राष्ट्रीय
नई दिल्ली, 15 जनवरी । भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने सोमवार को कहा कि इलेक्ट्रॉनिक टोल संग्रह प्रणाली की दक्षता बढ़ाने के अपने कदम के तहत, अपूर्ण केवाईसी वाले फास्टैग को 31 जनवरी के बाद बैंकों द्वारा निष्क्रिय या ब्लैकलिस्ट कर दिया जाएगा।
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के आदेश का उल्लंघन करते हुए एक विशेष वाहन के लिए कई फास्टैग जारी किए जाने और केवाईसी के बिना फास्टैग जारी किए जाने की हालिया रिपोर्टों के बाद एनएचएआई ने यह पहल की है।
एनएचएआई का निर्देश 'एक वाहन, एक फास्टैग' के तहत जारी किया गया है। इसका उद्देश्य कई वाहनों के लिए एकल फास्टैग का उपयोग करने या किसी विशेष वाहन से कई फास्टैग को जोड़ने के उपयोगकर्ता व्यवहार को हतोत्साहित करना है।
असुविधा से बचने के लिए, उपयोगकर्ताओं को यह सुनिश्चित करना होगा कि उनके नवीनतम फास्टैग का केवाईसी पूरा हो गया है। एनएचएआई के बयान में कहा गया है कि केवल नवीनतम फास्टैग खाता ही सक्रिय रहेगा।
आगे की सहायता या प्रश्नों के लिए, फास्टैग उपयोगकर्ता निकटतम टोल प्लाजा या अपने संबंधित जारीकर्ता बैंकों के टोल-फ्री ग्राहक सेवा नंबर पर पहुंच सकते हैं।
बयान में यह भी बताया गया कि फास्टैग को कभी-कभी जानबूझकर वाहन की विंडस्क्रीन पर नहीं लगाया जाता है, इसके परिणामस्वरूप टोल प्लाजा पर अनावश्यक देरी और असुविधा होती है।
--आईएएनएस
गुवाहाटी, 15 जनवरी । असम के गोलाघाट जिले में करंट लगने से एक जंगली हाथी की मौत हो गई। वन विभाग के अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी।
यह घटना रविवार रात ग्रेटर मोरांगी इलाके के लेटेकुजन में हुई, जब स्थानीय लोग माघ बिहू उत्सव के हिस्से के रूप में उरुका मना रहे थे।
एक वन अधिकारी ने कहा,“जंगली हाथियों का एक झुंड पिछले कुछ महीनों से मोरांगी इलाके में घूम रहा था। रविवार की रात, एक हाथी राजमार्ग 39 के पास बिजली के तार के संपर्क में आ गया और उसकी मौके पर ही मौत हो गई।”
घटना के बाद वन विभाग की एक टीम मौके पर पहुंची और जंगली हाथी का शव बरामद किया। (आईएएनएस)।
कोलकाता, 15 जनवरी । कलकत्ता उच्च न्यायालय ने ईडी और सीएपीएफ कर्मियों पर 5 जनवरी को हुए हमले की जांच में ढुलमुल रवैये के लिए पश्चिम बंगाल पुलिस को कड़ी फटकार लगाई।
ईडी और सीएपीएफ कर्मियों पर उस समय हमला किया गया, जब उन्होंने राशन वितरण मामले के सिलसिले में पश्चिम बंगाल के उत्तर 24 परगना जिले के संदेशखाली में स्थानीय तृणमूल कांग्रेस नेता शेख शाहजहां के आवास पर छापेमारी और तलाशी का प्रयास किया।
जैसे ही मामले से संबंधित एक मामला न्यायमूर्ति जय सेनगुप्ता की एकल-न्यायाधीश पीठ में सुनवाई के लिए आया, उन्होंने मामले मे अब तक केवल चार लोगों को गिरफ्तार करने पर आपत्ति जताई।
न्यायमूर्ति सेनगुप्ता ने इस बात पर निराशा व्यक्त की कि जब हमले का आरोप हजारों लोगों की भीड़ पर है, तो हमले के दस दिन बीत जाने के बाद केवल चार लोगों को कैसे गिरफ्तार किया गया है।
उन्होंने इस बात पर भी निराशा व्यक्त की कि राज्य सरकार ने अभी तक इस मामले में केस डायरी अदालत में जमा नहीं की है। “केवल केस डायरी ही बता सकती है कि मामले की जांच में अब तक क्या प्रगति हुई है। जस्टिस सेनगुप्ता ने सवाल किया, क्या घटना के बाद पुलिस ने शेख शाहजहां के घर के अंदर जाने का प्रयास किया?
उन्होंने राज्य पुलिस को मंगलवार तक केस डायरी अदालत में जमा करने का भी निर्देश दिया, जब मामले की दोबारा सुनवाई होगी।
न्यायमूर्ति ने यह भी सवाल किया कि राज्य पुलिस ने स्थानीय नज़ात पुलिस स्टेशन में दर्ज एफआईआर में भारतीय दंड संहिता (पीसी) की धारा 307 (हत्या के प्रयास के लिए सजा) को शामिल क्यों नहीं किया। जस्टिस सेनगुप्ता ने सवाल किया "क्या नज़ात पुलिस स्टेशन द्वारा मामले की जांच जारी रखने का कोई मतलब है?" .
राज्य के महाधिवक्ता किशोर दत्ता ने कहा कि राज्य पुलिस की टीम ने तीन बार शेख शाहजहां के आवास का दौरा किया और हर बार उन्हें आवास पर ताला लगा मिला। (आईएएनएस)।
नई दिल्ली, 15 जनवरी । पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की बेटी शर्मिष्ठा मुखर्जी ने सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। शर्मिष्ठा मुखर्जी ने प्रधानमंत्री मोदी को अपनी किताब 'प्रणब माई फादर : ए डॉटर रिमेम्बर्स' की एक प्रति भी भेंट की।
प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात के बाद शर्मिष्ठा मुखर्जी ने कहा कि वह (प्रधानमंत्री) हमेशा की तरह उनके प्रति दयालु थे और बाबा (प्रणब मुखर्जी) के प्रति उनका सम्मान कम नहीं हुआ है।
शर्मिष्ठा मुखर्जी ने प्रधानमंत्री मोदी के साथ अपनी मुलाकात की तस्वीरों को शेयर करते हुए एक्स पर पोस्ट कर कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मेरी पुस्तक 'प्रणब माई फादर : ए डॉटर रिमेम्बर्स' की एक प्रति भेंट करने के लिए मुलाकात की। वह हमेशा की तरह मेरे प्रति दयालु थे और बाबा के प्रति उनका सम्मान कम नहीं हुआ। धन्यवाद सर।" (आईएएनएस)।
नई दिल्ली, 15 जनवरी । हाल के एक घटनाक्रम में, नकदी संकट से जूझ रहे गो फर्स्ट के ऋणदाताओं ने एयरलाइन के अधिग्रहण के लिए वित्तीय बोलियों की समय सीमा 31 जनवरी तक बढ़ा दी है।
घटनाक्रम से वाकिफ एक सूत्र ने सोमवार को आईएएनएस को बताया कि विमानन कंपनी स्काई वन जिसका मुख्यालय शारजाह में है, अमेरिका स्थित एनएस एविएशन और भारतीय एयरलाइन स्पाइसजेट ने आर्थिक रूप से संकटग्रस्त गो फर्स्ट का अधिग्रहण करने में रुचि दिखाई है।
सूत्र ने कहा, "स्काई वन मौजूदा अधिग्रहण में रुचि रखता है लेकिन किसी भी विवरण पर टिप्पणी करना जल्दबाजी होगी।"
संस्थाओं ने गो फर्स्ट के कॉरपोरेट इन्सॉल्वेंसी रिजॉल्यूशन प्रोसेस (सीआईआरपी) की देखरेख करने वाले रिजोल्यूशन प्रोफेशनल शैलेन्द्र अजमेरा से संपर्क किया था।
स्पाइसजेट ने दिसंबर में शेयर बाजार को बताया था कि कंपनी ने "गो फर्स्ट के रेजोल्यूशन प्रोफेशनल के साथ रुचि व्यक्त की है" और संभावित संयोजन में एक मजबूत और व्यवहार्य एयरलाइन बनाने की दृष्टि से एक प्रस्ताव प्रस्तुत करना चाहती है।
उसने बताया कि कंपनी के बोर्ड ने हाल ही में अपनी वित्तीय स्थिति को मजबूत करने और विकास योजनाओं में निवेश करने के लिए संसाधन प्रदान करने के लिए लगभग 27 करोड़ डॉलर की नई पूंजी जुटाने की प्रक्रिया को मंजूरी दे दी है।
सूत्रों के मुताबिक, गो फर्स्ट क्रेडिटर्स कमेटी ने एयरलाइन के लिए एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (ईओआई) जमा करने की समय सीमा 19 जनवरी तक बढ़ा दिया है।
इसके अतिरिक्त, दिवालियापन कानून के तहत सीआईआरपी के लिए वैधानिक 270-दिन की सीमा को ध्यान में रखते हुए, संभावित बोलीदाताओं से अस्थायी रूप से 31 जनवरी तक अपनी बोलियां जमा करने की उम्मीद की जाती है, जो गो फर्स्ट के लिए 4 फरवरी को समाप्त होती है। हालाँकि यदि आवश्यक हो तो इस समय सीमा को बढ़ाया जा सकता है।
