राजनांदगांव
छत्तीसगढ़ संवाददाता
राजनांदगांव, 15 सितंबर। संस्कारधानी में आगामी गणेश चतुर्थी पर्व पर घरों और पूजा पंडालों में भगवान श्रीगणेश की प्रतिमा विराजित होगी। लंबोदर महाराज के जयकारे की गंूज गली-मोहल्ले में सुनाई देगी। विशालकाय गणेश की प्रतिमा के साथ जहां स्थल सजावट आकर्षण के केंद्र होंगे। वहीं घरों में भी बप्पा मोरिया की जय-जयकार होगी। गणेश चतुर्थी पर्व पर शहर कृत्रिम रौशनी में जगमग होगा। भगवान श्रीगणेश के दर्शन के लिए पूरे भक्तों की भीड़ सडक़ों पर नजर आएगी।
इधर स्थल सजावट के जरिये भगवान लंबोदर महाराज का विभिन्न रूप भक्तों को देखने का अवसर मिलेगा। स्थल सजावट के लिए शहरभर की दर्जनों समितियां पखवाड़ेभर पूर्व से तैयारी में जुटी है। समितियों ने इस बार भी उत्कृष्ट अंदाज में गणेश पर्व को मनाने के लिए जी-तोड़ मेहनत की है। इस बीच ग्रामीण इलाकों से समितियों के सदस्यों द्वारा प्रतिमा की तैयारियों को देखने मूर्तिकारों के पास पहुंच रहे हैं। जिले के दूरस्थ इलाकों के ग्रामीण स्थानीय मूर्तिकारों से ही प्रतिमा की खरीदी करते हैं। शहर के अलावा ग्रामीण इलाकों में भी भगवान श्रीगणेश की परंपरागत रूप से पूजा-अर्चना की जाती है। शहर के चौक-चौराहों में स्थल सजावट के लिए पंडाल लगाने का क्रम शुरू हो गया है। वहीं भगवान गणेश की विशालकाय से लेकर छोटी मूर्तियां अंतिम रूप ले रही है।
बताया जाता है कि गणेश पर्व पर लोगों को भगवान के कई रूप को देखने का अवसर मिलेगा। शहर की प्रतिष्ठित समितियों की ओर भी भक्तों को रिझाने के लिए आकर्षक मूर्तियां स्थापित की जाएगी। इस बीच राजनांदगांव शहर में गणेश चतुर्थी पर्व पर जगह-जगह चहल-पहल होगी। शहर के अंदरूनी और भीतरी इलाकों में विद्युत सजावट के साथ रात को अलग ही नजारा दिखाई देगा। रात को जहां डीजे के जरिये भक्तिमय गीत से वातावरण अलग होगा। वहीं मूर्तियों के दर्शन करने आधी रात तक लोगों को हुजुम भी उमड़ेगा।
मूर्तिकार अंतिम
रूप देने में जुटे
गणेश चतुर्थी पर्व पर गणेश समितियों को मूर्ति देने के लिए मूर्तिकार भी अपनी तैयारी में जोर दे रहे हैं। आगामी दिनों मूर्तिकारों के पास पंडाल में विराजित करने बड़ी मूर्तियों की तैयारी के लिए समिति के पदाधिकारी पंडाल की तैयारी में लगे हुए हैं। इधर शहर में छोटी गणेश की प्रतिमाएं भी बिक्री के लिए पहुंच गई है। शहर समेत जिले के अलग-अलग इलाकों के मूर्तिकार मूर्तियों को अंतिम रूप देने लगे हैं। इधर गणेश समिति के पदाधिकारी भी मूर्तिकारों के पास पहुंच रहे हैं।
शहर में बनी रहेगी रौनक
प्रथम पूजनीय भगवान श्रीगणेश की पौराणिक गाथाओं से जुड़ी लीलाएं गणेश चतुर्थी के साथ ही अगले ग्यारह दिनों तक स्थल सजावट में नजर आएगी। गणेशोत्सव के लिए विशिष्ट पहचान बना चुके राजनांदगांव में जगह-जगह विघ्नहर्ता की पूजे जाएंगे। राजनांदगांव में गणेश पर्व को ख्यातिप्राप्त है। शहर के हर चौराहे और गलियों में गणेश की प्रतिमाएं स्थापित किए जाएंगे। पूजा पंडाल समिति के पदाधिकारी और घरों में खास तैयारी के साथ पर्व की रौनक दिखाई देगी। स्थल सजावटों के जरिये लंबोदर महाराज की लीलाओं का प्रदर्शन किया जाएगा। रात को कृत्रिम रौशनी से शहर जगमग होगा। शहर में कई पुरानी समितियां विशालकाय गणेश की मूतियों की स्थापना करने की तैयारी में जुटी हुई है। ग्रामीण इलाकों से मूर्तियों की एक झलक पाने के लिए लोग आधी रात तक सडक़ों में चहल-कदमी करेंगे। इससे शहर में लोगों की चहल-पहल बनी रहेगी।