बालोद

हाईटेक हुए छत्तीसगढ़ के त्योहार, हरेली पर सी-मार्ट में बिक रही गेड़ी
13-Jul-2023 2:36 PM
हाईटेक हुए छत्तीसगढ़ के त्योहार, हरेली पर सी-मार्ट में बिक रही गेड़ी

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बालोद, 13 जुलाई।
छत्तीसगढ़ का पहला लोक त्योहार हरेली आने वाला है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार में जिस तरह से छत्तीसगढ़ी त्योहारों को तवज्जो दी गई, उसका अब परिणाम यह दिखने लगा है। बालोद शहर के सी-मार्ट में पारंपरिक गेड़ी बिकने लगी है। कलेक्टर कुलदीप शर्मा ने बताया कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की मंशा के अनुरूप बालोद जिले के सी-मार्ट में इस बार हरेली तिहार हेतु आम-नागरिकों के लिए गेड़ी विक्रय के लिए उपलब्ध कराया गया है। 

आपको  बता दें कि कि हरेली तिहार के साथ गेड़ी चढऩे की परंपरा अभिन्न रूप से जुड़ी हुई है। त्यौहार के दिन ग्रामीण क्षेत्रों में लगभग सभी परिवारों द्वारा गेड़ी का निर्माण किया जाता है। परिवार के बच्चे और युवा गेड़ी का जमकर आनंद लेते हैं। गेड़ी चढक़र ग्रामीण-जन और कृषक-समाज वर्षा ऋ तु का स्वागत करता है। वर्षा ऋ तु के दौरान गांवों में सभी तरफ कीचड़ होता है, लेकिन गेड़ी चढक़र कहीं भी आसानी से आया-जाया जा सकता है।

बांस से बनाई जाती है गेडिय़ां 
गेडिय़ां बांस से बनाई जाती है। दो बांस में बराबरी दूरी पर कील लगाई जाती है। एक और बांस के टुकड़ों को बीच से फाडक़र उसे दो भागों में बांटा जाता है, उसे रस्सी से फिर से जोडक़र दो पउवा बनाया जाता है। यह पउवा असल में पैरदान होता है, जिसे लंबाई में पहले काटे गए दो बांसों में लगाई गई कीलों के ऊपर बांध दिया जाता है। गेड़ी पर चलते समय रच-रच की ध्वनि निकलती है, जो वातावरण को और आनंददायक बना देती है।

जानिए गेड़ी का एक पक्ष
बालोद कलेक्टर कुलदीप शर्मा ने बताया कि हरेली के पर्व में गेड़ी का अपना अलग महत्व है मुख्यमंत्री जी के मंशा के अनुरूप जिले में हरेली पर्व की तैयारियां जोरों पर है। उन्होंने आगे बताया कि गेड़ी के पीछे एक महत्वपूर्ण पक्ष है जिसका प्रचलन वर्षा ऋ तु में होता है। वर्षा के कारण गांव के अनेक जगह कीचड़ भर जाती है, इस समय गेड़ी पर बच्चे चढक़र एक स्थान से दूसरे स्थान पर आते-जाते हैं, उसमें कीचड़ लग जाने का भय नहीं होता। बच्चे गेड़ी के सहारे कहीं से भी आ-जा सकते हैं।

मुख्यमंत्री ने की तारीफ
बालोद जिला प्रशासन की  इस पहल की छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भी जमकर तारीफ की है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह बहुत ही अच्छी पहल है और इसके लिए हमारे जिला प्रशासन द्वारा पूरी मेहनत की जा रही है। महिला स्वास्थ्य समूहों के साथ-साथ बांसोड़ परिवार भी है जो कि बांस से बनी चीजों का निर्माण कर अपना जीवन यापन करते हैं यह एक अपने आप में अनोखी शुरुआत है आने वाले हरेली पर्व में प्रशासन द्वारा बनाए गए वीडियो का उत्साह देखते ही बनेगा।

पहली बार बाजार में आया गेड़ी
सी-मार्ट के कर्मचारियों से बात की गई तो पता चला कि लोगों का उत्साह वीडियो के प्रति जमकर देखने को मिल रहा है, लोग उत्साह से यहां पर देखने आते हैं और खरीद कर भी जाते हैं, इसके साथ-साथ अन्य मार्ट की सामग्रियां भी खरीदते हैं।

विवेकानंद दिल्लीवार ने बताया कि इसकी लागत काफी ज्यादा है, परंतु यहां अनुमानित मध्य दर पर नो प्रॉफिट नो लॉस के साथ इसका विक्रय किया जा रहा है और यह छत्तीसगढ़ परंपरा को सहेजने का एक सशक्त माध्यम है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी की मंशा के अनुरूप हमारे छत्तीसगढ़ के पारंपरिक त्योहार की ओर लोग आकर्षित हो रहे हैं, इसी का परिणाम है कि अब यह गेड़ी माल जैसे जगह पर भी बिक रही है।
 

अन्य पोस्ट

Comments

chhattisgarh news

cg news

english newspaper in raipur

hindi newspaper in raipur
hindi news