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उज्जैन में गिरफ्तार किए जाने पर जब कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे ने पुलिसकर्मियों पर रोब जमाने के लिए चीखकर अपना नाम बताया, तब उसे पकड़कर ले जा रहे पुलिसकर्मियों में शामिल एक कॉन्स्टेबल ने उसे चुप कराने के लिए एक थप्पड़ भी जड़ दिया था. दरअसल, गिरफ्तार किए जाने के बाद पुलिस की गाड़ी में बिठाते वक्त विकास दुबे ने चीखकर कहा, "मैं विकास दुबे हूं, कानपुर वाला...", बस, तभी उसके पीछे खड़े पुलिस कॉन्स्टेबल ने एक थप्पड़ जड़ा, जिसके बाद विकास दुबे चुप हो गया.
प्रेम में असफल की चिट्ठी पर पुलिस कार्रवाई
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 9 जुलाई। सालभर पहले गंडई क्षेत्र में एक युवक की खुदकुशी किए जाने के मामले में पुलिस ने आधा दर्जन लोगों को आरोपी बनाया है। सभी पर युवक को आत्महत्या के लिए उकसाने के तहत कार्रवाई की है।
बताया गया है कि 5 जून 2019 को बेमेतरा जिले के विजय साहू नामक युवक ने कटंगी गांव में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। यह मामला प्रेमप्रसंग से जुड़ा हुआ है। युवक का गांव के ही एक युवती से प्रेमसंबंध था।
बताया जा रहा है कि गांव के मोहनी मानिकपुरी, गोलू मानिकपुरी, संदीप, संजू, सोनू निर्मलकर, तारण निर्मलकर, चित्र कुमार यादव और गज्जु पटेल को भनक लग गई थी, तब से मृतक को कथित तौर पर प्रताडि़त किया जा रहा था।
बताया जा रहा है कि मृतक ने सुसाईड नोट लिखकर फांसी लगा ली। पुलिस जांच में पत्र में लिखे शब्दों को मृतक का पाया गया है। इस आधार पर पुलिस ने प्रताडि़त करने वाले 8 लोगों के खिलाफ जुर्म दर्ज किया है।
गंडई पुलिस का कहना है कि आरोपियों की गिरफ्तारी जल्द होगी। सुसाईड नोट को आधार बनाकर ही सभी पर धारा 306 के तहत कार्रवाई की है।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज यहां अपने निवास कार्यालय से वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये प्रदेश के विभिन्न जिलों के वृद्धाश्रमों में रह रहे वृद्धजनों से चर्चा की।
इस दौरान उन्होंने वृद्धजनों से वृद्धाश्रम में मिल रहे भोजन, स्वास्थ्य सहित विभिन्न सुविधाओं की जानकारी ली। इस मौके पर महिला बाल विकास मंत्री श्रीमती अनिला भेडिय़ा, सचिव आर प्रसन्ना, संचालक पी दयानंद प्रमुख रूप से उपस्थित थे।
गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू ने आज रायगढ़ एसपी संतोष के सिंह व उनकी टीम को रायगढ़ लूट के अपराधियों को 10 घण्टे के भीतर पकडऩे पर सम्मानित किया। एसपी और उनकी टीम ने लूट की पूरी रकम साढ़े 14 लाख सहित आरोपियों को गिरफ्तार करने की सफलता पाई है।
लखनऊ, 9 जुलाई (हिन्दुस्तान)। मोस्ट वांटेंड विकास दुबे गिरफ्तार हो चुका है। उसके पांच साथी अलग-अलग मुठभेड़ में मारे जा चुके हैं। तीन साथी गिरफ्तार है। विकास के दो साथियों का एनकाउंटर आज सुबह ही हुआ। कांग्रेस नेता जितिन प्रसाद ने इस पर सवाल उठाते हुए ट्वीट किया है। उन्होंने लिखा है कि जिस तरह से योगी सरकार विकास दुबे के प्रकरण को लेकर चल रही है, उससे ऐसा प्रतीत होता है कि सरकार असली कहानी उजागर नहीं करना चाहती।
जितिन प्रसाद ने अमर दुबे के गिरफ्तार परिजनों पर भी सवाल खड़ा किया। अमर दुबे कल उनकाउंटर में मारा गया था और उसकी नौ दिन पहले ही शादी हुई थी। जितिन प्रसाद ने ट्वीट कर लिखा दुबे गैंग के सदस्य के असहाय माता-पिता को एवं 9 दिन पूर्व शादी हुई ख़ुशी दुबे जो विधवा है उसका उत्पीडऩ से क्या होने वाला है ? प्रभाकर मिश्रा जो हिरासत में था उसकी मुठभेड़ दिखाकर एंकाउंटर करना , इस बात को दर्शाता है सरकार असली कहानी को छिपाने में लगी है ताकि बड़े चेहरे बेनकाव न हो जाये।
उत्तरप्रदेश के कुख्यात गैंगस्टर विकास दुबे को आज मध्यप्रदेश के उज्जैन से गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि दुबे को यहां महाकाल पुलिस चौकी क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया। मध्यप्रदेश पुलिस ने उसे अपनी गिरफ्त में लेकर सुरक्षा के सख्त प्रबंध किए हैं। कुछ दिनों पहले उत्तरप्रदेश में आठ पुलिस अधिकारियों कर्मचारियों की हत्या के बाद से वह फरार था और उत्तरप्रदेश पुलिस उसकी जगह जगह तलाश कर रही थी।
मध्यप्रदेश के गृह मंत्री डॉ नरोत्तम मिश्रा ने भी विकास दुबे की गिरफ्तारी की पुष्टि की है।
नई दिल्ली, 8 जुलाई । पेट्रोल-डीजल के दाम गुरुवार को लगातार दूसरे दिन स्थिर रहे।
देश की सबसे बड़ी तेल विपणन कंपनी इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन के अनुसार, दिल्ली में पेट्रोल की कीमत आज लगातार 10वें दिन 80.43 रुपये प्रति लीटर पर स्थिर रही। यह 27 अक्टूबर 2018 के बाद का उच्चतम स्तर है। डीजल भी लगातार दूसरे दिन 80.78 रुपये प्रति लीटर पर स्थिर रहा।
कोलकाता, मुंबई और चेन्नई में पेट्रोल की कीमत क्रमश: 82.10 रुपये, 87.19 रुपये और 83.63 रुपये प्रति लीटर पर स्थिर रही। डीजल का भाव कोलकाता में 75.89 रुपये, मुंबई में 79.05 रुपये और चेन्नई में 77.91 रुपये प्रति लीटर पर पर अपरिवर्तित रहा। (वार्ता)
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 9 जुलाई। कवर्धा जिले में गुरुवार सुबह एक बड़ी लूट की घटना से जिले में सनसनी फैल गई। कवर्धा जिला मुख्यालय से करीब 20 किमी दूर पांडातराई थाना क्षेत्र के जंगलपुर के पास कुंडा रास्ते में कवर्धा के चावल व्यापारी के एक मुनीम के साथ 70 लाख रुपए की लूटपाट की घटना के बाद दो अज्ञात आरोपी फरार हो गए।
कवर्धा से बिलासपुर के व्यापारियों को चावल कारोबार का भुगतान करने के लिए निकले दिलीप अग्रवाल नामक व्यापारी के मुनीम मनोज कश्यप मोटर साइकिल से लाखों रुपए लेकर सुबह निकला था। इसी बीच कुंडा कस्बे से करीब 7 किमी पहले मुनीम मनोज कश्यप के दो पहिया वाहन को दो अज्ञात लोग अलग-अलग वाहनों से ओवरटेक करते हुए रोका। इसके बाद आरोपियों ने कट्टानुमा एक शस्त्र दिखाकर मुनीम की आंख में मिर्च पावडर झोंक दिया।
बताया जा रहा है कि मुनीम से हाथापाई करते हुए आरोपियों ने उसके पास रुपए से भरे बैग को छीन लिया और वहां से फरार हो गए। मुनीम ने अपने साथ हुई घटना की जानकारी अपने मालिक दिलीप अग्रवाल को दी और उन्होंने पुलिस को वारदात की सूचना दी।
बताया जा रहा है कि इस खबर से कवर्धा जिले में खलबली मच गई। पुलिस ने आनन-फानन में समूचे जिले में नाकेबंदी कर दी। वहीं सीमावर्ती राजनांदगांव, बेमेतरा, मुंगेली तथा बिलासपुर जिले में भी पुलिस ने नाकेबंदी कर वाहनों की सघन जांच शुरू कर दी। घटना की पुष्टि करते दुर्ग रेंज आईजी विवेकानंद सिन्हा एवं कवर्धा एसपी केएल धु्रव ने ‘छत्तीसगढ़’ को बताया कि लूट की वारदात के बाद आरोपियों की तलाश की जा रही है। सीमावर्ती जिलों में भी पुलिस नाकेबंदी कर जांच कर रही है।
