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अपने चैनल की टीआरपी बढ़ाने के लिए अर्नब ने 'दिए लाखों रुपये'
29-Dec-2020 3:37 PM
अपने चैनल की टीआरपी बढ़ाने के लिए अर्नब ने 'दिए लाखों रुपये'

टीआरपी घोटाले की जांच कर रही मुंबई पुलिस ने मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट कोर्ट में दावा किया है कि टीवी पत्रकार अर्नब गोस्वामी ने अपने चैनलों की रेटिंग बढ़ाने के लिए बार्क के पूर्व सीईओ को लाखों रुपये दिए थे.

  डॉयचे वैले पर आमिर अंसारी का लिखा- 

टेलीविजन रेटिंग प्वाइंट (टीआरपी) घोटाले की जांच कर रही मुंबई पुलिस ने मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट कोर्ट में लिखित दावा किया है कि रिपब्लिक टीवी के एडिटर इन चीफ अर्नब गोस्वामी ने ब्रॉडकास्ट ऑडियंस रिसर्च काउंसिल (बार्क) के पूर्व मुख्य कार्यकारी अधिकारी पार्थ दासगुप्ता को "लाखों रुपये" बतौर रिश्वत दी थी. मुंबई पुलिस जो कि कथित टीआरपी घोटाले की जांच कर रही है उसने दासगुप्ता को पिछले हफ्ते गिरफ्तार किया था. मीडिया में आई खबरों के मुताबिक दासगुप्ता की हिरासत पर सुनवाई के दौरान पुलिस ने कहा, "उन्होंने रिपब्लिक टीवी की टीआरपी बढ़ाने के लिए के लिए अर्नब के साथ साजिश की."

पुलिस ने अपने रिमांड नोट में कोर्ट को बताया कि दासगुप्ता ने बार्क के एक और पूर्व बड़े अधिकारी के साथ मिलकर रिपब्लिक टीवी की टीआरपी बढ़ाने के लिए हेरफेर की और वे इस पूरे घोटाले के "मास्टरमाइंड" हैं. पुलिस का यह भी कहना है कि दासगुप्ता ने अपने पद का गलत इस्तेमाल किया और रिपब्लिक भारत और रिपब्लिक टीवी (अंग्रेजी) की टीआरपी अवैध तरीके से बढ़ाई. दासगुप्ता जून 2013 से नवंबर 2019 के बीच बार्क के सीईओ थे. 

कुछ मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक "अर्नब ने रिपब्लिक टीवी की टीआरपी बढ़ाने के लिए दासगुप्ता को लाखों रुपये दिए और इन पैसों से दासगुप्ता ने महंगी चीजें खरीदीं." पुलिस ने यह दावा करते हुए पूर्व सीईओ की हिरासत को और अधिक बढ़ाने की मांग की, जिससे यह जांच की जा सके कि इस तरह के और भुगतान किए गए थे या नहीं. पुलिस की मांग के बाद कोर्ट ने उनकी रिमांड 30 दिसंबर तक बढ़ा दी है.

यह पहला मौका है जब पुलिस ने अर्नब गोस्वामी की कथित भूमिका का जिक्र टीआरपी घोटाले में किया है. हालांकि रिमांड नोट में "रिपब्लिक ओनर्स" लिखा गया है और स्पष्ट तौर पर गोस्वामी का नाम नहीं लिखा गया है. गोस्वामी ने इस पर अब तक कोई टिप्पणी नहीं की है. 

इससे पहले अर्नब गोस्वामी 2018 में इंटीरियर डिजाइनर अन्वय नाइक और उसकी मां की आत्महत्या के मामले में गिरफ्तार हो चुके हैं. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उन्हें जमानत पर छोड़ दिया गया था. इस मामले की जांच महाराष्ट्र सीआईडी कर रही है.

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