--आईएएनएस
लखनऊ, 15 जनवरी उत्तर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय राय के नेतृत्व में कांग्रेसी नेता एवं कार्यकर्ता सोमवार दोपहर को अयोध्या के लिए रवाना हुए जहां वे पवित्र सरयू में स्नान करेंगे और प्रमुख मंदिरों में दर्शन-पूजन करेंगे।
पार्टी की राज्य इकाई के प्रवक्ता उमा शंकर पांडे ने कहा कि अजय राय और कांग्रेस विधायक दल की नेता आराधना मिश्रा मोना अयोध्या के लिए रवाना हो गईं, जहां उनका दोपहर 2 बजे तक पहुंचने का कार्यक्रम है।
कांग्रेस के शीर्ष नेताओं द्वारा 22 जनवरी को अयोध्या के राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा समारोह के निमंत्रण को अस्वीकार करने के बावजूद, पार्टी की उत्तर प्रदेश इकाई "मकर संक्रांति" पर मंदिर शहर का दौरा करने के अपने कार्यक्रम के साथ आगे बढ़ने की अपनी योजना पर कायम है।
पांडे ने कहा कि जो अन्य लोग अयोध्या जा रहे हैं उनमें राष्ट्रीय सचिव प्रभारी धीरज गुर्जर भी शामिल हैं।
पांडे ने कहा, वरिष्ठ नेता दीपेंद्र सिंह हुड्डा और अविनाश पांडे सीधे अयोध्या पहुंचेंगे।
कांग्रेस ने एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा, कांग्रेसियों का सरयू में पवित्र डुबकी लगाने का कार्यक्रम है जिसके बाद वे हनुमान गढ़ी मंदिर और राम लला के दर्शन करेंगे।
पिछले हफ्ते, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, पूर्व पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी और लोकसभा में पार्टी के नेता अधीर रंजन चौधरी ने अभिषेक समारोह में शामिल होने का निमंत्रण ठुकरा दिया था।
कांग्रेस नेतृत्व ने राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह में शामिल होने के निमंत्रण को "सम्मा पूर्वक अस्वीकार" कर दिया, जबकि भाजपा पर चुनावी लाभ के लिए इसे "राजनीतिक परियोजना" बनाने का आरोप लगाया और कहा कि धर्म एक "व्यक्तिगत मामला" है।
पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने भाजपा और आरएसएस के नेताओं द्वारा "अधूरे" मंदिर के उद्घाटन के पीछे के मकसद पर सवाल उठाया था।
हालांकि, अजय राय ने कहा था कि वह पार्टी के अन्य नेताओं के साथ 'मकर संक्रांति' पर मंदिर शहर का दौरा करने के अपने कार्यक्रम पर कायम हैं । (भाषा)
पणजी, 15 जनवरी गोवा की एक अदालत ने चार साल के बेटे की हत्या के मामले में जांच का सामना कर रही एक स्टार्टअप कंपनी की मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) सूचना सेठ की पुलिस हिरासत सोमवार को पांच दिन के लिए बढ़ा दी।
छह दिन की प्रारंभिक हिरासत समाप्त होने के बाद सेठ को गोवा बाल न्यायालय में पेश किया गया। कलंगुट पुलिस ने उसकी हिरासत बढ़ाए जाने का आग्रह करते हुए कहा कि जांच अभी पूरी नहीं हुई है।
सेठ (39) को आठ जनवरी को कर्नाटक के चित्रदुर्ग से तब गिरफ्तार किया गया था, जब वह अपने बेटे के शव को बैग में डालकर टैक्सी में यात्रा कर रही थी। उसे वहां से गोवा लाया गया था। मापुसा शहर की एक अदालत ने उसे छह दिन के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया था।
उस पर गोवा के कैंडोलिम स्थित एक सर्विस अपार्टमेंट में बच्चे की हत्या करने आरोप है।
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को पीटीआई-भाषा को बताया कि आरोपी जांचकर्ताओं के साथ सहयोग नहीं कर रही है।
उन्होंने कहा, "हमने उसकी हिरासत बढ़ाने का आग्रह किया क्योंकि हम उससे पूछताछ के लिए और समय चाहते हैं। हमें उसका डीएनए नमूना लेने जैसी अन्य औपचारिकताएं भी पूरी करनी हैं।"
अधिकारी ने बताया कि सेठ के पति वेंकट रमन का बयान पूरा हो गया है। (भाषा)
अहमदाबाद, 15 जनवरी केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की बड़ी बहन राजेश्वरीबेन शाह का सोमवार को मुंबई के एक अस्पताल में इलाज के दौरान निधन हो गया। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक पदाधिकारी ने यह जानकारी दी।
राजेश्वरीबेन करीब 60 साल की थीं।
पदाधिकारी ने बताया कि अमित शाह ने अपनी बहन के निधन के बाद गुजरात में निर्धारित अपने आज के सभी कार्यक्रम रद्द कर दिए हैं।
उन्होंने बताया कि राजेश्वरीबेन का स्वास्थ्य पिछले कुछ समय से ठीक नहीं था और मुंबई के एक अस्पताल में उनका इलाज जारी था, जहां उन्होंने सोमवार तड़के अंतिम सांस ली।
उन्होंने कहा, ‘‘अपनी बीमार बहन के निधन के बाद शाह ने अपने आज के सभी कार्यक्रम रद्द कर दिए हैं। राजेश्वरीबेन का पार्थिव शरीर आज सुबह यहां उनके आवास पर लाया गया और उनका अंतिम संस्कार बाद में थलतेज श्मशान में किया जाएगा।’’
शाह गांधीनगर लोकसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते हैं। वह भाजपा समर्थकों के साथ मकर संक्रांति मनाने के लिए रविवार से अहमदाबाद में थे। उन्हें सोमवार को बनासकांठा और गांधीनगर जिलों में दो कार्यक्रमों में शामिल होना था। (भाषा)
कोलकाता, 15 जनवरी प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पश्चिम बंगाल में कथित राशन वितरण घोटाले की जांच के संबंध में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के एक गिरफ्तार नेता और उनके साथियों के परिसरों पर सोमवार को छापा मारा।
केंद्रीय एजेंसी के अधिकारियों ने बताया कि ईडी के दल तलाशी अभियान के लिए मध्य कोलकाता में चार परिसरों और सॉल्ट लेक में एक चार्टर्ड अकाउंटेंट के कार्यालय में गए।
उन्होंने बताया कि जिन स्थानों पर तलाशी ली जा रही है वे सभी टीएमसी के नेता और बनगांव नगरपालिका के पूर्व अध्यक्ष शंकर आध्या से संबंधित हैं।
जिन स्थानों पर तलाशी ली जा रही है वहां केंद्रीय बल के जवान तैनात हैं।
इस महीने की शुरुआत में आध्या को उत्तर 24 परगना जिले में बनगांव के सिमुलतला में उनके आवास से गिरफ्तार किया गया था। एजेंसी ने उनके तथा उनके परिवार के सदस्यों से जुड़ी संपत्तियों की तलाशी ली थी जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया था।
आध्या को राज्य के मंत्री ज्योति प्रिय मलिक का करीबी माना जाता है। मलिक को भी इस कथित घोटाले के संबंध में पिछले साल गिरफ्तार किया गया था। (भाषा)
नयी दिल्ली, 15 जनवरी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को कहा कि त्रेता युग में राजा राम की कथा हो या आज की ‘राज-कथा’, यह गरीब, वंचित और जनजातीय लोगों के कल्याण के बिना संभव ही नहीं है।
उन्होंने कहा कि उनके नेतृत्व वाली सरकार इसी सोच के साथ लगातार काम कर रही है और इसी का प्रतिफल है कि जिनको कभी किसी ने पूछा नहीं, उनको मोदी आज पूछता भी है और पूजता भी है।
प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महा अभियान (पीएम-जनमन) के अंतर्गत प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के एक लाख लाभार्थियों को पहली किस्त जारी करने के बाद वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से अपने संबोधन में मोदी ने यह भी कहा कि उनकी सरकार के 10 साल गरीबों को समर्पित रहे।