मिली जानकारी के मुताबिक मुनीम के पास कुल 71 लाख 56 हजार रुपए थे। इस बात की जानकारी आरोपियों तक कैसे पहुंची, पुलिस इन बिन्दुओं पर भी जांच कर रही है। एसपी का कहना है कि पीडि़त मुनीम के बयान के आधार पर घटनास्थल का मुआयना किया गया है। फिलहाल चावल व्यापारी का मुनीम काफी सहमा हुआ है।
मिली जानकारी के मुताबिक वारदात करने वाले आरोपियों ने बकायदा व्यापारी के गतिविधियों की जानकारी हासिल की थी। आरोपियों ने मुनीम का काफी दूर से पीछा करना शुरू किया था और उसके बाद मौका पाकर रुपए लूटकर भाग खड़े हुए। माना जा रहा है कि वारदात को किसी पेशेवर गिरोह ने अंजाम दिया है। इस बात से पुलिस इंकार नहीं कर रही है, लेकिन मुनीम के बताये हुलिये के आधार पर आरोपियों की सरगर्मी से तलाश की जा रही है।
बीजिंग/जिनेवा/नयी दिल्ली, 9 जुलाई (वार्ता)। कोरोना वायरस के दिनोंदिन बढ़ते कहर के बीच दुनिया भर में इसके कारण होने वाली मौतों की संख्या साढ़े पांच लाख के पास पहुंच गयी है, जबकि 1.20 करोड़ से अधिक लोग इससे संक्रमित हो चुके हैं।
कोविड-19 के मामले में अमेरिका दुनिया भर में पहले, ब्राजील दूसरे और भारत तीसरे स्थान पर है। वहीं इस महामारी से हुई मौतों के आंकड़ों के मामले में अमेरिका पहले, ब्राजील दूसरे और ब्रिटेन तीसरे स्थान पर है।
अमेरिका की जॉन हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के विज्ञान एवं इंजीनियरिंग केन्द्र (सीएसएसई) की ओर से जारी किये गये आंकड़ों के अनुसार विश्व भर में कोरोना संक्रमितों की संख्या 1,20,12,125 हो गयी है जबकि 5,48,896 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं।
विश्व महाशक्ति माने जाने वाले अमेरिका में कोरोना से अब तक 3054650 लोग संक्रमित हो चुके हैं तथा 1,32,298 लोगों की मौत हो चुकी है। ब्राजील में अब तक 17,13,160 लोग इसकी चपेट में आ चुके हैं जबकि 67,964 लोगों की मौत हो चुकी है।
भारत में पिछले 24 घंटों के दौरान कोरोना संक्रमण के 24879 नये मामले सामने आये हैं और अब कुल संक्रमितों की संख्या बढक़र 7,67,296 हो गई है। इसी अवधि में कोरोना वायरस से 487 लोगों की मृत्यु होने से मृतकों की संख्या बढक़र 21,129 हो गई है। देश में इस समय कोरोना के 2,69,789 सक्रिय मामले हैं और अब तक 4,76,378 लोग इस महामारी से निजात पा चुके हैं।
रूस कोविड-19 के मामलों में चौथे नंबर पर है और यहां इसके संक्रमण से अब तक 6,99,749 लोग प्रभावित हुए हैं तथा 10,650 लोगों ने जान गंवाई है। पेरु में लगातार हालात खराब होते जा रहे है वह इस सूची में पांचवें नम्बर पर पहुंच गया है। वहां संक्रमितों की संख्या 3,12,911 हो गई तथा 11,133 लोगों की मौत हो चुकी है। संक्रमण के मामले में चिली विश्व में छठे स्थान पर आ गया हैं। यहां अब तक कोरोना वायरस से 3,03,083 लोग संक्रमित हुए हैं और मृतकों की संख्या 6573 है।
ब्रिटेन संक्रमण के मामले में सातवें नंबर पर आ गया है। यहां अब तक इस महामारी से 2,88,511 लोग संक्रमित हुए हैं तथा 44,602 लोगों की मृत्यु हो चुकी है। कोरोना संक्रमण के मामले में मेक्सिको स्पेन से आगे निकल कर आठवें स्थान पर आ गया है और यहां संक्रमितों की संख्या 2,75,003 पहुंच गई है और अब तक इस वायरस से 32,796 लोगों की मौत हुई है। वहीं स्पेन में कोरोना संक्रमितों की संख्या 252,513 है जबकि 28,396 लोगों की मौत हो चुकी है। कोरोना वायरस से प्रभावित खाड़ी देश ईरान में दसवें स्थान पर है यहां संक्रमितों की संख्या 2,48,379 हो गई है और 12,084 लोगों की इसके कारण मौत हुई है।
यूरोपीय देश इटली में इस जानलेवा विषाणु से 2,42,149 लोग संक्रमित हुए हैं त था 34,914 लोगों की मौत हुई है।
पड़ोसी देश पाकिस्तान में कोरोना संक्रमितों की संख्या सवा दो लाख से अधिक हो गयी है और यहां अब तक 2,37,489 लोग संक्रमित हुए हैं तथा 4922 लोगों की मौत हो चुकी है। एक अन्य पड़ोसी देश बंगलादेश में 172134 लोग कोरोना की चपेट में आए हैं जबकि 2197 लोगों की इस बीमारी से मौत हो चुकी है।
दक्षिण अफ्री ने कोरोना संक्रमण के मामले में सऊदी अरब और तुर्की को पीछे छोड़ दिया है। यहां संक्रमितों की संख्या 2,24,465 हो गई है और 3602 लोगों की मौत हो चुकी है। सऊदी अरब में कोरोना संक्रमण से अब तक 220144 लोग प्रभावित हुए हैं तथा 2059 लोगों की मौत हो चुकी है। तुर्की में कोरोना संक्रमितों की संख्या 2,08,938 हो गयी है और 5282 लोगों की मौत हो चुकी है। फ्रांस में कोरोना संक्रमितों की संख्या 206,072 हैं और 29,936 लोगों की मौत हो चुकी है। जर्मनी में 1,98,699 लोग संक्रमित हुए हैं और 9046 लोगों की मौत हुई है।
वैश्विक महामारी कोरोना के उद्गमस्थल चीन में अब तक 84,950 लोग संक्रमित हुए हैं और 4,641 लोगों की मृत्यु हुई है। कोरोना वायरस से बेल्जियम में 9776, कनाडा में 8786 , नीदरलैंड में 6154, स्वीडन में 5482, इक्वाडोर में 4873 , मिस्र 3564, इंडोनेशिया 3559, इराक 2779, स्विट्जरलैंड में 1966, आयरलैंड में 1738, पुर्तगाल में 1631 और अर्जेटीना में 1694 लोगों की मौत हुई है।
नई दिल्ली, 9 जुलाई (वार्ता)। देश में कोविड-19 की भयावह होती स्थिति के बीच पिछले 24 घंटों में संक्रमण के सर्वाधिक 24,879 नये मामले सामने आये हैं तथा 487 संक्रमितों की मौत हुई है।
केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से गुरुवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक देश भर में पिछले 24 घंटों के दौरान कोरोना संक्रमण के 24,879 नए मामले सामने आए हैं जिससे संक्रमितों की संख्या 7,67,296 हो गयी है। इस अवधि में 487 लोगों की मौत से मृतकों की संख्या बढक़र 21,129 हो गई है।
इस दौरान हालांकि अच्छी बात यह रही कि स्वस्थ होने वाले लोगों की संख्या भी बढ़ी है तथा 19,547 रोगी स्वस्थ हुए हैं, जिन्हें मिलाकर अब तक कुल 4,76,378 लोग रोगमुक्त हो चुके हैं। देश में अभी कोरोना संक्रमण के 2,69,789 सक्रिय मामले हैं।
कोरोना महामारी से सर्वाधिक प्रभावित महाराष्ट्र में पिछले 24 घंटों में संंक्रमण के 6,603 मामले दर्ज किए गए जिससे संक्रमितों का आंकड़ा 2,23,724 पर पहुंच गया है तथा 198 लोगों की मौत हुई है जिसके कारण मृतकों की संख्या बढक़र 9,448 हो गयी है। राज्य में 1,23,192 लोग संक्रमणमुक्त हुए हैं।
संक्रमण के मामले में दूसरे स्थान पर पहुंचे तमिलनाडु में संक्रमितों की संख्या 3,756 बढक़र 1,22,350 पर पहुंच गयी है और इसी अवधि में 64 लोगों की मौत से मृतकों की संख्या 1700 हो गयी है। राज्य में 74,167 लोगों को उपचार के बाद अस्पतालों से छुट्टी दी जा चुकी है।
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में कोरोना महामारी ने कहर बरपा रखा है और यहां अब तक 1,04,864 लोग कोरोना की चपेट में आ चुके हैं तथा इसके संक्रमण से मरने वालों की संख्या 3,213 हो गयी है। यहां 748,199 मरीज रोगमुक्त हुए हैं और इन्हें विभिन्न अस्पतालों से छुट्टी दी जा चुकी है।
