अंतरराष्ट्रीय
इस्लामाबाद, 14 जुलाई। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ ने देश में अस्थिरता एवं अनिश्चितता फैलाने में लगे तत्वों को बेनकाब करने की जरूरत पर बल दिया है क्योंकि आर्थिक रूप से खस्ताहाल उनकी सरकार को पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी के विरोध का सामना करना पड़ रहा है।
‘एआरवाई न्यूज’ की खबर है कि शरीफ ने सीनेट (पाकिस्तानी संसद के एक सदन) में पाकिस्तान मुस्लिम लीग (एन) के संसदीय दल के नेता तथा विदेश मामलों से संबंधित सीनेट की स्थायी समिति के अध्यक्ष इरफान सिद्दिकी के साथ बैठक के दौरान परोक्ष रूप से विपक्ष की ओर इशारा करते हुए यह बात कही।
किसी भी दल का नाम लिये बगैर प्रधानमंत्री ने इस बात पर जोर दिया कि सरकार और पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) को सरकार, देश एवं राष्ट्रीय सुरक्षा संस्थानों के विरुद्ध चल रहे संगठित अभियान को विफल करने की प्रभावी रणनीति विकसित करने पर जरूर ध्यान देना चाहिए।
खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी सभी मोर्चों पर सरकार का विरोध कर रही है और आरोप लगा रही है कि पीएमएल-एन ने आठ फरवरी को हुए आम चुनाव के जनादेश को चुरा लिया है। खान जेल में बंद हैं।
विदेश मामलों से संबंधित सीनेट की स्थायी समिति का अध्यक्ष निर्वाचित होने पर सिद्दिकी को बधाई देते हुए प्रधानमंत्री ने उम्मीद जतायी कि उनके नेतृत्व में यह समिति दुनिया में पाकिस्तान की सकारात्मक और शांतिपूर्ण छवि को बढ़ावा देने पर विशेष ध्यान देगी। (भाषा)
रोम, 14 जुलाई। इटली के वेरोना प्रांत में 33 कृषि श्रमिकों से बंधुआ मजदूरी कराने के आरोप में दो भारतीयों को गिरफ्तार किया गया है। ये सभी मजदूर भारतीय हैं। मीडिया में आई खबरों में यह जानकारी दी गई है।
इससे कुछ दिन पहले एक सिख कृषि मजदूर की मौत से देश स्तब्ध हो गया था।
समाचार एजेंसी ‘एएनएसए’ ने शनिवार को खबर दी कि वित्त पुलिस ने संदिग्धों की 4,75,000 यूरो की संपत्ति भी जब्त की है, जो कृषि क्षेत्र की दो कंपनियों के मालिक हैं और इनमें कोई कर्मचारी नहीं है और उनपर कर चोरी का आरोप भी है।
इतालवी समाचार एजेंसी ने बताया कि दो लोगों को शनिवार को गिरफ्तार किया गया और उनके खिलाफ बंधुआ मजदूरी और श्रमिकों के शोषण सहित अन्य अपराधों के लिए जांच की जा रही है।
इटली में बंधुआ मजदूरी के आधुनिक रूपों का मुद्दा हाल में 31 वर्षीय सिख कृषि मजदूर सतनाम सिंह की मौत के बाद मीडिया का ध्यान आकृष्ट किया। पिछले महीने रोम के पास लाजियो में एक मशीन की चपेट में आने से उसकी भुजा कट गई थी और नियोक्ता ने उसे उसके हाल पर छोड़ दिया। सिंह की ज्यादा खून बहने की वजह से मौत हो गई थी।
इटली के प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी ने पिछले महीने कहा था कि देश के खेतों में काम करने वाले हजारों भारतीय प्रवासियों में से एक सिंह ‘अमानवीय कृत्यों’ का शिकार हुए हैं। (भाषा)
बीजिंग, 14 जुलाई । अमेरिकी तकनीकी घेराबंदी के बावजूद, चीन का तकनीकी नवाचार लगातार तेजी से विकसित हो रहा है। हाई-स्पीड रेलवे नेटवर्क का विस्तार और इसकी गुणवत्ता में सुधार जारी है, नई ऊर्जा ऑटोमोबाइल उद्योग तेजी से विकसित हो रहा है, 5जी तकनीक दुनिया में सबसे आगे है और इसकी प्रगति अंतरिक्ष अन्वेषण में विशेष रूप से प्रभावशाली है। चीन की वैज्ञानिक और तकनीकी उपलब्धियों ने दुनिया भर का ध्यान आकर्षित किया है और वैश्विक नवाचार परिदृश्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। चीन अंतरराष्ट्रीय अत्याधुनिक नवाचार में एक महत्वपूर्ण भागीदार और वैश्विक समस्याओं को हल करने में एक महत्वपूर्ण योगदानकर्ता बन गया है।
चीन एक नवोन्वेषी देश बनता जा रहा है। चीन की वैज्ञानिक अनुसंधान शक्ति में सुधार का श्रेय कई कारकों को दिया जाता है। सबसे पहले, चीन ने अनुसंधान एवं विकास के खर्च और निवेश में वृद्धि की है, अपने प्रतिभाओं की संख्या बढ़ा दी है और वैज्ञानिक अनुसंधान के बुनियादी ढांचे और उपकरणों की बड़ी उन्नति की है। दूसरा, चीन ने अपनी अनुसंधान एवं विकास प्रणाली में लगातार सुधार किया है, प्रतिभा प्रबंधन को मजबूत किया है और अनुसंधान एवं विकास संसाधनों की प्रबंधन दक्षता में सुधार किया है। तीसरा, चीन अंतरराष्ट्रीय सहयोग के लिए प्रतिबद्ध है और अंतरराष्ट्रीय वैज्ञानिक और तकनीकी सहयोग तथा वैज्ञानिक शोधकर्ताओं के आदान-प्रदान से लाभान्वित हुआ है। चीन के अंतर्राष्ट्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी सहयोग पैटर्न से, हम चीन के विज्ञान और प्रौद्योगिकी विकास की झलक पा सकते हैं।
"बेल्ट एंड रोड" के संयुक्त निर्माण से, चीन विकासशील देशों को वैज्ञानिक और तकनीकी मदद देता है। चीन अंतरराष्ट्रीय मानकों के निर्माण में भी सक्रिय रूप से भाग ले रहा है और अंतरराष्ट्रीय वैज्ञानिक और तकनीकी मामलों में नियम-निर्माता बन रहा है। अंतर्राष्ट्रीय और क्षेत्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी संगठनों में अधिक से अधिक चीनी लोग दिखते हैं। (आईएएनएस)
बीजिंग, 14 जुलाई । डीपीआरके की केंद्रीय समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार अमेरिका और दक्षिण कोरिया द्वारा "कोरियाई प्रायद्वीप पर परमाणु निरोध और परमाणु संचालन पर दिशानिर्देश" पर हाल ही में हस्ताक्षर किए जाने के जवाब में डीपीआरके के राष्ट्रीय रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने एक बयान जारी किया। जिसमें "कड़ा विरोध और निंदा" की गई और कहा गया है कि "डीपीआरके की सेना मजबूती से परमाणु युद्ध को रोकेगी और राष्ट्रीय सुरक्षा सुनिश्चित करेगी।"
बयान में कहा गया कि अमेरिका और दक्षिण कोरिया ने वाशिंगटन में नाटो शिखर सम्मेलन के दौरान उक्त दस्तावेज़ पर हस्ताक्षर किए। अमेरिका और दक्षिण कोरिया के इस कदम ने "क्षेत्रीय सैन्य तनाव को चरम सीमा पर ला दिया है।" दक्षिण कोरिया समाचार एजेंसी के अनुसार, दक्षिण कोरिया और अमेरिका ने 11 जुलाई को वाशिंगटन में नाटो शिखर सम्मेलन के दौरान द्विपक्षीय वार्ता की और उक्त दिशानिर्देशों पर एक संयुक्त बयान जारी किया। दक्षिण कोरिया और अमेरिका के नेताओं ने कहा कि यदि डीपीआरके दक्षिण कोरिया पर कोई परमाणु हमला करे, तो इस पर "तत्काल, जबरदस्त और निर्णायक" जवाबी कार्रवाई की जाएगी। (आईएएनएस)
वाशिंगटन, 14 जुलाई अमेरिका के 45वें राष्ट्रपति रहे डोनाल्ड ट्रंप पर शनिवार को हुए जानलेवा हमले से पहले भी इस देश में राष्ट्रपतियों, पूर्व राष्ट्रपतियों और प्रमुख दलों के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवारों को निशाना बनाने की कई घटनाएं हो चुकी हैं।
वर्ष 1776 से देश के राजनीतिक इतिहास में हत्या और हत्या के प्रयासों की कुछ ऐसी ही घटनाएं इस प्रकार हैं :
अमेरिका के 16वें राष्ट्रपति अब्राहम लिंकन :
अब्राहम लिंकन अमेरिका के पहले राष्ट्रपति थे, जिनकी जॉन वाइक्स बूथ ने 14 अप्रैल 1865 की गोली मार कर हत्या कर दी थी। घटना के दौरान वह अपनी पत्नी मेरी टॉड लिंकन के साथ वाशिंगटन के फोर्ड थियेटर में ‘अवर अमेरिकन कजिन’ नाटक देख रहे थे।
बूथ की 26 अप्रैल 1865 को गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी। वह वर्जीनिया के बाउलिंग ग्रीन के समीप एक खेत में छिपा मिला था।
अमेरिका के 20वें राष्ट्रपति एम्स गारफील्ड :
गारफील्ड देश के दूसरे राष्ट्रपति थे जिनकी कार्यभार संभालने के छह महीने बाद हत्या कर दी गयी थी। वह दो जुलाई 1881 को वाशिंगटन में एक ट्रेन स्टेशन की ओर जा रहे थे तभी चार्ल्स गितेऊ ने उन्हें गोली मार दी थी।
गितेऊ को जून 1882 में दोषी ठहराया गया और मृत्युदंड दिया गया।
अमेरिका के 25वें राष्ट्रपति विलियम मैकिनले :
मैकिनले को छह सितंबर 1901 में न्यूयॉर्क के बफेलो में तब गोली मारी गई थी जब वह भाषण देने के बाद लोगों से हाथ मिला रहे थे। एक व्यक्ति ने नजदीक से उनकी छाती में दो गोली मारी। मैकिनले की 14 सितंबर 1901 में मौत हो गयी थी।
उनके बाद उपराष्ट्रपति थियोडर रूजवेल्ट देश के राष्ट्रपति बने थे।
डेट्रॉइट के 28 वर्षीय लियोन एफ ने गोली चलाने का अपराध स्वीकार किया गया था। उसे 29 अक्टूबर 1901 को करंट देकर मृत्युदंड दिया गया था।
अमेरिका के 32वें राष्ट्रपति फ्रेंकलिन डी. रूजवेल्ट :
रूजवेल्ट ने मियामी में एक खुली कार से भाषण दिया ही था कि तभी गोलियां चलने की आवाज सुनायी दी। फरवरी 1933 में हुई इस घटना में रूजवेल्ट घायल नहीं हुए लेकिन इसमें शिकागो के मेयर एंटन कर्माक की जान चली गयी।
इस हमले के दोषी गिसिप्पे जंगारा को मौत की सजा दी गयी।
अमेरिका के 33वें राष्ट्रपति हैरी एस. ट्रुमैन :
ट्रुमैन नवंबर 1950 में वाशिंगटन के ब्लेयर हाउस में थे तभी दो बंदूकधारी उसमें घुस गए थे।
