलते-चलते आख़िर में एक बात और राहुल के बारे में. इस बार भी कुछ मैचों में राहुल के स्ट्राइक रेट को लेकर सवाल उठे हैं, लेकिन आंकड़े ये बताते हैं कि लखनऊ के लिए सबसे ज़्यादा छक्के कप्तान ने ही लगाए हैं.
इंग्लैंड के पूर्व कप्तान केविन पीटरसन ने कुछ ही हफ्ते पहले कहा था कि राहुल जिस तरीके से परिपक्व हुए हैं, ये बात उनकी उम्र को झुठलाती है. पीटरसन का ये भी कहना था मौजूदा समय में वो राहुल को दुनिया के टॉप 3 बल्लेबाज़ों में मानते हैं.
ये बिल्कुल आसान नहीं होता कि आप जिस भी टीम के लिए खेलें, उसी टीम के लिए 500 से ज़्यादा रन बना डालें. राहुल अपने ऊपर न तो नई टीम, न नीलामी की राशि और न ही किसी तरह के दबाव का असर होने देते हैं.
इस बात ने उन्हें और उनकी टीम को फ़िलहाल आईपीएल में कामयाबी दिलाई है. यदि वो ऐसा ही प्रदर्शन जारी रखते हैं तो फ्रैंचाइज़ी की ये सफलता वो टीम इंडिया के लिए भी दोहरा सकते हैं. (bbc.com)
आईपीएल में आज पंजाब किंग्स का सामना रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर से हो रहा है. इस मैच में पंजाब ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए 20 ओवर में 9 विकेट खोकर 209 रन बनाए. पंजाब के लिए इस मैच में सलामी बल्लेबाज जॉनी बेयरस्टो ने 29 गेंदों में 66 रन की पारी खेली. अपनी इस पारी के दौरान उन्होंने 4 चौके और 7 छक्के लगाए. उनके अलावा लिविंगस्टोन ने भी शानदार अर्धशतक बनाया. उन्होंने 42 गेंदों में 70 रन की पारी खेली. वहीं, बैंगलोर के लिए हसरंगा ने 15 रन देकर 2 विकेट हासिल किये. उनके अलावा हर्षल पटेल ने भी 34 रन देकर 4 विकेट हासिल किये.
पंजाब ने की विस्फोटक शुरुआत
पहले बल्लेबाज़ी करने उतरी पंजाब को जॉनी बेयरस्टो और धवन ने तूफानी शुरुआत दिलाई. इस दौरान दोनों ने मात्र 5 ओवर में ही 60 जोड़ दिए थे. खतरनाक होती इस साझेदारी को मैक्सवेल ने तोड़ा था. उन्होंने धवन को 21 रन पर आउट किया. उन्होंने अपनी पारी में दो चौके और 1 छक्का लगाए हैं. धवन के आउट होने के बाद भी जॉनी बेयरस्टो पर कोई असर नहीं पड़ा. वो लगातर तेज़ी से रन बना रहे थे. हालांकि इस दौरान भानुका राजपक्षे 1 रन बना कर आउट हो गए है.
दो विकेट गिरने के बाद भी जॉनी बेयरस्टो ने तेज़ी से बल्लेबाज़ी करना जारी रखा. हालांकि वो 66 रन बना कर आउट हो गए. उनके आउट होने के बाद लिविंगस्टोन और मयंक ने टीम को बड़े स्कोर तक पहुंचाने की कोशिश की. दोनों ने 35 गेंदों में 51 रन जोड़े. हालांकि इस साझेदारी को हर्शल पपटेल ने तोड़ा. उन्होंने मयंक का विकेट हासिल किया. उनके आउट होने के बाद भी लिविंगस्टोन पर कोई ख़ास असर नहीं पड़ा और वो तेज़ी से रन बनाते गए. उन्होंने इस दौरान अपनी फिफ्टी भी पूरी की. लिविंगस्टोन ने मात्र 42 गेंदों में 70 रनों की पारी खेली. उनके आउट होने के बाद कोई भी पंजाब का बल्लेबाज कुछ ख़ास नहीं कर सका और पूरी टीम 20 ओवर में 9 विकेट खोकर 209 रन ही बना पा. (abplive.com)
नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेटर और आईपीएल खिलाड़ी युजवेंद्र चहल अपनी बॉलिंग और खेल के अलावा निजी जिंदगी को लेकर भी काफी सुर्खियों में रहते हैं. चहल की तरह उनकी पत्नी धनाश्री वर्मा भी आए दिन सुर्खियों में बनी रहती है. वह अपनी खूबसूरती के लिए भी जानी जाती हैं. यही वजह है जो धनाश्री वर्मा की सोशल मीडिया पर भी काफी फैन फॉलोइंग हैं. फैंस उनकी तस्वीरों को काफी पसंद भी करते रहते हैं. अब वह अपनी बेहद ग्लैमरस तस्वीरों को लेकर सुर्खियों में हैं.
धनाश्री वर्मा सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहने वालों में से एक हैं. वह अपने चाहने वालों को लिए अक्सर खास तस्वीरें और वीडियो भी शेयर करती रहती हैं. धनाश्री वर्मा ने अपने आधिकारिक इंस्टाग्राम अकाउंट पर अपनी लेटेस्ट तस्वीरें शेयर की हैं. इन सभी तस्वीरों में उनका ग्लैमरस लुक देखने को मिल रहा हैं. वहीं धनाश्री वर्मा के पति युजवेंद्र चहल ने भी उनकी तस्वीरों पर मजेदार कमेंट किया है.