देश का पश्चिमी राज्य गुजरात कोविड-19 के संक्रमितों की संख्या मामले में चौथे स्थान पर है, लेकिन मृतकों की संख्या के मामले में यह महाराष्ट्र और दिल्ली के बाद तीसरे स्थान पर है। गुजरात में अब तक 38,333 लोग वायरस से संक्रमित हुए हैं तथा 1993 लोगों की मौत हुई है। राज्य में 27,289 लोग इस बीमारी से स्वस्थ भी हुए हैं।
आबादी के हिसाब से देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण के अब तक 31,156 मामले सामने आए हैं तथा इस वायरस से 845 लोगों की मौत हुई है जबकि 20,331 मरीज ठी हुए हैं।
दक्षिण भारतीय राज्यों में तेलंगाना और कर्नाटक में कोरोना संक्रमण के मामले बहुत तेजी से बढ़ रहे हैं। तेलंगाना में संक्रमितों की संख्या 29,536 हो गयी है और 324 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 17,279 लोग अब तक इस महामारी से ठीक हो चुके है। कर्नाटक में 28,877 लोग संक्रमित हुए हैं तथा 470 लोगों की इससे मौत हुई है। राज्य में 11,876 लोग स्वस्थ भी हुए हैं।
पश्चिम बंगाल में 24,823 लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हुए हैं तथा 827 लोगों की मौत हुई है और अब तक 16,291 लोग स्वस्थ हुए हैं। राजस्थान में भी कोरोना का प्रकोप जोरों पर है और यहां संक्रमितों की संख्या 22,063 हो गयी है और अब तक 482 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 16,866 लोग पूरी तरह ठीक हुए है। आंध्र प्रदेश में 22,259 लोग संक्रमित हुए हैं तथा मरने वालों की संख्या 264 हो गयी है। हरियाणा में 18,690 लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हुए हैं तथा 282 लोगों की मौत हुई है। इस महामारी से मध्य प्रदेश में 629, पंजाब में 178, जम्मू-कश्मीर में 149, बिहार में 107, उत्तराखंड में 46, ओडिशा में 48, केरल में 27, झारखंड में 22, असम में 16, छत्तीसगढ़ और पड्डुचेरी में 14, हिमाचल प्रदेश में 11, गोवा में आठ, चंडीगढ़ में सात, अरुणाचल प्रदेश में दो तथा त्रिपुरा, लद्दाख और मेघालय में एक-एक व्यक्ति की मौत हुई है।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 9 जुलाई। प्रदेश सरकार के वन मंत्री मोहम्मद अकबर का सुरक्षाकर्मी कोरोनाग्रस्त मिला है। बताया गया है कि मंत्री अकबर के सरकारी बंगले में निवासरत यह जवान हाल ही में अपने गृह राज्य उत्तर प्रदेश से लौटा था। और वह एक होटल में क्वॉरंटीन पर था।
बुधवार को जांच रिपोर्ट आई जिसमें पीएसओ के कोरोना पॉजिटिव होने की पुष्टि हुई है। उसे अंबेडकर अस्पताल में दाखिल कराया गया है। उल्लेखनीय है कि भाजपा सांसद सुनील सोनी का पीएसओ भी कोरोना पॉजिटिव निकला और वह अंबेडकर अस्पताल में भर्ती है। इसके अलावा पुराने पीएचक्यू दफ्तर के कई पुलिसकर्मी कोरोना की चपेट में आ गए हैं। इन सभी का उपचार चल रहा है।
'छत्तीसगढ़' संवाददाता
राजनांदगांव, 9 जुलाई। कवर्धा जिले में गुरुवार को सुबह 9 बजे कुंडा इलाके में लूट की एक बड़ी वारदात हुई हैं | मिली जानकारी के अनुसार आज सुबह एक ऱाईस मिल का मुनीम कुंडा के रास्ते 70 लाख रुपये लेकर बिलासपुर जा रहा था | इसी बीच एक मोटरसाइकिल में सवार दो लोगों ने मुनीम के आंख में मिर्च पाउडर झोंककर लूट की घटना को अंजाम दिया | वारदात के बाद लूटरे फरार हो गए | घटना की पुष्टि करते दुर्ग रेंज आईजी विवेकानंद सिन्हा ने 'छत्तीसगढ़' को बताया कि आज कुंडा में लूट की घटना हुई है | पुलिस आरोपियों की पतासाजी कर रही| इधर वारदात की ख़बर के बाद राजनांदगांव जिला समेत सीमावर्ती जिले में नाकाबंदी कर वाहनों की जांच की जा रही है | घटना की सूचना मिलते ही आईजी विवेकानंद सिन्हा मौके के लिए रवाना हो गए हैं|
वाशिंगटन, 09 जुलाई(वार्ता )।अमेरिका में कोरोना वायरस के बढ़ते मामले के बीच देश में स्कूल को दोबारा खोलने के लिए व्हाइट हाउस दबाव डाल रहा है।
जॉन हापकिंस यूनीवर्सिटी के अनुसार अमेरिका में कोरोना से संक्रमित मरीजों की संख्या 30 लाख के पार पहुंच गयी है और यहां इस महामारी से अब तक 132000 से ज्यादा लोगों की मौत हुई है।
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बुधवार को ट्वीट कर कहा कि वह स्कूल दोबारा नहीं खोलने की सूरत में स्कूलों को मिलने वाले संघीय धन में कटौती करेंगे। उन्होंने साथ ही स्कूल खोलने को लेकर रोग नियंत्रण एवं निवारण केंद्र (सीडीसी) द्वारा जारी किए गए दिशा-निर्देशों को लेकर उस पर निशाना साधा है।
पत्रकार वार्ता के दौरान उपराष्ट्रपति माइक पेंस ने कहा कि सीडीसी स्कूल खोलने के लिए अगले सप्ताह नए दिशा-निर्देश जारी करेगा। उन्होंने कहा कि सभी अमेरिकी जानते हैं कि हम सुरक्षित तरीके से स्कूल दोबारा खोल सकते हैं।
गत मंगलवार को श्री ट्रंप ने सरकारी अधिकारियों औऱ स्कूल प्रशासकों के साथ बैठक में कहा था कि हम गर्वनर और अन्य लोगों पर स्कूल खोलने के लिए दबाव बनाएंगे।
उल्लेखनीय है कि मंगलवार को अमेरिका में रिकॉर्ड 60021 कोरोना वायरस के मामले दर्ज किए गए थे जो अब तक के एक दिन में सामने आने वाले सर्वाधिक मामले थे।
लॉकडाउन में ऑनलाइन सुनवाई
एक पुरुष सहकर्मी अपनी महिला बॉस के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस में बिना पैंट-शर्ट पहने आ गया. उसने शराब पी रखी थी.
ऑफिस के एक वीडियो कांन्फ्रेंस के दौरान पुरुष कर्मचारी ने एक महिला सहकर्मी की तस्वीर का बिना पूछे स्क्रीनशॉट ले लिया.
एक सीनियर अधिकारी ने महिला सहकर्मी को देर रात फोन करके कहा, मैं बहुत बोर हो गया हूं कुछ निजी बातें करते हैं.
लॉकडाउन के कारण ऑफिस घर पर शिफ्ट हो गया है लेकिन, इसके साथ ही यौन उत्पीड़न के मामले भी अब ऑफिस से घर तक पहुंच गये हैं.
कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न के मामले पहले भी आते रहे हैं लेकिन, वर्क फ्रॉम होम में भी अब ये समस्या आने लगी है.
वीडियो कॉन्फ्रेंस में मीटिंग कर रहे हैं, मैसेज या ऑनलाइन माध्यमों से ज़्यादा से ज़्यादा संपर्क कर रहे हैं. ऐसे में महिलाएं यौन उत्पीड़न के मामलों में एक नई तरह की स्थिति का सामना कर रही हैं.
एचआर ‘कंसल्टेंसी’ ‘केल्पएचआर’ के पास महिलाओं ने इस तरह की शिकायतें की हैं. केल्पएचआर यौन उत्पीड़न के क्षेत्र में काम करती है.
इसकी सह-संस्थापक स्मिता कपूर कहती हैं, “लॉकडाउन के दौरान हमारे पास कई महिलाओं की शिकायतें आई हैं जिन्होंने वर्क फ्रॉम होम में यौन उत्पीड़न के मसले पर सलाह मांगी है. कुछ महिलाओं को ये उलझन है कि वर्क फ्रॉम होम होने के कारण क्या ये कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न के तहत आएगा. इसमें आगे क्या करना है. कुछ महिलाएं इस संबंध में अपने ऑफिस में शिकायत भी कर चुकी हैं.”
वर्क फ्रॉम होम पहले से भी चलन में रहा है लेकिन लॉकडाउन के दौरान ये बड़ी ज़रूरत बन गया. सरकारी से लेकर निजी कंपनियां वर्क फ्रॉम होम को ही प्राथमिकता दे रही हैं.
लेकिन, इसे लेकर जागरुकता कम है कि अगर घर पर काम करते हुए यौन उत्पीड़न होता है तो वो किस क़ानून के तहत आएगा. महिलाएं ऐसे में क्या कर सकती हैं.
