दुर्ग
दुर्ग, 19 फरवरी। कलेक्टर ने ग्रामीण क्षेत्रों में निर्मित सभी सेग्रीगेशन शेड के उपयोग व हर गांव में घर-घर कचरा एकत्रीकरण अनिवार्यत: किये जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने सेग्रीगेशन वर्कशेड के 33 प्रगतिरत कार्यों को 29 फरवरी तक पूर्ण करने कहा साथ ही परिवार संख्या की ग्रामवार जानकारी तैयार कर प्रस्तुत करने निर्देशित किया।
समीक्षा बैठक में कलेक्टर नियमित कचरा एकत्रीकरण एवं वर्कशेड के उपयोग, स्वच्छता शुल्क, 15वें वित्त से मानदेय दिये जाने, कचरा विक्रय से आय, जनसंख्या, परिवार संख्या की ग्रामवार जानकारी तैयार कर प्रस्तुत करने के निर्देश कहा कि प्रत्येक विकासखंड में 10-10 ग्रामों को मॉडल बनाए। योजनांतर्गत कार्य कर रहे सभी अमले को योजना की मार्गदर्शिका एवं प्रावधान की समस्त जानकारी होना अनिवार्य है।
इसी प्रकार समस्त स्वीकृत सामुदायिक सोकपिट का निर्माण कार्य 29 फरवरी तक पूर्ण कर लिया जाए। ग्राम स्तर पर घरों के निकलने वाले पानी के उचित प्रबंधन हेतु व्यक्तिगत सोकपिट निर्माण किये जाने के निर्देश दिये गये। उन्होंने कहा कि 5 से 10 घरों के बीच ग्रे-वाटर मैनेजमेंट के लिये सामुदायिक सोकपिट का निर्माण, समस्त हैण्डपम्प में सोकपिट का निर्माण, नाली के अंतिम छोर में सोकपिट, लिचपिट एवं ट्रिटमेंट यूनिट निर्माण करे घर से निकलने वाले अपशिष्ट जल को व्यक्तिगत सोख्ता गड्ढा निर्माण कर खुले में बहाये जाने पर रोक लगाने के सक्त निर्देश दिए।
स्वीकृत सामुदायिक नॉडेप, वर्मी कम्पोस्ट एवं व्यक्तिगत नॉडेप निर्माण का कार्य 1 माह के भीतर पूर्ण कर लें। सामुुदायिक स्तर पर बने नाडेप को प्रति सप्ताह सफाई हो असफल हैंडपंप में रिचार्जपिट निर्माण पूर्ण किये जाने एवं बोर के समीप रिर्जापिट स्वीकृत किया जाए। प्रशासकीय स्वीकृति प्राप्त त्री-स्तरीय जल शुद्धिकरण इकाई के प्रगतिरत एवं अप्रारंभ कार्यों को भी पूर्ण करने निर्देशित किया, साथ ही जिन ग्राम पंचायतों में आवश्यकता है, वहाँ नवीन स्वीकृति दें वहीं सभी शौचालयों के उपयोग को सुनिश्चित करने कहा गया। सामुदायिक शौचालय के रख-रखाव हेतु स्व-सहायता समूह एवं ग्राम पंचायत के माध्यम से नियमित रूप से कराये।