तस्वीरों में धनाश्री वर्मा ने व्हाइन कलर की वन पीस ड्रेस पहनी हुई है. और कानों में इयररिंग्स भी जाले हुए हैं. खुद को और भी ज्यादा खूबसूरत दिखाने के लिए धनाश्री वर्मा ने अपने बालों को भी खोला हुआ है. तस्वीरों में युजवेंद्र चहल की पत्नी अलग-अलग अंदाज में पोज देती दिखाई दे रही हैं. इन तस्वीरों को शेयर करते हुए धनाश्री वर्मा ने खास कैप्शन भी लिखा है. उन्होंने 'अगर आप अपने आप को नीचे जाने से बचाते हैं, तो आप आखिर में सभी ऊंचाइयों को भी खो देंगे
आपका शुक्रवार अच्छा रहे।'
सोशल मीडिया पर धनाश्री वर्मा यह सभी तस्वीरें तेजी से वायरल हो रहा हैं. उनके और युजवेंद्र चहल फैंस तस्वीरों को खूब पसंद कर रहे हैं. साथ ही कमेंट कर धनाश्री वर्मा की खूबसूरती की तारीफ भी कर रहे हैं. इतना ही नहीं खुद युजवेंद्र चहल ने भी पत्नी धनाश्री वर्मा की तस्वीरों को तारीफ की है और मजेदार कमेंट भी किया है. क्रिकेटर ने अपने कमेंट में लिखा, 'न्यूक्लियर बम।'
सोशल मीडिया युजवेंद्र चहल का भी कमेंट वायरल हो रहा है. आपको बता दें कि युजवेंद्र चहल और धनाश्री वर्मा ने साल 2020 में एक-दूसरे के संग सात फेरे लिए. धनाश्री वर्मा पेशे से कोरियोग्राफर हैं. वह अक्सर अपनी डांस के वीडियो भी सोशल मीडिया पर शेयर करती रहती हैं. युजवेंद्र चहल और धनाश्री वर्मा की शादी काफी चर्चा में रही थी. (ndtv.in)
टीम इंडिया के अनुभवी बल्लेबाज़ दिनेश कार्तिक ने टी20 वर्ल्ड कप से पहले अपना दावा ठोक दिया है. वो आईपीएल में बैंगलोर के लिए फिनिशर की भूमिका में नजर आ रहे हैं. इस भूमिका में उन्होंने अभी तक शानदार प्रदर्शन किया है. जिसके बाद अब उनके समर्थन में हरभजन सिंह भी उतर आए हैं. उनका मानना है कि कार्तिक को टी20 वर्ल्ड कप में जरुर जगह मिलनी चाहिये.
'मैं उसे टीम में जरुर मौका देता'
भारत के पूर्व ऑफ स्पिनर हरभजन सिंह ने कहा है कि अगर वह भारत के चयनकर्ता होते तो, वह रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर के दिनेश कार्तिक को इस साल के अंत में ऑस्ट्रेलिया में होने वाले आईसीसी टी20 विश्व कप में मौका जरूर देते.
आईपीएल 2022 में कार्तिक ने बैंगलोर के लिए प्रभावशाली फिनिशर रहे हैं. उन्होंने 12 मैचों में 68.50 की औसत और 200 की स्ट्राइक रेट से 274 रन बनाए हैं. इस वर्ष विश्व कप में भारतीय टीम में वापसी के लिए कार्तिक कड़ी मेहनत कर रहे हैं.
'वो टीम में जगह पाने के हक़दार है'
हरभजन ने कहा, दिनेश कार्तिक आरसीबी के लिए शानदार खिलाड़ी रहे हैं. वह अपनी ऑफ साइड की तुलना में लेग साइड शॉट्स में बहुत अच्छे हैं. लेकिन मुझे लगता है कि कुल मिलाकर वह अपने खेल को बहुत अच्छी तरह से समझते हैं.
हरभजन ने आगे कहा, मेरे लिए अगर किसी ने इस पूरे आईपीएल में फिनिशर की सबसे अच्छी भूमिका निभाई है, तो वह दिनेश कार्तिक हैं. अगर मैं चयनकर्ता होता तो मैं उन्हें विश्व कप टी20 के लिए ऑस्ट्रेलिया में मौका जरूर देता. भारत के विकेटकीपर और बल्लेबाज के रूप में वह इसके हकदार हैं.
'हार्दिक और कार्तिक बना सकते हैं जोड़ी'
विश्व कप में भारतीय टीम के लिए फिनिशर के रूप में अपनी पसंद के बारे में पूछे जाने पर हरभजन को लगता है कि हार्दिक पांड्या पारी को अंतिम रूप देने के लिए कार्तिक के साथ एक बेहतरीन जोड़ी हो सकती है. बैंगलोर के मुख्य कोच संजय बांगर ने आरसीबी शो के एक एपिसोड में कहा कि कार्तिक टीम के लिए लगातार फिनिशिंग रोल के अलावा टीम में युवा खिलाड़ियों की मदद कर रहे हैं. (abplive.com)
नई दिल्ली. गूगल ने इंडियन प्रीमियर लीग के प्रसारण अधिकार खरीदने में दिलचस्पी दिखाई है. आईपीएल के इस सीजन के बाद भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड प्रसारण अधिकारों की नीलामी करेगा. अमेजॉन और डिज्नी के बाद अब गूगल भी रेस में शामिल हो गया है. कुल मिलाकर आधा दर्जन कंपनियों ने बीसीसीआई से बिडिंग से संबंधित दस्तावेज खरीदे हैं. आईपीएल दुनिया में सबसे ज्यादा तीसरा देखा जाने वाला खेल आयोजन है. बीसीसीआई इस साल 2023 से लेकर 2027 तक के लिए आईपीएल के प्रसारण अधिकारों की नीलामी करेगा. फिलहाल मौजूदा समय में आईपीएल के प्रसारण अधिकार स्टार स्पोर्ट्स नेटवर्क के पास हैं.
ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के मुताबिक, “अमेरिकी टेक कंपनी अल्फाबेट इंक ने बीसीसीआई से प्रसारण अधिकारों से जुड़े बिडिंग दस्तावेज खरीदे हैं. इस अमेरिका कंपनी के पास वीडियो स्ट्रीमिंग वेबसाइट यूट्यूब भी है. हालांकि कंपनी ने प्रसारण अधिकार खरीदने के लिए अपने नाम का खुलासा नहीं किया है. उधर, साउथ अफ्रीका के टेलविजन चैनल समूह सुपर स्पोर्ट्स ने भी बीसीसीआई से बिडिंग संबंधित दस्तावेज खरीदे हैं.
बीसीसीआई से दस्तावेजों को खरीदने का यह मतलब नहीं है कि कंपनियां बोली लगाने के लिए बाध्य हैं. वे किसी भी समय बाहर निकल सकते हैं या ऑक्शन को पूरी तरह से छोड़ सकते हैं. आईपीएल मीडिया राइट्स खरीदने की रेस में Amazon.com इंक, द वॉल्ट डिज्नी कंपनी, रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड, सोनी ग्रुप कॉर्प, देसी जी एंटरटेनमेंट एंटरप्राइजेज लिमिटेड और फैंटेसी-स्पोर्ट्स प्लेटफॉर्म ड्रीम 11 भी शामिल है.
आईपीएल दर्शकों के संख्या के आधार पर दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी लीग है. बीसीसीआई के डेटा के अनुसार आईपीएल के पिछले सीजन में 600 मिलियन (60 करोड़) दर्शक जुड़े थे. भारतीय मनोरंजन बाजार में आईपीएल के एक बड़ी हिस्सेदारी रखता है. एक अनुमान के मुताबिक बीसीसीआई को आईपीएल नीलामी से करीब 32500 करोड़ मिल सकते हैं.(news18.com)
नवी मुंबई, 12 मई। रविचंद्रन अश्विन इंडियन प्रीमियर लीग के वर्तमान सत्र में अपनी गेंदबाजी के साथ बल्लेबाजी में भी कमाल दिखा रहे हैं जिसका श्रेय उन्होंने सत्र की शुरुआत में बल्लेबाजी के कड़े अभ्यास को दिया क्योंकि राजस्थान रॉयल्स ने इस ऑफ स्पिनर को पहले ही बता दिया था कि उन्हें शीर्ष क्रम में भेजा जा सकता है।
अश्विन ने दिल्ली कैपिटल्स के खिलाफ बुधवार को तीसरे नंबर पर बल्लेबाजी करते हुए 38 गेंदों पर 50 रन की पारी खेली, हालांकि उनकी टीम को इस मैच में हार का सामना करना पड़ा।
अश्विन ने मैच के बाद संवाददाताओं से कहा, ‘‘सत्र से पहले ही मुझे बता दिया गया था कि बल्लेबाज के रूप में मुझे ऊपरी क्रम में भेजा जाएगा। हमने कुछ अभ्यास मैच भी खेले थे जिनमें मैंने पारी की शुरुआत की थी।’’
इस अनुभवी ऑफ स्पिनर ने कहा, ‘‘मैंने अपनी बल्लेबाजी पर काफी मेहनत की और इसलिए यह देखकर अच्छा लग रहा है कि मुझे उसका फायदा मिल रहा है।’’
आईपीएल से पहले किये गये अभ्यास के बारे में अश्विन ने कहा, ‘‘मैं सत्र के शुरू होने से पहले ही बल्लेबाजी में अच्छी लय में था। मैंने बल्लेबाजी पर थोड़ा मेहनत की, अपनी तकनीक में थोड़ा बदलाव किया। अर्धशतकीय पारी खेलकर अच्छा लग रहा है लेकिन यह टीम को जीत नहीं दिला पाया।’’
रॉयल्स के अभी 12 मैचों में 14 अंक हैं और वह तीसरे स्थान पर है जबकि दिल्ली इतने ही मैचों में 12 अंक लेकर पांचवें स्थान पर है।
दिल्ली की जीत में मिशेल मार्श ने अहम भूमिका निभायी। मार्श ने पहले तीन ओवर में 25 रन देकर दो विकेट लिये और बाद में 89 रन की धमाकेदार पारी खेली। उनके अलावा डेविड वार्नर ने 52 रन बनाये।
मार्श ने कहा, ‘पावरप्ले में गेंद स्विंग कर रही थी, इसलिए जब से मैंने टी20 क्रिकेट खेलना शुरू किया है तब से मेरे लिये यह सबसे मुश्किल पावरप्ले था।’’
उन्होंने आस्ट्रेलिया के अपने साथी वार्नर की भी प्रशंसा की।
मार्श ने कहा, ‘‘मुझे डेवी (वार्नर) के साथ बल्लेबाजी करना अच्छा लगता है। हमने काफी अच्छी साझेदारियां की हैं।’’ (भाषा)
-अभिजीत श्रीवास्तव
क्रिकेट दिलचस्प खेल है. मैदान पर गाहे बगाहे ऐसी चीज़ें हो जाती हैं, जिनसे न केवल वहाँ खेल रहे खिलाड़ियों, उसे देख रहे दर्शकों, लाखों चाहने वाले और इसके दिग्गजों के भी होश उड़ जाते हैं और फिर छिड़ती है एक बहस.
कुछ ऐसा ही हुआ जब दिल्ली कैपिटल्स और राजस्थान रॉयल्स के बीच बुधवार को आईपीएल का मुक़ाबला खेला गया.
वैसे तो मैच कमोबेश एकतरफ़ा ही रहा. राजस्थान ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए 160 रन बनाए जिसे दिल्ली ने आसानी से आठ विकेट और 11 गेंद रहते जीत लिया. लेकिन मैदान में एक ऐसी घटना भी हुई, जिसने एक बार फिर क्रिकेट के नियमों में बदलाव की ज़रूरत की ओर इशारा किया.