वर्क फ्रॉम में होने वाले यौन उत्पीड़न में भी वही नियम-क़ानून लागू होंगे जो कार्यस्थल पर होने वाले मामलों में लागू होते हैं.
अगर किसी महिला के साथ ऐसा मामला सामने आता है तो वो कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न क़ानून के तहत अपनी शिकायत दर्ज करा सकती है.
कार्यस्थल की परिभाषा
यौन उत्पीड़न के ख़िलाफ़ सहायता करने वाली संस्था “साशा” की संस्थापक और वक़ील कांति जोशी कहती हैं कि पहले हमें ये समझना होगा कि कार्यस्थल की परिभाषा क्या है. कार्यस्थल का दायरा सिर्फ ऑफिस तक ही सीमित नहीं है. काम के सिलसिले में आप कहीं पर भी हैं या घटना काम से जुड़ी है तो वो कार्यस्थल के दायरे में आती है.
कांति जोशी कहती हैं, “हमारे पास एक मामला आया था कि मैनेजर ने महिला सहकर्मी से कहा कि लॉकडाउन में मिले हुए काफी दिन हो गए. मैं तुम्हारे घर के सामने से जा रहा हूं, चलो मिलते हैं. इस तरह के मामले भी यौन उत्पीड़न का ही हिस्सा हैं. सेक्सुअल प्रकृति का कोई भी व्यवहार जो आपकी इच्छा के विरुद्ध है, आप उसकी शिकायत कर सकती हैं. ऐसे मामलों की जांच के लिए 10 से ज़्यादा कर्मचारियों वाली किसी भी कंपनी में आंतरिक शिकायत समिति बनी होती है.”
महिलाओं को कानूनी सहयोग देने और उनके उत्पीड़न पर रोक लगाने के लिए कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न (निवारण, निषेध एवं निदान) अधिनियम, 2013 लाया गया था. इसे विशाखा गाइडलाइन्स के नाम से भी जाना जाता है.
इस कानून के तहत संगठित और गैर संगठित दोनों ही क्षेत्र शामिल हैं. इस कानून के संबंध में अन्य जानकारियां नीचे दी गई हैं.
यौन उत्पीड़न क्या है
महिला की इच्छा के विरुद्ध यौन भावना से संचालित किए गए व्यवहार को यौन उत्पीड़न माना जायेगा. इसमें यौन संबंधी कोई भी शारीरिक, मौखिक या अमौखिक आचरण शामिल है.
यदि किसी महिला के अपने वरिष्ठ या सह कर्मचारी से किसी समय आंतरिक संबंध रहे हों लेकिन वर्तमान में महिला की सहमति न होने पर भी उस पर आंतरिक संबंध बनाने के लिए दबाव डालना.
वर्चुअल या ऑनलाइन यौन उत्पीड़न की बात करें तो उसमें आपत्तिजनक मैसेज, ऑनलाइन स्टॉकिंग, वीडियो कॉल के लिए दबाव, अश्लील जोक्स और वीडियो कॉफ्रेंस में उचित ड्रेस में ना होना शामिल है.
शिकायत दर्ज कराने पर आगे की प्रक्रिया
कोई भी महिला ऐसी घटना होने के तीन महीनों के अंदर अपनी शिकायत समिति को दे सकती है.
नियोक्ता द्वारा एक आंतरिक शिकायत समिति बनाई जाए.
महिलाओं के लिए एक विशेष परामर्शदाता हो.
समिति में कम से कम आधी सदस्य महिलाएं ही होंगी.
एक सदस्य महिलाओं संबंधी मुद्दों पर काम करने वाली गैर-सरकारी संस्थाओं से या यौन प्रताड़ना से जुड़े मामलों का जानकार व्यक्ति होगा.
अगर किसी कंपनी में 10 से कम कर्मचारी होते हैं या नियोक्ता स्वयं आरोपी हो तो स्थानीय शिकायत समिति बनाई जाएगी. डिस्ट्रिक्ट ऑफिसर द्वारा इस कमिटी का गठन किया जाएगा. महिला स्थानीय थाने में भी शिकायत दर्ज करा सकती है.
कमिटी की जांच तीन महीनों के अंदर पूरी होना अनिवार्य है.
जांच के दौरान महिला को तुरंत अंतिरम राहत दी जाती है. उसे पेड लीव मिल सकती है और वो ट्रांस्फर भी ले सकती है.
लॉकडाउन में ऑनलाइन सुनवाई
कांति जोशी बताती हैं कि लॉकडाउन के कारण ऐसे में मामलों में ऑनलाइन सुनवाई भी की जा रही है ताकि समय पर न्याय किया जा सके. उन्होंने ऑनलाइन सुनवाई से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण बातें बताईं.
समिति दोनों से ऑनलाइन माध्यम से सुनवाई के लिए सहमति लेती है. शिकायत के सात दिनों के अंदर अभियुक्त को आरोपों के बारे में सूचित किया जाता है.
अभियुक्त को 10 दिनों के अंदर अपना जवाब लिखित में देना होता है. इसके बाद समिति दोनों पक्षों को सुनती है और अगर दोनों पक्ष सहमत हों तो ऑनलाइन सुनवाई होती है.
अगर अभियुक्त या पीड़ित ये कहते हैं कि वो ऑनलाइन सुनवाई के लिए तैयार नहीं हैं क्योंकि परिवार के सामने वो वीडियो पर सुनवाई में नहीं आ सकते. ऐसे में जांच रोकी जा सकती है जब तक कि दोनों अभियुक्त या पीड़ित की समस्या ख़त्म ना हो जाए. एक ऐसे ही मामले में अभियुक्त का लिखित जवाब लेकर जांच को लॉकडाउन ख़त्म होने तक रोक दिया था. इसके बाद ऑफिस बुलाकर आगे की कार्रवाई की गई.
इन तीन बातों का रखें ध्यान
स्मिता कहती हैं कि वर्क फ्रॉर्म होम ज़रूर एक नया चलन है लेकिन यौन उत्पीड़न की शिकायतों में महिलाओं को बिल्कुल भी उलझन में पड़ने की ज़रूरत नहीं हैं. मैं उन्हें सलाह दूंगी कि सबसे पहले ख़ुद को दोष ना दें. आपने क्या बोला, आप कैसी बैठी थीं, क्या फोटो डाली थे, इस पर गौर ना करें.
दूसरा, अगर आपको किसी का व्यवहार अश्लील या आपत्तिजनक लगता है तो उसे तुरंत टोकें और सबूत या बातों का रिकार्ड रखें. स्मिता बताती हैं कि वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान जब एक महिला के सामने उसका पुरुष सहकर्मी बिना पैंट शर्ट पहने आया तो उसने पहले उसे टोका, फिर उसका स्क्रीन शॉट लिया और फिर कॉल डिस्कनेक्ट कर दी.
तीसरा, इसके बाद मामले की तुरंत शिकायत करो. गैर-ज़रूरी जगहों पर चर्चा करने की बजाए कंपनी में समिति के सदस्यों को इस बारे में शिकायत करें.
स्मिता कपूर कहती हैं कि कई बार अभियुक्त कह सकता है कि घर मेरा पर्सनल स्पेस है और यहां मैं नियमों से बंधा नहीं हूं. साथ ही इसमें कार्यस्थल की बात हो तो घटना के समय ऑफिस टाइम था या नहीं ये भी देखा जा सकता है. लेकिन, फिर कंपनियां कहती हैं कि पीड़ित को इतना सोचने की ज़रूरत नहीं है. अगर उसे किसी का व्यवहार आपत्तिजनक लगा है तो उसके बारे में कंपनी को ज़रूर सूचित करें.(bbc)
संदिग्ध चरमपंथियों ने पिता और भाई को भी मार डाला
कश्मीर के बांदीपोरा ज़िले में संदिग्ध चरमपंथियों ने बुधवार को बीजेपी के पूर्व ज़िला अध्यक्ष वसीम बारी, उनके पिता और भाई की गोली मारकर हत्या कर दी.
केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर की पुलिस के मुताबिक़, हमला देर शाम उस वक़्त किया गया, जब तीनों अपने घर के नज़दीक स्थित अपनी दुकान में थे.
कश्मीर ज़ोन की पुलिस के मुताबिक़, चरमपंथियों ने बीजेपी कार्यकर्ता वसीम अहमद बारी पर गोली चलाई. पुलिस ने बताया कि घटना में 38 वर्षीय बारी, उनके 60 वर्षीय पिता बशीर अहमद और उनके 30 वर्षीय भाई उमर बशीर घायल हो गए थे. जिन्हें अस्पताल ले जाया गया, लेकिन तीनों की ही मौत हो गई.
बांदीपोरा के मुख्य चिकित्सा अधिकारी बशीर अहमद के मुताबिक़, तीनों को सिर में गोली मारी गई थी.
