महासमुन्द
महासमुंद, 4 मार्च। लंबे समय से जिले के विभिन्न स्थानों पर अटैच शिक्षक अब अपने मूल पदस्थापना वाले स्कूलों में लौटेंगे। शिक्षकों की कमी के बावजूद उन्हें किसी विभाग या फिर गैर शिक्षकीय कार्यों में मूल स्थानों से पृथक कर अटैच कर दिया गया था। जिले भर में 200 शिक्षक हैं जो अन्य स्थानों पर अटैच हैं। इसमें प्राथमिक शाला के 161, पूर्व माध्यमिक शाला के 35, हाई हायर के 4 शिक्षक शामिल हैं। शिक्षा विभाग से मिली जानकारी के अनुसार इन शिक्षकों को अटैच कारण एकल शिक्षकीय स्कूल, शिक्षकों की कमी, मातृत्व अवकाश, तालाबंदी की चेतावनी जैसे कारण बताए गए हैं। अनेक शिक्षक तो छात्रावास,अनुविभागीय कार्यालय,कन्या आश्रम में भी अटैच हैं।
शिक्षकों की कमी की वजह से आए दिन ग्रामीण अंचलों में धरना तो तालाबंदी जैसी घटनाएं आम हो गई है। अनेक प्रभावशील तो अपने निवास के आसपास ही अपनी नियुक्ति करवाए हैं। कुछ वर्ष पूर्व शिक्षकों का उन्नयन किया गया था। इसके बाद स्थिति ज्यों त्यों हो गई। फलस्वरूप एक बार फिर शासन ने अटैच शिक्षकों को मूल स्थान पर वापस लाने आदेश जारी किया है। मालूम हो कि शिक्षा विभाग में कई ऐसे शिक्षक हैं जिन्हें लंबे अरसे से ना तो स्कूल भेजा गया है और ना ही वे क्लास में छात्रों को पढ़ाते हैं।
ऐसे भी कई शिक्षक हैं जो लंबे अरसे से ना अपने स्कूल गए हैं और न ही जिस शिक्षक कार्य के लिए उनकी पोस्टिंग हुई है, उन दायित्वों का निर्वहन कर रहे हैं। लंबे समय से गैर.स्टार्टअप कार्य कर रहे थे। लिहाजा शासन ने अब यह निर्णय लिया कि गैर.शिक्षकीय कार्यों में लगे सभी कर्मचारियों को उनके मूल पदों पर भेजा जाएगा।