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नयी दिल्ली, 9 मई। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) दिल्ली आबकारी नीति से जुड़े धन शोधन के मामले में जल्द ही नया आरोपपत्र दाखिल कर सकता है और उसमें मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) नेता के कविता और अन्य लोगों को बतौर आरोपी शामिल कर सकता है। आधिकारिक सूत्रों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
ईडी ने केजरीवाल को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत 21 मार्च को यहां उनके आधिकारिक आवास से गिरफ्तार किया था जबकि तेलंगाना के पूर्व मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव की बेटी और विधान पार्षद के. कविता को 15 मार्च को हैदराबाद से हिरासत में लिया गया था।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि दोनों नेताओं, मामले से जुड़े कुछ व्यक्तियों और कंपनियों सहित आधा दर्जन संस्थाओं के खिलाफ आरोपपत्र तैयार किया गया है और एजेंसी इसे अगले चार से पांच दिनों के भीतर यहां एक विशेष पीएमएलए अदालत में दाखिल कर सकती है।
सूत्रों ने बताया कि आरोपियों पर धन शोधन के आरोप लगाये जाएंगे और आरोपपत्र पीएमएलए की धारा 45 और 44(1) के तहत दाखिल किया जाएगा।
एजेंसी इस आरोपपत्र में आम आदमी पार्टी (आप) का नाम भी शामिल कर सकती है साथ ही 2022 में दर्ज मामले में कुछ नयी संपत्तियों के कुर्की के आंकड़े भी शामिल होंगे।
इस मामले में ईडी का यह सातवां आरोपपत्र होगा। एजेंसी ने इस मामले में अब तक केजरीवाल के पार्टी सहयोगी व पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया, राज्यसभा सदस्य संजय सिंह और अन्य सहित 18 लोगों को गिरफ्तार किया है। सिंह को कुछ वक्त पहले जमानत मिल गयी थी।
आप सूत्रों ने आरोप लगाया कि यह और कुछ नहीं बल्कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का आरोपपत्र है और केंद्र की सत्ता पर काबिज पार्टी का मकसद सिर्फ केजरीवाल को बदनाम करना है।
ईडी सूत्रों ने बताया कि एजेंसी, केजरीवाल पर जांच में 'असहयोग' करने, 'आप' के राष्ट्रीय संयोजक होने के नाते पार्टी द्वारा किए गए अपराध के लिए 'परोक्ष रूप से' उत्तरदायी होने और उनकी भूमिका व रोजमर्रा के मामलों में सक्रिय भागीदारी का आरोप लगा सकती है।
ईडी ने 55 वर्षीय केजरीवाल को दिल्ली सरकार के मंत्रियों, आप नेताओं और अन्य व्यक्तियों की मिलीभगत से किए गए आबकारी 'घोटाले' का मुख्य साजिशकर्ता करार दिया है।
दिल्ली के उपराज्यपाल वी. के. सक्सेना ने कथित अनियमितताओं की जांच केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) से कराने की सिफारिश की थी, जिसके बाद ईडी ने पीएमएलए के तहत मुकदमा दर्ज किया था। (भाषा)