बंदूकधारियों के साथ गोलीबारी में ट्रुमैन तो बच गए थे लेकिन व्हाइट हाउस का एक पुलिसकर्मी और एक हमलावर मारा गया था। व्हाइट हाउस के दो अन्य पुलिसकर्मी घायल हो गए थे।
इस हमले में ऑस्कर कैलाजो को गिरफ्तार किया गया था और उसे मौत दी गयी थी। 1952 में ट्रुमैन ने उसकी मौत की सजा को उम्रकैद में बदल दिया था। राष्ट्रपति जिम्मी कार्टर ने 1979 में उसे जेल से रिहा कर दिया था।
अमेरिका के 35वें राष्ट्रपति जॉन एफ. केनेडी :
केनेडी नवंबर 1963 में जब प्रथम महिला जैकलीन केनेडी के साथ डलास गए थे तो एक बंदूकधारी ने घात लगाकर उन पर हमला कर दिया था। केनेडी को तुरंत अस्पताल ले जाया गया लेकिन उनकी मौत हो गयी थी।
पुलिस ने कुछ घंटों बाद ली हार्वे ओस्वाल्ड को गिरफ्तार कर लिया था और दो दिन बाद ओस्वाल्ड की उस वक्त गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी जब उसे पुलिस मुख्यालय से जेल ले जाया जा रहा था।
अमेरिका के 38वें राष्ट्रपति गेराल्ड फोर्ड
फोर्ड पर 1975 में कुछ ही हफ्तों के भीतर दो जानलेवा हमले किए गए थे और वह दोनों घटना में बच गए।
अमेरिका के 40वें राष्ट्रपति रोनाल्ड रीगन :
रीगन मार्च 1981 में वाशिंगटन में भाषण देकर निकल रहे थे तभी भीड़ में शामिल जॉन हिंकले जूनियर ने उन्हें गोली मार दी। वह उपचार के बाद स्वस्थ हो गए थे।
अमेरिका के 43वें राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू बुश :
बुश 2005 में जॉर्जिया के राष्ट्रपति मिखाइल साकाश्विली के साथ एक रैली में भाग ले रहे थे तभी उनकी ओर एक हथगोला फेंका गया। हथगोला फटा नहीं था और कोई भी हताहत नहीं हुआ था।
राष्ट्रपति पद के प्रत्याशी थियोडोर रूजवेल्ट :
पूर्व राष्ट्रतपि रूजवेल्ट को 1912 में मिलवाकी में प्रचार के दौरान गोली मारी गयी थी। उन्हें इस हमले में कोई गंभीर चोट नहीं आयी थी।
राष्ट्रपति पद के प्रत्याशी रॉबर्ट एफ. केनेडी :
केनेडी डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद के प्रत्याशी बनने की दौड़ में शामिल थे तभी 1968 में लॉस एंजिलिस में उनकी गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी।
राष्ट्रपति पद के प्रत्याशी जॉर्ज सी. वालेस :
वालेस डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद की उम्मीदवारी की दौड़ में शामिल थे तभी 1972 में मैरीलैंड में एक प्रचार अभियान के दौरान उन्हें गोली मारी गयी थी। इस घटना के कारण उन्हें कमर के निचले हिस्से में लकवा मार गया था। (एपी)
वाशिंगटन, 14 जुलाई । पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर हुए हमले को विदेशी मामलों के जानकार डॉ. धनंजय त्रिपाठी ने अमेरिकी सुरक्षा एजेंसियों की विफलता बताया है। उन्होंने कहा कि पूर्व राष्ट्रपति पर कातिलाना हमला चिंताजनक है। आईएएनएस से बातचीत में उन्होंने कहा कि हमलावरों द्वारा इस तरह से हमले का प्रयास करना, अमेरिका से खुफिया एजेंसियों की ढील को दर्शाता है। अमेरिका दुनिया का सबसे शक्तिशाली देश माना जाता है।
यह बड़ी सुरक्षा भूल मानी जाएगी क्योंकि ट्रंप कोई आम इंसान नहीं है डॉ. धनंजय त्रिपाठी ने आगे कहा, हालांकि अमेरिका के गन कल्चर काफी प्रभावी रहा है। पूर्व राष्ट्रपति के ऊपर कातिलाना हमला चिंताजनक है। यह घटना अमेरिकी सरकार के विफलता में ही गिना जाएगा। इसके साथ ही डॉ त्रिपाठी ने कहा कि वहां जो भी हुआ वो बेहद दुखद है। इस तरह के हिंसा का डेमोक्रेसी के भीतर कोई स्थान नहीं है। इस तरह का हमला अमेरिकी सरकार पर कई सारे प्रश्न खड़ा कर रहा है। यह घटना वहां के चुनावी माहौल को और अधिक गरम कर देगी। वहां का चुनाव इस बार काफी प्रतिस्पर्धी होने वाला है। उन्होंने कहा, "ट्रंप काफी जोर शोर से चुनावी प्रचार कर रहे हैं। हमले के बाद उन्हें सहानुभूति मिलने की संभावना बढ़ गई है। अगर हमले को छुपाने और दबाने की कोशिश की जाएगी तो यह अमेरिकी लोकतंत्र के लिए अच्छा नहीं रहेगा।
ये घटना निंदनीय है। जो लोग हिंसा के खिलाफ हैं, उसे इस घटना का विरोध करना चाहिए।" बता दें कि शनिवार (13 अप्रैल) को पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर एक चुनावी रैली में जानलेवा हमला हुआ। ट्रंप पर गोली चलाई गई, जिसमें वो घायल हो गए। उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया। रिपब्लिकन पार्टी औपचारिक रूप से उन्हें व्हाइट हाउस के लिए अपना उम्मीदवार घोषित करने के लिए सम्मेलन शुरू करने वाली थी, उससे ठीक एक दिन पहले उन पर हत्या का प्रयास किया गया। इस दुखद घटना पर दुनिया के तमाम राष्ट्राध्यक्षों ने दुख और हैरानी जताई।
भारत के प्रधानमंत्री ने ट्वीट कर मित्र ट्रंप के घायल पर होने पर फिक्र जाहिर करते हुए कहा, मेरे मित्र, पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प पर हुए हमले से मैं बहुत चिंतित हूँ। इस घटना की कड़ी निंदा करता हूँ।वहीं, नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने भी इसकी घोर निंदा की। --(आईएएनएस)
बटलर(अमेरिका), 14 जुलाई अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर शनिवार को पेनसिल्वेनिया की एक रैली में हुए हमले की घटना की जांच ‘‘हत्या का प्रयास’’ मामले की तौर पर की जा रही। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
कानून प्रवर्तन अधिकारियों ने समाचार एजेंसी ‘एसोसिएटेड प्रेस’ को बताया कि रैली में गोलीबारी करने वाला हमलावर पेनसिल्वेनिया का 20 वर्षीय युवक था।
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर पेनसिल्वेनिया में एक चुनावी रैली में जानलेवा हमला किया गया। हमले में ट्रंप के दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में गोली लगी।
अमेरिका की ‘सीक्रेट सर्विस’ के एक कर्मी ने हमलावर को मार गिराया।
उसने बताया कि ट्रंप (78) शनिवार को राष्ट्रपति चुनाव के लिए एक रैली को संबोधित कर रहे थे, इसी दौरान शाम छह बजकर 15 मिनट पर एक संदिग्ध हमलावर ने रैली स्थल के बाहर एक ऊंचे स्थान से मंच की ओर कई गोलियां चलाईं, जिसमें ट्रंप के दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में एक गोली लगी। (एपी)
शिकागो, 14 जुलाई भारतीय मूल के अमेरिकियों ने रिपब्लिकन पार्टी से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप पर हुए हमले की निंदा करते हुए इसे अमेरिकी लोकतंत्र के इतिहास का एक ‘‘काला अध्याय’’ करार दिया।
पेनसिल्वेनिया के बटलर में एक चुनावी रैली के दौरान पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप (78) पर एक संदिग्ध व्यक्ति ने गोली चलाई, जो उनके दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में लगी।
भारतीय-अमेरिकी समुदाय के प्रख्यात नेता डॉ. भरत बरई ने 'पीटीआई-भाषा' से कहा, '‘हमें पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप पर हुए हमले की जानकारी मिली। यह बहुत दुखद है और लोकतंत्र में इस तरह की हिंसा की उम्मीद नहीं की जाती।''
बरई ने कहा, ''लोगों के विचार अलग-अलग होते हैं, उनके राजनीतिक और आर्थिक विचार भी अलग-अलग होते हैं। उन्हें अपने विचारों को मतदान के जरिए व्यक्त करना चाहिए।''
‘सिख अमेरिकन्स फॉर ट्रंप’ के अध्यक्ष जसदीप सिंह जस्सी ने 'पीटीआई-भाषा' से कहा, ''यह अमेरिका के लोकतंत्र में एक काला अध्याय है।''
उन्होंने कहा, ''हम उनकी सुरक्षा और स्वस्थ होने की कामना करते हैं। हम इस कृत्य की निंदा करते हैं और अमेरिका से राष्ट्रपति ट्रंप के समर्थन में एकजुट होने की अपील करते हैं। वाहेगुरु जी ट्रंप और अमेरिका की रक्षा करें।''
डेमोक्रेटिक पार्टी के उप राष्ट्रीय वित्त प्रमुख एवं राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रबल समर्थक अजय भूटोरिया ने कहा, ''हमले के सभी पहलुओं और विवरणों की गहन जांच की जानी चाहिए। क्या इस हमले के पीछे किसी विदेशी संगठन का हाथ है, जिसका मकसद अलग-अलग राजनीतिक विचार रखने वाले अमेरिकियों के बीच मतभेद और विभाजन पैदा करना है, ताकि हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा पहुंचाया जा सके।''
न्यूयॉर्क स्थित रियल एस्टेट निवेशक और ट्रंप के परिवार के मित्र अल मेसन ने कहा, ‘‘रिपब्लिकन पार्टी से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप पर हुआ हमला उन्हें फिर से राष्ट्रपति बनने से नहीं रोक सकता।’’
‘हिंदुज4ट्रंप’ ने कहा कि वे ट्रंप और उनके परिवार तथा लोकतांत्रिक मूल्यों के साथ एकजुटता से खड़े हैं और इस मूर्खतापूर्ण हिंसा की निंदा करते हैं।
इसने कहा कि नफरत के लिए कोई जगह नहीं है।
ट्रंप के साथ अपनी एकजुटता व्यक्त करते हुए संगठन ने कहा, ‘‘यह सिर्फ राष्ट्रपति ट्रंप पर हमला नहीं है, बल्कि अमेरिका में लोकतंत्र पर हमला है!’’