सीएमओ के मुताबिक़, "रात पौने नौ बजे तीनों को अस्पताल लाया गया. तीनों को गोली लगी थी और अस्पताल पहुंचने से पहले ही उनकी मौत हो चुकी थी. उनकी मौत रात 8.45 बजे ही हो चुकी थी. तीनों का पोस्टमार्टम हो चुका है. बाक़ी की क़ानूनी प्रक्रिया भी पूरी कर ली गई है. अब हम पुलिस को शव सौंप रहे हैं."
प्रधानमंत्री कार्यालय में राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह ने देर रात ट्वीट कर बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कश्मीर में हुई घटना के बारे में पूछा है और परिवार के लिए संवेदना प्रकट की है.
बीजेपी ने कहा है कि ये हत्या कश्मीर में राष्ट्रवादी आवाज़ को दबाने की कोशिश है.
बीजेपी की जम्मू-कश्मीर यूनिट के प्रवक्ता अनिल गुप्ता ने बीबीसी हिंदी से कहा कि कश्मीर में ऐसे हमले आवाज़ों को दबा नहीं सकते.
उन्होंने कहा, "वसीम पिछले तीन सालों से हमारे ज़िला अध्यक्ष थे. वो एक बहुत ही सक्रिय कार्यकर्ता थे और सामाजिक कार्य भी कर रहे थे. इस घटना के बारे में जानकर हम हैरान रह गए. वो अपने घर के नज़दीक वाली अपनी दुकान में बैठे थे. और चरमपंथी आए और उन्हें गोली मार दी."
उन्होंने कहा, "ये कश्मीर की राष्ट्रवादी आवाज़ को दबाने का साफ़ संदेश है. अगर आपको याद हो तो एक महीने पहले, एक चरमपंथी संगठन ने हमारे बीजेपी कार्यकर्ताओं को डराया था. हम इस तरह के हमलों की निंदा करते हैं."
गुप्ता ने आरोप लगाया कि इस तरह की हत्याएं सीमा पार से मिल रहे निर्देशों पर की जा रही हैं.
पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी देर रात ट्वीट कर कहा - "ये पार्टी के लिए बड़ा नुक़सान है. मेरी संवेदनाएं परिवार के साथ हैं. पूरी पार्टी शोक संतप्त परिवार के साथ खड़ी है. मैं भरोसा दिलाता हूं कि उनका बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा."
अन्य राजनीतिक दलों ने भी इस घटना की निंदा की है और इसे बर्बर कृत्य बताया है.
उमर अब्दुल्ला ने एक ट्वीट कर कहा, "बांदीपोरा में बीजेपी के पदाधिकारियों और उनके पिता पर हुए जानलेवा चरमपंथी हमले के बारे में सुनकर दुख हुआ. मैं हमले की निंदा करता हूं. दुख की इस घड़ी में मेरी संवेदनाएं उनके परिवार के साथ हैं. दुख की बात है कि मुख्यधारा की पार्टियों के कार्यकर्ताओं को निशाना बनाया जाना लगातार जारी है."
इस बीच पुलिस का कहना है कि मृतक के आठों सुरक्षा गार्ड को हिरासत में ले लिया गया है.
जम्मू-कश्मीर के डीजीपी दिलबाग सिंह ने एक बयान में कहा कि, हमले के वक़्त कोई भी सुरक्षा गार्ड मृतक के साथ नहीं था.
पुलिस और अन्य सुरक्षाबल हमलावरों को पकड़ने के लिए इलाक़े में सर्च अभियान चला रहे हैं.
इससे पहले भी कश्मीर घाटी के अलग-अलग इलाक़ों में संदिग्ध चरमपंथियों ने बीजेपी के कई कार्यकर्ताओं और नेताओं की हत्या की है. (bbc)
पार्टी ने किया इनकार
8 पुलिस वालों की हत्या कर फरार हुआ गैंगस्टर विकास दुबे तो अभी तक हाथ नहीं लगा है, लेकिन इस दौरान उसके राजनीतिक रिश्ते परत दर परत खुल रहे हैं। अब उसकी पत्नी के समाजवादी पार्टी के साथ रिश्तों की बात सामने आई है। इस बारे में एक रसीद वायरल हो रही है।
उत्तर प्रदेश के कानपुर मुठभेड़ कांड के फरार मुख्य आरोपी कुख्यात विकास दुबे के राजनीतिक गलियारों में सबंध को लेकर रोज नए खुलासे हो रहे हैं। इसी बीच कुछ कागजात वायरल हो रहे हैं, जिनके अनुसार कुख्यात विकास दुबे की पत्नी रिचा दुबे समाजवादी पार्टी (सपा) की सक्रिय सदस्य थी। उसने साल 2015 में पार्टी के मुखपत्र 'समाजवादी बुलेटिन' के आजीवन सदस्यता शुल्क के तौर पर 20 हजार रुपये दिए थे।
सोशल मीडिया में बताया जा रहा है कि विकास की पत्नी ने साल 2015 में गांव में ही समाजवादी पार्टी की सदस्यता ली थी। इसी साल उसने सपा के समर्थन से जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ा था। उसने अधिकृत प्रत्याशी के रूप में फॉर्म भरा था। उसने फॉर्म में सपा की सदस्यता का नंबर भी भरा था। पार्टी के सभी कार्यक्रमों में उसके शामिल होने का जिक्र है।
विकास दुबे की पत्नी का समाजवादी पार्टी के सदस्य होने की रसीद वायरल, लेकिन अखिलेश की पार्टी ने किया इनकार
हालांकि सपा ने इस बात को नकार दिया है। सपा के मुख्य प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा कि समाजवादी पार्टी में आजीवन सदस्य कोई नहीं बनता है। सिर्फ 3 साल के लिए सदस्य बनता है। समाजवादी बुलेटिन पत्रिका है, जिसका कोई भी सदस्य बन सकता है। पार्टी को बदनाम करने के लिए सोशल मीडिया में तमाशा हो रहा है। इसका पार्टी से कोई लेना-देना नहीं है।
उन्होंने कहा, "सपा में 20 हजार में कोई सदस्य नहीं बनता है। खुली मेम्बरशिप है। समाजवादी बुलेटिन एक मैग्जीन है, जिसका कोई भी सदस्य बन सकता है। हमारा रिचा दुबे और विकास दुबे से कोई लेना-देना नहीं है।"
इस मामले को लेकर बीजेपी प्रवक्ता डा़ॅ चंद्रमोहन ने कहा, "जिनके महल कांच के बने होते हैं, वे दूसरों के घर पर पत्थर नहीं फेंका करते। हैं। अखिलेश यादव जो मसखरेपन की बातें कर रहे हैं, वह बचाव का हिस्सा है। कानपुर का बच्चा-बच्चा जानता है कि विकास दुबे समाजवादी पार्टी का सक्रिय सदस्य है।"
इससे पहले, विकास दुबे की पत्नी रिचा दुबे का एक पोस्टर भी खूब वायरल हुआ था। ये पोस्टर उस वक्त का है, जब रिचा दुबे घिमऊ से जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ रही थी। जिला पंचायत सदस्य पद की दावेदार रिचा दुबे को उस वक्त समाजवादी पार्टी का समर्थन प्राप्त था। उसके पोस्टर में मुलायम सिंह यादव और अखिलेश यादव की तस्वीरें भी साफ दिखाई दे रही हैं।
गौरतलब है कि कुख्यात अपराधी विकास दुबे की कई राजनीतिक पार्टियों में संबंध थे। सीधे तौर पर भले ही वो किसी राजनीतिक दल का सदस्य नहीं रहा हो, लेकिन यूपी की तीनों प्रमुख पार्टियों में उसकी पकड़ बताई जाती है। पंचायत चुनाव के दौरान भी उसे बसपा से समर्थन मिला था। जबकि उसकी पत्नी तो सपा की ही सदस्यता का दावा कर रही थी।
कानपुर में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या का आरोपी हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे का राजनीतिक इतिहास भी चौंकाने वाला है। जब जिस पार्टी की सरकार रहती है, वह उसी पार्टी के दमदार नेताओं के संपर्क में रहकर अपनी सुरक्षा करता है। उसे सबसे ज्यादा राजनीतिक संरक्षण बसपा की सरकार में मिली। तब से लेकर विकास दुबे सपा के कई प्रमुख नेताओं और भाजपा के भी कुछ नेताओं के संपर्क में रह रहा था। अभी विकास पुलिस की पकड़ से दूर है। उसे लेकर पुलिस जगह-जगह छापेमारी कर रही है।(IANS)
पंजाब के बड़े सियासी घराने की सांसें अटकी
