महासमुन्द
नम आंखों से भक्तों ने दी विदाई
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 6 अक्टूबर। दुर्गाष्टमी हवन पूजन के बाद मंगलवार को पंडालों में विराजित मां दुर्गा की प्रतिमा विसर्जन कल समाप्त हुआ। इस दौरान भक्तों ने नम आंखों से उन्हें विदा किया। धुमाल और बैंड पार्टी के साथ जसगीत के बीच प्रतिमा पंडाल से निकलकर महामाया तालाब पहुंची। यहां भक्तों ने प्रतिमा का विसर्जन किया। कल सुबह से शाम तक प्रतिमाओं का विसर्जन चलता रहा। मंगलवार को इक्का.दुक्का प्रतिमाओं का विसर्जन हुआ था। विसर्जन का दौर शहर के विभन्न पंडालों से शुरू हुआ जो, मेन रोड होते हुए अहिंसा द्वार, गांधी चौक होते महामाया तालाब तक पहुंची। इस दौरान जसगीत के साथ भक्त बाना व सांग लेकर अगुवाई करते नजर आए। किसी भक्त ने गाल में तो किसी ने जीभ में सांग बाना लिया था। शहर के विभिन्न चौक-चौराहों पर भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी। रही। ब्रह्मकुमारी ईश्वरीय विवि चैतन्य देवियों की झांकी का भी समापन हुआ।
मालूम हो कि प्रजापिता ब्रह्मकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय महासमुंद ने नवरात्रि पर्व के अवसर पर चैतन्य देवियों की झांकी स्थानीय टाउनहॉल में प्रदर्शित की गई थी। जिसका समापन अष्टमी तिथि पर हुआ। इस दौरान दुर्गा, सरस्वती, लक्ष्मी की जीवंत झांकी देखने बड़ी संख्या में भक्त शामिल हुए। इसी तरह ग्राम डोंगरीपाली कुंभकाल पहाड़ी पर स्थित दुर्गा मंदिर डोंगरीपाली में अष्टमी के दिन विधि-विधान से हवन-पूजन किया गया। बड़ी संख्या में ग्रामीण मंदिर पहुंचे और सुख-समृद्धि की कामना की। महासमुंद के नजदीकी ग्राम खरोरा में भक्तिभाव के साथ कल देवी प्रतिमाओं के साथ ज्योत-जंवारा का विसर्जन किया गया।