अटलांटा के 'यूनाइटेड स्टेट्स हिंदू अलायंस' के अध्यक्ष गोकुल कुन्नथ ने कहा, ''पूर्व राष्ट्रपति पर किया गया हमला हमारे लोकतंत्र का एक काला अध्याय है। यह एक दुखद घटना है।’’ (भाषा)
न्यूयॉर्क, 14 जुलाई । अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर पेंसिल्वेनिया के बटलर में एक रैली के दौरान शनिवार को जानलेवा हमला हुआ। इस घटना में उनको चोट आई है। घायल होने के बावजूद वो अगले सप्ताह निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार रिपब्लिकन नेशनल कन्वेंशन में भाग लेंगे। समाचार एजेंसी शिन्हुआ की रिपोर्ट के मुताबिक, एक संयुक्त बयान में, ट्रंप के चुनावी अभियान और रिपब्लिकन नेशनल कमेटी ने कहा कि पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप मिल्वौकी में आप सभी के साथ जुड़ने के लिए उत्सुक हैं और हम सम्मेलन की प्रक्रिया के लिए आगे बढ़ रहे हैं। रिपब्लिकन नेशनल कन्वेंशन 15 से 18 जुलाई को मिल्वौकी, विस्कॉन्सिन में आयोजित किया गया है।
इस दौरान डोनाल्ड ट्रंप को 5 नवंबर के चुनाव के लिए आधिकारिक तौर पर पार्टी के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के रूप में नामित किए जाने की उम्मीद है। बता दें कि पेंसिल्वेनिया के बटलर में एक रैली के दौरान ट्रंप जब मंच पर भाषण दे रहे थे तभी उनके ऊपर गोलियां चलाई गई। गोलियों की आवाज सुनकर ट्रंप नीचे झुक गए और उनके सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें चारों तरफ से कवर कर लिया। इसके बाद ट्रंप ऊपर उठे और मुठ्ठी बांध कर मंच से अपना हाथ हिलाया। इस घटना में उनको चोट आईं और उनका चेहरा खून से लाल हो गया। इस घटना की तस्वीर और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने लगी। पूर्व राष्ट्रपति ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'ट्रूथ सोशल' पर एक पोस्ट शेयर करके बताया, ''उन्हें गोली मारी गई, जो उनके दाहिने कान के ऊपरी हिस्से को भेद गई।'' उन्होंने कहा कि मुझे तुरंत पता चल गया कि कुछ गड़बड़ है। मैंने गोलियों की आवाज सुनी, जो मेरी स्किन को चीरती हुई निकल गई। मेरा बहुत ज्यादा खून बह रहा था, जिसके बाद मुझे पता चला कि यहां क्या हो रहा है।'' रिपोर्ट के अनुसार हमलावर की पहचान थॉमस मैथ्यू क्रूक्स के रूप में की गई है, जो बेथल पार्क पेंसिल्वेनिया का रहने वाला है। जिस मंच से ट्रंप भाषण दे रहे थे, वहां से हमलावर करीब 120 मीटर की दूरी पर खड़ा हुआ था। वहीं से उसने ट्रंप पर निशाना साधा और गोली चलाई। हमलावर के गोली चलाते ही काउंटर-स्नाइपर टीम एक्टिव हो गई और उसे मार गिराया। इस घटना में एक व्यक्ति की मौत हो गई। जबकि, दो लोग गंभीर रूप से घायल बताए जा रहे हैं। इस पूरे मामले की जांच चल रही है।
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने इस घटना की निंदा की। उन्होंने एक्स पर लिखा, "अमेरिका में इस तरह की हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है। हमें इसकी निंदा करने के लिए एक राष्ट्र के रूप में एकजुट होना चाहिए।" व्हाइट हाउस से जारी बयान में बाइडेन ने कहा कि उन्हें घटना के बारे में पूरी जानकारी दी गई है। "डोनाल्ड अपने डॉक्टरों के पास है, उनकी तबीयत में सुधार हो रहा है।" व्हाइट हाउस के अनुसार, "गोलीबारी की घटना के मद्देनजर बाइडेन ने ट्रंप से बात की।'' बाइडेन ने कहा कि इस तरह की हिंसा के लिए देश में कोई जगह नहीं है। हम ऐसा होने की इजाजत नहीं दे सकते। हम ऐसे नहीं हो सकते हैं। हम इसे माफ नहीं कर सकते, हर किसी को इसकी निंदा करनी चाहिए।" --(आईएएनएस)
संयुक्त राष्ट्र, 14 जुलाई । अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर पश्चिमी पेंसिल्वेनिया में शनिवार को एक चुनावी रैली के दौरान हुए जानलेवा हमले की दुनिया के तमाम शीर्ष नेताओं ने निंदा की है। संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने कहा, "महासचिव इस राजनीतिक हिंसा की स्पष्ट शब्दों में निंदा करते हैं। वह पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करते हैं।"
रिपब्लिकन पार्टी के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बनने वाले ट्रंप शनिवार को उस समय बाल-बाल बच गए, जब एक चुनावी सभा में उन पर गोली चलाई गई। गोली उनके कान को छूती हुई निकल गई और कार्यक्रम में मौजूद दो लोगों की मौत हो गई। दुनिया के कई नेताओं ने सोशल मीडिया पर इस हमले के खिलाफ रोष व्यक्त किया है और इस राजनीतिक हिंसा की निंदा की है। कुछ ने इसे "लोकतंत्र पर हमला" भी करार दिया है। अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने अपने एक्स हैंडल पर लिखा, "मुझे पेंसिल्वेनिया में पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप के कार्यक्रम में हुई गोलीबारी के बारे में जानकारी मिली है। (मेरे पति) डग और मैं राहत महसूस कर रहे हैं कि उन्हें कोई गंभीर चोट नहीं आई है। हम उनके, उनके परिवार और उन सभी लोगों के लिए प्रार्थना कर रहे हैं जो इस गोलीबारी में घायल हुए हैं और प्रभावित हुए हैं।"
उन्होंने कहा, "हम सबसे पहले हरकत में आने वाली अमेरिकी खुफिया सेवा और स्थानीय अधिकारियों के तत्काल कार्रवाई के लिए आभारी हैं।" हैरिस ने हमले की निंदा करते हुए कहा, "इस तरह की हिंसा के लिए हमारे देश में कोई जगह नहीं है। हम सभी को इस घृणित कृत्य की निंदा करनी चाहिए और यह सुनिश्चित करने के लिए अपनी भूमिका निभानी चाहिए कि इससे और अधिक हिंसा न हो।" पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कहा, "हमारे लोकतंत्र में राजनीतिक हिंसा के लिए बिल्कुल भी जगह नहीं है। हालांकि, हमें अभी तक ठीक से पता नहीं है कि क्या हुआ था, लेकिन हमें इस बात से राहत महसूस करनी चाहिए कि पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप को कोई गंभीर चोट नहीं आई है, और इस पल का उपयोग अपनी राजनीति में शिष्टाचार और सम्मान के लिए खुद को फिर से प्रतिबद्ध करने के लिए करना चाहिए। (मेरी पत्नी) मिशेल और मैं उनके शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करते हैं।" अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की पूर्व स्पीकर नैन्सी पेलोसी ने भी इस घटना पर दुःख व्यक्त किया और ट्रंप के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की। उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा, "एक ऐसे व्यक्ति के रूप में जिसका परिवार राजनीतिक हिंसा का शिकार रहा है,
मैं जानती हूं कि किसी भी तरह की राजनीतिक हिंसा का हमारे समाज में कोई स्थान नहीं है। मैं भगवान का शुक्रिया अदा करती हूं कि पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप सुरक्षित हैं।" प्राइमरी में ट्रंप को चुनौती देने वाली निक्की हेली ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, "इससे हर स्वतंत्रता-प्रेमी अमेरिकी को भयभीत होना चाहिए। राष्ट्रपति पद के उम्मीदवारों के खिलाफ हिंसा को कभी भी सामान्य नहीं माना जाना चाहिए। हम डोनाल्ड ट्रंप, पूरे ट्रंप परिवार और उपस्थित सभी लोगों के लिए प्रार्थना करते हैं।" ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टारमर ने हमले पर दुःख व्यक्त किया और कहा कि राजनीतिक हिंसा का समाज में कोई स्थान नहीं है। उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, "मैं पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप की रैली में हुए चौंकाने वाले दृश्यों से स्तब्ध हूं, और हम उन्हें और उनके परिवार को अपनी शुभकामनाएं भेजते हैं।