पांच साल पुराने बरगाड़ी बेअदबी कांड में पंजाब पुलिस की एसआईटी ने डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को प्रमुख साजिशकर्ता करार देते हुए नामजद किया है। डेरा प्रमुख के साथ-साथ डेरा सच्चा सौदा की राष्ट्रीय समिति के तीन सदस्यों हर्ष धूरी, प्रदीप कलेर और संदीप बरेटा को भी नामजद किया गया है। बेअदबी कांड में पुलिस की यह अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई है और सबसे बड़ा खुलासा भी कि श्री गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबी करने का आदेश डेरा मुख्यालय सिरसा से दिया गया था।
बलात्कार और हत्या के मामले में डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम हरियाणा के रोहतक जिले की सुनारिया जेल में आजीवन कैद काट रहा है। अब पंजाब पुलिस के हाथ उसके गिरेबान तक पहुंचने तय हैं। इसके लिए त्वरित कार्रवाई शुरू हो चुकी है। 'नवजीवन' ने अपनी पिछली रिपोर्ट में भी इशारा किया था कि एसआईटी द्वारा 7 डेरा अनुयायियों की गिरफ्तारी के बाद गुरमीत राम रहीम की मुश्किलें बढ़ेंगीं।
इस बीच सूबे के एक बड़े सियासी घराने की सांसें भी डेरा सच्चा सौदा, जेल में बंद उसके मुखिया और डेरा कमेटी के तीन प्रमुख सदस्यों के बेअदबी कांड में नामजद होने के बाद, अटक गई हैं। दरअसल कई संकेत बताते हैं कि वाया गुरमीत राम रहीम बरगाड़ी बेअदबी कांड के तार उस प्रभावशाली राजनीतिक घराने से जुड़े हुए हैं और अगर डेरा मुखी की जुबान खुली तो यकीनन एकबारगी कई बड़े गैरकांग्रेसी सियासतदानों का वजूद खतरे में पड़ जाएगा। गुरमीत राम रहीम की नजदीकियां अकाली-बीजेपी गठबंधन के पहली कतार के नेताओं से जगजाहिर हैं।
बता दें कि एक जून 2015 को फरीदकोट के गांव बुर्ज जवाहर सिंह वाला के गुरुद्वारा साहिब से श्री गुरु ग्रंथ साहिब का पावन स्वरूप चोरी हुआ था और बाद में उसके अंग (पृष्ठ) क्षत-विक्षत पाए गए थे। तत्कालीन अकाली-बीजेपी गठबंधन सरकार ने मामले की जांच सीबीआई को सौंपी थी, जो किसी सिरे पर नहीं पहुंची। सीबीआई ने क्लोजर रिपोर्ट फाइल कर दी थी, लेकिन कैप्टन अमरिंदर सिंह सरकार ने सत्ता में आने के बाद मामला नए सिरे से खोलने के आदेश दिए थे।
तीन दिन पहले डीआईजी रणबीर सिंह खटड़ा ने नए सिरे से छानबीन के क्रम में सात डेरा अनुयायियों को गिरफ्तार करके रिमांड पर लिया था। गहन पूछताछ में अनुयायियों ने अपना अपराध स्वीकार किया और पुलिस को महत्वपूर्ण साक्ष्य मुहैया करवाए। यह भी बताया कि बेअदबी कांड का मुख्य साजिशकर्ता डेरा सच्चा सौदा, सिरसा का मुखिया गुरमीत राम रहीम और डेरे की राष्ट्रीय समिति के 3 सदस्य हैं। इसी आधार पर डेरा मुखी और तीनों सदस्यों को नामजद किया गया है। इन सभी के खिलाफ अदालत में चालान पेश कर दिया गया है।
डीआईजी रणबीर सिंह खटड़ा के मुताबिक एसआईटी की तरफ से रोहतक की सुनारिया जेल में बंद डेरा प्रमुख से पूछताछ करने के लिए अगली प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। एसआईटी चीफ के अनुसार डेरा और सिख जत्थेबंदियों के बीच चल रहे विवाद के दौरान एक धार्मिक सभा में डेरा अनुयायियों के गले में पहने हुए गुरमीत राम रहीम के नाम और तस्वीर वाले लॉकेट उतरवाए गए थे। इसे डेरा अनुयायियों ने अपना अपमान समझा। उसी का बदला लेने के लिए ही डेरा सिरसा में श्री गुरु ग्रंथ साहिब का पावन स्वरूप चोरी करके उस की बेअदबी करने की साजिश रची गई थी। यह सारा अपराध डेरा सिरसा प्रमुख और राष्ट्रीय समिति के तीन सदस्यों की शह पर किया गया।
गौरतलब है कि पंजाब के गैरबादल परस्त पंथक संगठन शुरू से ही बेअदबी कांड के लिए डेरा सच्चा सौदा और गुरमीत राम रहीम को गुनाहगार बताते रहे हैं और इस बाबत बादलों पर भी गंभीर आरोप लगते रहे हैं। लेकिन डेरा मुखी राजनीतिक संरक्षण के चलते इस मामले में बचता रहा। अलबत्ता इसका जबरदस्त खामियाजा 2017 के विधानसभा चुनाव में शिरोमणि अकाली दल को भुगतना पड़ा। इस मुद्दे पर दल को करारी हार तो मिली ही, पार्टी में एक के बाद एक कई विभाजन भी हुए।
वहीं, कांग्रेस ने बेअदबी कांड को बीते विधानसभा चुनाव में सबसे बड़ा मुद्दा बनाया था और तब हर चुनावी रैली में कैप्टन अमरिंदर सिंह ने वादा किया था कि सत्ता में आने के बाद वह आरोपियों को जेल की सलाखों के पीछे डालेंगे। डेरा मुखी को इस अति संवेदनशील मामले में एसआईटी द्वारा नामजद करते ही पंजाब की राजनीति और पंथक हलकों में तूफान आ गया है। सिखों की सर्वोच्च धार्मिक संस्था श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने जोर देकर कहा है कि पंजाब पुलिस अब गुरमीत राम रहीम को प्रोटेक्शन वारंट पर हरियाणा से लाकर सख्ती के साथ गहन पूछताछ करे।(navjiwan)
NASA | Evolution of the Moon
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायगढ़, 8 जुलाई। एटीएम कैश वैन में बड़ी लूट की घटना में भले ही अपराधी पुलिस के शिकंजे में हो लेकिन जिले में अपराधों का दौर लगातार रफ्तार पकड़ रहा है, इसी कड़ी में आज देर शाम लगभग 8 बजे खरसिया के रायगढ़ चौक में दो मोटर सायकल सवारों ने व्यापारी शिवम अग्रवाल के हाथों से रुपयों से भरा बैग लूट लिया और वहां से फरार हो गए। घटना की जानकारी मिलते ही खरसिया पुलिस मौके पर पहुंचकर जांच में जुट गई है।
इस संबंध में मिली जानकारी के अनुसार व्यापारी शिवम अग्रवाल अंजोरीपाली स्थित अपने दुकान से घर लौट रहा था। इसी दौरान रायगढ़ चौक पर दो अज्ञात मोटर सायकल सवार शिवम को ठोकर मारकर गिराते हुए उसके हाथों से डेढ़ लाख रुपयों से भरा बैग लूटकर फरार हो गए। इस घटना की जानकारी शिवम अग्रवाल ने तत्काल पुलिस को दी। पुलिस ने घटना स्थल पहुंचकर आसपास के सीसीटीवी फुटेज खंगालने शुरू कर दिए हैं और वहीं रायगढ़ चौक के आसपास के सीमाओं में मोटर सायकल सवारों की पतासाजी के भी आदेश दिए गए हैं। समाचार लिखे जाने तक दोनों लुटेरे पुलिस की पकड़ से दूर हैंं।
इस संबंध में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा से चर्चा करने पर उन्होंने बताया कि घटना की फिलहाल उन्हें जानकारी नही है। इस बाबत जानकारी लेकर वे मीडिया को सूचित करेंगे।
कोटा थाना क्षेत्र के झिंगटपुर की घटना
'छत्तीसगढ़' संवाददाता
बिलासपुर, 8 जुलाई। कोटा थाने के ग्राम झिंगटपुर में आज दोपहर एक ग्रामीण ने अपनी पत्नी की कुल्हाड़ी और पत्थर से वार कर हत्या कर दी। आरोपी को पत्नी के साथ अपने भाई के अवैध सम्बन्ध का शक था।
