गरियाबंद

राजिम धार्मिक, आध्यात्मिक और सामाजिक समागम का केंद्र-भूपेश
06-Feb-2023 3:12 PM
राजिम धार्मिक, आध्यात्मिक और सामाजिक समागम का केंद्र-भूपेश

छत्तीसगढ़ शांति का टापू है-मुख्यमंत्री

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजिम, 6 फरवरी।
माघ पूर्णिमा से महाशिवरात्रि तक आयोजित होने वाले सुप्रसिद्ध राजिम माघी पुन्नी मेला का शुभारंभ भव्य आतिशबाजी के साथ मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के मुख्यअतिथ्यि में हुआ। कार्यक्रम की अध्यक्षता धर्मस्व, पर्यटन एवं गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू ने की। समारोह में वन मंत्री मोहम्मद अकबर, राजिम विधायक अमितेष शुक्ल, अभनपुर विधायक धनेन्द्र साहू, सिहावा विधायक लक्ष्मी धु्रव की गरिमामयी उपस्थिति रही। अतिथियों ने भगवान श्री राजीव लोचन की प्रतिमा में दीप प्रज्वलित कर पूजा अर्चना की।

इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री बघेल ने अपने उद्बोधन से पहले कका जिंदा है कहना था और दर्शक दीर्घ से तालियों की आवाज आती रही। उन्होंने अपने उद्बोधन में कहा कि राजिम को कमल क्षेत्र के नाम से जाना जाता है। माघी पुन्नी मेला के स्वरूप को बिगाड़ कर पूर्ववर्ती सरकार ने कुंभ बना दिया, जिनका खूब विरोध हुआ। जैसे ही हमारी सरकार आई सबसे पहले संसोधन बिल ताम्रध्वज साहू ने राजिम मेले के लिए लाया और नया आयाम दिया। हमारी सरकार ने धार्मिक शोषण को रोका है और लगातार विकास कार्य हो रहे हैं। सीएम बघेल ने बताया कि किसानों के हित के लिए लगातार नए-नए निर्णय लिए जा रहे हैं। धान खरीदी में इस बार जमकर इजाफा हुआ। 10 करोड़ 75 लाख 3 हजार मिट्रिक टन धान की खरीदी हुई है। 23 लाख किसान समर्थ मूल्य में धान बेचा है। खेती का रकबा बढ़ा है तथा किसान भी बढ़े हैं। गरियाबंद जिला में तीन जगहों पर प्राकृतिक गोबर के पेंट बनाने का काम हो रहा है। अब बिजली उत्पादन का भी काम होगा।

श्री बघेल ने कहा कि दस हजार गौठान से गौ पालक अत्यंत प्रसन्न है। डेयरी की संख्या बढ़ी है। लघु वनोपज से हर गरीब के घर में पैसा आया है। शिक्षा के क्षेत्र में नए बिल्डिंग के लिए एक हजार करोड़ की व्यवस्था किया गया है। शिक्षा, स्वास्थ्य एवं संस्कृति के लिए हजारों की संख्या में काम हो रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राजिम नगरी में सामाजिक बैठक होती है, अब महादेव घाट में मेला लगने की जगह नहीं है। जब मैं साहू समाज के कार्यक्रम में आता था, तब मुझे चिंता होती थी। मेला मैदान के लिए काम होना चाहिए, जहां पर सारी सुविधाएं एक ही स्थान पर स्थायी रूप् से अस्तित्व में आए। सडक़ चौड़ीकरण आदि का काम हो रहा है। आस्था के केन्द्र पर विकास का काम होना चाहिए। हम लोग वोट की राजनीति नहीं करते। छत्तीसगढ़ में पहले दहशत था, लोग यहां पांव रखते ही नक्सलियों ने नाम सुनकर डर जाते थे, लकिन अब यहां शांति है। भगवान श्री राजीव लोचन श्री कुलेश्वरनाथ महादेव की कृपा से कभी भी अकाल नहीं पड़ा है। उन्होंने शानदार आयोजन के लिए स्थानीय प्रशासन एवं आम नागरिकों को बधाई दी।