किसी भी रूप में राजनीतिक हिंसा का हमारे समाज में कोई स्थान नहीं है। मेरी संवेदनाएं इस हमले के सभी पीड़ितों के साथ हैं।" ट्रंप के सबसे करीबी पश्चिमी सहयोगियों में से एक, हंगरी के राष्ट्रपति विक्टर ओर्बन ने पोस्ट किया, "इस दुःखद घड़ी में मेरी संवेदनाएं और प्रार्थनाएं राष्ट्रपति के साथ हैं।" एक अन्य दक्षिणपंथी राजनेता, अर्जेंटीना के राष्ट्रपति जेवियर माइली ने हमले के लिए "अंतर्राष्ट्रीय वामपंथ" को दोषी ठहराया। उन्होंने लिखा, "चुनावों में हारने की घबराहट में वे अपने पिछड़े और सत्तावादी एजेंडे को लागू करने के लिए आतंकवाद का सहारा लेते हैं।" इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी ने, जो दक्षिणपंथी नेता हैं, "आशंका" व्यक्त की और लिखा कि उन्हें उम्मीद है कि "चुनावी अभियान के दौरान नफरत और हिंसा पर संवाद और जिम्मेदारी हावी होगी।" अमेरिका के पड़ोसी देश कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने पोस्ट किया, "पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप पर गोलीबारी से मैं दुखी हूं। इसे अतिरंजित नहीं किया जा सकता। राजनीतिक हिंसा कभी भी स्वीकार्य नहीं है।" जापान के प्रधानमंत्री फूमियो किशिदा ने कहा, "हमें लोकतंत्र को चुनौती देने वाली किसी भी तरह की हिंसा के खिलाफ मजबूती से खड़ा होना चाहिए।
मैं पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं।" ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज़ इनासियो लूला दा सिल्वा ने पोस्ट किया, "पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर हमले का लोकतंत्र के सभी रक्षकों द्वारा जोरदार तरीके से खंडन किया जाना चाहिए।" अपनी और अपनी पत्नी की ओर से लिखते हुए इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने पोस्ट किया, "सारा और मैं पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप पर हुए सीधे हमले से स्तब्ध हैं। हम उनकी सुरक्षा और शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करते हैं।" ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री एंटनी अल्बानीज ने लिखा कि चुनावी रैली में हुई घटना "चिंताजनक और चुनौतीपूर्ण है।
लोकतांत्रिक प्रक्रिया में हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है।" चिली के राष्ट्रपति गेब्रियल बोरिक फॉन्ट ने लिखा, "हिंसा लोकतंत्र के लिए खतरा है और हमारे जीवन को कमजोर करती है। हम सभी को इसे अस्वीकार करना चाहिए।" दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यून सुक-योल ने हमले की निंदा करते हुए इसे "भयानक राजनीतिक हिंसा" बताया और ट्रंप के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की। यून ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर लिखा, "मैं भयानक राजनीतिक हिंसा से स्तब्ध हूं। मैं पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं। कोरिया के लोग अमेरिका के लोगों के साथ खड़े हैं।" -(आईएएनएस)
बर्लिन, 14 जुलाई । इंग्लैंड और स्पेन 2024 यूरो के फाइनल में ओलंपियास्टेडियन बर्लिन स्टेडियम में यूरोपीय गौरव की लड़ाई में आमने-सामने होंगे। स्पेन इस प्रतिष्ठित खिताब (जर्मनी) का संयुक्त रिकॉर्ड विजेता है, जिसके नाम तीन खिताब हैं। ला रोजा को विश्व फुटबॉल में शीर्ष पर रहने की आदत है, लेकिन पिछले दशक में देश को प्रमुख टूर्नामेंटों में अपनी छाप छोड़ने के लिए संघर्ष करते देखा गया है। टीम ने टूर्नामेंट का 2012 संस्करण (4-0 बनाम इटली) जीता, लेकिन 2016 यूरो के 16वें राउंड और 2020 यूरो के सेमीफाइनल में उसी टीम के खिलाफ हार गई। वे टूर्नामेंट में अब तक सर्वश्रेष्ठ टीमों में से एक रहे हैं और फाइनल के रास्ते में उन्होंने पूर्ण प्रभुत्व प्रदर्शित किया है।
उनकी सबसे प्रभावशाली जीत क्वार्टर फाइनल में मेजबान जर्मनी के खिलाफ आई। दूसरी ओर इंग्लैंड सफलता के लिए तरस रहा है। थ्री लायंस ने कभी भी यूरोपीय चैम्पियनशिप नहीं जीती है और उनका लक्ष्य प्रमुख टूर्नामेंटों में अपने 58 साल के लंबे सूखे को समाप्त करना होगा। गैरेथ साउथगेट और उनके खिलाड़ी पूरे टूर्नामेंट में अपने विरोधियों के विपरीत रहे हैं और उन्होंने देर से कई गोल किए हैं, जो टीम के लिए एक उतार-चढ़ाव भरा सफर रहा है। जर्मनी ने 1996 यूरो जीता जब इंग्लैंड मेजबान था, अब थ्री लायंस के पास मेजबान देशों से अपना बदला लेने का अवसर है क्योंकि वे डॉयचलैंड में अपनी पहली यूरो ट्रॉफी जीत सकते हैं।
स्पेन बनाम इंग्लैंड आमने-सामने अतीत में दोनों दिग्गजों के बीच 27 बार मुकाबला हुआ है, जिसमें स्पेन 14 बार विजयी रहा, इंग्लैंड ने 10 बार जीत हासिल की और तीन मैच ड्रॉ पर समाप्त हुए। आखिरी बार ये दोनों पक्ष 2018 नेशंस लीग में भिड़े थे जहां इंग्लैंड ने 3-2 से जीत हासिल की थी। हालाँकि स्पेन हर समय आमने-सामने की स्थिति में बढ़त बनाए रखता है, लेकिन ला रोजा ने अभी तक यूरो में थ्री लायंस को नहीं हराया है, इंग्लैंड ने 1980 में ग्रुप स्टेज में 2-1 से जीत दर्ज की थी और 1996 संस्करण के क्वार्टर के फाइनल में पेनल्टी पर 4-2 से जीत हासिल की थी। क्या: यूरो 2024 फाइनल: स्पेन बनाम इंग्लैंड कब: सोमवार, 15 जुलाई (भारतीय समयानुसार) कहां: ओलंपियास्टेडियन बर्लिन स्टेडियम, जर्मनी समय: देर रात भारतीय समयानुसार 12:30 बजे प्रसारण: सोनी स्पोर्ट्स नेटवर्क लाइवस्ट्रीम: सोनी लिव ऐप और वेबसाइट --(आईएएनएस)
सोल, 14 जुलाई (आईएएनएस)। दक्षिण कोरिया ने रविवार को चेतावनी दी कि यदि उत्तर कोरिया ने परमाणु हथियारों का इस्तेमाल किया तो वह पड़ोसी देश के शासन को तबाह कर देगा। समाचार एजेंसी योनहाप की खबर के अनुसार, दक्षिण कोरिया के रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा, "हम कड़ी चेतावनी देते हैं कि परमाणु हथियारों के इस्तेमाल के बाद उत्तर कोरिया के शासन के बचने की कोई सूरत ही नहीं होगी।"
सोल की तरफ से यह बयान उत्तर कोरिया के शनिवार को जारी एक बयान की प्रतिक्रिया में दिया गया है। प्योंगयांग ने दक्षिण कोरिया और अमेरिका के "कोरियाई प्रायद्वीप में परमाणु ऑपरेशन और परमाणु निषेध के बारे में दिशा-निर्देश" जारी करने की आलोचना करते हुए इसे "उकसावे की कार्रवाई" बताया था। उत्तर कोरिया ने कहा था कि सोल और वाशिंगटन को इसकी भारी कीमत चुकानी होगी। दिशा-निर्देशों पर हस्ताक्षर की तारीफ करते हुए दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यून सुक-योल और अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने चेतावनी दी थी कि उत्तर कोरिया की तरफ से दक्षिण कोरिया के खिलाफ किसी भी परमाणु हमले के खिलाफ त्वरित, कठोर और निर्णायक कार्रवाई की जाएगी। दक्षिण कोरियाई रक्षा मंत्रालय ने आज जारी एक बयान में कहा, "अव्वल तो, उत्तर कोरिया की तरफ से परमाणु खतरा नहीं होता तो इस संयुक्त दिशा-निर्देश की जरूरत ही नहीं होती।
उत्तर कोरिया की बढ़ती परमाणु क्षमता और परमाणु धमकियों के मद्देनजर दक्षिण कोरिया-अमेरिका संगठन द्वारा उठाया गया यह कदम उचित है।" मंत्रालय ने कोरियाई प्रायद्वीप में बढ़ते तनाव के लिए उत्तर कोरियाई शासन को जिम्मेदार ठहराया है। उसने कहा, "अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के विरोध और उत्तर कोरिया के लोगों की पीड़ाओं के बावजूद प्योंगयांग प्रशासन अवैध रूप से परमाणु मिसाइल बनाना जारी रखे हुए है।" उत्तर कोरिया के इस साल अप्रैल में परमाणु प्रतिघात से मिलते-जुलते रॉकेट ड्रिल के बाद भी दक्षिण कोरियाई रक्षा मंत्रालय ने इसी तरह की चेतावनी दी थी। --आईएएनएस एकेजे/