उन्होंने कहा, ‘‘त्रेता में राजा राम की कथा हो या आज की राज-कथा बिना गरीब, बिना वंचित, बिना वनवासी भाई-बहनों के कल्याण के संभव ही नहीं है। इसी सोच के साथ हम लगातार काम कर रहे हैं। हमने 10 साल गरीबों को समर्पित किए। गरीबों को 4 करोड़ से अधिक पक्के घर बनाकर दिए।’’
उन्होंने कहा, ‘‘जिनको कभी किसी ने पूछा नहीं, उनको मोदी आज पूछता भी है और पूजता भी है।’’
प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण के लाभार्थियों को 540 करोड़ रुपये की पहली किस्त जारी की गई। इस दौरान लाभार्थियों ने रसोई गैस कनेक्शन, बिजली, पाइप से पानी और आवास सहित अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के बाद अपने जीवन में आए सकारात्मक बदलावों पर प्रकाश डाला।
प्रधानमंत्री ने संवाद के दौरान कहा, ‘‘हमारी सरकार का प्रयास है कि कोई भी उसकी कल्याणकारी योजनाओं से वंचित नहीं रहे।’’
अयोध्या में 22 जनवरी को होने वाले राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह का उल्लेख करते हुए मोदी ने कहा कि इन दिनों उन्होंने भी 11 दिन व्रत-अनुष्ठान का एक संकल्प किया हुआ है और इस दौरान वे श्री राम का ध्यान और स्मरण कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘जब आप प्रभु राम का स्मरण करेंगे तो माता शबरी की याद आना बहुत स्वाभाविक है। श्रीराम की कथा माता शबरी के बिना संभव ही नहीं है। अयोध्या से जब राम निकले थे तब तो वह राजकुमार थे। लेकिन राजकुमार राम, मर्यादा पुरुषोत्तम के रूप में हमारे सामने आए क्योंकि माता शबरी हो, केवट हो, निषाद राज हो... न जाने कौन-कौन से लोग... जिनके सानिध्य ने राजकुमार राम को प्रभु राम बना दिया।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार की योजनाएं अति पिछड़े जनजातीय लोगों तक पहुंचें, यही पीएम-जनमन महाअभियान का उद्देश्य है।
उन्होंने कहा, ‘‘सरकार पूरी ताकत लगा रही है कि हमारे अति पिछड़े जनजातीय भाई-बहनों तक सरकार की हर योजना जल्द से जल्द पहुंचे। मेरा कोई अति पिछड़ा भाई-बहन अब सरकार की योजना के लाभ से छूटेगा नहीं।’’
उन्होंने कहा कि सिर्फ दो महीने में ही पीएम-जनमन अभियान ने वह लक्ष्य हासिल करने शुरू कर दिए हैं जो पहले कभी कोई नहीं कर सका।
उन्होंने कहा कि जनजातीय समुदाय की भावी पीढ़ियों को अब किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना ना करना पड़े, इसके लिए उनकी सरकार लगातार प्रयास कर रही है।
उन्होंने कहा, ‘‘पहले सरकारी योजनाएं सिर्फ कागजों पर ही चलती रहती थी और असली लाभार्थियों को पता ही नहीं चलता था। जिनको पता चल भी जाता था तो उनको कितनी मुश्किलों का सामना करना पड़ता था। अब पीएम-जनमन महाअभियान में हमारी सरकार ने ऐसे सभी नियम बदल दिए हैं, जिससे आपको परेशानी होती हो।’’
पिछले वर्ष 15 नवंबर को पीएम-जनमन की शुरूआत समाज के सबसे कमजोर जनजातीय समूहों के सामाजिक-आर्थिक कल्याण के लिए की गई थी।
पीएम-जनमन का बजट लगभग 24,000 करोड़ रुपये का है और इसमें नौ मंत्रालयों के माध्यम से 11 महत्वपूर्ण पहलों को शामिल किया गया है।
इसका उद्देश्य सबसे कमजोर जनजातीय समूहों को बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराना है। इनमें सुरक्षित आवास, स्वच्छ पेयजल, बेहतर शिक्षा, स्वास्थ्य और पोषण, बिजली, सडक और संचार जैसी सुविधा तथा टिकाऊ आजीविका के अवसर उपलब्ध कराना शामिल है। (भाषा)
दावोस, 15 जनवरी दुनिया के पांच सबसे अमीर लोगों की संपत्ति 2020 के बाद से दोगुनी से अधिक हो गई है। वहीं विश्व को एक दशक में अपना पहला खरबपति मिल सकता है जबकि गरीबी खत्म करने में दो शताब्दियों से अधिक समय लगेगा।
ऑक्सफैम ने यहां विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) की वार्षिक बैठक के पहले दिन सोमवार को अपनी वार्षिक असमानता रिपोर्ट जारी करते हुए कहा कि दुनिया के 10 सबसे बड़े निगमों में से सात में मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) या प्रमुख शेयरधारक एक अरबपति हैं।
रिपोर्ट में कहा गया कि 148 शीर्ष निगमों ने 1800 अरब अमेरिकी डॉलर का मुनाफा कमाया, जो तीन साल के औसत से 52 प्रतिशत अधिक है। अमीर शेयरधारकों को भारी भुगतान किया गया, जबकि करोड़ों लोगों को वास्तविक अवधि के वेतन में कटौती का सामना करना पड़ा।
गैर सरकारी संगठन ऑक्सफैम ने सार्वजनिक कार्रवाई के एक नए युग का आह्वान किया, जिसमें सार्वजनिक सेवाएं, कॉर्पोरेट विनियमन, एकाधिकार को तोड़ना और स्थायी धन और अतिरिक्त लाभ करों को लागू करना शामिल है।
असमानता तथा वैश्विक कॉर्पोरेट शक्ति पर ऑक्सफैम की रिपोर्ट में कहा गया कि दुनिया के पांच सबसे अमीर लोगों की संपत्ति 2020 के बाद से ‘‘ 1.4 करोड़ अमरीकी डॉलर प्रति घंटे की दर से ’’ 405 अरब अमरीकी डॉलर से दोगुनी से अधिक बढ़कर 869 अरब अमरीकी डॉलर हो गई है, जबकि ‘‘विभाजन के इस दशक’’ में करीब पांच अरब लोग पहले ही गरीब हो चुके हैं।
रिपोर्ट में कहा गया, ‘‘ अगर मौजूदा रुझान जारी रहा तो एक दशक के भीतर दुनिया को पहला खरबपति मिल जाएगा, लेकिन गरीबी अगले 229 वर्षों तक खत्म नहीं होगी।’’
ऑक्सफैम इंटरनेशनल के अंतरिम कार्यकारी निदेशक अमिताभ बेहार ने कहा, ‘‘ असमानता की यह स्थिति कोई दुर्घटनावश उत्पन्न नहीं हुई है। अरबपति वर्ग यह सुनिश्चित कर रहा है कि निगम बाकी सभी की कीमत पर उन्हें अधिक संपत्ति प्रदान करें।’’
ऑक्सफैम के अनुसार, वैश्विक आबादी का सिर्फ 21 प्रतिशत प्रतिनिधित्व करने के बावजूद ‘ग्लोबल नॉर्थ’ के अमीर देशों के पास 69 प्रतिशत वैश्विक संपत्ति है और दुनिया के 74 प्रतिशत अरबपतियों की संपत्ति यहीं है। (भाषा)
महबूबाबाद (तेलंगाना), 15 जनवरी ऑटोरिक्शा से यात्रा कर रहे एक ही परिवार के चार सदस्यों की सड़क दुर्घटना में मौत हो गई। सोमवार को पुलिस ने यह जानकारी दी।
पुलिस ने बताया कि रविवार देर रात महबूबाबाद मंडल के कंबालापल्ली गांव में ऑटोरिक्शा दूसरी दिशा से आ रही कार से टकरा गया।
दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दो अन्य ने महबूबाबाद कस्बे के सरकारी क्षेत्रीय अस्पताल में दम तोड़ दिया।
महबूबाबाद टाउन पुलिस स्टेशन के सर्किल इंस्पेक्टर ए सुरेश के अनुसार, पीड़ित महबूबाबाद जिले के गुडूर मंडल के चिन्ना येल्लापुर गांव के निवासी थे। वे गुड़िया बाबू मंदिर के दर्शन के लिए नागार्जुन सागर के पास गुंडला सिंगाराम गांव की यात्रा पर निकले थे।
दुर्घटना में घायल हुए लोगों का महबूबाबाद क्षेत्रीय सरकारी अस्पताल में इलाज चल रहा है।
महबूबाबाद पुलिस ने दुर्घटना के संबंध में मामला दर्ज कर लिया है। (भाषा)
कृष्ण कल्पित
किसी को घर मिला हिस्से में या कोई दुकां आई
मैं घर में सबसे छोटा था मिरे हिस्से में मां आई!
