गरियाबंद
नवापारा-राजिम, 30 जुलाई। नगर के कलाम कोठी भवन में एक दिवसीय स्वर्वेद कथामृत एवं ध्यान का आयोजन संत प्रवर विज्ञान देव जी महाराज की दिव्यवाणी जय स्वर्वेद कथा के रूप संपन्न हुआ। स्वर्वेद दोहों की संगीतमय प्रस्तुति से सभी श्रोता मंत्रमुग्ध हो उठे। आयोजकों ने बताया कि विहंगम योग संत समाज के शताब्दी समारोह महोत्सव एवं 25000 कुण्डीय स्वर्वेद स्वर्वेद ज्ञान महायज्ञ के निमित्त संत प्रवर विज्ञानं देव जी महाराज 7 जुलाई से दक्षिण भारत से संकल्प यात्रा कर्यक्रम का शुभारम्भ हो चुका है।
संकल्प यात्रा दक्षिण भारत तमिलनाडु, केरल पश्चात छत्तीसगढ़ में 23 जुलाई से बलरामपुर, अंबिकापुर, बिलासपुर, दुर्ग, राजनांदगांव, बालोद होते हुए सातवें दिवस 27 जुलाई को नवापारा राजिम (रायपुर) पहुँची। जहां रायपुर, महासमुंद, गरियाबंद, धमतरी के गुरु भाई, गुरु बहन, आध्यात्मिक पिपासु व जिज्ञासु वृन्द शामिल हुए। संत जी कलाम कोठी में प्रवचन के दौरान कहा कि गृहस्थ संत की महिमा हताशा निराशा अवसाद में नहीं रहना है। गंगा में स्नान करना अच्छा है, पर उसमें डूबकर प्राणों की आहुति नहीं देना है। इसी प्रकार हमें संसार-सागर में रहना है, पर उसी में उलझ कर नहीं रह जाना है।
उन्होंने कहा की स्वर्वेद महामंदिर धाम के प्रथम तल के उद्घाटन में देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति में हुई। उनके द्वारा मंदिर परिसर में उत्कीर्ण स्वर्वेद के दोहों व 200 से अधिक प्रसंगों को चित्र जिसमे गुरु शिष्य संवाद आदि वेड उपनिषद के आध्यात्मिक गुण तत्वों को आदि को देखकर प्रसंशा की गई। कार्यक्रम में सत्येन्द्र स्वर्वेदी, बब्बन सिंह, दिनेश सिंह, चापड़ी, जाधव साहू, उमेश साहू, आर एन साहू, पुरुषोत्तम सपहा, दिलीप प्रजापति, सेवक राम साहू, पूरनलाल साहू, राम खिलावन तारक, शेखर साहू, भैया राम साहू, परदेशी राम साहू, तोरण साहू, अमीरचंद साहू, सुखीराम साहू, गोपाल वर्मा, शिव कुमार साहू, चम्पत देवांगन सहित आश्रम परिवार के लोग उपस्थित थे।