लॉस एंजेलिस, 14 जुलाई । सिंगर-एक्ट्रेस जेनिफर लोपेज और हॉलीवुड स्टार बेन एफ्लेक के बीच अलग होने की अफवाह है। इस बीच जेनिफर लोपेज को बेन की बेटी वायलेट एफ्लेक के साथ अच्छा समय बिताते देखा गया है। पीपल मैगजीन की रिपोर्ट के अनुसार, हाल ही में सिंगर-एक्ट्रेस जेनिफर लोपेज ने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरीज पर एक छोटा वीडियो शेयर किया था। वीडियो में वह न्यूयॉर्क में बेन एफ्लेक की बेटी वायलेट एफ्लेक के साथ कार राइड करती दिख रही थीं। फुटेज में जेनिफर लोपेज एक कार की आगे की सीट पर दिखीं।
कार का सनरूफ खुला था। उन्होंने अपनी शादी की अंगूठी और धूप का चश्मा पहना हुआ है। वहीं वायलेट और जे लो की दोस्त, एक्ट्रेस कैसिडी फ्रैलिन खिड़की से बाहर देख रही हैं। जेनिफर लोपेज ने वीडियो क्लिप को 'समरटाइम' स्टिकर से सजाया और द किड लारोई का 'गर्ल्स' साउंडट्रैक प्ले किया। पीपल मैगजीन की रिपोर्ट के अनुसार, यह ऐसे समय में सामने आया है जब जेनिफर लोपेज (51) और बेन एफ्लेक हाल के महीनों में अपनी शादीशुदा जिंदगी में कुछ तनाव का अनुभव किया है। एक सूत्र के अनुसार, शनिवार को जेनिफर लोपेज और वायलेट एफ्लेक को न्यूयॉर्क के ईस्ट हैम्पटन में रोलर रैबिट में शॉपिंग करते देखा गया था। जब वे वहां से निकली तो लोगों ने उन्हें घेर लिया, लेकिन वे बेफिक्र दिखीं। -(आईएएनएस)
वाशिंगटन, 14 जुलाई । पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर एक चुनावी रैली में जानलेवा हमला हुआ है। ट्रंप पर गोली चलाई गई, जिसमें वो घायल हो गए। उन्हें तुरंत हॉस्पिटल ले जाया गया। रिपब्लिकन पार्टी औपचारिक रूप से उन्हें व्हाइट हाउस के लिए अपना उम्मीदवार घोषित करने के लिए सम्मेलन शुरू करने वाली थी, उससे ठीक एक दिन पहले उन पर हत्या का प्रयास किया गया। गोली लगने के बाद ट्रंप जमीन पर गिर पड़े। सीक्रेट सर्विस के एजेंटों ने उन्हें बचाने के लिए ट्रंप को घेर लिया, और फिर उन्हें अंदर ले गए। पूर्व राष्ट्रपति के चेहरे के दाहिने हिस्से से खून बह रहा था। जब उन्हें ले जाया जा रहा था, तो उन्होंने हवा में हाथ उठाया।
उन्हें इलाज के लिए स्थानीय चिकित्सा सुविधा में ले जाया गया। गोली चलाने वाले शूटर को उसी वक़्त गोली मार दी गई। स्थानीय अधिकारियों ने कहा कि शूटर रैली स्थल के बाहर एक इमारत में छिपा था। रैली में आये लोगों में से एक की मौत हो गई। एक अन्य व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गया। राष्ट्रपति जो बाइडेन ने राष्ट्र के नाम अपने संदेश में कहा कि उन्होंने ट्रंप से बात करने की कोशिश की -- पहली बार बाइडेन ने सार्वजनिक रूप से ट्रंप को "डोनाल्ड" कहकर संबोधित किया। उन्होंने कहा, "मैं जल्द ही उनसे बात करने की कोशिश करूंगा।" उन्होंने आगे कहा, "अमेरिका में इस तरह की हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है।
यह बहुत ही घिनौना है। रैली बिना किसी समस्या के शांतिपूर्ण तरीके से आयोजित की जानी चाहिए थी।" बाइडेन ने इस पर कुछ नहीं कहा कि क्या यह हत्या का प्रयास था। उन्होंने कहा कि वे पूरी जानकारी आने तक इंतजार करेंगे। सीक्रेट सर्विस के संचार प्रमुख एंथनी गुग्लिल्मी ने एक बयान में कहा, "पूर्व राष्ट्रपति सुरक्षित हैं।" ट्रंप संचार निदेशक स्टीवन चेउंग ने एक बयान में कहा, "पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप ठीक हैं और स्थानीय चिकित्सा सुविधा में उनकी जांच की जा रही है।" --(आईएएनएस)
वाशिंगटन, 14 जुलाई । पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को एक चुनावी रैली में गोली मारी गई है। अगले ही दिन रिपब्लिकन पार्टी औपचारिक रूप से उन्हें व्हाइट हाउस के लिए अपना उम्मीदवार घोषित करने वाली थी। उससे ठीक एक दिन पहले उन पर हत्या का प्रयास किया गया। गोली लगने के बाद ट्रंप ने अपने चेहरे के दाहिने हिस्से को टच किया और फिर जमीन पर गिर पड़े। सीक्रेट सर्विस के एजेंटों ने उन्हें बचाने के लिए खुद को उन पर झोंक दिया। जब वे उठे, तो एजेंट उन्हें अंदर ले गए। पूर्व राष्ट्रपति के चेहरे के दाहिने हिस्से से खून बहता हुआ दिखाई दिया। अंदर जाते समय उन्होंने हवा में मुट्ठी उठाई। उन्हें इलाज के लिए स्थानीय हॉस्पिटल में ले जाया गया। पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्रुथ सोशल पर एक पोस्ट में कहा, "मुझे एक गोली लगी जो मेरे दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में लगी।" "मुझे तुरंत पता चल गया कि कुछ गड़बड़ है। मैंने एक तेज़ आवाज़ सुनी, और फिर गोली चली।
मैंने तुरंत महसूस किया कि गोली मेरी स्किन को चीरती हुई निकल रही है। बहुत ज़्यादा खून बह रहा था, फिर मुझे एहसास हुआ कि क्या हो रहा है।" शूटर को गोली मार दी गई लेकिन उसकी अभी पहचान नहीं हुई है। स्थानीय अधिकारियों ने कहा कि वह रैली स्थल के बाहर एक इमारत में छिपा था। रैली में आये लोगों में से एक व्यक्ति की मौत हो गई। एक अन्य व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गया। सीक्रेट सर्विस ने एक बयान में कहा: "13 जुलाई की शाम को लगभग 6:15 बजे, पेंसिलवेनिया के बटलर में पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप की रैली के दौरान एक संदिग्ध शूटर ने रैली स्थल के बाहर एक ऊंचे स्थान से मंच की ओर कई गोलियां चलाईं। यूएस सीक्रेट सर्विस के कर्मियों ने शूटर को मार गिराया, जो अब मर चुका है। यूएस सीक्रेट सर्विस ने तुरंत सुरक्षा के उपाय किए और पूर्व राष्ट्रपति सुरक्षित हैं और उनकी जांच की जा रही है।
एक व्यक्ति की मौत हो गई, और दो लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। घटना की अभी जांच चल रही है और सीक्रेट सर्विस ने औपचारिक रूप से संघीय जांच ब्यूरो को सूचित कर दिया है।" राष्ट्रपति जो बाइडेन ने राष्ट्र के नाम अपने संदेश में कहा कि उन्होंने ट्रंप से बात करने की कोशिश की। पहली बार बाइडेन ने ट्रंप को "डोनाल्ड" कहकर संबोधित किया। उन्होंने कहा, "मैं जल्द ही उनसे बात करने की कोशिश करूंगा।" उन्होंने आगे कहा, "अमेरिका में इस तरह की हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है। यह बहुत ही भयानक है। रैली बिना किसी समस्या के शांतिपूर्ण तरीके से आयोजित की जानी चाहिए थी।" -(आईएएनएस)
वाशिंगटन, 14 जुलाई । अमेरिकी राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप पेंसिल्वेनिया के बटलर में रैली को संबोधित करने के दौरान गोली लगने से घायल हो गए। डोनाल्ड ट्रंप की सुरक्षा में तैनात यूएस सीक्रेट सर्विस ने उन्हें वहां से सुरक्षित निकाल लिया। इसके बाद ट्रंप ने गोलीबारी की घटना पर तत्काल प्रतिक्रिया के लिए सीक्रेट सर्विस और लॉ इन्फोर्समेंट को धन्यवाद दिया है। पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्रुथ सोशल पर एक पोस्ट किया। उन्होंने कहा, "मैं पेंसिल्वेनिया के बटलर में फायरिंग की घटना पर तत्काल प्रतिक्रिया के लिए यूएस सीक्रेट सर्विस और लॉ इन्फोर्समेंट को धन्यवाद देता हूं। डोनाल्ड ट्रंप ने रैली में मारे गए व्यक्ति के परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त की।
इसके अलावा उन्हें रैली में घायल हुए व्यक्ति के परिवार के प्रति भी अपनी संवेदना जताई। इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि यह विश्वास से परे है कि हमारे देश में ऐसा कृत्य हो सकता है। शूटर की मौत की पुष्टि हो चुकी है। पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्रुथ सोशल पर एक पोस्ट में कहा, "मुझे एक गोली लगी जो मेरे दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में लगी। मैंने एक तेज आवाज सुनी और फिर गोली चली।