एक जीती-जागती मां की तुलना किसी जड़ दूकान से करने वाले उर्दू के मशहूर शाइर मुनव्वर राना नहीं रहे। वे एक अरसे से बीमार थे और कल हृदयाघात से लखनऊ के एक अस्पताल में उनकी मृत्यु हो गई। वे इकहत्तर वर्ष के थे।
मुनव्वर राना की एक और प्रसिद्ध रचना है- मुहाजिरनामा। इस तवील नज़्म में वे अपनी मां को सोना और अपनी अहलिया यानी पत्नी को पीतल बता रहे हैं-
हमारी अहलिया तो आ गई मां छूट गई आखिर
के हम पीतल उठा लाए सोना छोड़ आए हैं!
दरअसल शाइरी की दूकानों पर मुनव्वर राना से पहले माशूक ही अलहदा-अलहदा अंदाज में बिका करते थे। मुनव्वर राना शायद गजल के पहले दूकानदार थे, जिन्होंने गजल की दूकान में मां को या उसकी भावनाओं को बेचना शुरू किया। इससे पहले सलीम जावेद इस मां को, मेरे पास मां है कहकर, बाजार में ला चुके थे और सिनेमा में बेच चुके थे।
मुनव्वर राना राहत इंदौरी की तरह मुशाइरों के मकबूल और कामयाब शाइर थे । मुनव्वर राना, राहत इंदौरी के साथ नवाज देवबंदी ने मुशाइरों की शाइरी को पूरी तरह बदल दिया । इन तीनों ने मिलकर मुशाइरों से तरन्नुम और शाइरी से तगजज़ुल को देश निकाला दे दिया और एक नई तरह की सडक़ की शाइरी का ईजाद किया, जो पिछले तीन दशकों से भारतीय भीड़ों को पागल बनाती रही।
मुनव्वर राना अपनी शायरी में गांव लाए, आंगन, छप्पर, दुपट्टा, अमरूद के पेड़ और मां को लेकर आए । अदब की दुनिया में इस शाइरी का क्या मोल है, पता नहीं लेकिन उनकी शाइरी जनता में और सुनने वालों में बेहद लोकप्रिय थी ।
इब्ने बतूता ने भारत के बारे में शताब्दियों पूर्व जो किताब लिखी थी उसमें वे एक दिलचस्प बात कहते हैं कि भारत के लोगों की एक विचित्र आदत है कि ये बात-बात में तालियां बजाते रहते हैं। तुक या काफिया मिलते ही ये ज़ोर-ज़ोर से तालियां बजाते हैं। आजकल के मुशाइरे और कथित कवि सम्मेलन जब सुनता हूं तो मुझे इब्नबतूता की बात याद आती है। वे बिना अर्थ समझे सिर्फ तुक मिलने पर तालियां बजाने लगते हैं ।
गांव-देहात के इतने सारे बिंबों के साथ मुनव्वर राना की गज़़लों को आसानी से आप ग्रामीण शाइरी कह सकते हैं। मुनव्वर राना मुशाइरों के सबसे लोकप्रिय और महंगे शाइरों में से एक थे । विचारों से वे कई बार कठमुल्ला लगते थे। वे पहले कोलकाता में और इन-दिनों लखनऊ में गजल ट्रांसपोर्ट नाम की कम्पनी भी चलाते थे। यही कारण रहा होगा कि मुनव्वर राना अपनी गजलों के काफिये भी ट्रक के टायरों की तरह बदलते थे, जो बहुत खडख़ड़ाहट और शोर करते हैं ।
उर्दू के एक लोकप्रिय शाइर मुनव्वर राना को हिन्दी के एक कवि की तरफ से खिराजे अकीदत और विनम्र श्रद्धांजलि !
वह कबूतर क्या उड़ा छप्पर अकेला हो गया
मां के आंखें मूंदते ही घर अकेला हो गया!
नयी दिल्ली, 15 जनवरी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मशहूर शायर मुनव्वर राना के इंतकाल पर सोमवार को शोक जताया और कहा कि उन्होंने उर्दू साहित्य और कविता में समृद्ध योगदान दिया।
मशहूर शायर मुनव्वर राना का रविवार को लखनऊ स्थित संजय गांधी परास्नातक आयुर्विज्ञान संस्थान (एसजीपीजीआई) में निधन हो गया। वह काफी समय से गले के कैंसर से पीड़ित थे। उनका पिछले एक सप्ताह से एसजीपीजीआई में इलाज जारी था।। वह 71 वर्ष के थे।
प्रधानमंत्री मोदी ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘मुनव्वर राना जी के निधन से दुखी हूं। उन्होंने उर्दू साहित्य और कविता में समृद्ध योगदान दिया। उनके परिवार और प्रशंसकों के प्रति संवेदना। उनकी आत्मा को शांति मिले।’’
राना को उनकी साहित्यिक सेवाओं के लिए वर्ष 2014 में ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। उनके परिवार में उनकी पत्नी, पांच बेटियां और एक बेटा है। (भाषा)
लखनऊ, 15 जनवरी (भाषा) बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने अपने 68वें जन्मदिन पर सोमवार को यहां कहा कि उनकी पार्टी 2024 का लोकसभा चुनाव अकेले ही लड़ेगी और जातिवादी, पूंजीवादी, सांप्रदायिक तथा संकीर्ण सोच रखने वाली विरोधी पार्टियों से दूरी बनाकर रखेगी
यहां बसपा के राज्य मुख्यालय पर आयोजित संवाददाता सम्मेलन में मायावती ने कहा 'चुनाव को लेकर यह बात फिर से स्पष्ट कर देना चाहती हूं कि हमारी पार्टी देश में होने वाले लोकसभा के आम चुनाव गरीबों, उपेक्षित वर्गों में से विशेषकर दलितों, आदिवासियों, अति पिछड़े वर्ग, मुस्लिम व अन्य धार्मिक अल्पसंख्यक समाज के लोगों के बलबूते पर ही पूरी तैयारी व दमखम के साथ अकेले ही लड़ेगी।'
उन्होंने जोर देते हुए कहा 'इन्हीं के बलबूते ही हमने 2007 में आबादी के हिसाब से देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश में अकेले ही चुनाव लड़कर अपनी पार्टी की पूर्ण बहुमत की सरकार बनाई थी। इसलिए पूर्व के अनुभव को ध्यान में रखकर हमारी पार्टी लोकसभा चुनाव अकेले ही लड़ेगी।'
मायावती ने कहा कि बसपा जातिवादी, पूंजीवादी, सांप्रदायिक व संकीर्ण सोच रखने वाली विरोधी पार्टियों से दूरी बनाकर रखेगी और किसी भी गठबंधन या पार्टी के साथ मिलकर यह चुनाव नहीं लड़ेगी।
उन्होंने कहा ‘‘यदि यह चुनाव 2007 के उप्र विधानसभा चुनाव की तरह निष्पक्ष एवं ईमानदारी के साथ होता है, जब ईवीएम में कोई गड़बड़ी या धांधली नहीं की गयी थी, तो हमारी पार्टी लोकसभा चुनाव अकेले ही लड़कर बेहतर परिणाम लाएगी।’’
बसपा प्रमुख ने कहा ‘‘हमारी पार्टी यह चुनाव अकेले इसलिए लड़ती है क्योंकि पार्टी का नेतृत्व एक दलित के हाथ में है जिसके प्रति अधिकतर पार्टियों की जातिवादी मानसिकता अभी तक नहीं बदली है। यही मुख्य वजह है कि गठबंधन करके चुनाव लड़ने पर बसपा के वोट तो गठबंधन की पार्टी में चले जाते हैं, लेकिन उनके वोट, खास कर उच्च जाति वर्ग के वोट बसपा को नहीं मिल पाते।’’
मायावती ने अपनी पूर्ववर्ती सरकार के कार्यकाल की उपलब्धियों को भी गिनाया। साथ ही उन्होंने सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा 'बसपा ने चार बार की सरकार में सभी वर्गों के लिए काम किया। वर्तमान समय में कोई काम नहीं दिख रहा और मुफ्त में राशन देकर लोगों को गुलाम बनाया जा रहा है।'
बसपा प्रमुख ने ईवीएम पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा 'ईवीएम में मिल रही गड़बड़ी की खबरों से पार्टी के लोग चिंतित हैं। ऐसे में पूरी ऊर्जा से पार्टी को मजबूत बनाना है। यदि पार्टी के लोग इन हालात का मुकाबला कर पूरी निष्ठा से लगे रहते हैं तो पार्टी मजबूत होगी।'
