दन्तेवाड़ा

कुपोषण को हराने बच्चों के खानपान पर ध्यान देना जरूरी - विधायक
02-Aug-2024 11:00 PM
कुपोषण को हराने बच्चों के खानपान पर ध्यान देना जरूरी - विधायक

आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की समीक्षा सह कार्यशाला

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

दंतेवाड़ा, 2 अगस्त। महिला बाल विकास  आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का एक दिवसीय समीक्षा सह कार्यशाला का आयोजन गीदम विकासखंड के जावंगा स्थित ऑडिटोरियम में संपन्न हुआ। इस कार्यशाला में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान, ‘‘एक पेड़ मां के नाम’’ वृक्षारोपण कार्यक्रम, इस सप्ताह चलने वाले स्तनपान सप्ताह, तथा यूनिवर्सल अंडा वितरण कार्यक्रम पर विशेष फोकस किया गया था।

 विधायक चैतराम आटामी ने कहा कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ता की जवाबदेही मात्र जैसे बच्चों का देखरेख, शिशुवती माता और गर्भवती माता का अच्छे से देखभाल करना ही नहीं है। बल्कि छोटे बच्चों में  प्रारंभिक शिक्षा एवं संस्कार देना भी है। इसके अलावा ग्रामीण महिलाओं को अपने स्वास्थ्य एवं पोषण के प्रति जागरूक करना भी उनका एक अहम दायित्व है। इस दृष्टि से आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एक ऐसा महत्वपूर्ण कर्मचारी है, जिसके कंधों पर विराट सामाजिक जिम्मेदारी रहती है।

उन्होंने संतोष व्यक्त किया कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ताएं स्वास्थ्य एवं सामजिक सुरक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य कर रही है। श्री अटामी ने आगे कहा कि जिले के कलेक्टर के द्वारा भी इस उद्देश्य के तहत लगातार आंगनबाड़ी और पोषण केन्द्रों का लगातार निरीक्षण किया जाता रहा है। इसके साथ ही उन्होंने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं से आग्रह किया कि आंगनबाड़ी भवनों के रखरखाव संबंधी समस्याओं पर तत्काल जिला प्रशासन को अवगत करायें।  जिले में कुपोषण की स्थिति पर उन्होंने कहा कि कुपोषण को हराने में  बच्चों के खानपान पर ध्यान देना तो जरूरी है साथ ही ग्रामीण समुदाय के बीच शुद्ध पेयजल की महत्ता पर अवश्य जागरूक करे क्योंकि दूषित पेयजल भी कुपोषण का एक बहुत बड़ा कारक है।

  यूनिवर्सल अंडा वितरण कार्यक्रम के विषय में उन्होंने कहा कि  बच्चों के पौष्टिक आहार को और भी गुणवत्तापूर्ण बनाने के लिए सभी आंगनबाड़ी केन्द्रों में प्रतिदिन अंडा वितरण किया जायेगा।

पहले कुपोषित बच्चों को ही अंडा दिया जाता है परन्तु अब शासन के निर्देशानुसार शहरी और ग्रामीण क्षेत्र के गर्भवती शिशुवती माता, 3 वर्ष से 6 वर्ष तक के बच्चों को प्रतिदिन अंडा दिया जाएगा। कार्यक्रम में उन्होंने देश के प्रधानमंत्री के द्वारा चलाए जा रहे ‘‘एक पेड़ मां के नाम‘‘ अभियान के संबंध में कहा कि अपने क्षेत्र की हरियाली को बरकरार रखने के लिए हम सभी को ‘‘एक पेड़ मां के नाम‘‘ से पौधे जरूर लगाये। प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के बस्तर प्रवास के संबंध में उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा महतारी वंदना योजना के तहत 6 वीं किस्त की राशि माता और बहनों के खातों में डाली जायेगी। जो महिला के सशक्तिकरण पर शासन की प्रतिबद्धता को दर्शाता । इसके साथ ही उन्होंने उत्कृष्ट कार्य करने वाले 40 आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित भी किया।

कार्यकर्ताओं की भूमिका अहम - कलेक्टर

कार्यक्रम में कलेक्टर मयंक चतुर्वेदी के द्वारा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के कार्यो को सर्वाधिक महत्वपूर्ण कार्यों में से एक बताते हुए उनसे आग्रह किया गया कि सभी कार्यकर्ता अपने अपने केन्द्रों में महिलाओं और बच्चों से संबंधित योजनाओं को पूरी उत्साह और उर्जा के साथ क्रियान्वयन करें।  इस मौके पर एसडीएम श्री जयंत नाहटा ने विभाग के  विगत छ: माह की उपलब्धियां के बारे में विस्तार से बताते हुए कहा गया कि जिले में  जिसमें पोषण ट्रेकर, के माध्यम से  कुपोषण, वास्टिंग, स्टंटिंग, कैप्चर फोटो, आधार वेरिफिकेशन, मोबाइल वेरिफिकेशन, एचसीएम (25 दिवस)के मानक निर्धारित किये गये है जिनके आधार पर मॉनिटिरिग की जा रही है। इसके साथ ही नियद नेल्लानार ग्राम येाजना के तहत 18 आंगनबाड़ी केन्द्र का अपडेटेशन मॉडल आंगनबाड़ी केन्द्र के रूप में, तथा कटेकल्याण के 16 आंगनबाड़ी केन्द्रो को मॉडल आंगनबाड़ी के रूप में विकसित किया जायेगा। इसके साथ ही यूनिवर्सल अण्डा कार्यक्रम का संचालन हेतु 2.56 करोड़ का बजट स्वीकृत किया गया है। जिसमें 32800 हितग्राही लाभान्वित होगें । इसके अलावा 130 आंगनबाडिय़ों में पोषण वाटिका का निर्माण किया गया है । इसके साथ ही 31 जनवरी तक जिले के सभी आंगनबाड़ी केन्द्र स्वयं के भवन से संचालित होगें।

इस कार्यशाला के दौरान आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं एवं हितग्राहियों द्वारा विचार साझा किये गये। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता श्रीमती भुनेश्वरी के द्वारा पोषण ट्रेकर से मिल रही सहुलियत,और श्रीमती चंपा ठाकुर ने पोषण वाटिका से आंगनबाड़ी केन्द्रों को मिल रहे लाभ को अवगत कराया। इसके अलावा अन्य हितग्राहियों ने आंगनबाड़ी केन्द्रों में दी जा रही नयी पोषण सुविधाओं को महिलाओं के हित में बेहद लाभप्रद बताया। उक्त कार्यशाला में जिला पंचायत सीईओ कुमार बिश्व रंजन, जिला कार्यक्रम अधिकारी वरुण नागेश और जिला परियोजना अधिकारी रितेश टंडन प्रमुख रूप से मौजूद थे।

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