राजनांदगांव
प्रबंधन की शिकायत पर आरोपी को पुलिस ने किया गिरफ्तार
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 18 जनवरी। स्थानीय सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया की शाखा में करोड़ों रुपए की हेराफेरी का मामला सामने आया है। बैंक में कार्यरत सिंगल विंडो आपरेटर-ए के पद पर कार्यरत कर्मी पर खातेदारों की जानकारी के बगैर करोड़ों रुपए निजी खाते में जमा करने तथा कुछ खातेदारों को रुपए लौटाने के मामले की जांच करने पर सवा करोड़ रुपए गबन का आरोप लगा है। बैंक के आला अफसरों की शिकायत पर कोतवाली पुलिसा ने त्वरित कार्रवाई करते आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
मिली जनकारी के मुताबिक इस मामले को लेकर एएसपी राहुल देव शर्मा और कोतवाली निरीक्षक ऐमन साहू ने पत्रकारवार्ता में बताया कि बैंक के रायपुर स्थित क्षेत्रीय कार्यालय के प्रमुख शैलेष वर्मा ने राजनांदगांव के ब्रांच में पदस्थ कर्मचारी आदेश राज भावे के खिलाफ हेराफेरी व गबन की शिकायत पुलिस से की थी। बैंक ने रिपोर्ट में पुलिस को बताया कि आदेश राज द्वारा कई खातेदारों की तकरीबन दो करोड़ 32 लाख 17 हजार रुपए अपने निजी खाते में जमा कर लिए। वहीं कर्मचारी ने खातेदारों का मोबाइल नंबर भी षडयंत्रपूर्वक बदल दिया, ताकि लेन-देन संबंधी मैसेज ग्राहकों तक न पहुंच पाए। इस दौरान आरोपी कर्मचारी ने 99 लाख 15 हजार रुपए कुछ खातेदारों के खाते में जमा भी कर दिया, लेकिन एक करोड़ 33 लाख 2 हजार रुपए शेष रकम खातेदारों को नहीं लौटाया।
इस मामले की शिकायत आने पर बैंक प्रबंधन ने अपने स्तर पर जांच शुरू की। जिसमें पता चला कि आदेश राज भावे द्वारा लगभग डेढ़ दर्जन ग्राहकों के खाते से दिसंबर 2022 से दिसंबर 2023 तक अवैधानिक लेनदेन को अंजाम दिया। पुलिस ने बताया कि इसमें कई खातेदार अशिक्षित भी हैं। रायपुर क्षेत्रीय कार्यालय की ओर से पुलिस को कुछ मोबाइल नंबर भी दिए गए हैं। इस तरह बैंक में पदस्थ कर्मचारी ने ही खातेदारों को चूना लगाया है। बैंक की शिकायत के आधार पर पुलिस ने 15 घंटे के भीतर आरोपी को रायपुर से गिरफ्तार किया है। हालांकि यह साफ नहीं है कि गबन की राशि की वापसी कैसे होगी। सेंट्रल बैंक के खातेदारों में इस खबर से हडक़ंप की स्थिति मच गई है।