इंफाल, 15 जनवरी कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा’ के दूसरे दिन की शुरुआत सोमवार को यहां सेकमाई से की और उन्होंने रास्ते में उनके स्वागत के लिए कतार में खड़े लोगों से बातचीत की।
गांधी ने आवश्यकता के अनुरूप परिवर्तित की गई वोल्वो बस में यात्रा शुरू की। वह कुछ दूर पैदल भी चले। उन्होंने लोगों से मुलाकात कर उनसे उनकी समस्याओं के बारे में पूछा।
जब गांधी की बस यहां के कई व्यस्त इलाकों से गुजरी, तो ज्यादातर महिलाओं और बच्चों समेत कई लोग यात्रा मार्ग पर कतार में खड़े रहे और उन्होंने गांधी के समर्थन में नारे लगाए।
कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा के दूसरे दिन की शुरुआत सुबह साढ़े सात बजे शिविर स्थल पर सेवा दल द्वारा पारंपरिक रूप से किए गए ध्वजारोहण के साथ हुई। मणिपुर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष के मेघचंद्र ने ध्वजारोहण किया।’’
उन्होंने कहा, ‘‘यात्रा मणिपुर में सेकमाई से कांगपोकपी और फिर सेनापति से गुजरते हुए आगे जाएगी। यात्रा में शामिल लोग आज रात नगालैंड में रुकेंगे।’’
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने रविवार को मणिपुर से 'भारत जोड़ो न्याय यात्रा' शुरू की थी और देश के लिए ऐसा दृष्टिकोण रखने पर जोर दिया, जो हिंसा, नफरत और एकाधिपत्य पर नहीं, बल्कि सद्भाव, भाईचारे और समता पर आधारित हो।
कांग्रेस इस यात्रा के जरिए लोकसभा चुनाव का विमर्श तय करने की कोशिश में है। गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने यात्रा को हरी झंडी दिखाने के लिए यहां आयोजित एक रैली में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर जातीय हिंसा से जूझ रहे मणिपुर का दौरा नहीं करने को लेकर निशाना साधा और इसके लोगों के लिए न्याय सुनिश्चित करने का संकल्प लिया।
‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा’ 15 राज्यों और 110 जिलों से होकर गुजरेगी। इस यात्रा के दौरान लगभग 6,700 किलोमीटर की दूरी तय की जाएगी। ज्यादातर यात्रा बस से होगी, लेकिन कहीं-कहीं पदयात्रा भी होगी। (भाषा)
सिडनी, 15 जनवरी (360 इंफो) नैनोटेक्नोलॉजी में प्रगति के कारण मधुमेह से पीड़ित लोग इंजेक्शन के बजाय इंसुलिन को शर्करा रहित चॉकलेट जैसी स्वादिष्ट दवाइयों के जरिए मौखिक रूप से भी ले सकेंगे।
दुनियाभर में 15 से 20 करोड़ लोगों को रोजाना इंसुलिन के इंजेक्शन लेने पड़ते हैं। ‘टाइप-1’ मधुमेह से पीड़ित हर व्यक्ति को इंसुलिन की आवश्यकता पड़ती है और ‘टाइप-2’ मधुमेह से पीड़ित 20 से 30 प्रतिशत मरीजों को इंसुलिन का इंजेक्शन लेना पड़ता है।
ये इंजेक्शन यह सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक हैं कि मधुमेह से पीड़ित लोगों के शरीर में पर्याप्त इंसुलिन हो ताकि उनके रक्त में शर्करा के स्तर में वृद्धि न हो। लेकिन उन्हें कई चुनौतियों का सामना भी करना पड़ता है।
इंसुलिन इंजेक्शन लेने वाले लोगों को निम्न रक्त शर्करा या ‘हाइपोग्लाइसीमिया’ की समस्या हो सकती है क्योंकि अपने शरीर की आवश्यकता से अधिक इंसुलिन लेने का खतरा बना रहता है या ऐसा भी हो सकता है कि उन्होंने सही समय पर इंजेक्शन नहीं लगाया हो। इसके कारण वजन भी बढ़ सकता है। कुछ लोगों को सुई से डर भी लगता है।
इससे पहले, इंजेक्शन के बजाय मौखिक रूप से इंसुलिन लेना निष्प्रभावी साबित हुआ है लेकिन नैनोटेक्नोलॉजी की मदद से मुंह से ली जाने वाली इंसुलिन भी प्रभावी साबित हो सकती है।
‘क्वांटम डॉट्स’ के नाम से जाने जाने वाले नैनो-आकार के वाहकों में इंसुलिन को डाला जाता है, जो मानव बाल की चौड़ाई का लगभग 1/10,000वां हिस्सा या आपकी उंगली के आकार का दस लाखवां हिस्सा होता है। ये नैनो-वाहक इंसुलिन को नष्ट होने से बचाते हैं। जब यह दवा पेट से होकर गुजरती है और छोटी आंत में अधिक आसानी से अवशोषित हो जाती है।
यह मधुमेह के प्रबंधन का एक अधिक व्यावहारिक और रोगी के अनुकूल तरीका है, क्योंकि यह रक्त शर्करा अत्यधिक कम होने के जोखिम को बहुत कम कर देता है। इसके अलावा, इस मौखिक दवा के जरिए इंसुलिन नियंत्रित तरीके से शरीर में पहुंचता है जबकि इंजेक्शन के जरिए यह एक साथ पहुंचता है।
क्लीनिकल इस्तेमाल से पहले के अध्ययन पूरा होने के बाद इस तकनीक को मरीजों तक पहुंचाने की दिशा में अगला कदम मानव परीक्षणों के माध्यम से इसकी प्रभावशीलता सुनिश्चित करना है और यह पता करना है कि यह कितना सुरक्षित है। इस अध्ययन संबंधी मानवीय परीक्षण 2025 में आरंभ होंगे।
मधुमेह से प्रभावित लोगों की बढ़ती संख्या के मद्देनजर इसके प्रबंधन की नई रणनीतियों को विकसित करना महत्वपूर्ण है। यदि इस दिशा में नैनोटेक्नोलॉजी का इस्तेमाल सफल साबित होता है तो इससे मधुमेह का उपचार एवं प्रबंधन लाखों लोगों के लिए आसान हो जाएगा।
ठाणे (महाराष्ट्र), 15 जनवरी महाराष्ट्र में ठाणे की मजिस्ट्रेट अदालत ने चेक बाउंस मामले में एक बिल्डर को ‘अदालत की कार्यवाही खत्म होने तक रुकने’ की सजा सुनाई और 41.44 लाख रुपये का जुर्माना लगाया।
जिस व्यक्ति को ‘अदालत की कार्यवाही खत्म होने तक रुकने’ की सजा दी जाती है उसे दिन समाप्त होने तक अदालत छोड़ने की अनुमति नहीं होती है।
ठाणे के न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी हरीश परदेशी ने अनिल ठाकुरदास कुर्सीजा को नेगोशिएबल इंस्ट्रूमेंट्स एक्ट (परक्राम्य लिखत अधिनियम), 1881 की धारा 138 के तहत दोषी ठहराया। एक महीने में जुर्माना देने में विफल रहने पर आरोपी को दो महीने और कारावास की सजा भुगतनी होगी।
आदेश पांच जनवरी को पारित किया गया और इसकी प्रति शनिवार को उपलब्ध कराई गई।
कुर्सीजा फिलहाल एक अन्य मामले में जेल में बंद है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार, नवंबर 2016 में ठाणे स्थित एक व्यवसायी ने एक निर्माण फर्म के खिलाफ मामला दर्ज कराया था। निर्माण फर्म में कुर्सीजा भी एक भागीदार था और उसने पूरा भुगतान करने के बावजूद व्यवसायी को अपनी परियोजना में फ्लैट का कब्जा नहीं दिया था।
अभियोजन पक्ष के अनुसार, शिकायतकर्ता ने फ्लैट की खरीद के लिए 14.99 लाख रुपये का भुगतान किया था।
अदालत को बताया गया कि बिल्डर ने फ्लैट का मालिकाना हक देने में देरी की थी इसलिए शिकायतकर्ता ने धन वापस करने की मांग की। निर्माण कंपनी ब्याज का भुगतान करने पर सहमत हुई लेकिन ऐसा करने में विफल रही। बातचीत के बाद फर्म ने 38,21,000 रुपये के चेक जारी किए लेकिन वे बाउंस हो गए। (भाषा)
मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुईज ने भारत से कहा कि वह उनके देश में तैनात अपने सैन्यकर्मियों को 15 मार्च तक हटा ले.
