सरगुजा

छात्रावास अधीक्षक व प्राचार्य पर प्रताडऩा का आरोप, हटाने की मांग पर चक्काजाम
30-Jan-2024 9:29 PM
छात्रावास अधीक्षक व प्राचार्य पर प्रताडऩा का आरोप, हटाने की मांग पर चक्काजाम

एसडीएम ने कलेक्टर से फोन पर बात कराया तब माने

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

अंबिकापुर, 30 जनवरी। सूरजपुर जिला के प्रतापपुर में हॉस्टल अधीक्षक एवं प्राचार्य को हटाने की मांग को लेकर एकलव्य आवासीय विद्यालय के लगभग दो सौ से भी अधिक छात्र व छात्राएं विद्यालय से लगभग पांच सौ मीटर की दूरी पर स्थित जनपद पंचायत कार्यालय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के सामने बीच सडक़ पर करीब 4 घंटे से सडक़ के बीच में बैठकर चक्काजाम कर दिए।

छात्र व छात्राएं हॉस्टल के अधीक्षक एवं प्राचार्य को हटाने को मांग पर अड़े रहे व सूरजपुर कलेक्टर को मौके पर बार-बार बुलाने का मांग करते रहे ताकि अपने समस्याओं से अवगत कराते हुए तत्काल सख्त कार्रवाई करने सहित सस्पेंड करने के मांग कर रहे थे।

एकलव्य आवासीय विद्यालय के बच्चे जमकर नारेबाजी करते हुए शासन प्रशासन के खिलाफ आवाज बुलंद करते हुए आरोप लगाया कि बार-बार अधिकारियों को शिकायत के बाद में भी आज तक किसी प्रकार की कार्रवाई  नहीं की गई, जिसके कारण हॉस्टल अधीक्षक एवं प्राचार्य की मनमानी,  शिकायत करने पर मारपीट करना आम हो गया था। जिससे हॉस्टल के सभी आक्रोशित छात्राओं ने आज नगर में रैली निकालते हुए बीच सडक़ पर चक्काजाम कर किया।

चक्काजाम से मुख्य सडक़ मार्ग के दोनों और लंबे वाहनों की लाइन लग गई, वहीं आदिवासी बच्चों को चक्का जाम करते देख उनके समर्थन में सैकड़ों लोग आ गए और शासन प्रशासन के खिलाफ आक्रोश व्यक्त करने लगे।

छात्र छात्राएं आक्रोशित होते हुए किसी अधिकारी का बात नहीं सुन रहे थे जिस अधिकारी सहित प्रशासन प्रशासन के हाथ पांव फूल रहे थे,पुलिस के द्वारा भी चारों तरफ सुरक्षा व्यवस्था तैनात कर दिया गया था।

स्कूल के प्राचार्य व अधीक्षिका को हटाने की मांग को लेकर धरने  बैठे हुए करीब 4 घंटा जनपद कार्यालय के सामने बीच सडक़ पर चक्काजाम कर दिए। इससे पूर्व सुबह छह बजे के लगभग बच्चे जनपद पंचायत व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के बीच में स्थित मुख्य मार्ग पर बैठकर स्कूल प्रबंधन के खिलाफ नारे लगाते हुए धरना प्रदर्शन कर रहे थे। इस दौरान मौके पर मौजूद बीईओ मुन्नू सिंह धुर्वे बच्चों से आपकी मांग को माना जाएगा कहते हुए धरना समाप्त करने की अपील कर रहे थे पर बच्चों का कहना था कि जब तक कलेक्टर नहीं आ जाते तब तक धरने पर से नहीं उठेंगे। इस बीच लगभग एक घंटे तक मुख्य मार्ग में जाम की स्थिति भी निर्मित हो गई थी।

 इसके उपरांत एसडीएम दीपिका नेताम व तहसीलदार पुष्पराज पात्रे ने भी मौके पर पहुंचकर बच्चों से धरना समाप्त करने की समझाइश दी पर बच्चे फिर भी नहीं माने और कलेक्टर को बुलाने की जिद पर अड़े रहे।

एसडीएम दीपिका नेताम ने कहा- मुझको कलेक्टर सूरजपुर ने आप लोगों के समस्या सुनने के लिए भेजा है, इसके बाद एसडीएम दीपिका ने बच्चों को कलेक्टर सूरजपुर से फोन पर चर्चा कराए और कलेक्टर ने कहा कि आप लोगों का समस्या का हल करते हुए तत्काल सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी।

4 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद में एसडीएम दीपिका नेताम ने कहा कि सबके बयान दर्ज होंगे और एकलव्य आवासीय विद्यालय जाकर शासन प्रशासन की टीम के साथ में समस्त अधिकारियों की उपस्थिति और बच्चों के साथ में बयान दर्ज किया।

सूरजपुर कलेक्टर ने मामला को गंभीरता से लेते हुए 10 बच्चों को एसडीएम और शासन प्रशासन के साथ में सूरजपुर बुलवाए, जहां पर 10 बच्चों ने जाकर अपने बातों को रखने के लिए एवं कलेक्टर के सामने अपने समस्याओं सहित कार्यवाही की मांग को लेकर प्रतापपुर से सूरजपुर की ओर रवाना हुए।

इस विषय में एसडीएम दीपिका नेताम ने बताया कि मामला अति गंभीर है बच्चों का बयान दर्ज करते हुए कलेक्टर के आदेश से बच्चों को सूरजपुर ले जाया जा रहा है,जहां कलेक्टर साहब उनसे स्वयं चर्चा करेंगे, उसके बाद कड़ी से कड़ी कार्रवाई करेंगे।अधिकारियों को भी कारण बताओ नोटिस जारी किया जा रहा है।

सूरजपुर सहायक आयुक्त  विश्वनाथ रेड्डी ने कहा कि मामला अति गंभीर है। मामले की तत्काल जांच कर कड़ी कार्रवाई की जाएगी और जांच टीम को रवाना कर दिया गया है। आदिवासी बच्चों के साथ प्रताडऩा का मामला को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सस्पेंशन की कार्यवाही की जा रही है एवं प्रतापपुर के अधिकारियों को कारण बताओं नोटिस जारी की जाएगी।

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