धमतरी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
धमतरी, 5 अगस्त। छत्तीसगढ़ का पहला त्यौहार हरेली 4 अगस्त को जिलेभर में मनाया गया। सुबह यदुवंशी लोगों के घरों में पहुंचकर नीम की डंगाल लगाकर सुख व समृद्धि और निरोगी रहने की कामना की। खेत खलिहान और घर आंगन में कृषि उपकरणों की विशेष पूजा-अर्चना कर चीला का प्रसाद चढ़ाया। बच्चों की टोली दिनभर गेड़ी दौड़ा।
धमतरी समेत नगरी, कुरुद और मगरलोड ब्लॉक के सभी 370 पंचायतों और आश्रित गांवों में हरेली की धूम रही। कहीं-कहीं हरेली पर विविध पारंपरिक खेलकूद का आयोजन किया गया। धान की बोनी कार्य पूरा होने के बाद किसान कृषि उपकरण, ट्रैक्टर समेत अन्य कृषि औजारों को धोकर पूजा-अर्चना कर मंगल कामना की। पूजा के बाद गांव के लोग एक जगह पर इक_ा होकर हरेली त्यौहार को मिलजुल कर मनाया। महिलाओं की टोली फुगड़ी, रस्सा खींच जैसी प्रतियोगिता में भाग लिया। हटकेशर वार्ड में हरेली महोत्सव पर पारंपरिक खेलकूद प्रतियोगिता हुई। स्कूल मैदान में गेड़ी दौड़, कबड्डी, रस्सा खींच, कुर्सी दौड़ और साइकिल रेस हुआ।
दरवाजे पर लगाई नीम डाली
गांव में राऊत और बैगा हर घर के दरवाजे पर नीम की डाली लगाई। पशुधन के अच्छे स्वास्थ्य के लिए औषधि युक्त आटे की लोंदी भी खिलाई। गांव के सहाड़ा देव और ठाकुर देव के पास यादव समाज के लोग जंगल से लाई जड़ी-बूटी किसानों को वितरण किया। वहीं हरेली त्यौहार को खास तौर पर ग्रामीण क्षेत्रों में धूमधाम से मनाया गया। ठेठरी, खुरमी, पीडिया, गुलगुला, भजिया जैसे छत्तीसगढ़ पकवान बनाएं। वहीं बच्चों ने गेड़ी चढक़र उत्सव मनाया।