भारत और मालदीव के बीच जारी तनाव कम होने का नाम नहीं ले रहा है. इस बीच मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुईज ने अपने देश में तैनात 89 भारतीय सैनिकों को 15 मार्च तक वापस बुलाने को कहा है. भारत मालदीव को अपने प्रभाव क्षेत्र में मानता है, लेकिन मालदीव अपने सबसे बड़े बाहरी ऋणदाता चीन की ओर ज्यादा करीब जाता दिख रहा है.
राष्ट्रपति मोहम्मद मुईज के एक शीर्ष सहयोगी ने रविवार को कहा कि मालदीव में भारतीय अधिकारियों के साथ बातचीत के दौरान मार्च की समय सीमा तय की गई. राष्ट्रपति मुईज लंबे समय से भारतीय सैनिकों की वापसी की मांग करते आ रहे हैं. मुईज ने राष्ट्रपति चुनाव में भी इसे मुद्दा बनाया था.
मालदीव में भारतीय सेना तैनात है
राष्ट्रपति कार्यालय में पब्लिक पॉलिसी सचिव अब्दुल्ला नाजिम इब्राहिम ने रविवार को बताया कि मोहम्मद मुईज ने औपचारिक रूप से भारत से 15 मार्च तक अपने सैन्य कर्मियों को वापस बुलाने के लिए कहा है जिनकी अनुमानित संख्या 89 है.
पिछले साल 17 नवंबर को मालदीव के राष्ट्रपति के रूप में शपथ लेने के तुरंत बाद मुईज ने औपचारिक रूप से भारत से भारतीय सैन्यकर्मियों को मालदीव से वापस बुलाने का अनुरोध किया था. उन्होंने कहा कि मालदीव के लोगों ने उन्हें नई दिल्ली से यह अनुरोध करने के लिए "मजबूत जनादेश" दिया है.
मालदीव में भारतीय सेना की एक छोटी सी टुकड़ी है. कुछ टोही विमानों के साथ यह टुकड़ी हिंद महासागर पर नजर रखती है. इसमें करीब 89 लोग हैं. मुईज चुनाव पहले से ही भारतीय सेना की इस टुकड़ी को देश बाहर करने का वादा करते हैं.
भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा कि रविवार को राजनयिकों ने इस बात पर चर्चा की थी कि भारतीय हवाई परिचालन को जारी रखने की अनुमति देने के लिए "पारस्परिक रूप से व्यावहारिक समाधान" कैसे खोजा जाए. विदेश मंत्रालय ने कहा कि बातचीत का एक और दौर आयोजित किया जाएगा, लेकिन कोई तारीख नहीं बताई गई है.
अब्दुल्ला नाजिम इब्राहिम ने रविवार को कहा कि सैनिकों की वापसी पर बातचीत के लिए दोनों देशों द्वारा गठित एक उच्च स्तरीय कोर ग्रुप ने रविवार सुबह माले में विदेश मंत्रालय में अपनी पहली बैठक की, जिसमें भारतीय उच्चायुक्त मुनु महावर भी मौजूद थे. उन्होंने बताया कि बैठक का एजेंडा मार्च के मध्य तक सैनिकों को वापस बुलाने का अनुरोध था.
उन्होंने कहा, "भारतीय सैन्यकर्मी मालदीव में नहीं रह सकते. यह राष्ट्रपति डॉ. मोहम्मद मुईज और इस प्रशासन की नीति है." राष्ट्रपति मुईज ने अपने राष्ट्रपति अभियान के दौरान वादा किया था कि वह मालदीव से भारतीय सैनिकों को हटाने का काम पूरा करेंगे और पद संभालने के तुरंत बाद भारत से अपने सैन्यकर्मियों को वापस लेने का औपचारिक अनुरोध किया था.
मोदी पर टिप्पणी के बाद विवाद और बढ़ा
पिछले दिनों भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लक्षद्वीप यात्रा के दौरान उनके खिलाफ तीन डिप्टी मंत्रियों की कथित अपमानजनक टिप्पणियों पर विवाद के बीच, मालदीव के राष्ट्रपति ने चीन की पांच दिवसीय राजकीय यात्रा से लौटने के बाद शनिवार को प्रेस से बात करते हुए भारत का नाम लिए बिना एक बयान में इस पर टिप्पणी की. उन्होंने कहा, "हम छोटे हो सकते हैं, लेकिन इससे आपको हमें धमकाने का लाइसेंस नहीं मिल जाता."
उन्होंने भारत पर देश की निर्भरता को कम करने की योजनाओं की भी घोषणा की, जिसमें अन्य देशों से आवश्यक खाद्य वस्तुओं और दवाओं तथा उपभोग्य सामग्रियों के आयात को सुरक्षित करना शामिल है. उन्होंने एयरपोर्ट पर संवाददाताओं से कहा, "हम किसी के आंगन में नहीं हैं. हम एक स्वतंत्र और संप्रभु राज्य हैं."
राष्ट्रपति बनने के बाद मुईज ने चीन की पहली आधिकारिक यात्रा की थी, आम तौर पर मालदीव का चुनाव जीतने वाले राष्ट्रपति भारत की पहली आधिकारिक यात्रा करते आए हैं.