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार दोपहर झिंगटपुर के मांझी पारा मोहल्ले में यह वारदात हुई। मृतक महिला सनगी बिरहोर खाना बना रही थी। इसी दौरान पति फागुन बिरहोर के साथ उसका देवर के साथ अवैध सम्बन्धों को लेकर झगड़ा शुरू हो गया। पहले भी उनके बीच देवर के साथ इस बात को लेकर विवाद होता रहा है। आज दोपहर बात इतनी बढ़ी कि आरोपी ने अपनी पत्नी पर लगातार कुल्हाड़ी और पत्थरों से वार कर दिया। आरोपी ने उसका सिर बुरी तरह से कुचल दिया जिससे घटनास्थल पर ही उसकी मौत हो गई। घटना के बाद आरोपी घर से भाग गया था जिसे पास से ही पकड़कर पुलिस ने हिरासत में ले लिया।
कोटा एसडीओपी रश्मीत कौर चावला ने बताया कि घटना के बारे में आरोपी के अलावा उनके परिवार के लोगों तथा पड़ोसियों से पूछताछ की जा रही है।
सभी अधिकारी-कर्मचारियों की कोरोना टेस्ट रिपोर्ट निगेटिव
'छत्तीसगढ़' संवाददाता
बिलासपुर, 8 जुलाई। मैसूर से लाये गये रेप के आरोपी के कोरोना पॉजिटव पाये जाने की रिपोर्ट आने के बाद बीते 6 जुलाई को बंद किये गये सिविल लाइन थाने को आज शाम सैनेटाइजेशन के साथ खोल दिया गया। इसी तरह से कल से हाईकोर्ट और महाधिवक्ता कार्यालय में भी कामकाज शुरू किया जा रहा है।
सिविल लाइन थाने में मैसूर (कर्नाटक) से बलात्कार और ब्लैक मेलिंग के एक आरोपी को पकड़कर एक अधिकारी और तीन पुलिस कर्मी लेकर 4 जुलाई को पहुंचे थे। यहां आने पर मैसूर के लैब से उक्त आरोपी के कोरोना संक्रमित होने की रिपोर्ट मिली थी। इसके तत्काल बाद पुलिस अधीक्षक ने एक आदेश जारी कर सिविल लाइन थाने को सील करा दिया था और सारा कामकाज तारबाहर थाने से कराया जा रहा था। इस बीच आरोपी के थाने में पहुंचने के दौरान सम्पर्क में आये 17 पुलिस कर्मियों का स्वाब सैम्पल लेकर कोरोना टेस्ट कराने एम्स रायपुर लैब भेजा गया था। सिविल लाइन थाने के सभी 65 स्टाफ को क्वारांटीन पर भी भेज दिया गया था। लैब से आज सभी पुलिस कर्मियों की रिपोर्ट निगेटिव आई है। इसके अलावा आरोपी की दूसरी कोरोना टेस्ट रिपोर्ट भी निगेटिव आई है। उसकी एक रिपोर्ट बिलासपुर लैब से पहले ही निगेटिव आ चुकी थी। इसके बाद पुलिस ने राहत की सांस ली और आज शाम सिविल लाइन थाने में सैनेटाइजेशन के बाद सामान्य कामकाज शुरू कर दिया गया। साथ ही सभी पुलिस अधिकारी कर्मचारी भी ड्यूटी पर वापस आ गये हैं। पुलिस अधीक्षक प्रशांत अग्रवाल ने आज सोशल मीडिया पर जानकारी दी कि सभी की रिपोर्ट निगेटिव आने के बाद सिविल लाइन थाने को फिर से खोल दिया गया है।
इसी तरह महाधिवक्ता कार्यालय और हाईकोर्ट को भी कल से खोल दिया जायेगा। प्रभारी रजिस्ट्रार जनरल दीपक कुमार तिवारी द्वारा आज शाम जारी आदेश में यह जानकारी दी गई है। आदेश में कहा गया है कि सभी विधि अधिकारियों तथा स्टाफ के आवश्यक मेडिकल टेस्ट कराया गया है। परिसर में सैनेटाइजेशन के बाद महाधिवक्ता कार्यालय कल से खुल जायेगा। इसी तरह से हाईकोर्ट के रजिस्ट्री कार्यालय में भी कामकाज उसी तरह प्रारंभ हो जायेगा जैसा 5 जुलाई से पूर्व चल रहा था।
ज्ञात हो कि महाधिवक्ता कार्यालय के जनसम्पर्क अधिकारी के कोरोना पॉजिटिव पाये जाने के बाद बीते 4 जुलाई को महाधिवक्ता कार्यालय सील कर दिया गया था। ऐहतियान हाईकोर्ट में भी कामकाज 6 जुलाई से 10 जुलाई तक बंद रखने का आदेश दिया गया था। इस आदेश को अब संशोधित कर दिया गया है।
रायपुर, 8 जुलाई (रात 8.30 बजे)। प्रदेश में आज रात 8.30 बजे स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी मेडिकल बुलेटिन के अनुसार 35 नए कोरोना पॉजिटिव मरीजों की पहचान हुई है। जिसमें बिलासपुर 22, रायपुर 7, बेमेतरा 4 और राजनांदगांव 2 मरीज हैं।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कोरबा, 8 जुलाई। कोरबा वन मंडल के कुदमुरा रेंज में पिछले 25 दिनों से बीमार चल रहे हाथी की मौत हो गई। बीमार हाथी का उपचार वन विभाग द्वारा किया जा रहा था जहां उसकी हालत नाजुक बनी हुई थी।
मिली जानकारी के मुताबिक बुधवार की शाम उसकी अचानक तबीयत बिगड़ी और उसकी मौत हो गई है। उल्लेखनीय है कि वन विभाग व पशु चिकित्सकों की टीम बीमार हाथी को खड़ा करने व स्वस्थ करने की दिशा पर लगातार प्रयास कर रहे थे लेकिन बीमार हाथी अपने पैरों पर खड़ा नहीं हो पा रहा था जिससे उसकी दिन-ब-दिन तबीयत बिगड़ती ही जा रही थी। हाथी को बाहर ले जाकर इलाज कराने की भी कवायद चल रही थी। लेकिन उसका स्वास्थ ठीक नहीं हो पा रहा था। जिसकी वजह से उसे बाहर ले जाया जा नहीं सकता था। उसे स्पर्श चिकित्सा से इलाज कराने अंबिकापुर ले जाने की तैयारी चल रही थी। अपने पैर पर हाथी खड़ा नहीं हो पा रहा था जिसकी वजह से उसका स्वास्थ लगातार बिगड़ रहा था। वन विभाग ने इसकी जानकारी उच्च अधिकारियों को दे दी है। कल मृत हाथी का पोस्टमार्टम किया जायेगा उसके बाद मौत की असली वजह सामने आएगी।
1971 से बीच के करीब पौने छह साल को छोडक़र मैं दिल्ली में ही रहता आया हूँँ तो यह कहना भी अब बेईमानी सा लगता है कि मैं मध्य प्रदेश के मालवा क्षेत्र का हूँ, जहाँ जीवन के शुरू के इक्कीस साल बीते थे। वहाँ अब भी साल मेंं एक या दो बार जाता हूँ। एक तरह से मेरी मातृभाषा मालवी है। मेरी माँ कठिनाई से और जरूरी होने पर थोड़ी-बहुत हिन्दी बोल लेती थी। पास पड़ोस के और बुजुर्ग भी मालवी बोलते थे। गालियाँ भी मालवी में देते थे। यह हो नहीं सकता कि कोई दिनभर मालवी बोले और गालियाँ हिंदी मेंं दे। गेल्या, गेलचोदा, लाकड़ा पड़्या आदि-आदि गालियाँ औरतों के मुँह से झरा करती थीं। पुरुषों की गालियाँ छोडि़ए।मेरी सास के लिए भी मालवी में बोलना ही सहज था। उन्हें गाली देते कभी नहीं देखा। उनकी हिंदी मेरी माँ से काफी बेहतर थी। हिंदी बोलते समय उनकी स्वाभाविकता नष्ट हो जाती थी। पत्नी तो खैर अच्छी हिंदी बोलती हैंं मगर उसमें मालवी शब्द भी टपकते रहते हैं। मैं थोड़ा होशियार बंदा हूँ, हिंदी में मालवी अक्सर मिक्स नहीं करता। हाँ सचेत होकर करूँ तो अलग बात है पर मालवियों की तरह मैं को में, और को ओर निकल ही जाता है। इस पर मेरी एक कविता भी है।
हम लोगों में अपनी भाषा-बोली के प्रति वैसा प्रेम नहीं है, जैसे हमारे पड़ोस के राज्य राजस्थान के मारवाडिय़ों-मेवाडिय़ों में पाया जाता है या अवधी, भोजपुरी, मैथिली आदि बोलने वालों में मिलता है। मालवा के सभी लोग मालवी भी नहीं बोलते। मराठीभाषियों, कायस्थों, मुसलमानों, बोहरों, सिंधियों में ऐसा शायद ही कोई परिवार हो, जो घर में या बाहर मालवी बोलता हो। हाँ ग्रामीण इलाकों की बोलचाल की भाषा अभी भी मालवी है।अब तो लगभग सभी शहरों-कस्बों के मध्यवर्गीय-निम्न मध्यवर्गीय परिवारों में मालवी छोड़ हिंदी ही बोली जाती है। हाँ विशेष अवसरों पर खानपान में आज भी मालवीपन बचा है। दाल-बाटी, दाल-बाफले बनते रहते हैं। शादी के अवसर पर एक बार दाल-बाफले की रसोई जरूर बनती है और गेहूँ से बने लड्डू भी। उनका अपना स्वाद और रस है। हाँ बरसात के इन दिनों में भजिये(पकोड़े) तथा गुलगुले बना करते थे। बरसात के इन्हीं दिनों में पानी के हलके से छींटे से भीगी ज्वार ले जाकर धानी सिंकवा कर गरम खाई जाती थी। गेहूँ की भी धानी सिंकवा कर उसमें गुड़ मिला कर खाने का अपना आनंद था। अब इनमें से बहुत सी चीजें हो सकता है, अप्रासंगिक हो गई हों। लेकिन दैनिक उपयोग में हमारी भी प्रिय सेव का स्थान यथावत सुरक्षित है।