ये वाक़या है दिल्ली की बल्लेबाज़ी के वक़्त मैच के 9वें ओवर के दौरान का. यह ओवर (सबसे अधिक विकेट लेने वाले को मिलने वाले) पर्पल कैप की रेस में सबसे आगे चल रहे युजवेंद्र चहल डाल रहे थे.
यह चहल का पहला ही ओवर था. राजस्थान के कप्तान ने आठवें ओवर तक अपने इस चैंपियन को गेंद नहीं दी थी.
9वें ओवर में चहल की गेंद पर वॉर्नर ने छक्का जड़ा, फिर लॉन्ग ऑफ़ पर ऊंची शॉट खेली जो जॉस बटलर के कुछ आगे गिरी. वॉर्नर कैच आउट होने से बचे.
इसी ओवर की आखिरी गेंद पर वॉर्नर चकमा खा गए. गेंद स्टंप्स से टकरा कर पीछे गई, लाइट भी जली लेकिन बेल्स नहीं गिरे.
कमेंटेटर्स ने कहा कि ये तो बोल्ड हैं, लेकिन बेल्स नहीं गिरीं तो क्रिकेट के नियमों के मुताबिक़ वॉर्नर आउट नहीं दिए गए.
उठे सवाल
टीम इंडिया का प्रतिनिधित्व कर चुके क्रिकेटर इरफ़ान पठान ने ट्वीट किया, "क्या बेल्स के गिरने का इंतज़ार करना चाहिए या गेंद जब स्ट्ंप्स पर लगी है तो आउट दिया जाना चाहिए, चाहे बेल्स गिरे हों या नहीं?"
इरफ़ान ने दो सवाल रखे.
"पहला विकल्पः बेल्स का विकेट से गिरना ज़रूरी है."
"दूसरा विकल्पः गेंद स्टंप्स से टकराई है. इसका मतलब बल्लेबाज़ आउट है."
इरफ़ान के उठाए इस सवाल पर कई जवाब मिले. उनमें से अधिकतर का ये कहना था कि "बेल्स नहीं गिरे और बल्लेबाज़ आउट नहीं दिए गए. अगर ये गेंद बल्लेबाज़ के पैड पर लगती और एलबीडब्ल्यू का अपील किया जाता तो क्या वे आउट नहीं दिए जाते?
या फिर मान लीजिए कि अंपायर उसे एलबीडब्ल्यू आउट नहीं देते और फील्डिंग कर रहे कप्तान उसे रिव्यू के लिए कहते... तो क्या बॉल ट्रैकिंग में ये दिखता नहीं कि गेंद विकेट पर लग रही है?
ऐसी परिस्थिति में जब बल्लेबाज़ (यहाँ वॉर्नर) को आउट दिया जाता, तो विकेट की लाइटें जल उठने के बावजूद वॉर्नर आउट क्यों नहीं दिए गए.
वहीं एक यूज़र ने लिखा, यही वजह है कि हम लाइट बेल्स का इस्तेमाल कर रहे हैं. यानी, अगर गेंद विकेट से जा लगी है तो यह अंपायर को तो दिखेगा. तो उसे (बल्लेबाज़) को आउट दिया जाना चाहिए था.
तो एक यूज़र ने ये भी लिखा कि अगर विकेट से लगी गेंद पर आउट दिया जाना चाहिए तो क्या बेल्स केवल विकेट की शोभा बढ़ाने के लिए ही हैं?
गेंद विकेट पर लगने के बाद भी वॉर्नर के नॉट आउट रहने पर जहाँ एक तरफ़ सोशल मीडिया का बाज़ार गरम था तो चर्चा ऋषभ पंत और दिनेश कार्तिक को लेकर भी हुई.
दरअसल, बीते कुछ दिनों से सोशल मीडिया पर आईपीएल में ऋषभ पंत और दिनेश कार्तिक के प्रदर्शन को लेकर चर्चा चल रही है.
बुधवार को दिल्ली की बल्लेबाज़ी के दौरान मिशेल मार्श के आउट होने पर कप्तान ऋषभ पंत क्रीज़ पर आए और केवल 4 गेंदों पर दो छक्के समेत 13 रन बना दिए. इस दौरान पंत ने टी20 में अपने 4,000 रन भी पूरे किए.
पंत की इस पारी के बाद एक बार फिर सोशल मीडिया पर उनकी और डीके की चर्चा शुरू हो गई.
दरअसल, बीते कुछ दिनों से सोशल मीडिया पर आईपीएल-15 में दिनेश कार्तिक की जबरदस्त बल्लेबाज़ी और ऋषभ पंत के सामान्य प्रदर्शन की चर्चा हो रही है.
सोशल मीडिया पर लिखा जा रहा है कि इस साल होने वाले टी20 वर्ल्ड कप में पंत की जगह दिनेश कार्तिक को मौक़ा दिया जाना चाहिए.
इस आईपीएल में दिनेश कार्तिक आख़िरी ओवरों में तेज़ खेलने की भूमिका में हैं और इसे बख़ूबी निभा भी रहे हैं.
कार्तिक ने अब तक 12 मैचों में 68.50 की औसत से 274 रन बनाए हैं तो 200 का उनका स्ट्राइक रेट (इस आईपीएल में 100 रन से अधिक बना चुके) किसी भी बल्लेबाज़ की तुलना में अधिक है.
वहीं पंत ने 12 मैचों में 32.67 की औसत से 188 रन बनाए हैं और 156.38 के स्ट्राइक रेट से खेल रहे हैं.
इस आईपीएल में कार्तिक ने 34 गेंदों पर नाबाद 66 रन, 14 गेंदों पर नाबाद 32 रन, 14 गेंदों पर 34 रन, दो गेंदों पर सात रन तो 8 गेंदों पर नाबाद 30 रन जैसी अहम पारियां खेली हैं.
