बस्तर
जगदलपुर, 12 फरवरी। शहीद गुण्डाधुर की याद में शुक्रवार को आसना स्थित बादल में भूमकाल दिवस मनाया गया। शहीद गुण्डाधुर ने जल, जंगल, जमीन और बस्तर के हितों के रक्षा के लिए भूमकाल विद्रोह की शुरुआत की थी, इस दिन को याद करते हुए बादल भूमकाल दिवस मनाया गया। इस अवसर पर बादल में निबंध,चित्रकला और विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
बादल में आयोजित भूमकाल दिवस के अवसर पर बस्तर आईजी सुंदरराज पी. ने कहा कि हमें शहीद वीरगुंडाधुर, डेबरी धुर और उनके साथियों के बलिदान को याद करते हुए उनसे प्रेरणा लेकर आगे बढऩा चाहिए। इस दौरान गंगाधर धुर ने वीर शहीद गुंडाधुर के जीवनी के बारे में विस्तार से बताया। साथ ही बादल के सदस्यों और स्कूली बच्चों और बादल में प्रशिक्षण ले रहे छात्र- छात्राओं ने शहीद गुण्डाधुर को याद करते हुए देश भक्ति गीतों की प्रस्तुति दी। बादल की टीम ने वीर शहीद गुंडाधुर पर आधारित नाटक की प्रस्तुति दी। इस कार्यक्रम के प्रतिभागियों को पुरस्कृत भी किया गया।
इस कार्यक्रम में संयुक्त कलेक्टर आस्था राजपूत, (नोडल अधिकारी बादल), गंगाधुर , दुर्जन नाग,हिमांशु शेखर झा(साहित्यकार) सुभाष पांडेय ( चित्रकार) बंशीलाल विश्वात्मा (चित्रकार), डॉ. सुषमा झा ( प्राचार्य डाइट बस्तर), नरेंद्र पाढ़ी (साहित्यकार भतरी), पूर्णिमा सरोज (प्रभारी अधिकारी बादल), गोवर्धन पाणीग्राही, लखेश्वर खुदराम एवं स्कूली छात्र-छात्राएँ उपस्थित थे।