स्कूल, कॉलेज में हिंदी में पढ़ाई होती थी और मित्रों के बीच भी अमूमन हिंदी का ही व्यवहार था। एक मित्र कथाकार ने कुछ साल पहले एक अंग्रेजी पत्रिका को दिए गए साक्षात्कार में कहा था कि उनकी बोली-भाषा तो फलां है और उन्हें हिंदी सीखने के लिए भी उतना ही प्रयत्न करना पड़ा, जितना कि अंग्रेजी सीखने के लिए। सौभाग्यवश मेरे जैसे लोगों के साथ आपकी ही तरह ऐसी समस्या नहीं रही। उनका केस स्पेशल रहा होगा। वैसे सीखने को तो अभी भी हिंदी सीखने का क्रम चलता रहता है। लेखक को अपनी भाषा के साथ भी खासकर लिखित अभिव्यक्ति के लिए मेहनत करनी होती है, सही शब्द,सही वाक्य बनाने के लिए जूझना पड़ता है मगर जो भाषा आप बचपन से इस्तेमाल करते हैं और जो बाद के वर्षों में सीखते हैं और जिसका घर-परिवार से लेकर बाजार में अमूमन इस्तेमाल नहीं होता,दोनों में जमीन-आसमान का फर्क होता है। यह जरूर है कि अपनी मातृभाषा सरीखी होते हुए मालवी से अब मेरा जीवंत संपर्क नहीं रहा क्योंकि मालवा जाकर भी आप और दूसरे भी हिंदी में ही बात करते हैं। टेलीफोन-मोबाइल पर भी इसी भाषा में बात होती है।
है तो मालवी भी मीठी भाषा। दूसरी भाषा- बोलियों के साथ भी ऐसा होगा मगर मुझे लगता है कि मालवियों में एक स्वाभाविक व्यंग्य-बोध होता है। थोड़ा-बहुत उसका असर मुझ पर भी है। इसमें मुझे लगता है, मेरी नहीं, मालवा अंचल की खूबी है। शरद जोशी भी इसी अंचल से थे और भी कई व्यंग्यकार। और हाँ उस समय आकाशवाणी से शाम सात बजे कृषि का एक कार्यक्रम आता था। उसके दो पात्र थे-नंदा जी और भैरा जी। नंदाजी हिंदी में ज्ञान देते थे, किसान भैरा जी मालवी में उनसे बात करते थे।अपना कृषि से तो क्या वास्ता था मगर इन दो पात्रों के संवाद सुनना अच्छा लगता था।
बचपन में एक कहावत सुनी-पढ़ी थी-मालव धरती गहन गंभीर, डग-डग रोटी, पग-पग नीर, हालांकि उज्जैन में क्षिप्रा गर्मियों में सूख जाती है और 12 साल बाद लगने वाले सिंहस्थ में क्षिप्रा नहाने का पुण्य कमानेवाले, नर्मदा के पानी में नहाने का ही पुण्य प्राप्त कर पाते हैं। वैसे नर्मदा ज्यादा बड़ी और ज्यादा प्रसिद्ध और पवित्र मानी जाने वाली नदी है तो वे घाटे की बजाय फायदे में रहते हैं। मेरे कस्बे की चीलर नदी छोटी और स्थानीय-सी है।कभी उसमें भी पानी होता था। महादेव घाट, छोटा पुल, बादशाही पुल और किले के परकोटे से नदी देखने का अपना ही आनंद था (एक बार गहरे पानी में चला गया तो डूबने ही वाला था कि किसी ने ऐन मौके पर बचा लिया।)। अब बाँध बनने के बाद नदी की विकल स्मृति ही बची है।महादेव घाट अब वीरान नजर आता है। उस कस्बे का सौंदर्य इस तरह मर चुका है। हाँ यह सही है कि मालवा की भूमि उर्वरा है। शायद ही वहाँँ के मजदूरों को कहीं बाहर मजदूरी करने जाना पड़ता हो। अभाव और गरीबी है मगर भुखमरी शायद अब भी नहीं है।
शायद अब भी मालवी में कवि सम्मेलनी कविता लिखी जाती होगी। उस समय बालकवि बैरागी, गिरवर सिंह भंवर, सुल्तान मामा, भावसार बा, पुखराज पांडे, हरीश निगम, मदनमोहन व्यास आदि कवि सम्मेलनों के मशहूर कवि थे। एक और पुराने कवि थे, जिन्हें देखा-सुना तो नहीं मगर उनकी एक कविता की दो पंक्तियाँ आज भी मुझे याद हैं :
क्यों सा ब कय्यांड़ी (किधर)?
अय्यांड़ी (इधर) ने वंय्याड़ी (उधर)
म्हारी तो हूदी-हट (सीधी) हट चली री हे गाड़ी।
हाँ शायद स्वभाव से हम अंय्याड़ी-वंय्याड़ी वाले नहीं हैंं। सीधी-सट गाड़ी चलाते हैं, भले ही सामने गड्ढा आ जाए और उसमें गिर जाएँ। कोई परवाह नहीं, कपड़े झाड़ कर फिर उठ खड़े हो जाते हैं। घर आकर घाव पर पहले लाल रंग का टिंचर (हम टिंक्चर का क् खा जाते थे) लगाते थे, अब डेटाल लगा लेते हैं।
-विष्णु नागर
107 डिस्चार्ज किए गए
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 8 जुलाई (रात 8.05 बजे)। प्रदेश में आज रात 65 नए कोरोना पॉजिटिव मिले हैं जिनमें रायपुर 13, जगदलपुर 12, नारायणपुर 10, राजनांदगांव 8, दुर्ग 5, दंतेवाड़ा 4, कोरबा 3, बेमेतरा, सरगुजा, कोरिया 2-2, बालोद, गरियाबंद, सुकमा, कांकेर से 1-1 पॉजिटिव मिले हैं।
स्वास्थ्य विभाग ने बताया कि बीती रात 11 नए कोरोना पॉजिअिव मिले थे जिनमें नारायणपुर 7, और सरगुजा से 4 थे।
राज्य में आज अलग-अलग जिलों से कुल 107 मरीज स्वस्थ होकर डिस्चार्ज किए गए हैं।
3 गांवों के 200 ग्रामीण पहुंचे थे जनअदालत में, दवाब में किया रिहा
आजाद सक्सेना
किरंदुल, 8 जुलाई (‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता)। नक्सलियों ने मंगलवार को ग्रामीणों के दबाव में जवान के पिता समेत 5 ग्रामीणों को रिहा किया। बताया जाता है कि गुमियापाल, आलनार, तेनेली गांव के 200 ग्रामीण जनअदालत में रिहाई कराने पहुंचे थे। सोमवार रात को दंतेवाड़ा जिले के किरंदुल से 15 किमी की दूर गुमियापाल गांव से नक्सलियों ने सिपाही के पिता का अपहरण कर लिया था।
दंतेवाड़ा जिले के धुर नक्सल प्रभावित गांव गुमियापाल में नदी नाला पार कर ‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता संवाददाता पहुंचे और नक्सलियों द्वारा रिहा किए गए सिपाही के पिता लछु तेलाम से बातचीत की। लछु तेलाम ने बताया कि रात नक्सली चेहरे पर कपड़ा बांध कर आये और मेरी बेटी के कमरे का दरवाजा तोडऩे लगे जब वो दरवाजा खोली तो उसका मोबाइल छीन लिया और मुझको साथ चलने कहा। मेरी पत्नी मुझको छोडऩे की मिन्नत करती रही और कुछ दूर पीछे गई पर वो एक न माने और मुझको अपने साथ ले गए। नक्सली लीडर कमलेश और राजे द्वारा उनको पूरी रात पैदल चलाकर बंगपाली के जंगलों में ले जाया गया था। जहां उनको जान से मारने की धमकी दी गई। नक्सल लीडर का कहना था कि तुम्हारा बेटा अजय तेलाम पुलिस में चले गया है और वह गद्दार बन कर गांव के लोगों को जेल भेज रहा है और मरवा रहा है। उसको घर वापस बुलाओ नहीं तो तुमको भी जान से मार देंगे।
लछु ने बताया कि गुमियापाल गांव से मेरे अलावा तीन और लोगों को नक्सली ले गए थे जो शासकीय उचित मूल्य के राशन की दुकान चलाते हैं और एक ग्रामीण को आलनार से भी ले गए थे, ऐसे पांच लोगों का अपहरण नक्सलियों ने किया था। बेंगपल्ली की पहाडिय़ों में मंगलवार दोपहर 3 गुमियापाल, आलनार, तेनाली गांव के 200 ग्रामीणों द्वारा जनअदालत में हम लोगों को छोडऩे के लिए कहा गया।