इस अवसर पर धर्मस्व मंत्री ताम्रजध्वज साहू ने पुन्नी मेला की बधाई दते हुए कहा कि नवीन मेला ग्राऊंड के लिए भूमि विकासित किया जा रहा है। अगले साल मेला नए मैदान पर लगेगा। रामचंद्र जी ने 22 सौ किमी की यात्रा की थी। अपने वानवास काल के पूरे दस साल छत्तीसगढ़ में गुजारे। राजिम में 19 करोड़ का काम राम वनगमन पथ के नाम से चालू है। जल्द ही इसे पूरा कर लिया जाएगा। साढ़े तीन किमी तक सडक़ के लिए 41 करोड़ रूपए का काम नवीन मेला मैदान पर होगा। यह सडक़ फोरलेन होगी। बोटिंग से लेकर अन्य कार्य आने वाले समय में होगा। मंच, बोर, लेबलिंग का काम शुरू हुआ है। राजिम, चौबेबांधा नवागांव मार्ग के लिए राशि स्वीकृत हुआ है। घाट निर्माण भी शुरू हो गया है। मेला में आवश्कतानुसार जनता को कोई दिक्कत न हो इस बार का ध्यान रखा जा रहा है।

श्री साहू ने कहा कि माता राजिम के भक्ति एवं भगवान विष्णु के कृपा इस क्षेत्र पर बनी हुई है। पंचकोशी यात्रा जिनमें पटेश्वरनाथ महादेव, चम्पेश्वरनाथ महोदव, ब्रम्केश्वरनाथ महोदव, फणिकेश्वरनाथ महोदव, कोपेश्वरनाथ महादेव तक पैदल यात्रा करने की अनोखी परंपरा इस क्षेत्र में है। वन मंत्री मोहम्बर अकबर ने कहा कि इस क्षेत्र का ऐतिहासिक महत्व है। 118 साल पुराना राजपत्र में राजिम मेला का जिक्र किया गया था। अंग्रेज जमाने से यहां मेला लग रहा है। राजिम एक मात्र शहर नहीं बल्कि संस्कृति एवं आस्था का केन्द्र है।

राजिम विधायक अमितेश शुक्ल ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को सनातन धर्म के रक्षक एवं गरीबों की चिंता करने वाले शब्द से सम्बोधित करते हुए कहा कि भूपेश सरकार बिना आडम्बर और दिखावा के काम करते हैं। राम वनगमनपथ जीता-जागाता उदाहरण है, जिसे पूरा प्रदेश देख रहा है। पूर्ववर्ती सरकार में मैं बार-बार शराब बंदी की मांग करता रहा, लेकिन किसी ने मेरी बात नहीं सुनी। भूपेश सरकार ने शराब बंदी और मांस बिक्री बंद कर न्याय किया है। राजिम संगम के ख्याति पूरी दुनिया में फैली हुई है। माता सीता ने रेत से शिवलिंग बनाया था। अभनपुर विधायक धनेन्द्र साहू ने कहा की राजिम छत्तीसगढ़ का सबसे बड़ा तीर्थ है। पूरे मध्य भारत का श्रद्धा का केन्द्र रहा है। राज्य बनने के बाद लगातार राजिम का विकास हुआ है। सिहावा विधायक श्रीमति लक्ष्मी ध्रुव ने कहा कि जनभावनाओं के अनुरूप राजिम को भव्य रूप देने में हमारी सरकार ने कोई कसर नहीं छोड़ा है। आज राजिम की भव्यता देखते ही बनती है। कलेक्टर प्रभात मलिक ने मेला आयोजन सम्बन्धी जानकारी दी। इस अवसर पर गरियाबंद व धमतरी जिले के अधिकारी, स्थानीय जनप्रतिनिधि, नागरिकगण मौजूद थे।

इस अवसर पर नगर पंचायत अध्यक्ष श्रीमती रेखा जितेन्द्र सोनकर, नवापारा नगर पालिका के अध्यक्ष धनराज मध्यानी, जनपद पंचायत फिंगेश्वर अध्यक्ष श्रीमती पुष्पा जगन्नाथ साहू, तेलघानी विकास बोर्ड के अध्यक्ष शैलेन्द्र साहू, भावसिंह साहू, विकास तिवारी, सौरभ शर्मा, संध्या राव, राजा चावला, विभाग के अधिकारी, स्थानीय जनप्रतिनिधि, नागरिकगण, पत्रकारगण सहित बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ रही।
 

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