मैंने तुरंत महसूस किया कि गोली मेरी स्किन को चीरती हुई निकल रही है। बहुत ज्यादा खून बह रहा था, फिर मुझे एहसास हुआ कि क्या हो रहा है।" रिपोर्ट के अनुसार, शूटर को गोली मार दी गई लेकिन उसकी अभी पहचान नहीं हुई है। स्थानीय अधिकारियों ने कहा कि वह रैली स्थल के बाहर एक इमारत में छिपा था। रैली में आये लोगों में से एक व्यक्ति की मौत हो गई। एक अन्य व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गया है। --(आईएएनएस)
मोगादिशु, 14 जुलाई । सोमालिया की राजधानी मोगादिशु में सुरक्षाबलों और भागने का प्रयास कर रहे कैदियों के बीच भारी गोलीबारी हुई। इस घटना में पांच कैदियों और तीन सैनिकों की मौत हो गई, जबकि 18 अन्य कैदी घायल बताए जा रहे हैं। समाचार एजेंसी शिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, कस्टोडियल कोर कमांड के प्रवक्ता अब्दिकानी मोहम्मद खलफ ने शनिवार को बताया कि इस ऑपरेशन के दौरान तीन सैनिक भी घायल हुए हैं। सेंट्रल जेल से भागने का प्रयास कर रहे हथियारों से लैस कैदी अल-शबाब आतंकवादी समूह के सदस्य थे। जेस से भागने के प्रयास के दौरान जेल अधिकारियों और कैदियों के बीच गोलीबारी हुई।
जेल अधिकारियों ने कहा कि वे इस बात की जांच कर रहे हैं कि कैदियों ने भागने के लिए हथियार और हथगोले कैसे हासिल किए। रिपोर्ट के अनुसार, "अधिकारियों ने बताया कि सुरक्षा बलों ने अल-शबाब सदस्यों के खिलाफ अभियान पूरा कर लिया है। फिलहाल स्थिति शांत है और सुरक्षा बलों ने सभी पांच कैदियों को मार गिराया है। हमने घटना की जांच शुरू कर दी है।" अल-शबाब आतंकवादियों ने हमार सेंट्रल जेल पर हुए ताजा हमले पर कोई टिप्पणी नहीं की है। यह मोगादिशु में जेल पर समूह के कैदियों द्वारा किया गया दूसरा घातक हमला है। -(आईएएनएस)
अमेरिका की संघीय जांच ब्यूरो (एफ़बीआई) के मुताबिक़, डोनाल्ड ट्रंप को मारने की कोशिश करने वाला शख्स 20 वर्षीय थॉमस मैथ्यू क्रुक्स है.
एफ़बीआई का कहना है कि उसकी पहचान की पुष्टि के लिए डीएनए और बायोमेट्रिक्स टेस्ट कराया जाएगा.
एफ़बीआई का कहना है कि क्रुक्स पेंसिल्वेनिया के बेथेल पार्क का रहने वाला था. यह उस जगह से 70 किलोमीटर दूर है जहां ट्रंप की हत्या करने की कोशिश की गई है.
एफ़बीआई के बयान में कहा गया है, "अभी जांच चल रही है, जिस किसी के पास भी जांच से संबंधित कोई जानकारी है जो जांच में सहायता कर सकती है वो उसकी तस्वीरें या वीडियो ऑनलाइन सबमिट कर सकता है." (bbc.com/hindi)
(ललित के झा)
वाशिंगटन, 14 जुलाई। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन और पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा, जॉर्ज डब्ल्यू बुश और बिल क्लिंटन ने पेनसिल्वेनिया में एक चुनावी रैली में रिपब्लिकन पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप की हत्या के प्रयास की निंदा करते हुए कहा कि अमेरिका में हिंसा की कोई जगह नहीं है।
पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप (78) शनिवार को हुए इस हमले में कान के ऊपरी हिस्से में गोली लगने से घायल हो गए। हमलावर ने रैली में मौजूद एक व्यक्ति की भी हत्या कर दी और दो अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए। ‘सीक्रेट सर्विस’ के एक सदस्य ने हमलावर को मार गिराया।
घटना के बाद राष्ट्र को संबोधित करते हुए बाइडन ने डेलवेयर में अपने आवास पर पत्रकारों से कहा, ‘‘देखिए, अमेरिका में इस तरह की हिंसा की कोई जगह नहीं है। यह घिनौना है। इससे जाहिर होता है कि क्यों हमें इस देश को एकजुट रखने की आवश्यकता है। हम इसे नजरअंदाज नहीं कर सकते।’’
बाइडन इस सप्ताहांत डेलवेयर में अपने घर पर समय बिता रहे थे, लेकिन आधी रात के बाद व्हाइट हाउस लौट आए। व्हाइट हाउस ने कहा, ‘‘रविवार सुबह व्हाइट हाउस में, उन्हें आंतरिक सुरक्षा और कानून प्रवर्तन अधिकारियों से अद्यतन जानकारी मिलेगी।’’
राष्ट्रपति बाइडन ने सीक्रेट सर्विस और सरकारी एजेंसियों समेत सभी एजेंसियों का आभार जताया।
उन्होंने बताया कि उनका ट्रंप से संपर्क नहीं हो पाया है लेकिन व्हाइट हाउस ने कहा कि उन्होंने कई घंटे पहले ट्रंप से बात की।
ओबामा ने भी हमले की निंदा की और ट्रंप के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की।
ओबामा ने कहा, ‘‘हमारे लोकतंत्र में राजनीतिक हिंसा का कोई स्थान नहीं है। हालांकि, हम अभी नहीं जानते कि असल में क्या हुआ था लेकिन हमें राहत है कि पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप गंभीर रूप से घायल नहीं हुए। मिशेल और मैं उनके शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना कर रहे हैं।’’
बुश ने कहा कि उन्हें और उनकी पत्नी लॉरा को यह जानकर तसल्ली मिली है कि पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप अपने ऊपर हुए कायरतापूर्ण हमले के बाद सुरक्षित हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हम सीक्रेट सर्विस के पुरुष और महिला अधिकारियों की उनकी त्वरित कार्रवाई के लिए प्रशंसा करते हैं।’’
क्लिंटन ने कहा, ‘‘अमेरिका में हिंसा का कोई स्थान नहीं है, खासकर हमारी राजनीतिक प्रणाली में। हिलेरी और मुझे यह जानकार राहत मिली कि ट्रंप सुरक्षित हैं, हम पेनसिल्वेनिया रैली में हुए हमले के सभी पीड़ितों के लिए दुखी हैं तथा यूएस सीक्रेट सर्विस की त्वरित कार्रवाई के लिए उनके आभारी हैं।’’
उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने कहा कि उन्हें ट्रंप पर हुए हमले के बारे में जानकारी दी गयी है।
उन्होंने कहा, ‘‘हम उनके, उनके परिवार तथा सभी घायलों और इस घृणित गोलीबारी से पीड़ित हुए लोगों लिए प्रार्थना कर रहे हैं। हम अमेरिकी सीक्रेट सर्विस और स्थानीय प्राधिकारियों का उनकी त्वरित कार्रवाई के लिए आभार व्यक्त करते हैं।’’
हैरिस ने कहा, ‘‘इस तरह की हिंसा का हमारे देश में कोई स्थान नहीं है। हम सभी को इस घृणित कृत्य की निंदा करनी चाहिए और यह सुनिश्चित करने का प्रयास करना चाहिए कि यह और हिंसा होने का कारण न बने।’’ (भाषा)
(ललित के झा)
शिकागो,14 जुलाई। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर पेनसिल्वेनिया में एक चुनावी रैली में जानलेवा हमला किया गया। हमले में ट्रंप के दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में गोली लगी।
अमेरिका की ‘सीक्रेट सर्विस’ के एक कर्मी ने हमलावर को मार गिराया।
‘सीक्रेट सर्विस’ संघीय कानून प्रवर्तन एजेंसी है और आंतरिक सुरक्षा मंत्रालय के अंतर्गत आती है। उसने बताया कि ट्रंप (78) शनिवार को राष्ट्रपति चुनाव के लिए एक रैली को संबोधित कर रहे थे, इसी दौरान शाम छह बजकर 15 मिनट पर एक संदिग्ध हमलावर ने रैली स्थल के बाहर एक ऊंचे स्थान से मंच की ओर कई गोलियां चलाईं, जिसमें ट्रंप के दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में एक गोली लगी।
हमले में रैली में मौजूद एक व्यक्ति मारा गया, वहीं दो अन्य गंभीर रूप से घायल हैं।
हमला होने पर सीक्रेट सर्विस के कर्मियों ने ट्रंप को सुरक्षा घेरे में ले लिया और मंच के पीछे चले गए। इसके बाद, वे ट्रंप को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के लिए वाहन की ओर बढ़ गए, इस दौरान पूर्व राष्ट्रपति के दाहिने कान के ऊपरी हिस्से से खून निकलता देखा गया।
सुरक्षित स्थान पर ले जाये जाने के दौरान ट्रंप ने कहा,‘‘ मुझे मेरे जूते तो ले लेने दो।’’ उन्होंने अपने समर्थकों की ओर मुट्ठी बांध कर हाथ हवा में लहराया।