एए/सीके (एएफपी, रॉयटर्स)
कोझिकोड, 15 जनवरी । इस बात पर जोर देते हुए कि 2024 के लोकसभा चुनाव में भाजपा सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरेगी, कांग्रेस नेता शशि थरूर ने कहा कि ऐसी संभावना है कि मौजूदा सरकार का संख्या बल थोड़ा कम हो सकता है।
उन्होंने कहा, ''मुझे दृढ़ता से लगता है कि उन्हें उस स्तर तक नीचे लाया जा सकता है, जहां कई संभावित सहयोगी उनके साथ शामिल नहीं होना चाहेंगे।''
कोझिकोड समुद्र तट पर आयोजित केरल साहित्य महोत्सव (केएलएफ) के दौरान राजनेता-लेखक ने कहा कि यह देखते हुए कि भारत के विविध रंग हैं, यह महत्वपूर्ण नहीं है कि इंडिया गठबंधन को सभी राज्यों में पूर्ण समझौता करना पड़े।
इंडिया गठबंधन के सदस्यों के बीच सीट-बंटवारे के मुद्दे पर बात करते हुए थरूर ने रोकी जा सकने वाली हार सुनिश्चित करने के लिए अधिक से अधिक राज्यों में एक व्यवस्था की उम्मीद जताई।
कांग्रेस नेता ने केरल और तमिलनाडु का उदाहरण देते हुए टिप्पणी की कि केरल में यह कल्पना करना कठिन है कि सीपीएम और कांग्रेस सीट बंटवारे पर सहमत होंगे, हालांकि, तमिलनाडु में सीपीआई, सीपीएम, कांग्रेस और डीएमके एक साथ हैं और कोई विवाद नहीं है। उन्होंने कहा कि उन्होंने पिछला चुनाव साथ मिलकर लड़ा था और इस बार भी लड़ने की संभावना है।
उन्होंने कहा कि लोगों को इस तथ्य से परिचित कराना जरूरी है कि उनके निर्वाचन क्षेत्र से सर्वश्रेष्ठ उम्मीदवार को चुना जाना चाहिए। हर किसी को पता होना चाहिए कि केवल वाराणसी के लोग (नरेंद्र) मोदी को वोट दे सकते हैं। खैर, अगर अन्य जगहों पर वे केवल यह सुनिश्चित करने के लिए मतदान करना चाहते हैं कि मोदी प्रधानमंत्री बनें, तो यह पूरी तरह से उनकी पसंद है। हालांकि, लोगों को यह सोचने की ज़रूरत है कि क्या वे एक प्रभावी प्रशासक चाहते हैं, जो उनके क्षेत्र के लिए अच्छा हो।"
(आईएएनएस)।
नई दिल्ली, 15 जनवरी । 15 जनवरी को भारतीय सेना का 76वां सेना दिवस है। भारतीय सेना इसे राष्ट्र की अखंडता की रक्षा के अटूट संकल्प और प्रतिबद्धता के साथ मनाती है। सेना का कहना है कि इस दिन हम अपने उन बहादुर जवानों को भी याद करते हैं जिन्होंने राष्ट्र की सेवा में अपने प्राण न्यौछावर कर दिए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस अवसर पर भारतीय सेना को 'सेना दिवस' की बधाई दी है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संदेश में कहा,"भारतीय सेना के वीर साथियों, पूर्व सैनिकों एवं उनके परिवारों को सेना दिवस की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं। बल के वीर एवं वीरांगनाओं के अदम्य साहस, सेवा एवं समर्पण पर राष्ट्र को गर्व है। चाहे बाहरी खतरों एवं आंतरिक चुनौतियों से दृढ़ता से निपटना हो या फिर आपदा के समय मदद का हाथ बढ़ाना हो, सेना के जांबाजों ने अपनी हर भूमिका में प्रभावित किया है। भारतीय सेना ने एक संगठनशील एवं अनुशासनप्रिय बल के रूप में विश्व में विशिष्ट पहचान बनाई है।"
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारतीय सेना बदलते युग की चुनौतियों के अनुरूप खुद को ढालने को लेकर सजग है और आज देश भी सभी सुविधाओं एवं संसाधनों समेत अपने सैन्य वीरों के साथ खड़ा है। सेना दिवस के अवसर पर उन सभी वीर शहीदों को राष्ट्र की ओर से श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं, जिन्होंने देश की सेवा में अपने प्राणों का सर्वोच्च बलिदान दे दिया। हमारे इन जांबाज साथियों एवं इनके परिवारों के त्याग एवं तपस्या को देश नमन करता है।
प्रधानमंत्री ने अपने संदेश में कहा कि अमृत कालखंड में एक भव्य और विकसित भारत के निर्माण की ओर राष्ट्र तेजी से अग्रसर है। भारतीय सेना के वीर साथी देश को सुरक्षा एवं स्थिरता प्रदान करते हुए राष्ट्र निर्माण के संकल्प में अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। मुझे विश्वास है कि सामूहिकता की शक्ति से ऊर्जित राष्ट्र प्रगति की नई ऊंचाइयों को छुएगा। बल के शूरवीर अपनी सेवा, निष्ठा एवं समर्पण से मां भारती का गौरव इसी तरह बढ़ाते रहेंगे।
वहीं रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि भारतीय थल सेना दिवस’ की सभी बहादुर सैनिकों एवं उनके परिवारजनों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं। हर भारतवासी सेना के साहस, शौर्य और पराक्रम से न केवल परिचित है बल्कि उनके प्रति कृतज्ञता का भाव भी रखता है। भारतीय सेना ने सदैव देश रक्षा की है और इसके लिए अनगिनत बलिदान भी दिए हैं। सभी देशवासियों की ओर से भारतीय सेना को मेरा नमन एवं अभिनंदन। (आईएएनएस)।
नई दिल्ली, 15 जनवरी । तेलुगू देशम पार्टी सुप्रीमो और आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू द्वारा कथित कौशल विकास निगम घोटाला मामले में उनके खिलाफ शुरू की गई आपराधिक कार्यवाही को चुनौती देने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट मंगलवार को अपना फैसला सुनाएगा। .
शीर्ष अदालत की वेबसाइट पर प्रकाशित वाद सूची के अनुसार, न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस और न्यायमूर्ति बेला एम. त्रिवेदी की विशेष पीठ इस मामले में 16 जनवरी को फैसला सुनाएगी।
अक्टूबर 2023 में, शीर्ष अदालत ने दोनों पक्षों - नायडू और आंध्र प्रदेश सरकार - को सुनने के बाद इस सवाल पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया कि क्या राज्य के राज्यपाल से मंजूरी लिए बिना पूर्व सीएम के खिलाफ कार्यवाही शुरू की जा सकती है।
सुनवाई के दौरान, राज्य सरकार की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील मुकुल रोहतगी ने दलील दी कि पूर्व मंजूरी की आवश्यकता वाले कानून के प्रावधान लागू नहीं होंगे, क्योंकि नायडू के खिलाफ 2018 में जांच शुरू की गई थी।
उन्होंने कहा कि जांच एजेंसी द्वारा विस्तृत जांच करने की आवश्यकता है और आपराधिक कार्यवाही को रद्द करने की मांग करने वाली नायडू की याचिका को शीर्ष अदालत द्वारा अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।
दूसरी ओर, नायडू ने दलील दी थी कि उनके खिलाफ जांच शुरू करना और एफआईआर दर्ज करना दोनों गैर-कानूनी (कानून में अस्तित्वहीन) हैं क्योंकि दोनों को अवैध रूप से शुरू किया गया है।
सितंबर 2023 में, आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति एस. रेड्डी की एकल न्यायाधीश पीठ ने नायडू की उनके खिलाफ दर्ज एफआईआर को रद्द करने और उनकी न्यायिक हिरासत को रद्द करने की याचिका खारिज कर दी।
बाद में, नायडू को पिछले साल 20 नवंबर को आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति टी मल्लिकार्जुन राव की पीठ द्वारा पहले से ही प्रस्तुत जमानत बांड पर नियमित जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया गया था। आंध्र प्रदेश सरकार ने हाई कोर्ट के फैसले पर सवाल उठाते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है।
