जान्जगीर-चाम्पा

बस स्टैंड दुकानों की नीलामी को 12 वर्ष बीते, लाभार्थियों को नहीं पता कि आबंटन रद्द कर दिया गया
29-Jun-2022 10:13 PM
बस स्टैंड दुकानों की नीलामी को 12 वर्ष बीते, लाभार्थियों को नहीं पता कि आबंटन रद्द कर दिया गया

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

बलौदा, 29 जून। प्रतीक्षा बस स्टैंड के दुकानों की नीलामी 12 वर्ष बाद लाभार्थियों को नहीं पता कि उनका आबंटन रद्द कर दिया गया है। अकलतरा विधायक सौरभ सिंह ने पिछले विधानसभा सत्र के दौरान विधान सभा में प्रश्न लगाया था। जवाब में पता चला नीलामी रद्द कर दी गई।

अकलतरा विधानसभा क्षेत्र के नगर पंचायत बलौदा में सुरक्षित आवागमन के लिए बस स्टैंड की आवश्यकता अनुरूप वर्ष 2007-2008 में नगर पंचायत के द्वारा 30 लाख रुपये की लागत से प्रतीक्षा बस स्टैंड का निर्माण किया गया था, जहां पर गंतव्य से आने जाने वाले बसों के नियमित संचालन, रखरखाव, यात्रा करने वाले यात्रियों के ठहराव हेतु निर्धारित स्थान पर चयन कर निर्माण हुआ, साथ ही वहाँ समुचित विश्राम, पेयजल, प्रसाधन के अतिरिक्त बस डिपो के बाहर लोहे के शटर युक्त दुकानों का भी निर्माण कराया गया था, जिसे स्थानीय लोगों को उनके स्वरोजगार हेतु आबंटन किया जाये, जिससे नगर पंचायत के राजस्व में भी वृद्धि हो।

आज प्रतीक्षा बस स्टैंड को बने 14 वर्ष हो गए हैं, लेकिन वहां से बसों का संचालन आज तक शुरू नहीं हो पाया,साथ ही वहां बने दुकानों की नीलामी स्थानीय निवासियों को सन 2011 में तत्कालीन नगर पंचायत अधिकारी के द्वारा किया गया था, जिसमें बने दुकानों को सामान्य, पिछड़ावर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और विकलांग श्रेणी के लोगों को नीलामी के माध्यम से निर्धारित शुल्क दुकानों से हिसाब से 25 -25 हजार रुपये जमा कराये थे। समस्त लाभार्थी आज तक आश्वस्त है कि हमें दुकान आबंटित है सिर्फ नगर पंचायत से अधिपत्य मिलना बाकी है।

नीलाम हुए दुकान और प्रतीक्षा बस स्टैंड के संचालन के लिए बार-बार नगर पंचायत से लोगों ने गुहार लगाई, लेकिन नगरपंचायत के अधिकारी, और कर्मचारियों ने सुध नहीं ली और आज नवनिर्मित दुकानें कबाड़ में तब्दील हो गई।

नगर पंचायत के जिम्मेदारों को सुनने की फुर्सत नहीं है। क्षेत्रीय विधायक सौरभ सिंह भी कई बार नगर पंचायत के अधिकारियों-कर्मचारियों को योजनाओं को अमल में लाने को कहे, लेकिन उनकी भी बात नहीं सुनी गई, तो विधानसभा में बजट सत्र के दौरान प्रतीक्षा बस स्टैंड में निर्मित दुकानों के लागत मूल्य, कब बनाई गई और वर्तमान में दुकान किसे आबंटित किया गया है।

विधानसभा से पूछे गए सवालों के जवाब नगरीय प्रशासन मंत्री का जवाब आया कि  अंतिम नीलामी 2011 में कई गई थी, जिसे निकाय द्वारा विभाग को प्रेषित दरों को अमान्य कर पुन: नीलामी करने के निर्देश दिए है।

11 वर्ष के बाद नीलामी को रद्द होने की जानकारी आबंटी लाभार्थी को नहीं है। उन्हें अभी विधायक के प्रश्नों के जवाब के बाद पता चला।

आबंटी लाभार्थियों का कहना है कि नीलामी की प्रेषित दर कम है तो हमसे और राशि जमा करा दुकान हमें आबंटित करें। ऐसे में उनसे ली गई नीलामी राशि को क्यों रखी है, उसे वापस लौटा देना था और इतने वर्षों के बाद जब बसों का संचालन भी नहीं हो रहा है और उसमें निर्मित दुकानें भी क्षतिग्रस्त और टूट चुके हंै। तो इस स्थिति में मरम्मत के बाद ही दुकानों की नीलामी हो पाएगी, जो अभी के वर्ष में असंभव है और शासन की योजना जो जनता के सुविधाओं के लिए थी, मिट्टी में मिला दी जा रही है।

सामने बनी गुमटी भी धराशायी हो गए

प्रतीक्षा बस स्टैंड के सामने भी छोटे व्यवसायियों के लिए गुमटी भी बनाई गईं है उसका भी ड्रॉ के माध्यम से दो दर्जन फुटकर विक्रेताओं को आबंटित किया गया था, उन्हें भी आज तक अधिपत्य नहीं मिला है और सब्जी मार्केट में अपना-अपना खूंटा लगा जीवन यापन करने मजबूर है।

बलौदा के मुख्य नगर पंचायत अधिकारी जे एस राठिया का कहना है कि प्रतीक्षा बस स्टैंड में बने दुकानों की नीलामी की प्रकिया शीघ्र की जाएगी और दुकानों का आबंटन किया जाएगा।

अन्य पोस्ट

Comments

chhattisgarh news

cg news

english newspaper in raipur

hindi newspaper in raipur
hindi news