‘सीक्रेट सर्विस’ के प्रवक्ता एंथनी गुगेइल्मी ने एक बयान में कहा,‘‘ अमेरिकी सीक्रेट सर्विस के कर्मियों ने हमलावर को मार गिराया। संघीय एजेंसी ने तत्काल सुरक्षा उपाय किए और पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप सुरक्षित हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘घटना की जांच जारी है। सीक्रेट सर्विस ने एफबीआई को सूचित कर दिया है।’’
कानून प्रवर्तन से जुड़े कई अधिकारियों ने ‘सीबीएस न्यूज’ को बताया कि संदिग्ध ने 200 से 300 फुट की दूरी पर बने एक ऊंचे स्थान से ‘एआर’-सरीखी राइफल से गोली चलाई।
एक प्रवक्ता ने कहा कि ट्रंप ‘‘ठीक’’ हैं।
यह घटना मिल्वाकी में ‘रिपब्लिकन नेशनल कन्वेंशन’ शुरू होने से दो दिन पहले हुई। इस सम्मेलन में ट्रंप को औपचारिक रूप से राष्ट्रपति चुनाव के लिए पार्टी का उम्मीदवार घोषित किया जाएगा।
व्हाइट हाउस के एक अधिकारी ने बताया कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने नवंबर में होने वाले चुनाव में अपने प्रतिद्वंद्वी ट्रंप से बात की। व्हाइट हाउस ने हालांकि यह नहीं बताया कि दोनों देताओं के बीच क्या बातचीत हुई, लेकिन कहा कि बाइडन ने पेनसिल्वेनिया के गवर्नर जोश शापिरो और बटलर के मेयर बॉब डैंडोय से भी बातचीत की है।
राष्ट्रपति बाइडन ने कहा कि हत्या के प्रयास की ‘‘हर किसी को निंदा करनी चाहिए।’’
ट्रंप पर हमले की घटना के करीब दो घंटे बाद बाइडन ने राष्ट्र को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘हम ऐसा नहीं होने दे सकते। अमेरिका में इस तरह की हिंसा पहले कभी नहीं सुनी।’’
पेनसिल्वेनिया में आयोजित ट्रंप की चुनाव-प्रचार रैली में हजारों की संख्या में उनके समर्थक मौजूद थे और विभिन्न टीवी चैनल पर इसका सीधा प्रसारण किया जा रहा था। गोलीबारी होते ही वहां अफरा-तफरी मच गई और लोग जान बचाने के लिए भागते नजर आए।
उपराष्ट्रपति कमला हैरिस और पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा, जॉर्ज डब्ल्यू बुश और बिल क्लिंटन ने ट्रंप पर हुए हमले की निंदा की है।
हैरिस ने कहा कि उन्हें इस बात से ‘‘राहत’’ मिली है कि ट्रंप गंभीर रूप से घायल नहीं हुए हैं।
हैरिस ने एक बयान में कहा, "हम उनके, उनके परिवार और उन सभी लोगों के लिए प्रार्थना कर रहे हैं जो (ट्रंप) बेवजह की गई इस गोलीबारी से घायल हुए हैं।’’
ट्रंप की बेटी इवांका ट्रंप ने घटऩा के संबंध में एक बयान जारी किया।
उन्होंने ‘एक्स’ पर एक बयान में कहा, ‘‘पेनसिल्वेनिया के बटलर में बेवजह की गई गोलीबारी में मेरे पिता के प्रति और अन्य पीड़ितों के प्रति आपके प्यार और प्रार्थनाओं के लिए धन्यवाद।’’
इवांका ने कहा,‘‘ मैं सीक्रेट सर्विस और अन्य सभी कानून प्रवर्तन अधिकारियों की आज उनके त्वरित और निर्णायक कार्रवाई के लिए आभारी हूं। मैं अपने देश के लिए प्रार्थना करती रहूंगी। मैं आपसे प्यार करती हूं पापा...।’’
सोशल मीडिया मंच 'ट्रुथ सोशल' पर अपने बयान में ट्रंप (78) ने जान बचाने के लिए अमेरिका की 'सीक्रेट सर्विस' का आभार जताया।
पूर्व राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘मैं पेनसिल्वेनिया के बटलर में चुनावी रैली के दौरान मुझ पर हुए हमले के बाद तुरंत कार्रवाई करने के लिए अमेरिका की सीक्रेट सर्विस और समस्त कानून प्रवर्तन एजेंसियों को धन्यवाद देता हूं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मेरे दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में गोली लगी। सनसनाहट महसूस हुई और गोलियों की आवाज सुनकर मैं तुरंत समझ गया था कि कुछ गलत हुआ है। फिर तुरंत मुझे महसूस हुआ कि गोली मेरी त्वचा को छूकर निकल गई। काफी खून निकल गया था, तब मुझे एहसास हुआ कि क्या कुछ हो रहा है। ईश्वर अमेरिका की रक्षा करें।’’
आंतरिक सुरक्षा मंत्री एलेक्जॉड्रो एन मयोरकास ने कहा कि उनका मंत्रालय (डीएचएस) और यूएस सीक्रेट सर्विस अन्य कानून प्रवर्तन विभागों के साथ मिलकर, ट्रंप पर शनिवार को हुए जानलेवा हमले की घटना की जांच कर रहे हैं।
मयोरकास ने कहा, ‘‘हम इस हिंसा की कड़े शब्दों में निंदा करते हैं और आज की त्वरित कार्रवाई के लिए सीक्रेट सर्विस की सराहना करते हैं। हम राष्ट्रपति बाइडन, पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप और उनके चुनाव प्रचार टीम के साथ जुड़े हुए हैं और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव उपाय कर रहे हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘राष्ट्रपति पद के उम्मीदवारों और उनके प्रचार अभियान कार्यक्रमों को सुरक्षा प्रदान करना हमारे मंत्रालय की सबसे महत्वपूर्ण प्राथमिकताओं में से एक है।’’
रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने भी घटना की निंदा की है।
उन्होंने कहा कि पूरा रक्षा मंत्रालय इस हिंसा की निंदा करता है और हिंसा का अमेरिकी लोकतंत्र में कोई स्थान नहीं है।
अटॉर्नी जनरल मेरिक बी. गारलैंड, एफबीआई, एटीएफ, पेनसिल्वेनिया के अमेरिकी अटॉर्नी कार्यालय और मंत्रालय का राष्ट्रीय सुरक्षा प्रभाग इस घटना की जांच के लिए सीक्रेट सर्विस के साथ-साथ राज्य और स्थानीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों के साथ काम कर रहे हैं। (भाषा)
(ललित के. झा)
शिकागो(अमेरिका), 14 जुलाई। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति एवं रिपब्लिकन पार्टी से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप ने कहा है कि पेनसिल्वेनिया में चुनावी रैली के दौरान उनपर हमला किया गया, जिसमें एक गोली उनके दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में लगी।
सोशल मीडिया मंच 'ट्रुथ सोशल' पर अपने बयान में, ट्रंप (78) ने जान बचाने के लिए अमेरिका की 'सीक्रेट सर्विस' का आभार जताया।
पूर्व राष्ट्रपति ने कहा, ''मैं पेनसिल्वेनिया के बटलर में चुनावी रैली के दौरान मुझ पर हुए हमले के बाद तुरंत कार्रवाई करने के लिए अमेरिका की सीक्रेट सर्विस और समस्त कानून प्रवर्तन एजेंसियों को धन्यवाद देता हूं।''
बटलर में चुनावी रैली के दौरान एक संदिग्ध हमलवार ने उन पर गोलियां चलाईं, जिससे वह घायल हो गए। हालांकि, अमेरिका की 'सीक्रेट सर्विस' ने तुरंत कार्रवाई करते हुए ट्रंप को सुरक्षा घेरे में ले लिया और उन्हें सुरक्षित स्थान पर ले गए।
उन्होंने कहा, ''सबसे खास बात यह है कि मैं रैली में मारे गए व्यक्ति के परिवार के प्रति और गंभीर रूप से घायल हुए एक व्यक्ति के परिवार के प्रति संवेदनाएं व्यक्त करता हूं। यकीन नहीं हो रहा कि हमारे देश में ऐसी घटना हो सकती है।''
ट्रंप ने कहा कि मुझे इस हमलावर के बारे में कुछ नहीं पता, हालांकि अब उसे मार गिराया गया है।
उन्होंने कहा, ''मेरे दाहिने कान के ऊपरी हिस्से में गोली लगी। सनसनाहट महसूस हुई और गोलियों की आवाज सुनकर मैं तुरंत समझ गया था कि कुछ गलत हुआ है। फिर तुरंत मुझे महसूस हुआ कि गोली मेरी त्वचा को छूकर निकल गई। काफी खून निकल गया था, तब मुझे एहसास हुआ कि क्या कुछ हो रहा है। ईश्वर अमेरिका की रक्षा करें।''
‘सीक्रेट सर्विस’ के प्रवक्ता एंथनी गुगेइल्मी ने एक बयान में कहा, ‘‘ट्रंप शनिवार को राष्ट्रपति चुनाव के लिए एक रैली को संबोधित कर रहे थे, इसी दौरान छह बजकर 15 मिनट पर एक संदिग्ध हमलावर ने रैली स्थल के बाहर एक ऊंचे स्थान से मंच की ओर कई गोलियां चलाईं।''
उन्होंने कहा, ''अमेरिकी सीक्रेट सर्विस के कर्मियों ने हमलावर को मार गिराया। संघीय एजेंसी ने तत्काल सुरक्षा उपाय किए, पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप सुरक्षित हैं। इस हमले में, रैली में मौजूद एक व्यक्ति की मौत हो गई है, जबकि दो गंभीर रूप से घायल हैं।''