फाइबरनेट मामले में, राज्य सीआईडी ने शीर्ष अदालत के समक्ष वचन दिया है कि वह सुनवाई की अगली तारीख 17 जनवरी तक नायडू को गिरफ्तार नहीं करेगी।
(आईएएनएस)।
ग्वालियर, 15 जनवरी, । मध्य प्रदेश में नौकरी के बदले आबरू की मांग किए जाने का मामला सामने आया है। परीक्षार्थी की शिकायत पर ग्वालियर की अपराध शाखा ने मामला दर्ज कर लिया है।
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार, पिछले दिनों ग्वालियर में बीज विकास निगम में भर्ती के लिए कृषि विश्वविद्यालय में साक्षात्कार हुआ था। साक्षात्कार लेने वाले दल में बीज निगम के प्रोडक्शन असिस्टेंट संजीव कुमार भी शामिल थे।
इंटरव्यू होने के बाद उन्होंने एक छात्रा को फोन लगाया और उससे अजीब मांग कर डाली।
छात्रा की ओर से पुलिस में की गई शिकायत में बताया गया है, "मैं ग्वालियर में पढ़ती हूं। तीन जनवरी को कृषि विश्वविद्यालय में प्लेसमेंट सेल में मध्य प्रदेश राज्य बीमा निगम ने मेरा जॉब इंटरव्यू कराया। इंटरव्यू होने के कुछ घंटे बाद मेरे पास फोन आया और अजीबोगरीब मांग की गई और कहा गया कि एक रात मुझे देनी होगी।"
पुलिस ने पीड़ित छात्रा की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है और आरोपी से पूछताछ की जा रही है।
छात्रा ने बातचीत को रिकार्ड किया और मैसेज का स्क्रीन शाॅट भी सुरक्षित रखा।
अपराध शाखा के अधिकारी का कहना है की पीड़ित छात्रा ग्वालियर में पढ़ाई करती है और रीवा की रहने वाली है और उसने संविदा भर्ती के लिए इंटरव्यू दिया था।
(आईएएनएस)।
नई दिल्ली, 15 जनवरी । दिल्ली से गोवा जाने वाली इंडिगो फ्लाइट में एक यात्री ने पायलट के साथ उस समय मारपीट की, जब वह विमान में देरी के संबंध की जानकारी दे रहा था।
घटना रविवार की है। मारपीट का यह वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर तेजी से वायरल हो रहा है।
वायरल वीडियो में पीले रंग की हुडी पहना एक व्यक्ति अचानक से पायलट की ओर दौड़ा और गुस्से में उसके साथ मारपीट की। इस व्यक्ति की पहचान साहिल कटारिया के रूप में हुई है।
यह घटना तब हुई जब पायलट यात्रियों को विमान में देरी के संबंध की जानकारी दे रहा था। गोवा जाने वाली इंडिगो की फ्लाइट (6ई-2175) में देरी कथित तौर पर एयरपोर्ट पर भारी कोहरे और ट्रेफिक के चलते हुई।
सूत्रों के मुताबिक, हमला शाम करीब 7 बजे हुआ। जब लंबे इंतजार के कारण यात्रियों में तनाव बढ़ गया।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा, "हमें एक शिकायत मिली है और हम उचित कानूनी कार्रवाई कर रहे हैं।" (आईएएनएस)।
नई दिल्ली, 14 जनवरी । यूजीसी ने रिसर्च इंटर्नशिप को लेकर विशेष गाइडलाइंस तैयार की है जिसे देशभर के विश्वविद्यालय व उच्च शिक्षण संस्थानों के साथ साझा किया जा रहा है। रिसर्च इंटर्नशिप का सीधा लाभ छात्रों को मिलेगा। ग्रेजुएशन कर रहे छात्र जिन कंपनियों में इंटर्नशिप करेंगे, वहां से उन्हें एक निश्चित रकम प्राप्त होगी। इसके अलावा, उनके लिए बीमा का प्रावधान भी किया जाएगा।
यूजीसी की नई गाइडलाइंस बताती है कि रिसर्च इंटर्नशिप के लिए उच्च शिक्षण संस्थाओं को अपने यहां नोडल अधिकारी तैनात करना होगा। यह संस्थान रिसर्च इंटर्नशिप के लिए विभिन्न कंपनियों के साथ समझौते कर सकेंगे।
4 वर्षीय अंडर ग्रेजुएट (एफवाईयूपी) प्रोग्राम के तहत चौथे वर्ष में रिसर्च की व्यवस्था की गई है।
इतना ही नहीं यूजीसी की गाइडलाइंस बताती है कि उच्च शिक्षा संस्थान प्रत्येक योग्य छात्र के लिए इंटर्नशिप सुपरवाइजर बनाएंगे। यह सुपरवाइजर निर्धारित अवधि के इंटर्नशिप प्रोजेक्ट को पूरा करने में छात्रों के मददगार होंगे।
इसके अलावा, उच्च शिक्षण संस्थान ग्रुप इंटर्नशिप की संभावनाएं भी तलाश सकते हैं। गाइडलाइंस के इस ड्राफ्ट पर यूजीसी अपने सभी स्टेहोल्डर्स से सुझाव भी मांगे थे। उच्च शिक्षा से जुड़े देश भर के सभी शैक्षणिक संस्थान व अन्य स्टेकहोल्डर यूजीसी को ईमेल से अपने सुझाव भेज सकते थे।
यूजीसी के अध्यक्ष प्रोफेसर एम जगदीश कुमार के मुताबिक, राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के प्रावधानों के अनुसार यूजीसी ने अंडरग्रैजुएट स्तर पर क्रेडिट फ्रेमवर्क लागू किया है। छात्रों की इम्प्लॉएबिलीट बढ़ाने के लिए इंटर्नशिप को अनिवार्य किया गया है। इसी कड़ी में आयोग ने इंटर्नशिप को लेकर गाइडलाइंस तैयार की है।
यूजीसी का कहना है कि रिसर्च इंटर्नशिप निर्धारित करने के लिए संबंधित शिक्षण सस्थानों द्वारा लोकल मार्केट की जरूरतों को लेकर सर्वेक्षण किया जाएगा। इसी सर्वेक्षण और संचालित किए जा रहे कोर्सेस के आधार पर संस्थान द्वारा इंटर्नशिप प्रोजेक्ट तैयार किए जाएंगे। इन इंटर्नशिप प्रोजेक्ट और उनके लिए बनाए गए मेंटॉर्स की जानकारी संस्थानों को अपने पोर्टल पर प्रकाशित करनी होगी।
यूजीसी का मानना है कि विश्वविद्यालय के स्तर पर ज्वाइंट रिसर्च प्रोजेक्ट को भी बढ़ावा मिलना चाहिए। यूनिवर्सिटी कॉलेज में स्टूडेंट करियर काउंसलिंग सेल होने चाहिए। करियर काउंसलिंग सेल में न केवल यूनिवर्सिटी बल्कि इंडस्ट्री के प्रतिनिधि भी शामिल होने चाहिए।
प्रोफेशनल और स्किल डेवलपमेंट प्रोग्राम को लागू करने के लिए भी उद्योगों से जुड़े प्रोफेशनल की मदद ली जा रही है। उच्च शिक्षा के स्तर पर औद्योगिक प्रोफेशनल के साथ साझेदारी से यह पता लग सकेगा कि रोजगार को लेकर उद्योगों की क्या जरूरतें हैं। इस नए कदम से पढ़ाई के उद्योगों की आवश्यकता अनुसार, नए पाठ्यक्रम शामिल किया जा सकते हैं।
यूजीसी गाइडलाइंस यह भी बताती है कि राज्य स्तरीय विश्वविद्यालय, कॉलेजों और उद्योगों का का एक क्लस्टर तैयार किया जाना चाहिए। इसका लाभ संयुक्त रिसर्च और उच्च शिक्षण संस्थानों के छात्रों को मिलेगा। यही कारण है कि यूजीसी चाहता है कि विश्वविद्यालय की गवर्निंग बॉडी में इंडस्ट्री के प्रोफेशनल्स को शामिल किया जाए।
यूजीसी के मुताबिक अंडर ग्रेजुएट स्तर पर इंटर्नशिप को कोर्स का हिस्सा बनाए जाने के पीछे मकसद यह भी है कि छात्रों को इसका क्रेडिट मिले। नई शिक्षा नीति के अंतर्गत लागू किए गए 'अकैडमिक बैंक ऑफ क्रेडिट' में उसका स्कोर एकत्र हो सकेगा। संबंधित कंपनी की सिफारिश पर इंटर्नशिप कर रहे छात्रों की इंटर्नशिप अवधि बढ़ाई भी जा सकती है।
यूजीसी चेयरमैन ने बताया कि उच्च शिक्षण सस्थानों को अपने पोर्टल पर एपीआई इंटीग्रेशन के साथ व्यवस्था करनी होगी कि कंपनियों के एक्सपर्ट्स या एजेंसियां रजिस्ट्रेशन कर सकें। इंटर्नशिप प्रोजेक्ट स्टूडेंट के स्किल डेवेलपमेंट कोर्सेस से लिंक होगा। (आईएएनएस)