अंतरराष्ट्रीय

पाकिस्तान में हिंदू लड़की के जबरन धर्म परिवर्तन के मामले में नया मोड़
18-Mar-2021 4:45 PM
पाकिस्तान में हिंदू लड़की के जबरन धर्म परिवर्तन के मामले में नया मोड़

-रियाज़ सुहैल

लड़की ने अदालत के सामने अपने बयान में कहा है कि उसने अपनी मर्ज़ी से बिना किसी दबाव के धर्म बदला है. दूसरी ओर, लड़की के पिता का आरोप है कि कुछ लोग उसे (लड़की) को उठा कर ले गए थे, जिसके बाद उसका ज़बरन धर्म परिवर्तन कराया गया है.

लड़की को बुधवार को आश्रय गृह से पुलिस सुरक्षा के साथ उत्तरी सिंध के काश्मोर कंधकोट की तहसील तंगवानी के सिविल जज मुनव्वर पीरज़ादा की अदालत में पेश किया गया, जहाँ अदालत ने लड़की का बयान दर्ज किया.

लड़की का कहना है कि उसने अपनी मर्ज़ी से दरगाह भरचोंडी पहुंचकर अपना धर्म बदला है और अब उसका नाम उम्मे हिना है. लड़की ने अपने बयान में यह भी कहा है कि उस पर धर्म बदलने के लिए कोई दबाव नहीं था.

लड़की के माता-पिता की ओर से वकील अब्दुल ग़नी बिजरानी ने अदालत से निवेदन किया कि लड़की नाबालिग़ है. वकील अब्दुल ग़नी ने अदालत से यह भी अनुरोध किया है कि एक मेडिकल बोर्ड का गठन किया जाए, जो यह पता लागए कि कहीं लड़की के साथ बलातकार तो नहीं किया गया है.

याद रहे कि सिंध में 18 वर्ष से कम उम्र में शादी करने पर पाबंदी है. अगर कोई 18 वर्ष से कम उम्र में शादी करता है या शादी करने में मदद करता है, तो उसके ख़िलाफ़ केस दर्ज किया जा सकता है.

वकील अब्दुल ग़नी बिजरानी ने आरोप लगाया है कि सिंध चाइल्ड मैरिज रेस्ट्रेन्ट एक्ट (बाल विवाह निरोधक क़ानून) के कारण निकाहनामा (विवाह प्रमाणपत्र) प्रस्तुत नहीं किया जा रहा है. इसलिए उन्होंने एक मेडिकल बोर्ड के गठन का अनुरोध किया है.

एक लिखित अनुरोध में यह भी कहा गया है, कि इस मामले को आतंकवाद निरोधक अदालत में स्थानांतरित किया जाना चाहिए. इस केस के वकील अब्दुल ग़नी बिजरानी के अनुसार नाबालिग़ों के अपहरण का अपराध एटीए की धारा 364 के अंतर्गत आता है. इसलिए इसे एफ़आईआर में शामिल कर मामले को आतंकवाद निरोधक अदालत में चलाया जाना चाहिए.

वकील ने यह भी कहा कि लड़की ग़ैर-महरम (वो लोग जिनसे पर्दा ज़रूरी है) के साथ नहीं रह सकती है. इसलिए उसे उनके माता-पिता को सौंप दिया जाए या उसे बच्चों के आश्रय गृह में स्थानांतरित किया जाए, जिसके बाद अदालत ने लड़की को सुक्कुर आश्रय गृह में स्थानांतरित करने का आदेश दिया है.

अधिवक्ता सईद अहमद बिजरानी, भरचोंडी के पीर की ओर से पेश हुए, जिन्होंने बाद में पत्रकारों को बताया कि अदालत ने लड़की और उसके माता-पिता के बीच अकेले में मुलाक़ात कराई, जिसके बाद बयान दर्ज किया गया था. उन्होंने दावा किया है कि लड़की ने कहा कि वह भरचोंडी के पीर जाना चाहती है, ताकि वह अपनी इस्लामी शिक्षा जारी रख सके.

