राजपथ - जनपथ

छत्तीसगढ़ की धड़कन और हलचल पर दैनिक कॉलम : राजपथ-जनपथ : सडक़ के लिए आरती सत्याग्रह
07-Dec-2021 5:28 PM
छत्तीसगढ़ की धड़कन और हलचल पर दैनिक कॉलम : राजपथ-जनपथ : सडक़ के लिए आरती सत्याग्रह

सडक़ के लिए आरती सत्याग्रह

सरगुजा जिला खासकर अंबिकापुर की सडक़ों का जो हाल भाजपा के शासनकाल में था, कांग्रेस की सरकार बनने के बाद उसमें विशेष सुधार नहीं हुआ है। नगर निगम के अलावा दूसरे जिलों तक पहुंचाने वाली सडक़ों का भी जर्जर हाल लोगों की परेशानी का सबब बना हुआ है। सडक़ों की मरम्मत के लिए जब जनप्रतिनिधियों के सामने नागरिकों की सारी गुहार विफल हो गई तब उन्होंने एक आरती तैयार की। यह किसी अच्छे रचनाकार की कलम से है। इस आरती में बिना भेदभाव के कांग्रेस, भाजपा के सभी प्रमुख नेताओं का उल्लेख है। आरती शाम के समय कैंडल जलाकर चौक चौराहों पर गाई गई है। आरती में युवा वर्ग के लोग और महिलाएं भी शामिल हो रही हैं। करीब 10 दिन हो गए पर जिले के 3 दिन कद्दावर मंत्री, केंद्रीय मंत्री, सांसद और विधायक उन्हें अब तक आश्वस्त नहीं कर पाए हैं कि सडक़ें सुधरेंगी।

ताकतवर शिक्षा अधिकारी

सरगुजा के दिव्यांग केंद्र में छात्राओं के साथ बीते सितंबर माह में हुई छेड़छाड़ और रेप की वारदात के बाद राजीव शिक्षा मिशन के परियोजना समन्वयक विनोद पैकरा को कलेक्टर के आदेश पर निलंबित किया गया था। और पैकरा की पहुंच इतनी कि उन्होंने न केवल राज्य शासन से अपना निलंबन खत्म करवाया बल्कि उसी जगह दोबारा पोस्टिंग ले ली। जशपुर जिले के प्रभारी मंत्री बनने के बाद उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल जब हाल ही में जिले के दौरे पर पहली बार पहुंचे तो स्थानीय नेताओं ने शासन की इस कार्रवाई पर रोष जताया। पटेल को भी हैरानी हुई कि ऐसा कैसे हो गया। कलेक्टर से पूछा तो उन्होंने भी बताया क्या करें, शासन का आदेश है। प्रभारी मंत्री इस ताकतवर शिक्षा अधिकारी को हटा पाते हैं या नहीं, ये देखना होगा।

कोंडागांव के अलावा रैंकिंग

नीति आयोग नियमित रूप से देश के 112 अति पिछड़े जिलों की रैंकिंग जारी करता है। कोंडागांव, नारायणपुर, महासमुंद, बस्तर, सुकमा, कोरबा, राजनांदगांव, बीजापुर, कांकेर और दंतेवाड़ा छत्तीसगढ़ के अति पिछड़े जिलों में शामिल हैं। ताजा रेटिंग में कोंडागांव जिले को स्वास्थ्य और पोषण के काम में पूरे देश में दूसरे नंबर पर रखा गया है। मगर अन्य जिलों की स्थिति बहुत अच्छी नहीं है। जैसे ऊर्जा नगरी वाले कोरबा में इंफ्रास्ट्रक्चर की रैंकिंग 79 तक नीचे पहुंची हुई है। वह कृषि में 61 में और फाइनेंसियल इंक्लूजन में 73वें स्थान पर है। बीजापुर का इंफ्रास्ट्रक्चर में 112 में 109वां स्थान है। नारायणपुर का 98 में तथा सुकमा का 102 में स्थान है। कृषि और जल संसाधन के मामले में भी अधिकांश जिले 40 या उससे नीचे की स्थिति में है। सुकमा का स्थान तो 111 पर है। कोंडागांव की उपलब्धि कतई कम नहीं है मगर बाकी मापदंडों पर, बाकी जिलों में भी रैंकिंग क्या है, इससे निगाह नहीं हटनी चाहिए।

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