मार्श-वॉर्नर की रिकॉर्ड साझेदारी
दिल्ली ने जब अपनी बल्लेबाज़ी शुरू की तो उसका पहला विकेट शून्य पर गिर गया. लेकिन यहाँ से वो साझेदारी शुरू हुई जिसने दिल्ली को आसान जीत दिला दी.
एक छोर से डेविड वॉर्नर तो दूसरे छोर से मिशेल मार्श पिच पर डट गए.
दोनों के बीच दूसरे विकेट के लिए 144 रन की साझेदारी हुई, जो इस आईपीएल में दिल्ली के लिए सबसे बड़ी साझेदारी का नया रिकॉर्ड है.
यह वॉर्नर का सीज़न में पांचवा अर्धशतक है तो मिशेल मार्श के लिए पहली फ़िफ़्टी. मार्श 62 गेंदों पर 89 रन बनाकर आउट हुए.
एक यूज़र ने लिखा, "मिशेल मार्श आने वाले टी20 वर्ल्ड कप में बहुत ख़तरनाक हो सकते हैं. उनके बैटिंग स्टाइल ऑस्ट्रेलियाई पिचों के लिए उपयुक्त हैं. वे शारीरिक और मानसिक रूप से मजबूत दिख रहे हैं."
क्रिकेटर वसीम जाफ़र ने लिखा, "फ़र्क नहीं पड़ता है कि आप शुरुआत (13 गेंद पर 5 रन) कैसे करते हैं, फ़र्क इससे पड़ता है कि आप अंत (62 गेंदों पर 89 रन) कैसे करते हैं. बढ़िया खेले मिशेल मार्श."
अश्विन का यह आईपीएल में पहला अर्धशतक है. ख़ास बात यह है कि अश्विन तीसरे नंबर पर भेजे गए थे और उन्होंने अपना किरदार बखूबी निभाया.
दिल्ली की जीत पर टर्बनेटर हरभजन सिंह ने भी दिल्ली को बधाई दी और जीत की गति को बरकरार रखने को कहा.
मुंबई टूर्नामेंट से बाहर हो चुकी है आखिरी पायदान पर चल रही है तो चेन्नई भी एक स्थान ऊपर 9वें पर है.
आलम ये है कि मुंबई इंडियंस टूर्नामेंट से बाहर हो चुके हैं तो चेन्नई के लिए प्लेऑफ़ की संभावना अभी बनी हुई है लेकिन उसके लिए उसे अपने सभी मैच जीतने होंगे, जिसमें मुंबई के ख़िलाफ़ खेला जाने वाला ये मैच भी शामिल है. (bbc.com)
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 10 मई। छत्तीसगढ़ स्टेट क्रिकेट संघ द्वारा आयोजित अंडर-23 प्लेड क्रिकेट प्रतियोगिता का खिताब महासमुंद ने अपने नाम किया है। जानकारी अनुसार फाइनल मैच में महासमुंद की टीम ने कोरबा का मात दी है।
मालूम हो कि महासमुंद जिला क्रिकेट संघ ने भिलाई में हुए तीन दिवसीय फाइनल मैच में कोरबा जिला क्रिकेट को एकतरफा मुकाबले में हराते हुए ये जीत हासिल की। महासमुंद जिला क्रिकेट संघ की तरफ से फाइनल मैच में शानदार बल्लेबाजी करते हुए अविनाश राय ने 243 रन की बड़ी पारी खेली। गेंदबाजी में महासमुंद की ओर से अनुराग साहू ने 4 विकेट और प्रशांत सिंह ने 3 विकेट हासिल कर महासमुंद को आसान जीत दिलाई।
मालूम हो कि इससे पहले महासमुंद ने दंतेवाड़ा, कांकेर, सरगुजा जिला क्रिकेट संघ को हराते हुए फाइनल में जगह बनाई थी। इस प्रतियोगिता के सर्वश्रेष्ठ स्कोरर महासमुंद जिला क्रिकेट संघ के अविनाश राय रहे। उन्होंने पूरी प्रतियोगिता के 4 मैच में 522 रन बनाए। वहीं प्रतियोगिता में दूसरे नंबर पर महासमुंद के कप्तान अनुराग साहू रहे। अनुराग ने 4 मैच में 442 रन बनाए। सबसे अधिक विकेट लेने के मामले में महासमुंद के प्रशांत सिंह दूसरे स्थान पर रहे और उन्होंने प्रतियोगिता में कुल 22 विकेट हासिल की। इस जीत के साथ महासमुंद ने छत्तीसगढ़ स्टेट संघ द्वारा आयोजित एलिड प्रतियोगिता के लिए क्वालीफाई कर लिया है। महासमुंद जिला क्रिकेट संघ की अंडर-23 टीम की इस जीत पर जिला क्रिकेट संघ के अध्यक्ष शशांक मोघे, सचिव विनोद शर्मा, कोषाध्यक्ष सलीम क़ुरैशी, चयनकर्ता राजेश शर्मा, आनंद कामदार और तुषार चौहान, एनआईएस क्रिकेट कोच शबाब कुरैशी और तृपेश साहू ने हर्ष जताया है।
नई दिल्ली. संन्यास से वापसी करने वाले अनुभवी ड्रैग फ्लिकर रूपिंदर पाल सिंह जकार्ता में 23 मई से एक जून तक होने वाले एशिया कप में भारत की दूसरे दर्जे की पुरुष हॉकी टीम की कप्तानी संभालेंगे. मनप्रीत सिंह, हरमनप्रीत सिंह और पीआर श्रीजेश जैसे सीनियर खिलाड़ी इस टूर्नामेंट में नहीं खेलेंगे. भारत ने टूर्नामेंट के लिए अपनी दूसरी श्रेणी की टीम चुनी है जिसमें बीरेंद्र लाकड़ा को रूपिंदर के साथ उप-कप्तान बनाया गया है.