अधिवक्ता सईद अहमद के अनुसार उन्होंने भी यही अनुरोध किया है कि लड़की को दरगाह भरचोंडी में भेजा जाए. क्योंकि वह एक 'महत्वपूर्ण इस्लामी संस्थान' है. लेकिन अदालत ने आदेश दिया है कि पुलिस की जाँच पूरी होने तक लड़की को बाल संरक्षण केंद्र भेजा जाएगा.

'सफेद रंग की कार में अपहरण किया गया'
लड़की के पिता तख्त मल ने तंगवानी पुलिस थाने में एक प्राथमिकी दर्ज कराई थी कि 9 मार्च को शाम 4 बजे उनके घर के बाहर एक सफेद रंग की कार आकर रुकी, जिसमें से मुश्ताक, भोरल सहित अन्य पाँच व्यक्ति निकले थे. उनके पास पिस्तौल थी और उन्होंने सबको डराया कि कोई विरोध न करे, वे लड़की को ले जाएँगे और उसकी शादी मुश्ताक से कराएँगे.

प्राथमिकी के अनुसार, मुश्ताक ने 13 वर्षीय लड़की को "बाजू से पकड़ा और साथ लेकर कार में सवार हुए और चले गए." पिता को शक है कि उनकी बेटी का अपहरण शादी के लिए किया गया है.

इस मुक़दमे के बाद एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. जिसमें दरगाह भरचोंडी के पीर चारपाई पर बैठे हैं और लड़की ज़मीन पर बैठी है और आसपास लोग खड़े हैं, जो सभी पुरुष हैं. पीर आयत पढ़ते हैं और लड़की उन्हें धीमी आवाज़ में दोहराती है, फिर पीर लड़की के ऊपर से नोट घुमा कर अपने शिष्यों को सौंप देते हैं.

बच्ची को मंगलवार को उसके माता-पिता की जानकारी के बिना भरचोंडी के पीर के समर्थकों के साथ अदालत में पेश किया गया. वादी के माता-पिता की अनुपस्थिति के कारण अदालत ने सुनवाई बुधवार तक के लिए स्थगित कर दी थी.

लड़की के घर में आगजनी का आरोप
लड़की को एक खस्ताहाल सेफ़ हाउस में रखा गया था. जहाँ दरगाह भरचोंडी के भक्तों की उपस्थिति और भोजन लाने का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. ख़बरों के मुताबिक़, जब लड़की के पिता और माँ मिलने के लिए वहाँ गए, तो उन्हें कथित तौर पर मिलने की अनुमति नहीं दी गई थी.

इन वीडियो की कड़ी आलोचना की जा रही है. पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के नेता सुखदेव ने कहा कि लड़की का ज़बरन धर्म परिवर्तन कराया गया है. उन्होंने आगे कहा कि वह व्यक्तिगत रूप से इस मामले को देख रहे हैं और महिला विकास मंत्रालय की राज्य मंत्री शेहला रज़ा के संपर्क में हैं.

सोशल मीडिया पर बहस और मीडिया में ख़बरों के बाद तीन दिन पहले लड़की के घर में आग लगने की घटना भी सामने आई है. लड़की के चचेरे भाई शहज़ाद ने बीबीसी से बात करते हुए आरोप लगाया कि रात में 2 बजे के क़रीब चार लोग आए, उन्होंने लड़की के पिता को चुप रहने और मीडिया से संपर्क न करने की धमकी दी.

शहज़ाद के अनुसार, उन्होंने वहाँ रखी सूखी घास में आग लगा दी, जिससे घर भी आग की चपेट में आ गया. शहज़ाद के अनुसार, उनके चाचा का एकमात्र घर यही था, जो किराए पर लिया गया था.

शहज़ाद के अनुसार, उनके चाचा चाय बिस्किट बेचकर अपना जीवन यापन करते हैं. एसएसपी अमजद शेख़ ने बीबीसी को बताया कि आगजनी का दावा सही नहीं है. उनके अनुसार आग पर देगची रखी हुई थी. जिसमें से आग लगने के कारण कुछ चीज़ें जल गई और अब वहाँ एक पुलिस चौकी भी बन गई है. शहज़ाद का कहना था, कि इस घटना के बाद वहाँ पुलिस चौकी स्थापित की गई. (bbc.com)

अन्य पोस्ट

Comments

chhattisgarh news

cg news

english newspaper in raipur

hindi newspaper in raipur
hindi news