रायपुर

रायपुर, 30 मई। एमपी पापुनि के पूर्व अध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता इकबाल अहमद रिजवी ने नए संसद भवन के उद्घाटन में देश के सवोच्च पद पर आसीन आदिवासी वर्ग की महिला राष्ट्रपति श्रीमती द्रोपदी मुर्मू से न करवाना लोकतंत्र का अपमान निरूपित किया है तथा इस अपनामित कृत्य के लिए केन्द्र सरकार, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा तथा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का प्रायोजित निर्णय है जिससे देश का आदिवासी समुदाय एवं दलित अपने आपको अपमानित महसूस कर रहा है। दोनों को आमंत्रित न करना देश के इतिहास में काले अक्षरों में लिखा जाऐगा। इसके पीछे केवल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को महिमामंडित करने का इरादतन षडय़ंत्र स्पष्ट परिलक्षित होता है।
रिजवी ने कहा है कि आगामी लोकसभा चुनाव के पूर्व अयोध्या में होने वाले राम मंदिर के लोकार्पण समारोह में भी उन्हें नहीं बुलाया जाऐगा, यह तय नजर आ रहा है।