दुर्ग
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 27 अक्टूबर। हेमचंद यादव विवि, दुर्ग में एक माह से चल रहे छत्तीसगढ़ की जनजातियां विषय पर केन्द्रित सर्टिफिकेट कोर्स का गुरुवार को विवि परिसर स्थित टैगोर हॉल में शत-प्रतिशत मतदान करने की शपथ के साथ समापन हो गया।
यह जानकारी देते हुए कोर्स समन्वयक तथा डीसीडीसी, डॉ. प्रीता लाल ने बताया कि एक माह अवधि के ऑनलाईन सर्टिफिकेट कोर्स में 75 से अधिक प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया। समापन समारोह में सफल प्रतिभागियों को सर्टिफिकेट एवं मेडल प्रदान करने हेतु विवि की कुलपति, डॉ. अरूणा पल्टा एवं कुलसचिव, भूपेन्द्र कुलदीप, अधिष्ठाता छात्र कल्याण, डॉ. प्रशांत श्रीवास्तव, क्रीडा संचालक, डॉ. दिनेश नामदेव तथा एनएसएस समन्वयक, डॉ. आर. पी. अग्रवाल उपस्थित थे।
डॉ. प्रीता लाल ने बताया कि छत्तीसगढ़ की जनजातियों पर केन्द्रित इस सर्टिफिकेट पाठ्यक्रम में लिखित परीक्षा, प्रोजेक्ट एवं सामूहिक चर्चा के प्राप्तांकों के आधार पर कुल 65 प्रतिभागियों में से 49 प्रतिभागियों को सफल घोषित किया गया। इनमें प्रथम स्थान 82 प्रतिशत अंकों सहित साइंस कॉलेज, दुर्ग के कौशल साहू को मिला, द्वितीय स्थान पर मठपराई कलाकार डुमरडीह के अभिषेक सपन 81 प्रतिशत अंकों के साथ रहे, तृतीय स्थान पर दुर्ग की कुमारी प्रणाली अहिर ने 80 प्रतिशत अंक प्राप्त किये।
इस सर्टिफिकेट कोर्स के दौरान आमंत्रित व्याख्यान देने वालों में विवेकानंद शोधपीठ, रायपुर की चेयरमेन, डॉ. मीतामित्रा, विवि के अधिष्ठाता छात्र कल्याण, डॉ. प्रशांत श्रीवास्तव, कुलसचिव, भूपेन्द्र कुलदीप, आदिमजाति कल्याण विभाग के संचालक, रूपेन्द्र कवि, विवि के सहायक कुलसचिव, दिग्विजय कुमार, आदिमजाति कल्याण विभाग की सहाकय प्रबंधक, कुमारी अमूल्या सहारे तथा विवि की डीसीडीसी, डॉ. प्रीता लाल शामिल थीं।
समापन समारोह में प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए कुलसचिव, भूपेन्द्र कुलदीप तथा कुलपति, डॉ. अरूणा पल्टा ने प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए इस तरह के सर्टिफिकेट पाठ्यक्रम को उपयोगी बताते हुए कहा कि अगले सर्टिफिकेट पाठ्यक्रम से लिखित परीक्षा/ऑफलाईन पद्धति से आयोजित होगी। डॉ. पल्टा ने आमंत्रित व्याख्यानों के समय में परिवर्तन की प्रतिभागियों की मांग को भी स्वीकार कर लिया। समारोह में प्रतिभागी एवं वरिष्ठ सदस्य डॉ. विष्वनाथ पाणिग्रही ने टैगोर हॉल में उपस्थित सभी को शत्-प्रतिशत मतदान की शपथ दिलायी। प्रतिभागियों की ओर से डॉ. सपना शर्मा सारस्वत, हितेश कुमार तथा डॉ. विश्वनाथ पाणिग्रही ने फीडबैक तथा धन्यवाद ज्ञापन किया।