रूपिंदर और लाकड़ा दोनों ने पिछले साल टोक्यो ओलंपिक खेलों के बाद संन्यास की घोषणा की थी लेकिन बाद में खुद को चयन के लिए उपलब्ध रखा. एशिया कप विश्व कप का क्वालिफायर टूर्नामेंट है लेकिन मेजबान होने के नाते भारत को अगले साल जनवरी में होने वाले इस टूर्नामेंट में स्वत: प्रवेश मिला है. एशिया कप से टॉप-3 टीमें विश्व कप के लिए क्वालिफाई करेंगी .
2 बार के ओलंपियन सरदार सिंह को टीम का कोच बनाया गया है. इस पूर्व कप्तान का कोच के रूप में यह पहला टूर्नामेंट होगा. भारत के अनुभवी प्लेमेकर एस वी सुनील ने भी संन्यास के बाद वापसी की है .वह टोक्यो ओलंपिक में चोट के कारण नहीं खेल सके थे. एशिया कप में भारत को जापान, पाकिस्तान और मेजबान इंडोनेशिया के साथ पूल-ए में रखा गया है जबकि मलेशिया, कोरिया, ओमान और बांग्लादेश पूल-बी में हैं.
टीम में कम से कम 10 खिलाड़ी ऐसे हैं जो सीनियर टीम में पदार्पण करेंगे. इनमें जूनियर विश्व कप खिलाड़ी यशदीप सिवाच, अभिषेक लाकड़ा, मनजीत, विष्णुकांत सिंह और उत्तम सिंह भी शामिल हैं. इनके अलावा टीम में मारीस्वरेन शक्तिवेल, शेष गौड़ा बीएम, पवन राजभर, आभरण सुदेव और एस कार्थी के रूप में नये चेहरे शामिल हैं.
टीम में पंकज कुमार रजक और सूरज करकेरा के रूप में दो गोलकीपर हैं. डिफेंस की जिम्मेदारी रूपिंदर, यशदीप सिवाच, अभिषेक लाकड़ा, बीरेंद्र लाकड़ा, मंजीत, दीपसन टिर्की, विष्णुकांत सिंह, राजकुमार पाल, मरीस्वरेन शक्तिवेल, शेष गौड़ा बीएम और सिमरनजीत सिंह संभालेंगे. अग्रिम पंक्ति में पवन राजभर, अभारण सुदेव, एसवी सुनील, उत्तम सिंह और एस कार्थी शामिल हैं.
कोच बीजे करियप्पा ने कहा, ‘टीम में अनुभवी और नये खिलाड़ियों का अच्छा मिश्रण है, जिनमें से कई खिलाड़ी अलग-अलग आयु वर्ग में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खेले हैं लेकिन वे सीनियर टीम से नहीं खेले हैं. भारत मेजबान होने के कारण पहले ही विश्व कप के लिए क्वालिफाई कर चुका है, इसलिए यह हमारे लिए नये खिलाड़ियों को आजमाने का अच्छा मंच होगा.’
सरदार सिंह ने कहा, ‘इस टीम में प्रतिभाशाली खिलाड़ी हैं जिन्हें मैंने टीम में जगह बनाने के लिए पिछले कुछ सप्ताह में कड़ी मेहनत करते देखा है. भारत के कोच के रूप में यह मेरा पहला टूर्नामेंट होगा और मैं इस नये अनुभव को लेकर उत्साहित हूं.’
भारतीय टीम- गोलकीपर : पंकज कुमार रजक, सूरज करकेरा
डिफेंडर : रूपिंदर पाल सिंह (कप्तान), यशदीप सिवाच, अभिषेक लाकड़ा, बीरेंद्र लाकड़ा, मंजीत, दीपसन टिर्की, विष्णुकांत सिंह, राजकुमार पाल, मरीस्वरेन शक्तिवेल, शेष गौड़ा बीएम और सिमरनजीत सिंह
मिडफील्डर : विष्णुकांत सिंह, राज कुमार पाल, मारीस्वरेन एस, शेषे गौडा बीएम, सिमरनजीत सिंह
फॉरवर्ड : पवन राजभर, अभारण सुदेव, एस वी सुनील, उत्तम सिंह, एस कार्ती
स्टैंडबाय : पवन, परदीप सिंह, अंकित पाल और अंगद बीर सिंह
कोलकाता: ऐसी अटकलें लग रही हैं कि भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के अध्यक्ष और टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली की पत्नी डोना गांगुली राष्ट्रपति द्वारा राज्यसभा की मनोनीत सदस्य बन सकती हैं. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के सौरव गांगुली के घर रात्रिभोज करने के बाद से कयासबाजी का यह दौर शुरू हुआ है. आपको बता दें कि डोना प्रशिक्षित ओडिशी नृत्यांगना हैं. वह देश और विदेश में क्लासिकल डांस परफॉर्मेंस करती रहती हैं. भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष ने गत सोमवार को पत्रकारों से बातचीत के दौरान डोना गांगुली का नाम लेकर इन अटकलों को और हवा दे दी है.
दिलीप घोष ने पत्रकारों से कहा कि राष्ट्रपति अलग-अलग क्षेत्रों से ख्यातिलब्ध लोगों को राज्यसभा के लिए मनोनीत करते हैं. अगर वह पश्चिम बंगाल से भी किसी को मनोनीत करें, तो हमें खुशी होगी. उन्होंने आगे कहा कि और ज्यादा खुशी होगी अगर राष्ट्रपति द्वारा मनोनीत सदस्य के रूप में पश्चिम बंगाल से डोना गांगुली जैसी शख्सियत राज्यसभा में जाती हैं. भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रमुख सुकांत मजूमदार ने इस मामले में किसी तरह की टिप्पणी से इनकार कर दिया.