एंथनी ने कहा कि घटना की जांच की जा रही है और सीक्रेट सर्विस ने 'फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन' (एफबीआई) को इसकी सूचना दे दी है।
पेनसिल्वेनिया में आयोजित ट्रंप की चुनाव-प्रचार रैली में हजारों की संख्या में उनके समर्थक मौजूद थे और विभिन्न टीवी चैनल पर इसका सीधा प्रसारण किया जा रहा था।
रैली के दौरान जैसे ही ट्रंप के दाहिने कान पर गोली लगी, सीक्रेट सर्विस के अधिकारियों ने उन्हें सुरक्षा घेरे में ले लिया, हालांकि अधिकारियों के साथ जाते समय ट्रंप ने ‘ऑडियो फीड’ के जरिए अपने समर्थकों से कुछ कहा था।
मिल्वौकी में रिपब्लिकन नेशनल कन्वेंशन के शुरू होने से दो दिन पहले ही यह हैरान कर देने वाली घटना हुई, जहां ट्रंप औपचारिक तौर पर पार्टी के उम्मीदवार बनेंगे। (भाषा)
(ललित के झा)
शिकागो, 14 जुलाई। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति एवं रिपब्लिकन पार्टी से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप पर पेनसिल्वेनिया में शनिवार को एक चुनावी रैली में हमला किया गया। हमले में ट्रंप को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है और वह पूरी तरह सुरक्षित हैं। कानून प्रवर्तन से जुड़े अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
हमलावर को मार गिराया गया है।
‘यूएस सीक्रेट सर्विस’ ने बताया कि शाम करीब 6.15 बजे एक संदिग्ध हमलावर ने पेनसिल्वेनिया के बटलर में रैली स्थल के बाहर एक ऊंचे स्थान से मंच की ओर कई गोलियां चलाईं। जिसके बाद संघीय एजेंसी के कर्मियों ने ट्रंप को तत्काल वहां से बाहर निकाल कर सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया।
ट्रंप (78) के प्रवक्ता स्टीवन चेउंग ने एक बयान में कहा,‘‘ वह ठीक हैं और स्थानीय चिकित्सा केन्द्र में उनकी जांच जारी है।’’
चुनाव प्रचार के दौरान ट्रंप पर हुए इस हमले की सभी नेताओं ने निंदा की है। राष्ट्रपति जो बाइडन, उपराष्ट्रपति कमला हैरिस, पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा, जॉर्ज डब्ल्यू बुश और बिल क्लिंटन ने इस हमले की निंदा की है।
‘सीक्रेट सर्विस’ के प्रवक्ता एंथनी गुगेइल्मी ने एक बयान में कहा,‘‘ अमेरिकी सीक्रेट सर्विस के कर्मियों ने हमलावर को मार गिराया। संघीय एजेंसी ने तत्काल सुरक्षात्मक उपाय किए, पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप सुरक्षित हैं।’’ (भाषा)
पेंसिल्वेनिया की एक चुनावी रैली में कान पर गोली लगने के बाद बाल-बाल बचे अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को अस्पताल से छुट्टी मिल गई है. बीबीसी के अमेरिका में न्यूज़ पार्टनर सीबीएस न्यूज़ को दो सूत्रों ने इसके बारे में बताया है.
ये अभी तक साफ़ नहीं है कि ट्रंप कहां गए हैं, लेकिन चुनावी रैली के बाद उनकी योजना न्यू जर्सी में अपने घर जाने की थी.
इसके अलावा पूर्व राष्ट्रपति की योजना रविवार को विस्कॉन्सिन के मिलवौकी में होने वाले रिपब्लिकन नेशनल कन्वेंशन में भी जाने की थी.
उनके चुनावी अभियान ने पुष्टि की है कि वो योजना के अनुसार, मिलवौकी जाएंगे.
उनको कन्वेंशन में रिपब्लिकन पार्टी का राष्ट्रपति पद के लिए आधिकारिक उम्मीदवार घोषित किया जाना है.
सोमवार से शुरू हो रहे इस कन्वेंशन में ट्रंप की योजना अपने उप-राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार को चुनने की भी है.
ट्रंप के चुनावी अभियान कार्यालय ने बताया है कि ट्रंप ‘बेहतर महसूस कर रहे हैं’ और हमले के बाद ‘क़ानूनी एजेंसियों और इस पर पहली प्रतिक्रिया देने वालों के शुक्रगुज़ार हैं.’ (bbc.com/hindi)
(शिरीष बी प्रधान)
काठमांडू, 13 जुलाई। नेपाल के नए प्रधानमंत्री बनने जा रहे के पी शर्मा ओली ने अपने गठबंधन सहयोगी नेपाली कांग्रेस के साथ नयी गठबंधन सरकार में शामिल किए जाने वाले मंत्रियों की सूची तैयार करने को लेकर शनिवार को विचार विमर्श किया। नयी गठबंधन सरकार के सोमवार को शपथ लेने की संभावना है।
राष्ट्रपति रामचंद्र पौडेल रविवार दोपहर तक ओली (72) को नेपाली कांग्रेस-सीपीएन (यूएमएल) गठबंधन का नया प्रधानमंत्री नियुक्त कर सकते हैं। नेपाली कांग्रेस और यूएमएल के करीबी सूत्रों ने बताया, ‘‘राष्ट्रपति सोमवार सुबह नए प्रधानमंत्री और मंत्रिमंडल के अन्य सदस्यों को शपथ दिला सकते हैं। शपथ ग्रहण समारोह शुरू होने से पहले सोमवार को एक छोटे मंत्रिमंडल की घोषणा होने की संभावना है।’’
नेपाल में राजनीतिक उथल-पुथल के बीच, नेपाल की कम्युनिस्ट पार्टी-एकीकृत मार्क्सवादी लेनिनवादी (सीपीएन-यूएमएल) के अध्यक्ष ओली (72) का एक बार फिर प्रधानमंत्री बनना तय है, क्योंकि मौजूदा प्रधानमंत्री पुष्प कमल दाहाल ‘प्रचंड’ शुक्रवार को संसद में विश्वास मत हासिल करने में असफल रहे।
शुक्रवार देर रात ओली ने शेर बहादुर देउबा के नेतृत्व वाली पार्टी नेपाली कांग्रेस (एनसी) के समर्थन से अगला प्रधानमंत्री बनने का दावा पेश किया था और संविधान के अनुच्छेद 76-2 के तहत सरकार बनाने के लिए प्रतिनिधि सभा के 165 सदस्यों के हस्ताक्षर सौंपे थे। इन सांसदों में ओली की पार्टी के 77 और नेपाली कांग्रेस के 88 सांसद शामिल हैं।
ओली के एक करीबी सूत्र ने बताया कि कुल 21 मंत्रालयों में से नेपाली कांग्रेस को नौ मंत्रालय और सीपीएन-यूएमएल को आठ मंत्रालय मिलेंगे, साथ ही प्रधानमंत्री का पद भी मिलेगा।
सूत्र ने बताया, ‘‘गृह, विदेश, वित्त और ऊर्जा जैसे प्रमुख पदों को एनसी और यूएमएल के बीच बांटा जाएगा। नेपाली कांग्रेस को गृह मंत्रालय मिलने की संभावना है, जबकि वित्त मंत्रालय यूएमएल को मिलेगा।’’
इससे पहले, शनिवार को सीपीएन-यूएमएल ने भविष्य की रणनीति पर चर्चा करने और नए मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने वाले मंत्रियों के नामों को अंतिम रूप देने के लिए एक उच्च स्तरीय बैठक की। हालांकि, पार्टी के वरिष्ठ नेता और स्थायी समिति के सदस्य राजन भट्टराई के अनुसार, शुरुआत में एक छोटा मंत्रिमंडल होगा, जिसका बाद में विस्तार किया जाएगा। (भाषा)
इस्लामाबाद की एक अदालत ने इद्दत के दौरान शादी के मामले में इमरान खान और उनकी पत्नी को बरी कर दिया है.
फ़रवरी में इस्लामाबाद कोर्ट के वरिष्ठ सिविल जज क़ुदरतुल्लाह ने इस मामले में इमरान ख़ान और उनकी पत्नी को सात साल जेल की सजा सुनाई थी.
इस्लामाबाद के अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश मुहम्मद अफ़ज़ल माजूका ने इद्दत मामले में सज़ा के ख़िलाफ़ पूर्व प्रधानमंत्री इमरान ख़ान और बुशरा बीबी की अपील स्वीकार कर ली है. कोर्ट ने इमरान खान और बुशरा बीबी को इस मामले से रिहा करने का आदेश दिया है.
कोर्ट ने अदियाला जेल अधिकारियों को समन जारी करते हुए लिखा कि अगर इमरान खान और बुशरा बीबी किसी अन्य मामले में लिप्त नहीं हैं तो उन्हें रिहा कर दिया जाए.
हालांकि कोर्ट के इस फ़ैसले के बाद भी इमरान ख़ान की रिहाई नहीं हो पाएगी क्योंकि इन अपीलों पर फैसले से पहले ही लाहौर की एक आतंकवाद विरोधी अदालत ने 9 मई की घटनाओं में इमरान खान की अंतरिम जमानत खारिज कर दी थी. इसके बाद लाहौर पुलिस ने इन मामलों में इमरान ख़ान को गिरफ़्तार करने का फ़ैसला लिया.
यह तय है कि इन अपीलों की मंजूरी के बाद इमरान ख़ान की पत्नी को रिहा कर दिया जाएगा क्योंकि उनके ख़िलाफ़ कोई अन्य मामला नहीं है जिसमें उनकी गिरफ़्तारी की आवश्यकता हो.
क्या है इद्दत?
मुस्लिम पर्सनल लॉ के मुताबिक़ इद्दत वह अवधि होती है, जब एक पत्नी अपने पति की मौत या तलाक़ के बाद बिताती है.
ये अवधि तीन महीने की होती है लेकिन स्थिति के अनुसार, इसमें बदलाव भी किया जा सकता है. इस अवधि के बाद महिला दूसरी शादी कर सकती है. (bbc.com/hindi)