दुर्ग

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 1 अप्रैल। पत्नी के चरित्र पर शंका करते हुए विवाद करने के बाद हथौड़ी से उसकी हत्या कर देने वाले आरोपी को कोर्ट ने सजा दी है। जिला सत्र न्यायाधीश संजय कुमार जायसवाल की कोर्ट ने आरोपी आदेश बंसोड़ को धारा 302 के तहत आजीवन कारावास, 5000 रुपए अर्थदंड तथा अर्थदंड न दे पाने पर 5 माह के सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। अभियोजन पक्ष की ओर से लोक अभियोजक बालमुकुंद चंद्राकर ने पैरवी की थी।
लोक अभियोजक बालमुकुंद चंद्राकर ने बताया कि मोहन नगर थाना अंतर्गत निवासी आदेश वंसोड़ का विवाह घटना से 12 वर्ष पूर्व सुजाता बंसोड़ के साथ हुआ था। सुजाता गोंदिया जिले के तहसील तिरोडा की रहने वाली थी। आरोपी आदेश चश्मा दुकान में काम करता था। वह अपनी पत्नी के चरित्र पर संदेह करता रहता था। इस बात को लेकर दोनों के बीच हमेशा विवाद होते रहता था। 20 सितंबर 2020 की रात को आरोपी आदेश अपनी पत्नी के साथ खाना खाने के बाद अपने कमरे में सोने चला गया। आरोपी की मां शांताबाई और उसका भाई राजेश मकान के हॉल में सोने चले गए थे।
दूसरे कमरे में आरोपी की विधवा बहन एवं उसके बच्चे सो रहे थे। रात लगभग 12.45 बजे दोनों के बीच विवाद होने लगा। इसके थोड़ी देर बाद आरोपी हॉल में आया तब मां ने पूछा कि किस बात को लेकर विवाद हो रहा है। तब आरोपी ने अपनी मां को बताया कि उसने हथौड़ी से मारकर सुजाता को घायल कर दिया है। यह सुनते ही मां ने शोर मचाया तो घर के सभी लोग वहां पर एकत्र हो गए। इस दौरान मौका पाकर आरोपी वहां से फरार हो गया था। घरवालों ने तुरंत सुजाता बंसोड़ को जिला अस्पताल पहुंचाया। गंभीर स्थिति होने पर उसे तुरंत रायपुर रेफर किया गया एजहां 21 सितंबर को उसकी मौत हो गई थी।