पश्चिम बंगाल से रूपा गांगुली और स्वप्न दासगुप्ता का कार्यकाल हो रहा समाप्त
सुकांत मजूमदार ने कहा कि यह पार्टी का आंतरिक मामला है और इस विषय में मीडिया से बात करना सही नहीं है. केंद्रीय नेतृत्व ही ऐसे मामलों में अंतिम निर्णय लेता है. हालांकि, उन्होंने यह जरूर कहा कि अगर सौरव गांगुली राज्यसभा जाते हैं तो उन्हें खुशी होगी. आपको बता दें कि पश्चिम बंगाल से राज्यसभा की सदस्य एवं रूपा गांगुली और पूर्व पत्रकार स्वप्न दासगुप्ता का कार्यकाल खत्म होने वाला है. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह हाल में पश्चिम बंगाल के तीन दिवसीय दौरे पर थे. इस दौरान वह 6 मई को सौरभ गांगुली के कोलकाता आवास पर रात्रिभोज करने पहुंचे थे.
भाजपा से जुड़े सूत्रों का कहना है कि सौरव गांगुली के घर पर अमित शाह, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार व पश्चिम बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी ने रात्रिभोज किया. इस दौरान डोना गांगुली को राष्ट्रपति की ओर से राज्यसभा सदस्य मनोनीत किए जाने के विषय में चर्चा हुई. डोना गांगुली ने उसी दिन विक्टोरिया मेमोरियल में नृत्य प्रदर्शन भी किया था. इस कार्यक्रम में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह भी मौजूद थे. वह यहां से डोना गांगुली के साथ ही उनके आवास पर रात्रिभोज के लिए पहुंचे थे. आपको बता दें कि पिछले साल पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव से पहले यह चर्चा भी चली थी कि भाजपा सौरव गांगुली को अपना मुख्यमंत्री चेहरा घोषित कर सकती है. (news18.com)
नई दिल्ली. दो बार की चैंपियन कोलकाता नाइटराइडर्स ने रिकॉर्ड पांच बार की विजेता मुंबई इंडियंस को 52 रन से हराकर आईपीएल में अपनी प्लेऑफ में पहुंचने की उम्मीदों को जीवित रखा है. आईपीएल के 56वें मुकाबले में मुंबई इंडियंस के अनुभवी तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने धारदार गेंदबाजी की. बुमराह ने मौजूदा सीजन की अपनी सबसे बेस्ट स्पैल फेंकी. उन्होंने 5 विकेट हॉल अपने नाम किया. ‘यॉर्कर’ स्पेशिलिस्ट के नाम से विख्यात इस तेज गेंदबाज ने अपने शुरुआती 3 ओवर में ही 5 विकेट झटक लिए थे, जिसमें एक ओवर मेडन ओवर भी रहा.
जसप्रीत बुमराह ने आईपीएल के साथ साथ टी20 करियर में पहली बार 5 विकेट हॉल अपने नाम किए. दाएं हाथ के इस तेज गेंदबाज ने अपने चार ओवर के कोटे में 10 रन देकर 5 विकेट चटकाए. बुमराह की धारदार गेंदबाजी की बदौलत ही केकेआर की टीम 2 विकेट पर 123 के बाद 20 ओवर में 9 विकेट पर 165 रन ही बना सकी. मुंबई के डीवाई पाटिल स्टेडियम में बुमराह की शानदार वापसी से मुंबई इंडियंस का खेमा काफी खुश नजर आया. बुमराह की पत्नी संजना गणेशन भी अपने पति के 5 विकेट हॉल की गवाह बनीं. स्टेडियम में मौजूद संजना काफी खुश नजर आईं.
संजना गणेशन ने अपनी खुशी का इजहार सोशल मीडिया पर किया. उन्होंने ट्विटर पर आग वाले तीन इमोजी के साथ लिखा, ‘मेरे पति फायर हैं.’ संजना का यह ट्वीट कुछ देर में वायरल हो गया. बुमराह पावरप्ले में एक भी विकेट नहीं ले पाए थे.
जसप्रीत बुमराह ने अपने तीसरे ओवर में 3 विकेट चटकाए
केकेआर ने शुरुआती 6 ओवर में एक विकेट पर 64 रन बनाए थे. मुंबई के इस तेज गेंदबाज ने केकेआर की पारी के 15वें ओवर में आंद्रे रसेल और सेट बल्लेबाज नीतीश राणा को पवेलियन की राह दिखाई. इसके बाद 18वें ओवर में वापसी करते हुए पैट कमिंस (शून्य), सुनील नरेन (शून्य) और शेल्डन जैक्शन को अपना शिकार बनाया. यानी उन्होंने अपने तीसरे ओवर में तीन विकेट निकाले. इस दौरान उन्होंने एक भी रन नहीं खर्च किए.
केकेआर के 12 मैच में 10 अंक हो गए हैं
इस जीत से नाइट राइडर्स के 12 मैच में 10 अंक हो गए हैं और टीम सातवें स्थान पर चल रही है. मुंबई की टीम पहले ही प्ले ऑफ की दौड़ से बाहर हो चुकी है और 11 मैच में चार अंक के साथ अंतिम स्थान पर चल रही है. नाइट राइडर्स के 166 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए मुंबई की टीम कमिंस (22/3), आंद्रे रसेल (22/2) और टिम साउदी (10/1) की धारदार गेंदबाजी के सामने सलामी बल्लेबाज ईशान किशन (51) के अर्धशतक के बावजूद 17.3 ओवर में 113 रन पर ढेर हो गई. (news18.com)
पाकिस्तान टीम के पूर्व कप्तान शाहिद अफरीदी और स्पिनर दानिश कनेरिया के बीच विवाद खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है. हाल में ही एक टीवी इंटरव्यू में अफरीदी ने कनेरिया के आरोपों का जवाब देते हुए भारत को दुश्मन देश बोल दिया था. जिस पर दानिश कनेरिया ने उन्हें ट्विटर पर जवाब दिया है.
