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![राफेल को छोड़, कई नियमित विदेशी लड़ाकू विमान एयरो इंडिया 2021 से नदारद राफेल को छोड़, कई नियमित विदेशी लड़ाकू विमान एयरो इंडिया 2021 से नदारद](https://dailychhattisgarh.com/2020/article/1612358293b216d02a0d41995b59830f9c84919b2.jpg)
बेंगलुरु, 3 फरवरी | दसॉ के राफेल को छोड़कर, अन्य वैश्विक एयरोस्पेस दिग्गज के लड़ाकू विमान बुधवार को द्विवार्षिक एयरो इंडिया 2021 के 13 वें संस्करण में शामिल नहीं हुए। इनमें लॉकहीड का एफ -21, बोइंग का एफ/ए-18 सुपर हॉर्नेट, मिग का मिग-35 इत्यादि शामिल है। पांच लड़ाकू विमान जो एयर शो के पिछले संस्करणों में नियमित रूप से भाग लेते थे, दर्शक इस बार उनके करतब को देखने से वंचित रह गए।
एक रक्षा अधिकारी ने शहर के बाहरी इलाके स्थित येलेहंका एयर बेस पर राफेल के बारे में बात करते हुए कहा, "आईएएफ ने पहले ही 8 राफेल को अपने परिचालन बेड़े में शामिल कर लिया है, अन्य चौथी पीढ़ी के लड़ाकू विमानों को कोविड-से प्रभावित एयर शो से दूर रखा गया है। क्योंकि भारत की तरफ से उनके लिए बोली लगाने की संभावनाएं नहीं हैं।"
इसके अलावा, सरकार ने आत्मनिर्भर भारत के लिए बोली लगाई है और राज्य में संचालित हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) ने 83 स्वदेशी लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (टीएएस) की आपूर्ति करने का आदेश प्राप्त किया है।
नाम न छापने की शर्त पर अधिकारी ने कहा, "भारतीय वायुसेना के लड़ाकू पायलटों ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और अन्य गणमान्य लोगों की मौजूदगी में उद्घाटन समारोह में 3 राफेल उड़ाए, लेकिन उनकी हवाई क्षमता और अद्भुत क्षमताओं का प्रदर्शन नहीं किया।"
हालांकि, स्वदेश निर्मित एलसीए को भारतीय वायुसेना के लड़ाकू विमान चालक मनीष तोलानी ने उड़ाया और साहसी करतब दिखाए।
रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) की शहर स्थित राज्य-संचालित विमान विकास एजेंसी (एडीए) द्वारा डिजाइन विकसित तथा राज्य द्वारा संचालित हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएल) द्वारा निर्मित, तेजस दुनिया का एकमात्र हल्का लड़ाकू विमान है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में सुरक्षा मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने 13 जनवरी को 48,000 करोड़ रुपये में 83 तेजस मार्क -1 ए वेरिएंट की खरीद को मंजूरी दी थी। (आईएएनएस)