कनेरिया ने दिया अफरीदी को जवाब
दानिश कनेरिया ने अफरीदी के इंटरव्यू के ट्वीट पर जवाब देते हुए ट्वीट किया कि, 'भारत हमारा दुश्मन नहीं है. हमारे दुश्मन वो हैं जो धर्म के नाम पर लोगों को बांट रहे हैं. अगर आपको लगता है कि भारत हमारा दुश्मन है तो आगे किसी भी भारतीय मीडिया चैनल पर मत जाइए. मैंने जब जबरन धर्म परिवर्तन का विरोध किया तो मेरा करियर बर्बाद करने की धमकियां भी दी गई थी.
बता दें कि कनेरिया ने एक इंटरव्यू में कहा था कि पाकिस्तान के लिए खेलते समय शाहिद अफरीदी ने उन पर धर्म परिवर्तन का दबाव बनाया था.
अफरीदी ने कही थी ये बात
बता दें कि दानिश के आरोपों पर जवाब देते हुए शाहिद अफरीदी ने का था कि इन आरोपों में कोई भी सच्चाई नहीं है. उसमे खुद स्पॉट फिक्सिंग कर देश के नाम पर कीचड़ उछाला है. हर किसी को उसके बारे में पता है. और अगर मैं इतना ही बुरा था कि वो उस समय बोर्ड में क्यों नहीं शिकयत की. अब वो एक दुश्मन देश को इंटरव्यू देकर धार्मिक भावनाएं भड़काने की कोशिश कर रहे हैं. का इंटरव्यू दे रहा है, जिसे धार्मिक भावनाएं भड़क सकती हैं.” (abplive.com)
पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर दानिश कनेरिया और पूर्व कप्तान शाहिद अफ़रीदी के बीच ज़ुबानी जंग तेज़ हो गई है. हाल ही में भारतीय मीडिया के साथ इंटरव्यू में दानिश कनेरिया ने शाहिद अफ़रीदी पर आरोप लगाया था कि हिंदू होने के कारण उन्होंने उनके साथ दुर्व्यवहार किया था. दानिश कनेरिया ने ये भी आरोप लगाया कि अफ़रीदी ने उन्हें इस्लाम अपनाने के लिए दबाव डाला. लेकिन अफ़रीदी ने दानिश कनेरिया के आरोपों को ख़ारिज किया और कहा कि दानिश कनेरिया ने स्पॉट फ़िक्सिंग मामले में देश को अपमानित किया और इसी के कारण उनका क्रिकेट करियर भी ख़त्म हो गया.
स्पॉट फ़िक्सिंग मामले में कनेरिया पर गंभीर आरोप लगे थे. शाहिद अफ़ीरीदी ने कहा कि सस्ती लोकप्रियता हासिल करने और पैसा बनाने के लिए कनेरिया उन पर आरोप लगा रहे हैं. अफ़रीदी ने ये भी कहा था कि दानिश कनेरिया हमारे दुश्मन देश को इंटरव्यू दे रहे हैं, जिसकी वजह से धार्मिक भावनाएँ भड़क सकती हैं. अब दानिश कनेरिया ने अफ़रीदी की इस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया दी है. कनेरिया ने कहा- भारत हमारा दुश्मन नहीं है. हमारे दुश्मन वो हैं, जो धर्म के नाम पर लोगों को भड़काते हैं. अगर आप भारत को दुश्मन मानते हैं, तो फिर किसी भारतीय मीडिया चैनल पर कभी मत जाइए. (bbc.com)
पुंटा प्राइमा (स्पेन). भारतीय ग्रैंडमास्टर (जीएम) डी गुकेश ने दमदार प्रदर्शन करते हुए रविवार को पहले चेसेबल सनवे फोरेमेंटेरा ओपन 2022 शतरंज टूर्नामेंट में चैंपियन बनने का गौरव हासिल किया. गुकेश की यह लगातार तीसरी खिताबी जीत है. उन्होंने हाल के हफ्तों में ला रोडा और मेनोर्का ओपन जीतने के बाद स्पेन में खिताब की हैट्रिक पूरी की.
चेन्नई के गुकेश ने अंतिम दौर में आर्मेनिया के जीएम हाइक एम मार्टिरोसियन के साथ ड्रॉ खेला और कुल आठ अंकों के साथ खिताब अपने नाम कियाा. उन्होंने 9वें दौर में दूसरी वरीयता प्राप्त के शशिकिरण को हराया था. 9 चरण तक अजेय रहे गुकेश ने यहां अपने प्रदर्शन की बदौलत 16 ईएलओ अंक हासिल किए.
15 साल के गुकेश अब वर्ल्ड रैंकिंग में 64वें नंबर पर पहुंच गए हैं. गुकेश ने शशिकिरण के अलावा शीर्ष वरीयता प्राप्त जैमे सैंटोस लतासा, तीसरी वरीयता प्राप्त शांत सरगिसन (आर्मेनिया) को ड्रॉ पर रोका. शशिकिरण (ईएलओ 2650) को 5.5 अंकों के साथ 9वें स्थान पर संतोष करना पड़ा.
गुकेश 3 साल पहले 2019 में ही ग्रैंडमास्टर बन गए थे. वह 7 साल की उम्र से शतरंज सीख और खेल रहे हैं. उन्होंने साल 2018 में अंडर-12 वर्ग में वर्ल्ड यूथ चेस चैंपियनशिप जीती थी.(news18.com)